Posted on 23 September 2010 by admin
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एच0आई0वी0 एड्स के बारे में जागरूकता तथा एड्स रोगियों से जुड़ी भ्रान्तियों को दूर करने में मीडिया आगे आए-स्वास्थ्य मन्त्री
हजारों लोगों ने रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन में
एच0आई0वी0 एड्स से सम्बन्धित प्रदर्शनी का अवलोकन किया
24 सितम्बर को भी रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन लखनऊ में रहेगी
उत्तर प्रदेश के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मन्त्री श्री अनन्त कुमार मिश्र ने कहा है कि रेड रिबन एक्सपे्रस ट्रेन परियोजना के उद्देश्यों को सफल बनाने के लिए समाज के हर वर्ग के लोगों का सहयोग लिया जायेगा और एच0आई0वी0 एड्स के बारे में जागरूकता तथा इससे जुड़ी भ्रान्तियों को दूर करने के लिए हर सम्भव उपाय किए जायेंगे। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने उत्तर प्रदेश को ´स्वस्थ्य प्रदेश´ बनाने की जो कामना की है, उसको प्राप्त करने के लिए पूरी गम्भीरता से प्रयास किये जायेंगे।
स्वास्थ्य मन्त्री आज लखनऊ जक्शन, चारबाग में एच0आई0वी0 एड्स और स्वास्थ्य से जुड़े हर सवाल का जवाब देने के लिए रेलवे तथा नाको के सहयोग से चलायी जा रही रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन में लगायी गई प्रदर्शनी का शुभारम्भ करने के पश्चात एक आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि एच0आई0वी0 एड्स एक लाइलाज बीमारी है और इससे बचाव के लिए इसके बारे में जानना बहुत जरूरी है। उन्होंने एड्स से पीड़ित रोगियों के प्रति अच्छा व्यवहार किए जाने का आहवान किया। उन्होंने कहा कि मीडिया को अपने सामाजिक दायित्व को निभाते हुए एड्स रोगियों की हीन भावना को दूर करने के लिए आगे आना चाहिए। मीडिया को एच0आई0वी0 होने के कारणों तथा एड्स रोगियों को तिरस्कार से बचाने के लिए व्यापक प्रचार-प्रसार करना चाहिए।
श्री मिश्र ने उत्तर प्रदेश में एच0आई0वी0 एड्स के बारे में जागरूकता उत्पन्न करने के लिए उत्तर प्रदेश राज्य एड्स नियन्त्रण सोसाइटी को बधाई दी। उन्होंने कहा कि एच0आई0वी0 एड्स के प्रसार को रोकने के लिए पूरे देश में जो प्रयास किए जा रहे हैं, उसमें उत्तर प्रदेश सबसे आगे है। उन्होंने कहा कि जहां-जहां से रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन गुजरी है, लोगों ने इसका जबरदस्त स्वागत किया है और इसके माध्यम से दी जा रही जानकारियों का लाभ उठाया है। उन्होंने कहा कि वह स्वयं ही सोनभद्र तथा इलाहाबाद में पहुंचकर लोगों को प्रोत्साहित करने में योगदान दिया है। उन्होंने इस अवसर पर एड्स नियन्त्रण सोसाइटी द्वारा तैयार की गई टोल फ्री हेल्पलाइन-1800-180-2500 का भी लोकार्पण किया।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए एड्स नियन्त्रण सोसाइटी के परियोजना निदेशक श्री एस0पी0 गोयल ने एच0आई0वी0 एड्स के बारे में जागरूकता बढ़ाने पर जोर देते हुए कहा कि रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन में विभिन्न विधाओं के माध्यम से बताया गया है कि सामाजिक जीवन में किस प्रकार का आचरण करना चाहिए। उन्होंने कहा कि जांच परामर्श के मामले में उत्तर प्रदेश में अच्छी सफलता मिली है। पहले जहां साल भर में पांच हजार लोगों की जांच एवं परामर्श होती थी, अब यह आकड़ा बढ़कर लगभग आठ लाख तक पहुंच रहा है। उन्होंने रेड रिबन एक्सप्रेस परियोजना को सफल बनाने में सक्रिय भागीदारी के लिए रेलवे, यूनीसेफ, एन0सी0सी0 तथा अन्य कई संगठनों के सहयोग की सराहना की।
