Archive | September 30th, 2010

मा0 उच्च न्यायालय द्वारा आज अयोध्या मुद्दे पर मालिकाना हक को लेकर दिये गये निर्णय का उ0प्र0 कंाग्रेस कमेटी सम्मान करती है।

Posted on 30 September 2010 by admin

मा0 उच्च न्यायालय द्वारा आज अयोध्या मुद्दे पर मालिकाना हक को लेकर दिये गये निर्णय का उ0प्र0 कंाग्रेस कमेटी सम्मान करती है।
उत्तर प्रदेश कंाग्रेस कमेटी की अध्यक्ष डॉ0 रीता बहुगुणा जोशी ने आज यहां कहा कि यदि कोई पक्ष इस निर्णय से सन्तुष्ट नहीं है तो मा0 उच्चतम न्यायालय में जाने का विकल्प खुला हुआ है। उन्होने कहा कि उ0प्र0 की गंगा-जमुनी तहजीब, आपसी भाईचारा और मेल-मिलाप के लिए सभी प्रदेशवासियों के प्रतिबद्ध रहने और मा0 उच्च न्यायालय के निर्णय के आने के बाद शान्ति, सौहार्द बनाये रखने के लिए प्रदेश की जनता बधाई की पात्र है।

प्रदेश कंाग्रेस अध्यक्ष ने कहा कि मा0 उच्च न्यायालय के निर्णय आने के पहले ही सभी पक्ष निर्णय को स्वीकार करने का आश्वासन दे चुके थे। इसलिए किसी भी तरह का राजनीतिक फायदा उठाने का प्रयास नहीं किया जाना चाहिए।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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देश में तेजी से बढ़ रहे हृदय रोग को अर्जुन की मदद से रोका जा सकता है।

Posted on 30 September 2010 by admin

देश में तेजी से बढ़ रहे हृदय रोग को अर्जुन की मदद से रोका जा सकता है। भारत में बहुतायत में मिलने वाले अर्जुन के पेड़ में विद्यमान तत्व हृदय को रोग से बचाने के लिए कारगर हैं। आयुर्वेद में इस पेड़ की छाल के साथ अन्य औषधियां को मिलाकर तैयार किए गए एक योग पर शोध के दौरान उत्साहजनक परिणाम सामने आए हैं। राजकीय आयुर्वेद महाविद्यालय हण्डिया में चल रहे इस शोध से जुडे़ आयुर्वेदाचार्योकी मानें तो औषधियों का यह योग हृदय के लिए हानिकारक वसा को नियन्त्रित करने में सक्षम है। शोध से जुडे़ आयुर्वेदाचार्य ड‚. जीएस तोमर इस योग के बारे में बताते हैं, हृदय रोग से बचाव के लिए अर्जुन की छाल को आयुर्वेद में काफी उपयोगी बताया गया है। इस छाल के चूर्ण के साथ कुछ औषधियां पुष्कर मूल, शंखपुष्पी, बिडंग,ब्राह्मी, वचा, गुगलू, ज्योित्षमती, पुनर्नवा, सर्पगंधा मिला देने के बाद तैयार औषधीय योग हृदय रोग के लिए जिम्मेदार हानिकारक वसा को कम करने में कारगर है। हृदय रोगियों पर इसके इस्तेमाल के दौरान 75 प्रतिशत रोगियों में सफल परिणाम देखने को मिले हैं। रोगियों पर अध्ययन के दौरान देखने को मिला कि इस औषधीय योग से उनके कोलेस्ट्राल, एलडीएल और टीजी काफी कम हुआ व हृदय के लिए लाभकारी वसा एचडीएल बढ़ा पाया गया। शोध के दौरान यह भी पता चला कि यह औषधि एचडीएल और एलडीएल (हाई डेंसिटी लाइपोप्रोटीन व लो डेंसिटी लाइपोप्रोटीन फैट) के अनुपात को सही रखने का काम करती है। ड‚. तोमर के मुताबिक अधिकांश हृदय रोगियों में कोलेस्ट्राल व अन्य हानिकारक वसा की बढ़ी हुई मात्रा रक्तचाप की वृद्धि करके हृदय रोग उत्पन्न करने में उत्तरदायी होती है। यह औषधि उच्च रक्तचाप व मोटापे की अवस्था में और लिवर में जमा वसा को दूर करने का भी कार्य भी करती है। हृदय रोग होने की अवस्था में भी यह औषधि का प्रयोग अन्य दवाओं के साथ करने में महत्वपूर्ण लाभ होता है।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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मोहल्ला सरदारपुरा में जिला सरस साहित्य संगम की बैठक में संस्था का रजत जयन्ती समारोह माह नवम्बर में मनाये जाने का निर्णय लिया गया।

