Archive | October, 2013

महाराजा अग्रसेन जयन्ती पर मुख्यमंत्री ने बधार्इ दी

Posted on 05 October 2013 by admin

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने महाराजा अग्रसेन जयन्ती पर प्रदेशवासियों को हार्दिक बधार्इ दी है।
एक बधार्इ संदेश में मुख्यमंत्री ने कहा कि महाराजा अग्रसेन ने अपने शासनकाल में समाज के सभी वर्गों के कल्याण के लिए कार्य किया। महाराजा अग्रसेन का बन्धुत्व तथा सदभाव का संदेश वर्तमान समय में और अधिक प्रासंगिक है।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
sa@upnewslive.com

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मुख्यमंत्री स्व0 मोहन सिंह के देवरिया सिथत आवास पर आयोजित त्रयोदश संस्कार में समिमलित हुए

Posted on 05 October 2013 by admin

समाजवादी विचाराधारा को आगे बढ़ाने के लिए श्री मोहन सिंह निरन्तर संघर्षरत रहे : मुख्यमंत्री
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव आज जनपद देवरिया में दिवंगत सांसद स्व0 मोहन सिंह की आत्मा की शानित हेतु उनके आवास पर आयोजित त्रयोदश संस्कार में समिमलित हुए। उन्होंने स्व0 मोहन सिंह के चित्र पर माल्यार्पण कर अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की और उनके परिजनों के प्रति हार्दिक सहानुभूति एवं संवेदना व्यक्त की। उन्होंने शोक की इस घड़ी में परिजनों को ढांढ़स बंधाते हुए कहा कि श्री मोहन सिंह के निधन से पार्टी की अपूर्णीय क्षति हुर्इ है। वे समाजवादी सिद्धान्तों में विश्वास रखते थे।
श्री यादव ने इस अवसर पर कहा कि डा0 राम मनोहर लोहिया व नेताजी के साथ कंधे से कंधा मिलाकर समाजवादी विचाराधारा को आगे बढ़ाने के लिए स्व0 मोहन सिंह निरन्तर संघर्षरत रहे। उन्होंने गरीब व शोषित वर्गों के साथ-साथ किसानों की समस्याओं के समाधान के लिए सदैव आवाज उठार्इ। स्व0 सिंह ने अपने पूरे राजनैतिक जीवन में कमजोर व बेसहारों का साथ दिया। उनका सामाजिक व राजनैतिक जीवन बेदाग रहा। मुख्यमंत्री ने कहा कि दु:ख की इस बेला में प्रदेश सरकार व समाजवादी पार्टी पूरी तरह शोक संतप्त परिवार के साथ है।
इस अवसर पर नगर विकास मंत्री श्री मोहम्मद आजम खां ने भी शोक की घड़ी में परिजनों के प्रति सांत्वना व्यक्त करते हुए कहा कि स्व0 मोहन सिंह ने समाजवादी पार्टी को अपनी सोच एवं त्याग के बल पर मजबूती प्रदान की और उच्च शिखर पर पहुंचाया, जिसके लिए पार्टी सदैव आभारी रहेगी। प्रदेश के कारागार मंत्री श्री राजेन्æ चौधरी ने भी दु:ख की इस घड़ी में र्इश्वर से परिजनों के लिए धैर्य और हिम्मत प्रदान करने की प्रार्थना की। होमगार्ड मंत्री श्री ब्रह्रााशंकर त्रिपाठी ने कहा कि स्व0 मोहन सिंह के निधन से पूर्वांचल को एक बड़ा आघात लगा है। वे समाजवादी पार्टी के सच्चे सिपाही थे।
इस अवसर पर समाजवादी पाटी के पदाधिकारीगण, विधायकगण, कार्यकर्ता सहित शासन व प्रशासन के अधिकारी एवं गणमान्य नागरिक मौजूद थे।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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कांग्रेस के राज में सर्वाधिक भुखमरी से मौतें हुर्इ है। गरीबी हटाओं के नाम पर गरीब को मिटाओं का ही अभियान चलता रहा है।

