Archive | September 23rd, 2010

जारी है जेल में बिन्दयों पर जेल प्रशासन का जुल्म

Posted on 23 September 2010 by admin

प्रदेश के सुल्तानपुर जेल में बिन्दयों के प्रति जेल प्रशासन का रवैया हिटलर शाही का सा नज़र आ रहा है। आये दिन मानवाधिकार के कानून का हनन करते हुए जेल प्रशासन बिन्दयों के साथ मारपीट व उन्हें मानसिक रुप से प्रताड़ित कर रहा है। जबकि इस सन्दर्भ में शासन ने कड़ा रुख अपना रखा है। जेल प्रशासन द्वारा बरते गये बरताव के खिलाफ कुछेक बिन्दयों ने ए.डी.जे.की अदालत पर प्रार्थना पत्र देकर जेल प्रशासन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर कार्यवाही की मांग की है।

स्थानीय जेल में प्रशासन द्वारा बिन्दयों को आये दिन मारने पीटने की यह आज कोई नई कहानी नहीं हैं। इसकी इबारत तो वशZ 2006 के जुलाई माह में ही लिखी जा चुकी थी। जब जेल प्रशासन की इन्हीं सब कारस्तानियों के खिलाफ लामबन्द होकर बिन्दयों ने विद्रोह का बिगुल बजा दिया था। अन्जाम यह हुआ था कि जेल कर्मचारियों के साथ बिन्दयों को लेकर तीन-चार लोगों की मौत हो गई थी और कई एक घायल हुए थे। इसी कड़ी में बुधवार को ए.डी.जे. प्रथम की अदालत पर आये बन्दी विजय यादव, हसीब, राकेश यादव ने ए.डी.जे. प्रथम को जेल में दी जा रही यातनाओं के सम्बन्ध में प्रार्थना पत्र सौंपा। आरोप है कि 18 सितम्बर को सुबह के समय जेलर द्वारा जेल चौकी पर बुलवाया गया। वहां पहले से मौजूद डिप्टी जेलर मृत्युन्जय पाण्डेय, बन्दीरक्षक रज्जनलाल, जयबिन्द और लम्बरदार दिनेश तिवारी उर्फ टेनशन ने कहा कि 25 मार्च से 31 मार्च तक तुम सभी आमरण अनशन पर बैठे थे। यह आरोप लगाकर हम सभी के पैर बांधते हुए लाठियां बरसा दी। यही नहीं बल्कि पीएसी को बुलवा कर एक बार फिर से बैरक नम्बर 12बी से सभी बिन्दयों को निकाल कर जमकर मारा-पीटा। उस समय बन्दी रामपूजन मौर्य, अच्छेलाल यादव, सुनील गौतम, संजय वर्मा, विनोद सिंह, मुन्ना मौर्य आदि ने हाथ जोड़कर मिन्नते मानी कि निर्दोशों को सजा न दी जाये तो जेल प्रशासन ने चुप रहने की धमकी दी। यही नही आजतक जेल प्रशासन ने चोटिल बिन्दयों की न तो डाक्टरी करवाई और न ही दवा-इलाज ही कराया। बताते चलें कि पूर्व में 9जनवरी को भी जेल प्रशासन ने 26 बिन्दयों के साथ कुछ ऐसा ही ताण्डव रचा था। जिसमें त्रिभुवन, राजू यादव, मुन्ना सिंह, फैयाज, जानी, विजय सिंह जख्मी हुए थे। इस प्रकरण की जांच करने डीआईजी जेल मौके पर पहुंचे थे और बिन्दयों का बयान दर्ज कर कार्यवाही की बात कह कर गये थे। जो कि ठण्डे बस्ते में डाल दी गई है। फिलहाल बिन्दयों ने अब न्यायालय में अर्जी लगाकर अपने प्रति नरमी बरते जाने की गुहार लगाई है। देखना यह है कि क्या न्यायालय अपने बिन्दयों की सुरक्षा की बागडोर सम्भालने वालों के खिलाफ कार्यवाही करता है, या फिर बिन्दयों को यहां भी मुंह की खाना पड़ता है। यह अब समय ही बतायेगा।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने आज बाढ़ से प्रभावित सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली और आगरा जनपदों का हवाई सर्वेक्षण किया

