पूर्वांचल के जनपदों के लिए भी एक हजार करोड़ रूपये की धनराशि की आवश्यकता
उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने प्रधानमन्त्री डॉ0 मनमोहन सिंह को पत्र लिखकर पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में अप्रत्याशित बाढ़ से उत्पन्न स्थिति तथा बड़े पैमाने पर हुई क्षति की ओर उनका ध्यान आकृष्ट
करते हुए 02 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त सहायता तत्काल उपलब्ध कराने की मांग की है।
प्रधानमन्त्री को आज भेजे गये पत्र में माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा है कि अतिवृष्टि के फलस्वरूप उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपदों में गत माह से बाढ़ की गम्भीर स्थिति उत्पन्न हुई है। पिछले कुछ दिनों में कालागढ़ डैम, गिरजापुरी, शारदा, गोपिया, हथिनी कुण्ड, बिजनौर, दूनी तथा बनबसा बैराजों से अत्यधिक मात्रा में पानी छोड़े जाने के कारण पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपद प्रभावित हो गये हैं और कई स्थानों पर सड़कों पर पानी भर जाने से यातायात अवरूद्ध हो गया है। इसके अलावा बड़ी संख्या में गांव पानी से घिर जाने के कारण वहां के लोगों को घोर असुविधा उठानी पड़ रही है।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने पत्र में यह भी अवगत कराया है कि सार्वजनिक अवस्थापना, जैसे सड़क, पुल, बंधों आदि की भी व्यापक क्षति से निपटने हेतु राज्य सरकार द्वारा युद्ध स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आज वह स्वयं पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों का स्थलीय एवं हवाई निरीक्षण कर बाढ़ की स्थिति का जायजा लिया है और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में अप्रत्याशित एवं अभूतपूर्व बाढ़ की स्थिति को देखते हुए पश्चिमी उत्तर प्रदेश को उनकी सरकार ने “आपदाग्रस्त क्षेत्र´´ घोषित कर दिया है।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा है कि जून से अब तक हजारों गांव बाढ़ से गम्भीर रूप से प्रभावित हुए हैं तथा 83 लोगों की बाढ़ से तथा 173 लोगों की मकान आदि गिरने एवं अन्य कारणों से मृत्यु हो गई तथा 07 लाख हेक्टेअर क्षेत्र में तीन हजार पांच सौ करोड़ रूपये की फसल नष्ट होने का अनुमान है। इसके अलावा बाढ़ के कारण अवस्थापना सुविधाएं जैसे सड़कों, तटबन्धों के अतिरिक्त बड़ी संख्या में आवास क्षतिग्रस्त हुए हैं, जिनका तत्काल पुननिZर्माण एवं मरम्मत कराया जाना आवश्यक है।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने अपने पत्र कहा कि बाढ़ से हुई क्षति के सम्बन्ध में विस्तार से सूचना जिलाधिकारियों से प्राप्त की जा रही है, जिसके आधार पर समुचित सहायता धनराशि उपलब्ध कराने के लिए भारत सरकार को शीघ्र ही एक मेमोरेण्डम प्रेषित किया जायेगा। परन्तु कई जनपदों में आयी भीषण बाढ़ के चलते अब तक प्रारिम्भक अनुमान के आधार पर विभिन्न मदों में हुई क्षति के कारण राहत हेतु कुल 02 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त धनराशि की तत्काल आवश्यकता है। इसमें से पश्चिमी उत्तर प्रदेश, जिसे आपदाग्रस्त क्षेत्र घोषित किया गया है, हेतु 01 हजार करोड़ रूपये की आवश्यकता है और प्रदेश के शेष बाढ़ प्रभावित जनपदों, खासतौर से पूर्वांचल के जनपदों हेतु भी 01 हजार करोड़ रूपये की धनराशि की आवश्यकता होगी।