Posted on 04 October 2013 by admin

कांग्रेस के राज में सर्वाधिक भुखमरी से मौतें हुर्इ है। गरीबी हटाओं के नाम पर गरीब को मिटाओं का ही अभियान चलता रहा है। उत्तर प्रदेश में किसान और गरीब को हमेशा केन्द्र में रखकर समाजवादी पार्टी और समाजवादी पार्टी सरकारों ने काम किया है इसलिए कांग्रेस के एक गुजराती प्रभारी का यह कहना है कि उत्तर प्रदेश खाध सुरक्षा अधिनियम को लागू नहीं करना चाहती है, तथ्यहीन और अनर्गल बयान हैं। कांग्रेस चुनाव के मौकों पर लोकलुभावन घोषणाएं करने की आदी है। प्रदेश के खाधमंत्री श्री राजेन्द्र चौधरी ने ठीक ही पूछा कि केन्द्रीय मंत्री 18 पेज का भारत का राज पत्र ही देगें या फिर राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम 2013 को लागू करने के लिए संसाधन भी देगें ?
खाध एवं रसद तथा कारागार मंत्री श्री राजेन्द्र चौधरी ने मंगलवार (01 अक्टूबर,20123) को भारत सरकार, नर्इ दिल्ली द्वारा राष्ट्रीय खाध सुरक्षा अधिनियम-2013 के क्रियान्वयन के संबंध में आहूत खाध मंत्रियों के सम्मेलन में कहा कि उक्त अधिनियम हड़बड़ी में और बगैर पूरी तैयारी के लाया गया है। इसके पीछे सिर्फ चुनावी दृषिट से राजनीतिक फायदा उठाने का इरादा है। भारत सरकार इसे राज्यों पर थोपकर वाहवाही लूटना चाहती है। यह कदम संविधान की संघीय व्यवस्था को कमजोर करता है। बैठक में केन्द्रीय खाधमंत्री श्री के0पी0 थामस और केन्द्रीय कृषि मंत्री श्री शरद पवार भी मौजूद रहे।

श्री राजेन्द्र चौधरी ने उक्त सम्मेलन में जोरदार ढंग से यह बात उठार्इ कि केन्द्र सरकार राज्यों के संसाधन के बारे में सोचे बगैर कैसे अधिनियम को लागू करा सकेगी। इस राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम-2013 के तमाम प्राविधानों के लागू करने से राज्यों पर भारी आर्थिक बोझ पड़ेगा। केन्द्र सरकार इसके लिए शत प्रतिशत व्यय वहन करने को तैयार रहे।
राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम के लागू करने की दलील पर अकेले उत्तर प्रदेश ने जोरदार ढंग से राज्यों का पक्ष रखा। इसके लिए कांग्रेस शासित राज्यों के खाध मंत्रियों ने भी प्रशंसा की। श्री चौधरी ने कहा कि उत्तर प्रदेश में प्रचलित सार्वजनिक वितरण प्रणाली में अनेक विसंगतियों और लीकेज के चलते खाधान्न पात्र लाभार्थियों को नियमित रूप से वितरित नहीं हो पाता है। राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम 2013 लागू किए जाने से पहले जब तक इसमें सुधार नहीं होता तब तक अधिक खाधान्न बाजार में जाने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता है। परिणामस्वरूप गरीब किसानों को उनकी उपज का उचित मूल्य नहीं प्राप्त होगा और किसान बाजार की प्रतियोगिता से बाहर हो जाएगें।
आज केन्द्र सरकार और कांग्रेस गरीबों के लिए बहुत चिंतित नजर आती है जबकि हकीकत यह है कि इनका उददेश्य सिर्फ चुनावी वोट हासिल कर किसी तरह सत्ता में आना हैं। गरीब और किसान के लाभ की बात सर्वप्रथम श्री मुलायम सिंह यादव ने संसद में उठार्इ थी। अभी पिछले माह मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने भी अधिकारियों की बैठक बुलाकर सार्वजनिक वितरण प्रणाली में सुधार पर जोर दिया था। श्री मुलायम सिंह यादव ने गरीबों को सरकारी भंडारगृहों में जमा अनाज मुफत बांटने का सुझाव दिया था, सर्वोच्च न्यायालय ने भी ऐसा ही कहा था लेकिन केन्द्र सरकार ने इसे अनसुना कर दिया मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने गरीब का राषन बाजार में बिकने न पाए इसलिए उन्होने एफसीआर्इ से राशन लेकर निकलनेवाले ट्रकों का रंग बदलने का सुझाव दिया है ताकि उनकी अलग पहचान रहे।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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उत्तर प्रदेश की जनता के साथ साथ पूरे देश की जनता परिवर्तन लाने के पक्ष में सोच चुकी है