Posted on 23 September 2010 by admin

उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने आज बाढ़ से प्रभावित सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली और आगरा जनपदों का हवाई सर्वेक्षण किया और बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में कराये जा रहे राहत कार्यों की मौके पर समीक्षा की। सुबह से प्रारम्भ हुए इन बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का यह सर्वेक्षण देर शाम तक चलता रहा। इस दौरान माननीया मुख्यमन्त्री जी ने ज्योतिबा फुले नगर, रामपुर, बाराबंकी, गोण्डा, श्रावस्ती जनपदों के अलावा पूर्वान्चल के अन्य बाढ़ प्रभावित जिलों का भी हवाई सर्वेक्षण किया।

32 तत्पश्चात् माननीया मुख्यमन्त्री जी ने बहराइच में अधिकारियों के साथ बाढ़ राहत कार्यों की समीक्षा करते हुए में बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में समाहित गांवों के लोगों के पुर्नवासन के लिए एक करोड़ 80 लाख रूपये की मंजूरी प्रदान की। उन्होंने बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में हुई क्षति एवं बन्धों की स्थिति के सम्बन्ध में भी जानकारी ली। उन्होंने पिश्चमी उत्तर प्रदेश को आपदाग्रस्त क्षेत्र घोशित करते हुए प्रधानमन्त्री जी को आज ही पत्र लिखकर प्रदेश के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की जनता की मदद के लिए 2,000 करोड़ रूपये का पैकेज स्वीकृत करने का अनुरोध किया है। इसमें से एक हजार करोड़़ रू0 पिश्चमी उत्तर प्रदेश के बाढ़ प्रभावित जनपदों के लिए तथा शेश एक हजार करोड़ रू0 प्रदेश के अन्य बाढ़ प्रभावित जनपदों के राहत कार्यों के लिए है।  उन्होंने प्रभावित जनपदों के अधिकारियों को राहत एवं बचाव कार्यों को युद्धस्तर पर संचालित करने के निर्देश देते हुए कहा कि प्रदेश सरकार बाढ़ पीड़ितों के लिए ऐसे उपाय करेगी, जिससे उन्हें राहत मिल सके।

माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा कि उत्तराखण्ड में स्थापित बांधों से समय-समय पर पानी छोड़े जाने के कारण पिश्चमी उत्तर प्रदेश का अधिकांश क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित हुआ है। उन्होंने कहा कि इसमें जनपद बिजनौर अधिक प्रभावित हुआ है। उन्होंने आश्वस्त किया कि राहत कार्य के लिए धनरािश की कोई कमी नहीं होने दी जायेगी। उन्होंने बाढ़ पीड़ितों को आश्वस्त किया कि उन्हें किसी भी कीमत पर कोई भी दिक्कत नहीं होने दी जायेगी।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने अधिकारियों को बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के लोगों को समय से राहत पहुंचाने और आवश्यक सामग्री उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि पानी उतरने के बाद प्रभावित क्षेत्रों में बीमारी फैलने का खतरा उत्पन्न होगा। इस समस्या से निपटने के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों को पूरी तरह सतर्क रहना होगा। उन्होंने इसके लिए समस्त आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिशित करने के निर्देश देते हुए कहा कि इस मौसम में फैलने वाले मियादी बुखार, वायरल तथा जल जनित अन्य संक्रामक बीमारियों की रोकथाम हेतु विशेश अभियान चलाया जाए । उन्होंने जल भराव वाले क्षेत्रों में संक्रामक रोगों की रोकथाम के लिए ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव कराये जाने तथा लोगों को क्लोरीन टेबलेट उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में रोगियों के इलाज के लिए समुचित व्यवस्था सुनििश्चत की जाए।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली तथा आगरा जनपदों के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण करने के बाद इन जनपदों के प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक कर बाढ़ प्रभावित लोगों के लिए कराये जा रहे राहत कार्यों की गहन समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को बाढ़ पीड़ितों को हर सम्भव मदद सुनिशित कराने के निर्देश देते हुए कहा कि राहत एवं बचाव कार्य पूरी लगन व ईमानदारी से संचालित करें। उन्होंने कहा कि बाढ़ राहत कार्या में किसी भी प्रकार की लापरवाही को गम्भीरता से लिया जायेगा। उन्होंने पशुओं में फैलने वाली बीमारियों की रोकथाम के लिए सभी आवश्यक प्रबन्ध सुनिशित करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार बाढ़ राहत एवं बचाव कार्य पर कड़ी नज़र रखे हुये हैं।