जिलाधिकारी लखनऊ श्री अनिल सागर ने अपने सम्बोधन में कहा कि रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन के उद्देश्यों को प्राप्त करने के लिए लखनऊ में पहले से ही जागरूकता उत्पन्न करने के लिए सघन प्रचार-प्रसार किया जा रहा है। ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को एच0आई0वी0 एड्स के बारे में जागरूक करने के लिए सूचना, शिक्षा एवं संचार वाहनों को गांवों में रवाना किया गया। लोक माध्यमों के द्वारा भी जागरूकता उत्पन्न करायी गई। उन्होंने कहा कि रेड रिबन एक्सप्रेस के माध्यम से उपलब्ध करायी जा रही जानकारी से लाभािन्वत होने के लिए पर्याप्त व्यवस्था की गई है तथा कल 24 तारीख को रेड रिबन एक्सप्रेस देखने आने वाले लोगों के लिए पर्याप्त सुरक्षा की व्यवस्था की गई है। उन्होंने इस अवसर पर विभिन्न विभागों द्वारा दिए गए सहयोग की सराहना की।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ0 ए0के0 शुक्ला ने अतिथियों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन में लगायी गई प्रदर्शनी के अलावा बेसिक शिक्षा पुनरीक्षित राष्ट्रीय क्षय नियन्त्रण कार्यक्रम, राष्ट्रीय वेक्टर जनित रोग नियन्त्रण, एन0एच0आर0एम0 बाल विकास परियोजना तथा स्वयं सेवी संगठनों द्वारा स्टॉल लगाकर व्यापक प्रचार-प्रसार की व्यवस्था की गई है। उद्घाटन के अवसर पर हजारों की संख्या में एन0सी0सी0, स्काउट गाइड, विभिन्न स्कूलों, कालेजों, विश्वविद्यालयों के छात्रों तथा गैर सरकारी संगठनों के लोगों ने भागीदारी दर्ज करायी।
उल्लेखनीय है कि रेड रिबन एक्सप्रेस ट्रेन 01 दिसम्बर को दिल्ली से चलकर 25000 किलोमीटर की यात्रा करके 22 राज्यों से होती हुई 160 शहरों/स्टेशनों पर पहुंचेगी। यह ट्रेन 24 सितम्बर तक लखनऊ में रहेगी और फिर बाराबंकी के लिए रवाना हो जायेगी। इसमें लगायी गई प्रदर्शनी सुबह 10 बजे से शाम 06 बजे तक जनमानस के लिए खुली रहेगी। इस ट्रेन में प्रचार-प्रसार के लिए 06 कोच लगाये गये हैं तथा जांच परामर्श एवं सामाजिक शिक्षा की भी व्यवस्था है। इस ट्रेन को वर्ष 2007-08 में भी चलाया गया था, जिससे 06 मिलियन लोगों तक एच0आई0वी0 एड्स के बारे में सन्देश पहुंचा गया।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य श्री प्रदीप शुक्ला, सचिव श्री प्रभात सारंगी, चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण के महानिदेशक डॉ0 एस0पी0 राम, डी0आर0एम0 रेलवे, अपर निदेशक एड्स श्रीमती कुमुदलता श्रीवास्तव के अलावा डॉ0 शोभनाथ, डॉ0 सुषमा योगेश, डॉ0 ए0के0 चावला, डॉ0 मीनू सागर, डॉ0 ए0के0 सिंह एवं बड़ी संख्या में चिकित्सक एवं स्वयं सेवी संगठनों के पदाधिकारी मौजूद थे।
Posted on 23 September 2010 by admin
• पंचायत चुनाव व त्यौहार को देखते हुए मीडिया सहयोग की अपील
अयोध्या के विवादित स्थल के मुकदमें में 24 सितम्बर को महत्वपूर्ण फैसला आने से पहले जिलाधिकारी डा0 पिंकी जोवल व पुलिस अधीक्षक डा0 अशोक कुमार राघव ने संयुक्त रूप से प्रेसवार्ता कर जिले में अमन चैन बनाये रखने के लिए मीडिया से सहयोग मांगा। बुधवार को मीडिया के साथ बात करते हुए जिलाधिकारी डा0 पिंकी जोवल ने कहा कि 24 सितम्बर को अयोध्या में राम जन्म भूमि बाबरी मिस्जद विवाद में संभावित फैसले के बाद ऐसी कोई खबर प्रकाशित न करे जिससे साम्प्रदायिक सदभाव किसी भी दशा में बिगड़े। उन्होने आगे कहा कि जिला प्रशासन आम जनता के हितों की सुरक्षा शान्ति एवं अमन चैन के लिए पूर्णरूप से सतर्क है। किसी भी प्रकार की अराजकता फैलाने वालों के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जायेगी। पुलिस अधीक्षक डा0 अशोक कुमार राघव ने