Posted on 04 October 2013 by admin

उत्तर प्रदेश की जनता के साथ साथ पूरे देश की जनता परिवर्तन लाने के पक्ष में सोच चुकी है और वह पूरी तरह से सोच चुकी है कि कांगे्रस की सरकार को उखाड़ फेंकना है। जाति व मजहब के नाम पर लोगो को बरगलाने वालों की अब चलने वाली नहीं है क्योंकि केन्द्र व प्रदेश की सरकार नेतृत्व में गड़बड़ी होने के नाते आम जनता परेशान हो रही है।
उक्त बातें भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश महामंत्री पंकज सिंह ने आज मुख्यालय सिथत कटरिया याकूबपुर बाग में आयोजित भाजपा लाओ देश बचाओ संकल्प रैली को सम्बोधित करते हुए कहा। श्री सिंह ने कहा कि प्रदेश की युवा मुख्यमंत्री चुनाव के समय लम्बे लम्बे वादे किये थे। जिसमें बेरोजगारी भत्ता, लैपटाप तथा टैबलेट वितरण था। लेकिन अभी भी ये योजना,ं पूरी तरह से लागू नहीं किये गये जिससे नौजवान अपने आप को ठगा महसूस कर रहा है। उन्हाेंने कहा कि बेरोजगार जब भत्ता के लिए लाइन लगाता है तो उसे बेरोजगारी भत्ता देने के बजाय पुलिस की लाठियां खानी पड़ती है। उन्होेंने कहा कि युवा मुख्यमंत्री आज जाति व धर्म का चश्मा लगाकर प्रदेश की जनता को देख रहे है जिसमें गरीब पिस रहा है। प्रदेश की बागडोर कभी चाचा के हवाले तो कभी पिता के हवाले इस निर्णय से प्रदेश पुरी तरह से चौपट हो रहा है। श्री सिंह ने गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे द्वारा सभी मुख्यमंत्रियों को भेजे गये पत्र पर भी कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि आज केन्द्र तथा प्रदेश की सरकार रिमोट द्वारा चलायी जा रही है। केन्द्र में तो एक प्रदेश में चार चार रिमोट प्रदेश चला रहे है। संकल्प रैली को सम्बोधित करते हुए संतकबीर नगर के लोकसभा सीट के पूर्व प्रत्याशी शरद त्रिपाठी ने कहा कि 18 महीने की सरकार में सौ से अधिक दंगे हो चुके है। आज समय है कि प्रदेश तथा देश की जनता जातिवाद तथा धर्मवाद से उठकर राष्ट्रवाद से जुड़कर भाजपा को मजबूत करे जिससे आने वाले समय में देश व प्रदेश में सुशासन कायम हो सके। कार्यक्रम के संयोजक रमाशंकर सिंह के अथक प्रयास से इस जिले में बीते कर्इ वर्षो बाद यह एक ऐतहासिक रैली रही। जिसमें हजारों की संख्या में लोग शामिल हुए। इतना ही नहीं महिलाएं, दलितो तथा पिछड़े वर्ग के भी लोग भारी संख्या में मौजूद रहे। रैली को मुख्यरूप विशिष्ट अतिथि के रूप में मुकुट विहारी वर्मा, रूदौली विधायक रामचन्दर यादव, अर्जुन सिंह, कार्यक्रम संयोजक रमाशंकर सिंह, पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती भारती सिंह, पूर्व जिलाध्यक्ष ज्ञानसागर सिंह, यमुना प्रसाद चतुर्वेदी, डा-राजितराम त्रिपाठी, जिला महामंत्री अमरनाथ सिंह, रामचन्द्र उपाध्याय, नागेन्द्र देव सिंह, सहकारी समिति जिलाध्यक्ष शिवनायक वर्मा, आदित्यनाथ शुक्ला, पूर्व विधायक त्रिवेणीराम सहित दर्जनो पदाधिकारियों ने सम्बोधित किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष रामप्रकाश यादव तथा संचालन महामंत्री इन्द्रमणि शुक्ल एडवोकेट ने किया।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान की स्थापना हेतु 48 जनपदों में संबंधित लीड बैंक को न्यूनतम लीज रेन्ट पर 33 वर्ष के लिए भूमि उपलब्ध कराने का निर्णय