माननीया मुख्यमन्त्री जी ने यह भी निर्देश दिए हैं कि बाढ़ का प्रभाव कम होते ही अवस्थापना सुविधाओं के रेस्टोरेशन/पुननिZर्माण, मरम्मत आदि का कार्य युद्ध स्तर पर किया जाए। इसके साथ ही बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में पेयजल तथा विद्युत आपूर्ति की व्यवस्था को भी अविलम्ब ठीक किया जाए। उन्होंने प्रभावित जनपदों के अधिकारियों को निर्देशित किया कि बाढ़ के दौरान हुई वास्तविक क्षति का तत्काल आंकलन कर गृह अनुदान एवं फसलों/पशुओं की क्षति की दशा में प्रभावित लोगों को अनुमन्य धनराशि तत्काल उपलब्ध करायी जाए।
पिश्चमी उत्तर प्रदेश के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों के हवाई सर्वेक्षण के साथ ही माननीया मुख्यमन्त्री जी ने हरियाणा के यमुनानगर, सोनीपत और करनाल तथा उत्तराखण्ड के हरिद्वार, देहरादून एवं ऊधमसिंह नगर के बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों का भी हवाई सर्वेक्षण किया। इन बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में खासतौर पर लक्सर और उसके आस-पास के खादर में किसानों की फसलों को हुए व्यापक क्षति पर चिन्ता व्यक्त की।

माननीया मुख्यमन्त्री जी के निर्देश पर सिंचाई मन्त्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने आज ही मथुरा, फरूZखाबाद तथा कांशीराम नगर जिलों में बाढ़ प्रभावित इलाकों का भ्रमण कर बचाव एवं बाढ़ राहत कार्यों की समीक्षा की और इन जिलों के अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिये।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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अयोध्या प्रकरण के निर्णय के परिप्रेक्ष्य में कानून-व्यवस्था बनाये रखने के सख्त निर्देश

Posted on 23 September 2010 by admin

उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने आज बाढ़ प्रभावित सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली, आगरा और बहराइच जनपदों में राहत कार्यों के साथ-साथ कानून-व्यवस्था की भी समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को अयोध्या प्रकरण के मूल वाद के सम्भावित निर्णय के परिप्रेक्ष्य में हर हाल में कानून-व्यवस्था बनाये रखने के सख्त निर्देश दिये। उन्होंने अधिकारियों को कानून-व्यवस्था की स्थिति पर कड़ी निगाह रखने के निर्देश देते हुए कहा कि कानून-व्यवस्था से खिलवाड़ करने वाले लोगों के खिलाफ कठोर कार्यवाही करें।

माननीया मुख्यमन्त्री जी ने निर्देश दिये कि सभी जिलाधिकारी यह सुनििश्चत करें कि इस संवेदनशील प्रकरण की आड़ में असामाजिक तत्व कानून-व्यवस्था एवं साम्प्रदायिक सौहार्द को खराब न कर सकें। उन्होंने प्रशासनिक एवं अभिसूचना तन्त्र को पूरी सतर्कता बरतने के निर्देश देते हुए कहा कि महत्वपूर्ण धार्मिक, सामाजिक व ऐतिहासिक स्थलों पर कड़ी नज़र रखी जाये। यह भी सुनििश्चत किया जाये कि शरारती तत्व अफवाह फैला कर लोगों को गुमराह न करने पायें।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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अप्रत्याशित बाढ़ के कारण पश्चिमी उत्तर प्रदेश को “आपदाग्रस्त क्षेत्र´´ घोषित किया गया