मीडिया कर्मियों को बताया कि जिले का एल0आई0यू0 विभाग गड़बड़ी फैलाने वालो पर कड़ी नज़र रखे हुए है जो भी आम जनता में गलत अफवाह फैलायेगा उसके विरूद्ध कठोर कार्यवाई की जायेगी। डी0एम0 और एस0पी0 ने मीडिया के माध्यम से आम जनता से अपील की है कि अफवाहों पर ध्यान न दे गड़बड़ी फैलाने वालों पर नज़र रखे गड़बड़ी की सूचना मिलने पर इसकी सूचना तुरन्त पुलिस प्रशासन को दे और आपस में आपसी सौहार्द बनाये रखे। जिलाधिकारी डा0 पिंकी जोवल व पुलिस अधीक्षक अशोक कुमार राघव ने जिले में अमन चैन कायम करने के लिए सहयोग मांगा और कहा कि मीडिया लोकतन्त्र का चौथा स्तम्भ है प्रशासन से पहले मीडिया जनता तक पहुंचाती है इसलिए मीडिया का सहयोग जरूरी है। इस बैठक में अपर जिलाधिकारी आई0पी0 पाण्डेय, अपर पुलिस अधीक्षक के अलावा इलेक्ट्रानिक व प्रिन्ट मीडिया से जुड़े तमाम पत्रकार मौजूद रहे।
Posted on 23 September 2010 by admin
शहर के कांग्रेस कार्यालय पर सभी पदाधिकारियों की बैठक शहर अध्यक्ष राधेरमण मिश्र बैद्य की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई। बैठक में राष्ट्रीय अध्यक्षता श्रीमती सोनियॉं गॉंधी जी की मंशा एवं राहुल गॉंधी जी की मंशानुसार आगामी 24 तारीख को हाईकोर्ट के फैसले को देखते हुए किसी भी दशा में आपसी सौहार्द न बिगड़ने पाये इसके लिए सभी कांग्रेस कार्यकर्ता अपनी जिम्मेदारी समझे एवं आपसी भाईचारा बनाने में भरपूर सहयोग दें जिससे सुलतानपुर की गंगा जमुनी तहजीब बनी रहें बैठक में कामरान जफर ने कहा कि लोग अपने पास पड़ोस में भाईचारा बनाये रखे बैठक में मुख्य रूप से सिराज अहमद भोला, राजदेव शुक्ल, जयदीप तिवारी, आबिद सुलतान आदि लोग उपस्थित रहे बैठक का संचालन मानिक चन्द्र श्रीवास्तव ने किया।
Posted on 23 September 2010 by admin
जर्जर तार तम तोड़ते ट्रान्सफार्मर और लापरवाह अधिकारियों के चलते शहर के पच्चीसों वार्ड के लोगों को अंधेरे में रहना पड़ रहा है प्रतिदिन नगर में कही न कहीं खम्भे से तार टूटे रहते है। ट्रान्सफार्मर धू-धू कर जलते रहते है अधिकारी अपना फोन बन्द कर ए0सी0 में आराम करते रहते है। हालात बद से बदतर हो गये है नगर वासियों में विद्युत विभाग के खिलाफ भारी रोष व्याप्त है। बिजली जाने के बाद अगर कोई सूचना लेना चाहता है कि क्या कारण है कटौती का तो एस0डी0ओ0 और जे0ई0 का मोबाइल स्विच आफ मिलता है।
Posted on 23 September 2010 by admin
प्रदेश के सुल्तानपुर जेल में बिन्दयों के प्रति जेल प्रशासन का रवैया हिटलर शाही का सा नज़र आ रहा है। आये दिन मानवाधिकार के कानून का हनन करते हुए जेल प्रशासन बिन्दयों के साथ मारपीट व उन्हें मानसिक रुप से प्रताड़ित कर रहा है। जबकि इस सन्दर्भ में शासन ने कड़ा रुख अपना रखा है। जेल प्रशासन द्वारा बरते गये बरताव के खिलाफ कुछेक बिन्दयों ने ए.डी.जे.की अदालत पर प्रार्थना पत्र देकर जेल प्रशासन के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर कार्यवाही की मांग की है।
स्थानीय जेल में प्रशासन द्वारा बिन्दयों को आये दिन मारने पीटने की यह आज कोई नई कहानी नहीं हैं। इसकी इबारत तो वशZ 2006 के जुलाई माह में ही लिखी जा चुकी थी। जब जेल प्रशासन की इन्हीं सब कारस्तानियों के खिलाफ लामबन्द होकर बिन्दयों ने विद्रोह का बिगुल बजा दिया था। अन्जाम यह हुआ था कि जेल कर्मचारियों के साथ बिन्दयों को लेकर तीन-चार लोगों की मौत हो गई थी और कई एक घायल हुए थे। इसी कड़ी में बुधवार को ए.डी.जे. प्रथम की अदालत पर आये बन्दी विजय यादव, हसीब, राकेश यादव ने ए.डी.