Posted on 04 October 2013 by admin

मंत्रिपरिषद ने स्वर्ण जयन्ती ग्राम स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत प्रदेश के 48 जनपदों में ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान (आरसेटी) की स्थापना हेतु भूमि संबंधित जनपद के लीड बैंक को न्यूनतम लीज रेन्ट अर्थात 100 रुपए वार्षिक दर पर 33 वर्ष की अवधि हेतु उपलब्ध कराए जाने का निर्णय लिया है।
यह भी निर्णय लिया कि लीज की अवधि समाप्त होने पर लीज की समय वृद्धि हेतु यथा समय निर्णय लिया जाएगा। संबंधित भूमि प्रबन्धक समितिराज्य सरकार के संबंधित विभाग, जिनका स्वामित्व संबंधित भूमि पर है, के जनपद स्तरीय अधिकारी व जनपद के लीड बैंक के मध्य मेमोरेण्डम आफ अण्डरटेकिंग इस आशय का निष्पादित किया जाए कि भूमि संबंधित लीड बैंक के पास तब तक उपलब्ध रहेगी, जब तक आरसेटी द्वारा प्रशिक्षण कार्यक्रम बन्द नहीं कर दिया जाता है। संबंधित लीड बैंक द्वारा लीज पर दी गयी भूमि का प्रयोग केवल आरसेटी की स्थापना एवं संचालन हेतु किया जाएगा। आरसेटी द्वारा प्रशिक्षण कार्यक्रम बन्द कर दिये जाने के फलस्वरूप भूमि राज्य सरकार के संबंधित विभाग को स्वत: वापस हो जाएगी।
ज्ञातव्य है कि भारत सरकार द्वारा स्वर्ण जयन्ती ग्राम स्वरोजगार योजना को पुनर्गठित करते हुए राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन का संचालन प्रारम्भ किया गया है। इसके तहत गरीबी रेखा के नीचे जीवनयापन करने वाले परिवारों को प्रशिक्षण दिलाकर उन्हें रोजगार युक्त बनाए जाने के लिए प्रदेश के समस्त जिलों में संबंधित लीड बैंक के माध्यम से आरसेटी की स्थापना किए जाने का निर्णय लिया है। पहले चरण में 18 जनपदाें में आरसेटी की स्थापना की कार्यवाही प्रगति पर है। द्वितीय चरण में 48 जनपदों में आरसेटी की स्थापना हेतु मंत्रिपरिषद ने भूमि उपलब्ध कराने का निर्णय लिया है।
द्वितीय चरण में एटा, झांसी, इलाहाबाद, फतेहपुर, कौशाम्बी, कानुपर नगर, मिर्जापुर, सहारनपुर, अमरोहा, शाहजहांपुर, पीलीभीत, फिरोजाबाद, कासगंज, हाथरस, ललितपुर, हमीरपुर, महोबा, चित्रकूट, कानपुर देहात, इटावा, कन्नौज, औरैया, चन्दौली, सोनभद्र, सीतापुर, उन्नाव, हरदोर्इ, कुशीनगर, बाराबंकी, अम्बेडकरनगर, बहराइच, श्रावस्ती, बलरामपुर, बदायूं, आजमगढ़, लखीमपुर खीरी, बिजनौर, बांदा, अलीगढ़, देवरिया, महाराजगंज, सन्तकबीर नगर, मुजफ्फरनगर, बागपत, प्रतापगढ़, बलिया, गोण्डा तथा जालौन जनपद शामिल हैं।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा मेट्रो रेल परियोजना के क्रियान्वयन का निर्णय