Posted on 23 September 2010 by admin

पूर्वांचल के जनपदों के लिए भी एक हजार करोड़ रूपये की धनराशि की आवश्यकता

उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने प्रधानमन्त्री डॉ0 मनमोहन सिंह को पत्र लिखकर पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में अप्रत्याशित बाढ़ से उत्पन्न स्थिति तथा बड़े पैमाने पर हुई क्षति की ओर उनका ध्यान आकृष्ट

23करते हुए 02 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त सहायता तत्काल उपलब्ध कराने की मांग की है।

प्रधानमन्त्री को आज भेजे गये पत्र में माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा है कि अतिवृष्टि के फलस्वरूप उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपदों में गत माह से बाढ़ की गम्भीर स्थिति उत्पन्न हुई है। पिछले कुछ दिनों में कालागढ़ डैम, गिरजापुरी, शारदा, गोपिया, हथिनी कुण्ड, बिजनौर, दूनी तथा बनबसा बैराजों से अत्यधिक मात्रा में पानी छोड़े जाने के कारण पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपद प्रभावित हो गये हैं और कई स्थानों पर सड़कों पर पानी भर जाने से यातायात अवरूद्ध हो गया है। इसके अलावा बड़ी संख्या में गांव पानी से घिर जाने के कारण वहां के लोगों को घोर असुविधा उठानी पड़ रही है।

माननीया मुख्यमन्त्री जी ने पत्र में यह भी अवगत कराया है कि सार्वजनिक अवस्थापना, जैसे सड़क, पुल, बंधों आदि की भी व्यापक क्षति से निपटने हेतु राज्य सरकार द्वारा युद्ध स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आज वह स्वयं पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों का स्थलीय एवं हवाई निरीक्षण कर बाढ़ की स्थिति का जायजा लिया है और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में अप्रत्याशित एवं अभूतपूर्व बाढ़ की स्थिति को देखते हुए पश्चिमी उत्तर प्रदेश को उनकी सरकार ने “आपदाग्रस्त क्षेत्र´´ घोषित कर दिया है।

माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा है कि जून से अब तक हजारों गांव बाढ़ से गम्भीर रूप से प्रभावित हुए हैं तथा 83 लोगों की बाढ़ से तथा 173 लोगों की मकान आदि गिरने एवं अन्य कारणों से मृत्यु हो गई तथा 07 लाख हेक्टेअर क्षेत्र में तीन हजार पांच सौ करोड़ रूपये की फसल नष्ट होने का अनुमान है। इसके अलावा बाढ़ के कारण अवस्थापना सुविधाएं जैसे सड़कों, तटबन्धों के अतिरिक्त बड़ी संख्या में आवास क्षतिग्रस्त हुए हैं, जिनका तत्काल पुननिZर्माण एवं मरम्मत कराया जाना आवश्यक है।

माननीया मुख्यमन्त्री जी ने अपने पत्र कहा कि बाढ़ से हुई क्षति के सम्बन्ध में विस्तार से सूचना जिलाधिकारियों से प्राप्त की जा रही है, जिसके आधार पर समुचित सहायता धनराशि उपलब्ध कराने के लिए भारत सरकार को शीघ्र ही एक मेमोरेण्डम प्रेषित किया जायेगा। परन्तु कई जनपदों में आयी भीषण बाढ़ के चलते अब तक प्रारिम्भक अनुमान के आधार पर विभिन्न मदों में हुई क्षति के कारण राहत हेतु कुल 02 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त धनराशि की तत्काल आवश्यकता है। इसमें से पश्चिमी उत्तर प्रदेश, जिसे आपदाग्रस्त क्षेत्र घोषित किया गया है, हेतु 01 हजार करोड़ रूपये की आवश्यकता है और प्रदेश के शेष बाढ़ प्रभावित जनपदों, खासतौर से पूर्वांचल के जनपदों हेतु भी 01 हजार करोड़ रूपये की धनराशि की आवश्यकता होगी।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में पानी उतरने के बाद संक्रामक रोगों की रोकथाम के लिए दवाईयों एवं पर्याप्त चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करायी जाये-नसीमुद्दीन सिद्दीकी