जे. प्रथम को जेल में दी जा रही यातनाओं के सम्बन्ध में प्रार्थना पत्र सौंपा। आरोप है कि 18 सितम्बर को सुबह के समय जेलर द्वारा जेल चौकी पर बुलवाया गया। वहां पहले से मौजूद डिप्टी जेलर मृत्युन्जय पाण्डेय, बन्दीरक्षक रज्जनलाल, जयबिन्द और लम्बरदार दिनेश तिवारी उर्फ टेनशन ने कहा कि 25 मार्च से 31 मार्च तक तुम सभी आमरण अनशन पर बैठे थे। यह आरोप लगाकर हम सभी के पैर बांधते हुए लाठियां बरसा दी। यही नहीं बल्कि पीएसी को बुलवा कर एक बार फिर से बैरक नम्बर 12बी से सभी बिन्दयों को निकाल कर जमकर मारा-पीटा। उस समय बन्दी रामपूजन मौर्य, अच्छेलाल यादव, सुनील गौतम, संजय वर्मा, विनोद सिंह, मुन्ना मौर्य आदि ने हाथ जोड़कर मिन्नते मानी कि निर्दोशों को सजा न दी जाये तो जेल प्रशासन ने चुप रहने की धमकी दी। यही नही आजतक जेल प्रशासन ने चोटिल बिन्दयों की न तो डाक्टरी करवाई और न ही दवा-इलाज ही कराया। बताते चलें कि पूर्व में 9जनवरी को भी जेल प्रशासन ने 26 बिन्दयों के साथ कुछ ऐसा ही ताण्डव रचा था। जिसमें त्रिभुवन, राजू यादव, मुन्ना सिंह, फैयाज, जानी, विजय सिंह जख्मी हुए थे। इस प्रकरण की जांच करने डीआईजी जेल मौके पर पहुंचे थे और बिन्दयों का बयान दर्ज कर कार्यवाही की बात कह कर गये थे। जो कि ठण्डे बस्ते में डाल दी गई है। फिलहाल बिन्दयों ने अब न्यायालय में अर्जी लगाकर अपने प्रति नरमी बरते जाने की गुहार लगाई है। देखना यह है कि क्या न्यायालय अपने बिन्दयों की सुरक्षा की बागडोर सम्भालने वालों के खिलाफ कार्यवाही करता है, या फिर बिन्दयों को यहां भी मुंह की खाना पड़ता है। यह अब समय ही बतायेगा।
Posted on 23 September 2010 by admin
उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने आज बाढ़ से प्रभावित सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली और आगरा जनपदों का हवाई सर्वेक्षण किया और बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में कराये जा रहे राहत कार्यों की मौके पर समीक्षा की। सुबह से प्रारम्भ हुए इन बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का यह सर्वेक्षण देर शाम तक चलता रहा। इस दौरान माननीया मुख्यमन्त्री जी ने ज्योतिबा फुले नगर, रामपुर, बाराबंकी, गोण्डा, श्रावस्ती जनपदों के अलावा पूर्वान्चल के अन्य बाढ़ प्रभावित जिलों का भी हवाई सर्वेक्षण किया।
तत्पश्चात् माननीया मुख्यमन्त्री जी ने बहराइच में अधिकारियों के साथ बाढ़ राहत कार्यों की समीक्षा करते हुए में बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में समाहित गांवों के लोगों के पुर्नवासन के लिए एक करोड़ 80 लाख रूपये की मंजूरी प्रदान की। उन्होंने बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में हुई क्षति एवं बन्धों की स्थिति के सम्बन्ध में भी जानकारी ली। उन्होंने पिश्चमी उत्तर प्रदेश को आपदाग्रस्त क्षेत्र घोशित करते हुए प्रधानमन्त्री जी को आज ही पत्र लिखकर प्रदेश के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की जनता की मदद के लिए 2,000 करोड़ रूपये का पैकेज स्वीकृत करने का अनुरोध किया है। इसमें से एक हजार करोड़़ रू0 पिश्चमी उत्तर प्रदेश के बाढ़ प्रभावित जनपदों के लिए तथा शेश एक हजार करोड़ रू0 प्रदेश के अन्य बाढ़ प्रभावित जनपदों के राहत कार्यों के लिए है। उन्होंने प्रभावित जनपदों के अधिकारियों को राहत एवं बचाव कार्यों को युद्धस्तर पर संचालित करने के निर्देश देते हुए कहा कि प्रदेश सरकार बाढ़ पीड़ितों के लिए ऐसे उपाय करेगी, जिससे उन्हें राहत मिल सके।