Posted on 30 September 2010 by admin

मोहल्ला सरदारपुरा में जिला सरस साहित्य संगम की बैठक में संस्था का रजत जयन्ती समारोह माह नवम्बर में मनाये जाने का निर्णय लिया गया। इस मौके पर बुन्देली काव्य कलस के सम्बन्ध में रचनाओं का सम्पादन एवं प्रकाशन आदि विषय पर भी चर्चा हुई। वरिष्ठ साहित्यकारों ने नई पीढ़ी को समाज के लिए अग्रसर करने वाले तथा व्यवस्था को लताड़ने वाले शब्दों का इस्तेमाल कर श्रेष्ठ साहित्य का सृजन करने की अपील की।

कार्यक्रम में वरिष्ठ कवियों ने अपनी रचनाओं के माध्यम से नव साहित्यकारों को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि वह अपने आपको कम न समझें। कवि के मुंह से निकलने वाला एक-एक शब्द सुधार की चिंगारी बन कर निकलता है। युगों-युगों से काव्य प्रतिभाएं समाज का मार्ग निर्देशन करतीं चली आ रहीं हैं और आगे भी इस परम्परा को बनाये रखने की जरूरत है। कार्यक्रम में हिन्दी प्रवक्ता लाल चन्द्र सलज ने श्पूरब नहीं अब पूरब और पश्चिम भी नहीं रहा पश्चिम, दोनों को ही किसी बिन्दू पर करना एकाकार हमेंश् के माध्यम से विचारों की एकता का सन्देश दिया। वहीं वरिष्ठ कवि विजय नारायण रावत ने भी सच्चाई को बया करते हुए कहा कि श्सच कहना अगर गुनाह है मैं गुनाहगार हूं, कवि हूं शायर हूं सच कहने वाला खाकसार हूं ।श् इस दौरान बुन्देली कवि एम.एल.भटनागर ने अनेक रचनाएं प्रस्तुत कर श्रोताओं को रसरक्त किया। उनके द्वारा प्रस्तुत श्गेंवरे कोयल कूक लगावे, मोए मन नेक न भावेश् रचना विशेष रूप से सराही गई। इसके पश्चात वरिष्ठ कवि शिखर चन्द्र मुफलिस द्वारा प्रस्तुत चौके-छक्के कार्यक्रम की गरिमा बढ़ाते रहे। उन्होंने समसामयिक चौके में कहा श्कांग्रेस वट वृक्ष है या पीपल का पेड़, बूढे़ नर नारी जहां लटके कई अधेड़, लटके कई अधेड़ हमारा जिला ललितपुर खैरा और बुन्देला खुलकर बोले बेसुर।श् कार्यक्रम का संचालन कर रहे डा. गुलाब चन्द्र साहू सारग ने अपनी रचना के द्वारा नेता व जनता के सम्बन्ध में बेबाक टिप्पणी करते हुए कहा श्रक्षक भक्षक हो गए कर चोरों से प्रेम, बेबस जनता लुट रही नेता खेलें गेमश्।

इस अवसर पर यह भी जानकारी दी गई कि बुन्देली काव्य कलस प्रकाशित होने वाली —ति में जिले की बुन्देली व खड़ी बोली के कवियों की रचनाओं का चयन किया जाएगा। रचनाएं प्रकाशन के लिए समिति के पास 15 अक्टूबर तक प्राप्त हो जाना चाहिए। इस मौके पर सम्पादक मण्डल का गठन भी किया गया। इसमें कन्हैयालाल शास्त्री, लाल चन्द्र सलज, ड‚. हुकुम चन्द्र पवैया आदि के अलावा अन्य लोगों को सम्मिलित किया गया। प्रारम्भ में सरस्वती वन्दना तथा ईश वन्दना, बाल कवि अर्पित जैन व पूनम जैन द्वारा प्रस्तुत की गई। इस मौके पर शील चन्द्र मोदी, रूप सिंह ठाकुर, सुदेश सोनी, महेश नामदेव, गोकुल चन्द्र सरोज, अशोक क्रान्तिकारी, रमेश पाठक, राम—ष्ण कुशवाहा, वीरेन्द्र विद्रोही, अम्ब्रीस जैन आदि उपस्थित थे।किन्नरों को महिला आरक्षण का लाभ नहीं

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
upnewslive.com

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