Posted on 23 September 2010 by admin

उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी के निर्देश पर प्रदेश के सिंचाई मन्त्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने आज फरूखाबाद, कन्नौज, कांशीराम नगर, अलीगढ़ तथा मथुरा जिले के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण तथा मथुरा, आगरा एवं फरूखाबाद में चलाये जा रहे राहत कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने सम्बन्धित मण्डलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि वे बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों की सुरक्षा एवं राहत कार्यों की निरन्तर समीक्षा करें तथा इन कार्यों में लापरवाही बरतने वाले कर्मियों के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही करें।

श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को बैराजों, डैमों तथा तटबन्धों की पूर्ण सुरक्षा सुनििश्चत करने हेतु लगातार निगरानी रखने तथा बैराजों, डैमों तथा तटबन्धों को हुई क्षति का सर्वेक्षण कराकर आंगणन तैयार कराने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने कहा कि कटाव को रोकने के लिए जरूरी कटावरोधक कार्यवाही सुनििश्चत की जाये। सिंचाई मन्त्री ने बाढ़ से क्षतिग्रस्त हुई सड़कों तथा सम्पर्क मार्गों की हुई टूट-फूट का भी सर्वेक्षण कराने के निर्देश दिये हैं जिससे की उनकी मरम्मत की व्यवस्था करायी जा सकें और लोगों को आवागमन में कोई परेशानी न हों।

सिंचाई मन्त्री ने कहा कि बाढ़ सुरक्षा कार्यों को युद्धस्तर पर चलाने, बाढ़ से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने तथा राहत शिविर
तथा बाढ़ में फंसे लोगों को त्रिपाल, खाद्यान्न, शुद्ध पेयजल तथा पशुओं के लिए चारे की व्यवस्था सुनििश्चत की जाये। उन्होंने कहा कि यथा आवश्यकतानुसार बाढ़ में फंसे लोगों को बचाने के लिए मोटर बोटों तथा एयरलििफ्टंग की भी व्यवस्था की जाएं।

श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि बाढ़ का पानी उतरने पर लोगों को संक्रामक रोगों से बचाने के लिए आवश्यक दवाईयों एवं पर्याप्त चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करायी जाये। उन्होंने पशुओं को बीमारियों से बचाने के लिए उनका टीकाकरण कराये जाने के जरूरी निर्देश दिये।

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पुलिस क्षेत्राधिकारी अयोध्या राकेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि हर अयोध्या वासी को सुरक्षा प्रदान करना हमारा कर्तव्य है।

Posted on 23 September 2010 by admin

पुलिस क्षेत्राधिकारी अयोध्या राकेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि हर अयोध्या वासी को सुरक्षा प्रदान करना हमारा कर्तव्य है। इस –ष्टि से अयोध्या की सुरक्षा में करीब 20 हजार सुरक्षाकर्मी तैनात किये गये हैं।

विकास खण्ड जखौरा अन्तर्गत ग्राम पंचायत बांसी के रोजगार सेवक को पुलिस ने गिर तार कर जेल भेज दिया है। उसने जिलाधिकारी के फर्जी हस्ताक्षर कर खण्ड विकास अधिकारी से मानदेय निर्गत कराने का प्रयास किया था। खण्ड विकास अधिकारी की सूचना पर पुलिस ने धोखाधड़ी का मामला पंजी—त कर विवेचना शुरू कर दी है।