Posted on 04 October 2013 by admin

मंत्रिपरिषद ने नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा के नगरीय क्षेत्र में दिल्ली के समकक्ष अवस्थापना सुविधाएं विकसित किए जाने हेतु नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा मेट्रो रेल परियोजना के क्रियान्वयन का निर्णय लिया है। डी0एम0आर0सी0 इन परियोजनाओं की डी0पी0आर0 तैयार की गर्इ है, जिसमें लगभग 5 हजार 64 करोड़ रुपए लागत सम्भावित है। मेट्रो रेल परियोजना के निर्माण, संचालन एवं अनुरक्षण हेतु एस0पी0वी0 का गठन किया जाएगा।
इन परियोजनाओं का वित्त पोषण 20 प्रतिशत भारत सरकार द्वारा तथा 20 प्रतिशत राज्य सरकार द्वारा किया जाएगा। इसके अलावा शेष 60 प्रतिशत धनराशि वित्तीय संस्थाओं से ऋण के रूप में प्राप्त किया जाएगा। राज्य सरकार द्वारा दिए जाने वाले वित्तीय अंशदान का वहन नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा द्वारा अपने क्षेत्रों में पड़ रही लम्बार्इ के अनुपात में किया जाएगा। इस प्रकार नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा मेट्रो रेल परियोजना के क्रियान्वयन से राज्य सरकार पर कोर्इ वित्तीय भार नहीं पड़ेगा। यह भी फैसला किया गया है कि परियोजना के डी0पी0आर0 को भारत सरकार के शहरी विकास मंत्रालय को अग्रेत्तर कार्यवाही हेतु सन्दर्भित किया जाए। परियोजना के किसी भाग में संशोधन की सिथति में निर्णय लेने हेतु नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा के प्राधिकरण बोर्ड को अधिकृत किया गया है। परियोजना के अनुश्रवण हेतु मुख्य सचिव की अध्यक्षता में एक समिति का भी गठन किया जाएगा।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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प्रदेश सरकार के स्वामित्व के भवनों की ध्वस्तीकरण नीति विषयक लोक निर्माण विभाग के दो शासनादेश निरस्त