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा कि उत्तराखण्ड में स्थापित बांधों से समय-समय पर पानी छोड़े जाने के कारण पिश्चमी उत्तर प्रदेश का अधिकांश क्षेत्र बाढ़ से प्रभावित हुआ है। उन्होंने कहा कि इसमें जनपद बिजनौर अधिक प्रभावित हुआ है। उन्होंने आश्वस्त किया कि राहत कार्य के लिए धनरािश की कोई कमी नहीं होने दी जायेगी। उन्होंने बाढ़ पीड़ितों को आश्वस्त किया कि उन्हें किसी भी कीमत पर कोई भी दिक्कत नहीं होने दी जायेगी।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने अधिकारियों को बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों के लोगों को समय से राहत पहुंचाने और आवश्यक सामग्री उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि पानी उतरने के बाद प्रभावित क्षेत्रों में बीमारी फैलने का खतरा उत्पन्न होगा। इस समस्या से निपटने के लिए स्वास्थ्य अधिकारियों को पूरी तरह सतर्क रहना होगा। उन्होंने इसके लिए समस्त आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिशित करने के निर्देश देते हुए कहा कि इस मौसम में फैलने वाले मियादी बुखार, वायरल तथा जल जनित अन्य संक्रामक बीमारियों की रोकथाम हेतु विशेश अभियान चलाया जाए । उन्होंने जल भराव वाले क्षेत्रों में संक्रामक रोगों की रोकथाम के लिए ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव कराये जाने तथा लोगों को क्लोरीन टेबलेट उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में रोगियों के इलाज के लिए समुचित व्यवस्था सुनििश्चत की जाए।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली तथा आगरा जनपदों के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण करने के बाद इन जनपदों के प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक कर बाढ़ प्रभावित लोगों के लिए कराये जा रहे राहत कार्यों की गहन समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को बाढ़ पीड़ितों को हर सम्भव मदद सुनिशित कराने के निर्देश देते हुए कहा कि राहत एवं बचाव कार्य पूरी लगन व ईमानदारी से संचालित करें। उन्होंने कहा कि बाढ़ राहत कार्या में किसी भी प्रकार की लापरवाही को गम्भीरता से लिया जायेगा। उन्होंने पशुओं में फैलने वाली बीमारियों की रोकथाम के लिए सभी आवश्यक प्रबन्ध सुनिशित करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार बाढ़ राहत एवं बचाव कार्य पर कड़ी नज़र रखे हुये हैं।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने यह भी निर्देश दिए हैं कि बाढ़ का प्रभाव कम होते ही अवस्थापना सुविधाओं के रेस्टोरेशन/पुननिZर्माण, मरम्मत आदि का कार्य युद्ध स्तर पर किया जाए। इसके साथ ही बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में पेयजल तथा विद्युत आपूर्ति की व्यवस्था को भी अविलम्ब ठीक किया जाए। उन्होंने प्रभावित जनपदों के अधिकारियों को निर्देशित किया कि बाढ़ के दौरान हुई वास्तविक क्षति का तत्काल आंकलन कर गृह अनुदान एवं फसलों/पशुओं की क्षति की दशा में प्रभावित लोगों को अनुमन्य धनराशि तत्काल उपलब्ध करायी जाए।
पिश्चमी उत्तर प्रदेश के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों के हवाई सर्वेक्षण के साथ ही माननीया मुख्यमन्त्री जी ने हरियाणा के यमुनानगर, सोनीपत और करनाल तथा उत्तराखण्ड के हरिद्वार, देहरादून एवं ऊधमसिंह नगर के बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों का भी हवाई सर्वेक्षण किया। इन बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में खासतौर पर लक्सर और उसके आस-पास के खादर में किसानों की फसलों को हुए व्यापक क्षति पर चिन्ता व्यक्त की।