ग्राम बांसी निवासी दीपक त्रिपाठी पुत्र जगदीश प्रसाद ग्राम पंचायत में मनरेगा की देखरेख के लिए रोजगार सेवक के पद पर तैनात किया गया था। पिछले कई माह से उसका मानदेय नहीं मिला था, जिससे परेशान होकर उसने नयी तरकीब सोची जिसकी साधारण व्यक्ति कल्पना भी नहीं कर सकता। वैसे भी इस समय जिलाधिकारी की कार्यप्रणाली से जिले के हर अधिकारी में खौफ है और लीक से हटकर काम करने के लिए वह कई बार सोचते जरूर है। रोजगार सेवक ने कुछ दिन पहले जिलाधिकारी के नाम से एक प्रार्थना पत्र तैयार किया, जिसमें उसने मानदेय दिलाने की गुहार लगाई थी। इस प्रार्थना पत्र को उसने जिलाधिकारी को देने की बजाय उनके ही नाम से खण्ड विकास अधिकारी के लिए निर्देश लिखकर उनके हस्ताक्षर कर दिए, लेकिन वह एक जगह चूक कर गया। उसने खण्ड विकास अधिकारी के नाम के

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फैजाबाद,अयोध्या विवाद पर न्यायालय के फैसले की तिथि 24 सितम्बर को

Posted on 23 September 2010 by admin

फैजाबाद,अयोध्या विवाद पर न्यायालय के फैसले की तिथि 24 सितम्बर को अयोध्या में बाहरी लोग नहीं रह सकेंगे। इस दिन नगर में चार पहिया वाहनों का आवागमन प्रतिबंधित रहेगा। मीडिया से जुड़े वाहन भी नगर के तीनों प्रवेश द्वारों नयाघाट, बंधा तिराहा व टेढ़ीबाजार से आगे नहीं बढ़ सकेंगे। शान्ति व्यवस्था बनाये रखने के लिए दोनों समुदायों के आधा दर्जन नेताओं पर खास निगाह रखी जा रही है। इन नेताओं के पल-पल की गतिविधियों को लेकर खुफिया संगठन सक्रिय हैं।

इस दिन अधिग्रहीत परिसर जाने वाले प्रत्येक मार्ग पर हजारों सशस्त्र सुरक्षाकर्मियों की तैनाती होगी। परिसर के अन्दर चारों ओर बुलेटप्रूफ वाहनों पर सवार कमाण्डो दस्ते भ्रमण करते रहेंगे। परिसर की बाहरी दीवार से सटे अन्दर व बाहर चारों ओर अत्याधुनिक शस्त्रों से लैस सुरक्षाकर्मी किसी भी स्थिति से निपटने के लिए तैयार होंगे। कमाण्डो दस्ता पलक झपकते ही प्रतिकूल परिस्थितियों ने निपटने के लिए तैयार होगा। अयोध्या के डेढ़ दर्जन प्रवेश द्वारों से प्रवेश करने वाला कोई भी व्यक्ति बगैर चेकिंग के नगर में प्रवेश नहीं कर सकेगा। शक होने पर उसको नगर में प्रवेश का ठोस कारण भी बताना पड़ेगा। समूह में अनावश्यक घूमने वाले, नारा लगाने वाले अथवा उत्तेजक भाषण देने वालों को पुलिस के वाहनों में लादकर सीधे हवालात में डाल दिया जायेगा। विहिप के शीर्ष नेताओं की अयोध्या में गैर मौजूदगी को लेकर प्रशासन राहत महसूस कर रहा है। योजना के अमली जामा पहनाने के लिए पुलिस उप महानिरीक्षक राजेश कुमार राय, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक आरकेएस राठौर, यलो जाने प्रभारी पुलिस अधिकारी गुलाब सिंह, पुलिस अधीक्षक नगर अनिल कुमार राय व पुलिस क्षेत्राधिकारी ने कई चक्र मीटिंग के बाद रणनीति बनायी है।

पुलिस क्षेत्राधिकारी अयोध्या राकेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि हर अयोध्या वासी को सुरक्षा प्रदान करना हमारा कर्तव्य है। इस –ष्टि से अयोध्या की सुरक्षा में करीब 20 हजार सुरक्षाकर्मी तैनात किये गये हैं।