Posted on 04 October 2013 by admin

मंत्रिपरिषद ने उत्तर प्रदेश राज्य के स्वामित्व के भवनों की ध्वस्तीकरण नीति विषयक लोक निर्माण विभाग के दो शासनादेशों को निरस्त कर दिया है।
ज्ञातव्य है कि प्रदेश सरकार के स्वामित्व के भवनों के ध्वस्तीकरण के संबंध में लोक निर्माण विभाग के शासनादेश दिनांक 26 मार्च, 2008 द्वारा नीति निर्धारित की गर्इ थी। शासनादेश दिनांक 26 सितम्बर, 2011 द्वारा उक्त नीति को संशोधित किया गया। लखनऊ शहर सिथत सिंचार्इ विभाग के परिकल्प नगर (पूर्व) आवासीय परिसर में सिथत आवासीय एवं कार्यालय भवनों को ध्वस्त करने संबंधी प्रकरणप्रक्रिया में प्रथम दृष्टया पायी गयी अनियमितताओं के संबंध में सिंचार्इ विभाग द्वारा सेवानिवृत्त आर्इ.ए.एस. अधिकारी श्री एस.ए.टी. रिजवी को जांच अधिकारी नियुक्त किया गया। जांच अधिकारी की जांच आख्या के आलोक में प्रमुख अभियन्ता (विकास) एवं विभागाध्यक्ष, लोक निर्माण विभाग द्वारा शासनादेश दिनांक
26 मार्च, 2008 एवं शासनादेश दिनांक 26 सितम्बर, 2011 में कतिपय विसंगतियोंकमियों के कारण निरस्त किए जाने की संस्तुति की गर्इ।
उक्त दोनों शासनादेशों के निरस्त होने की दशा में ध्वस्तीकरण हेतु पूर्व से विधमान लोक निर्माण विभाग के अनुरक्षण मैनुअल पार्ट-।। (भवन), वित्तीय हस्तपुसितका खण्ड-1 व खण्ड-5 तथा उ0प्र0 कार्य नियमावली, 1975 के प्राविधानों के अन्तर्गत कार्यवाही की जाती रहेगी। उ0प्र0 म्यूनिसिपल कार्पोरेशन एक्ट 1959 की धारा-330 व 331 के द्वारा ध्वस्तीकरण हेतु नगरीय क्षेत्रों में समानान्तर व्यवस्था प्रतिपादित है जिसको आवश्यकतानुसार विकल्प के रूप में अपनाया जा सकता है।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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चक गंजरिया प्रक्षेत्र, लखनऊ में 05 लाख लीटर प्रतिदिन दुग्ध प्रसंस्करण क्षमता के डेरी प्लाण्ट की स्थापना हेतु दुग्ध विकास विभाग की 20 एकड़ भूमि बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ गुजरात को आवंटित करने का निर्णय

Posted on 04 October 2013 by admin

मंत्रिपरिषद ने जनपद लखनऊ में 05 लाख लीटर प्रतिदिन दुग्ध प्रसंस्करण क्षमता के एक अत्याधुनिक डेरी प्लाण्ट की स्थापना हेतु चक गंजरिया प्रक्षेत्र में उपलब्ध दुग्ध विकास विभाग की 20 एकड़ भूमि को उ0प्र0 राज्य औधोगिक विकास निगम के माध्यम से बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ पालनपुर गुजरात को आवंटित करने का निर्णय लिया है।
यह भूमि यू.पी.एस.आर्इ.डी.सी. के माध्यम से निर्धारित प्रक्रियानुसार लीज पर बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ को डेरी प्लाण्ट की स्थापना हेतु उपलब्ध करार्इ जाएगी। बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ द्वारा दुग्ध का उपार्जन प्रदेश के दुग्ध उत्पादकों से किया जाएगा। राज्य के किसानों से पर्याप्त दुग्ध उपार्जन न हो पाने की सिथति में, प्लाण्ट के संचालन हेतु आवश्यक दुग्ध की मात्रा अन्य प्रान्तों से प्राप्त की जा सकेगी। भूमि हस्तांतरण के उपरान्त 18 माह के भीतर बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ को दुग्ध प्रसंस्करण प्लाण्ट लगाना होगा।
अत्याधुनिक डेरी प्लाण्ट की स्थापना हेतु उ0प्र0 राज्य औधोगिक विकास निगम द्वारा बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ को उक्त भूमि 4800 रुपये प्रति वर्गमीटर की दर से आवंटित किये जाने के फलस्वरूप प्राप्त धनराशि में से, 12.50 प्रतिशत अर्थात 600 रुपये प्रति वर्गमीटर की दर से प्रशासनिक व अन्य व्यय काटने के उपरान्त, 2200 प्रति वर्गमीटर के आधार पर आगणित धनराशि राजकोष में तथा अवशेष 2000 रुपये प्रति वर्गमीटर की दर से आगणित की गयी धनराशि लखनऊ में प्रस्तावित मेट्रो फण्ड में उ0प्र0 राज्य औधोगिक विकास निगम द्वारा जमा की जाएगी।
ज्ञातव्य है कि बनासकांठा सहकारी दुग्ध उत्पादक संघ गुजरात को-आपरेटिव मिल्क मार्केटिंग फेडरेशन (अमूल ब्रान्ड) की एक इकार्इ है।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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सार्वजनिक, निजी एवं सहकारी क्षेत्र की नयी आवासीय योजनाओं में आर्थिक दृषिट से दुर्बल एवं अल्प आय वर्गों के व्यकितयों के लिए