माननीया मुख्यमन्त्री जी के निर्देश पर सिंचाई मन्त्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने आज ही मथुरा, फरूZखाबाद तथा कांशीराम नगर जिलों में बाढ़ प्रभावित इलाकों का भ्रमण कर बचाव एवं बाढ़ राहत कार्यों की समीक्षा की और इन जिलों के अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिये।
Posted on 23 September 2010 by admin
उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने आज बाढ़ प्रभावित सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, बिजनौर, मुरादाबाद, बरेली, आगरा और बहराइच जनपदों में राहत कार्यों के साथ-साथ कानून-व्यवस्था की भी समीक्षा की। उन्होंने अधिकारियों को अयोध्या प्रकरण के मूल वाद के सम्भावित निर्णय के परिप्रेक्ष्य में हर हाल में कानून-व्यवस्था बनाये रखने के सख्त निर्देश दिये। उन्होंने अधिकारियों को कानून-व्यवस्था की स्थिति पर कड़ी निगाह रखने के निर्देश देते हुए कहा कि कानून-व्यवस्था से खिलवाड़ करने वाले लोगों के खिलाफ कठोर कार्यवाही करें।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने निर्देश दिये कि सभी जिलाधिकारी यह सुनििश्चत करें कि इस संवेदनशील प्रकरण की आड़ में असामाजिक तत्व कानून-व्यवस्था एवं साम्प्रदायिक सौहार्द को खराब न कर सकें। उन्होंने प्रशासनिक एवं अभिसूचना तन्त्र को पूरी सतर्कता बरतने के निर्देश देते हुए कहा कि महत्वपूर्ण धार्मिक, सामाजिक व ऐतिहासिक स्थलों पर कड़ी नज़र रखी जाये। यह भी सुनििश्चत किया जाये कि शरारती तत्व अफवाह फैला कर लोगों को गुमराह न करने पायें।
Posted on 23 September 2010 by admin
पूर्वांचल के जनपदों के लिए भी एक हजार करोड़ रूपये की धनराशि की आवश्यकता
उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी ने प्रधानमन्त्री डॉ0 मनमोहन सिंह को पत्र लिखकर पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में अप्रत्याशित बाढ़ से उत्पन्न स्थिति तथा बड़े पैमाने पर हुई क्षति की ओर उनका ध्यान आकृष्ट
करते हुए 02 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त सहायता तत्काल उपलब्ध कराने की मांग की है।
प्रधानमन्त्री को आज भेजे गये पत्र में माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा है कि अतिवृष्टि के फलस्वरूप उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपदों में गत माह से बाढ़ की गम्भीर स्थिति उत्पन्न हुई है। पिछले कुछ दिनों में कालागढ़ डैम, गिरजापुरी, शारदा, गोपिया, हथिनी कुण्ड, बिजनौर, दूनी तथा बनबसा बैराजों से अत्यधिक मात्रा में पानी छोड़े जाने के कारण पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपद प्रभावित हो गये हैं और कई स्थानों पर सड़कों पर पानी भर जाने से यातायात अवरूद्ध हो गया है। इसके अलावा बड़ी संख्या में गांव पानी से घिर जाने के कारण वहां के लोगों को घोर असुविधा उठानी पड़ रही है।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने पत्र में यह भी अवगत कराया है कि सार्वजनिक अवस्थापना, जैसे सड़क, पुल, बंधों आदि की भी व्यापक क्षति से निपटने हेतु राज्य सरकार द्वारा युद्ध स्तर पर प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आज वह स्वयं पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों का स्थलीय एवं हवाई निरीक्षण कर बाढ़ की स्थिति का जायजा लिया है और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जनपदों में अप्रत्याशित एवं अभूतपूर्व बाढ़ की स्थिति को देखते हुए पश्चिमी उत्तर प्रदेश को उनकी सरकार ने “आपदाग्रस्त क्षेत्र´´ घोषित कर दिया है।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने कहा है कि जून से अब तक हजारों गांव बाढ़ से गम्भीर रूप से प्रभावित हुए हैं तथा 83 लोगों की बाढ़ से तथा 173 लोगों की मकान आदि गिरने एवं अन्य कारणों से मृत्यु हो गई तथा 07 लाख हेक्टेअर क्षेत्र में तीन हजार पांच सौ करोड़ रूपये की फसल नष्ट होने का अनुमान है। इसके अलावा बाढ़ के कारण अवस्थापना सुविधाएं जैसे सड़कों, तटबन्धों के अतिरिक्त बड़ी संख्या में आवास क्षतिग्रस्त हुए हैं, जिनका तत्काल पुननिZर्माण एवं मरम्मत कराया जाना आवश्यक है।