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जिले की शान्ति एवं सुरक्षा व्यवस्था में कोई चूक न रह जाय,

Posted on 23 September 2010 by admin

जिले की शान्ति एवं सुरक्षा व्यवस्था में कोई चूक न रह जाय, इसके लिए अनुभवी लोगों की सेवाएं भी ली जा रही हैं। इसी कड़ी में पूर्व में फैजाबाद व करीबी जिलों में तैनात रहे पुलिस एवं खुफिया विभाग के अधिकारियों की तैनाती खासतौर पर करायी गई है। जिला प्रशासन के आग्रह पर शासन ने काफी भरोसे के साथ यह कदम उठाया है। अब तक आधा दर्जन से अधिक राजपत्रित अधिकारी यहां अपनी आमद दर्ज करा चुके हैं जबकि अन्य कर्मचारियों की संख्या दर्जनों में है। इसके अलावा अयोध्या-फैजाबाद शहरों में तैनात रहे आधा दर्जन निरीक्षकों व दो दर्जन से अधिक उपनिरीक्षकों को विभिन्न जिलों व शाखाओं से यहां तैनात किया गया है। सुरक्षा व्यवस्था से जुड़े एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि इन अधिकारियों, कर्मचारियों की तैनाती उन्हीं क्षेत्रों में की जा रही है जिसके बारे में उन्हें बखूबी जानकारी हैं।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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आकांक्षा समिति, लखनऊ की अध्यक्ष श्रीमती ऊशा गुप्ता दिनांक 22 सितम्बर 2010 को इण्टरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजूकेशन लखनऊ में आयोजित स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का निरीक्षण करती हुयी।

Posted on 23 September 2010 by admin

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आकांक्षा समिति द्वारा आई0आई0एस0ई0 में स्वैच्छिक रक्तदान शिविर का सफल आयोजन

Posted on 23 September 2010 by admin

शिविर में एकत्रित रक्त का उपयोग गरीब परिवार की महिलाओं एवं बच्चों के इलाज में किया जायेगा

प्रदेश आकांक्षा समिति की अध्यक्ष श्रीमती ऊशा गुप्ता ने आज प्रदेश आकांक्षा समिति के तत्वाधान में इण्टरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजूकेशन लखनऊ में आयोजित स्वैच्छिक रक्तदान िशविर का निरीक्षण करते हुए कहा कि इस िशविर में एकत्रित रक्त का उपयोग मेडिकल कालेज में भर्ती गरीब परिवार की जरुरतमन्द महिलाओं एवं बच्चों के इलाज में किया जायेगा। उन्होंने कहा कि आकांक्षा समिति पिछले लगभग 20 वशाZें से विभिन्न कल्याणकारी कार्यक्रमों के आयोजन में लगी हुई है। इसी क्रम में आकांक्षा समिति द्वारा रक्तदान िशविर का आयोजन किया गया है।

श्रीमती गुप्ता ने कहा कि रक्तदान िशविर में इण्टरनेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ एजूकेशन के छात्रों, फैकल्टी मेम्बरों व आकांक्षा समिति के सदस्यों द्वारा स्वेच्छा से रक्तदान करना बहुत ही प्रेरणादायक व उत्साहवर्धक है। उन्होंने बताया कि इस रक्तदान िशविर का आयोजन छत्रपति शाहूजी महाराज चिकित्सा विश्वविद्यालय की ब्लड बैंक टीम व आई0आई0एस0ई0 के छात्रों के सहयोग से ही सम्भव हो सका है।

िशविर में आकांक्षा समिति की उपाध्यक्ष श्रीमती ऊशा शर्मा, डॉ0 प्रतिमा भाटिया एवं सदस्य डॉ0 रत्ना भाटिया, श्रीमती सरिता कपूर, श्रीमती कमल सक्सेना, श्रीमती इिन्दरा गुप्ता व मेडिकल कालेज की डॉ0 तूलिका चन्द्रा व आई0आई0एस0ई0 के ग्रुप चेयरमैन श्री अपूर्व वर्मा का सक्रिय सहयोग रहा।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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