Posted on 04 October 2013 by admin

आवासीय सुविधा उपलब्ध कराने से सम्बनिधत नीति में संशोधन समाज के आर्थिक दृषिट से कमजोर वर्गों की मकान खरीदने की क्रय-क्षमता पर विशेष ध्यान देने हेतु शासनादेश दिनांक 26 सितम्बर 2011 द्वारा निर्गत नीति के कतिपय प्राविधान अव्यवहारिक होने के कारण इसमें इस दृषिट से संशोधन किया जाना आवश्यक पाया गया कि उक्त आय वर्गों हेतु ‘सेल्फ सस्टेनेबल आधार पर आवासों का निर्माण संभव हो सके और विकासकर्ता ऐसे भवनों का निर्माण करने हेतु स्वत: प्रेरित हों। उक्त के परिप्रेक्ष्य में मंत्रिपरिषद द्वारा ये निर्णय लिए गए कि हडको के पुनरीक्षित मानकोें के अनुसार र्इ0डब्ल्यू0एस0 परिवार की वार्षिक आय सीमा 1 लाख रुपये तक एवं एल0आर्इ0जी0 परिवार की 1 लाख रुपए से अधिक, परन्तु 2 लाख रुपए तक निर्धारित की गयी है, जो प्रत्येक वर्ष कास्ट-इन्डेक्स के आधार पर पुनरीक्षित की जायेगी।
र्इ0डब्ल्यू0एस0 के लिए भूखण्डीय विकास में भूखण्ड का क्षेत्रफल 30-50 वर्ग मीटर एवं एल0आर्इ0जी0 का 40-50 वर्ग मीटर तथा ग्रुप हाउसिंग में आवासीय इकार्इ का बिल्ट-अप एरिया र्इ0डब्ल्यू0एस0 के लिए 25-35 वर्ग मीटर तथा एल0आर्इ0जी0 के लिए 36-48 वर्ग मीटर निर्धारित की गयी है। इस नीति में भूखण्डीय विकास (प्लाटेड डेवलपमेंट) तथा ग्रुप हाउसिंग दोनों प्रकार के विकास में विकासकर्ता द्वारा र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का निर्माण करना अनिवार्य है।
04 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्रफल की समस्त नर्इ आवासीय योजनाओं में र्इ0डब्ल्यू0एस0 तथा एल0आर्इ0जी0 के लिए न्यूनतम 10-10 प्रतिशत (कुल 20 प्रतिशत) भवनों का निर्माण उसी योजना के अन्तर्गत अनिवार्य किया गया है। 04 हेक्टेयर से कम क्षेत्रफल की योजनाओं में र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का निर्माण यथासम्भव उसी स्थल पर अथवा 10 लाख एवं अधिक जनसंख्या वाले नगराें में योजना स्थल के 05 किलोमीटर के अद्र्धव्यास व अन्य नगरों में 02 किलोमीटर के अद्र्धव्यास के अन्दर किया जायेगा। यदि भवनों का निर्माण संभव न हो, तो उसके एवज में विकासकर्ता द्वारा विकास प्राधिकरणआवास एवं विकास परिषद को ‘शेल्टर फीस देय होगी।
एकल आवासीय भवन र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवन निर्माण के प्राविधानों से मुक्त रहेंगे। एक से अधिक भूखण्डफ्लैट की आवासीय परियोजनायोजना पर यह प्राविधान लागू होंगे। हडको द्वारा पुनरीक्षित मानकों के अनुसार र्इ0डब्ल्यू0एस0 भवन का सीलिंग मूल्य 3.25 लाख रुपये तथा एल0आर्इ0जी0 भवन का 07 लाख रुपये निर्धारित किया गया है, जिसे प्रत्येक वर्ष कास्ट इण्डेक्स के आधार पर पुनरीक्षित किया जायेगा।