माननीया मुख्यमन्त्री जी ने अपने पत्र कहा कि बाढ़ से हुई क्षति के सम्बन्ध में विस्तार से सूचना जिलाधिकारियों से प्राप्त की जा रही है, जिसके आधार पर समुचित सहायता धनराशि उपलब्ध कराने के लिए भारत सरकार को शीघ्र ही एक मेमोरेण्डम प्रेषित किया जायेगा। परन्तु कई जनपदों में आयी भीषण बाढ़ के चलते अब तक प्रारिम्भक अनुमान के आधार पर विभिन्न मदों में हुई क्षति के कारण राहत हेतु कुल 02 हजार करोड़ रूपये की अतिरिक्त धनराशि की तत्काल आवश्यकता है। इसमें से पश्चिमी उत्तर प्रदेश, जिसे आपदाग्रस्त क्षेत्र घोषित किया गया है, हेतु 01 हजार करोड़ रूपये की आवश्यकता है और प्रदेश के शेष बाढ़ प्रभावित जनपदों, खासतौर से पूर्वांचल के जनपदों हेतु भी 01 हजार करोड़ रूपये की धनराशि की आवश्यकता होगी।
Posted on 23 September 2010 by admin
उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमन्त्री सुश्री मायावती जी के निर्देश पर प्रदेश के सिंचाई मन्त्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने आज फरूखाबाद, कन्नौज, कांशीराम नगर, अलीगढ़ तथा मथुरा जिले के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण तथा मथुरा, आगरा एवं फरूखाबाद में चलाये जा रहे राहत कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने सम्बन्धित मण्डलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि वे बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों की सुरक्षा एवं राहत कार्यों की निरन्तर समीक्षा करें तथा इन कार्यों में लापरवाही बरतने वाले कर्मियों के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही करें।
श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को बैराजों, डैमों तथा तटबन्धों की पूर्ण सुरक्षा सुनििश्चत करने हेतु लगातार निगरानी रखने तथा बैराजों, डैमों तथा तटबन्धों को हुई क्षति का सर्वेक्षण कराकर आंगणन तैयार कराने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने कहा कि कटाव को रोकने के लिए जरूरी कटावरोधक कार्यवाही सुनििश्चत की जाये। सिंचाई मन्त्री ने बाढ़ से क्षतिग्रस्त हुई सड़कों तथा सम्पर्क मार्गों की हुई टूट-फूट का भी सर्वेक्षण कराने के निर्देश दिये हैं जिससे की उनकी मरम्मत की व्यवस्था करायी जा सकें और लोगों को आवागमन में कोई परेशानी न हों।
सिंचाई मन्त्री ने कहा कि बाढ़ सुरक्षा कार्यों को युद्धस्तर पर चलाने, बाढ़ से प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने तथा राहत शिविर
तथा बाढ़ में फंसे लोगों को त्रिपाल, खाद्यान्न, शुद्ध पेयजल तथा पशुओं के लिए चारे की व्यवस्था सुनििश्चत की जाये। उन्होंने कहा कि यथा आवश्यकतानुसार बाढ़ में फंसे लोगों को बचाने के लिए मोटर बोटों तथा एयरलििफ्टंग की भी व्यवस्था की जाएं।
श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि बाढ़ का पानी उतरने पर लोगों को संक्रामक रोगों से बचाने के लिए आवश्यक दवाईयों एवं पर्याप्त चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करायी जाये। उन्होंने पशुओं को बीमारियों से बचाने के लिए उनका टीकाकरण कराये जाने के जरूरी निर्देश दिये।