र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का समयबद्ध निर्माण सुनिशिचत करने हेतु उक्त भवनों के सापेक्ष बैंक गारण्टी देय होगी, अथवा विकासकर्ता द्वारा योजना की आंशिक भूमि शासकीय अभिकरण के पक्ष में बंधक रखी जा सकती है। विकासकर्ता द्वारा यदि र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का निर्माण नहीं किया जाता है अथवा अधूरा छोड़ा जाता है, तो प्राधिकरणपरिषद द्वारा बैंक गारण्टी को जब्त कर एवं भुना कर अथवा बन्धक रखी गर्इ भूमि को जब्त कर उसके विक्रय से प्राप्त धनराशि से र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का निर्माण कार्य पूर्ण कराया जाएगा। इसके अतिरिक्त डिफाल्टर विकासकर्ता के विरुद्ध प्राधिकरणआवास एवं विकास परिषद द्वारा नियमानुसार यथोचित दण्डात्मक कार्यवाही करने पर भी विचार किया जायेगा।
इस नीति के अनुसार र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का निर्माण योजना के अन्य आवासीय स्टाक की भौतिक प्रगति के अनुपात में किया जाएगा। यह व्यवस्था हार्इटेक टाउनशिप तथ इन्टीग्रेटेड टाउनशिप योजनाओं में भी लागू होगी। र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों की लागत को क्रास-सबिसडार्इज करने हेतु विकासकर्ता को उक्त भवनों के तल क्षेत्रफल के समतुल्य आवासीय उपयोग का नि:शुल्क एल0ए0आर0 उसी योजनान्तर्गत अनुमन्य होगा। र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का आवंटन शासन द्वारा उपाध्यक्षआवास आयुक्त की अध्यक्षता में गठित समिति के माध्यम से किया जायेगा।
सार्वजनिक, निजी एवं सहकारी क्षेत्र की योजनाओं में र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों का आवंटन लीज होल्ड के आधार पर किया जायेगा, जिसके विक्रयहस्तान्तरण पर आवंटन की तिथि से 5 वर्षों अथवा देय लागत जमा करने की तिथि, जो भी बाद में हो, तक प्रतिबन्ध रहेगा और उक्त अवधि के पश्चात लाभार्थी के पक्ष में स्वत: फ्री-होल्ड माना जाएगा, जिसके संबंध मेें प्राधिकरणआवास एवं विकास परिषद द्वारा औपचारिक आदेश निर्गत किया जाएगा। र्इ0डब्ल्यू0एस0 एवं एल0आर्इ0जी0 भवनों ‘हेरिटेबल होंगे। एक से अधिक र्इ0डब्ल्यू0एस0 अथवा एल0आर्इ0जी0 भवनों का अमलगमेशन अथवा उन्हें जोड़कर एक इकार्इभवन बनाना प्रतिबनिधत होगा।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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खरीफ विपणन वर्ष 2013-14 में मूल्य समर्थन योजना के अन्तर्गत धान क्रय नीति अनुमोदित

Posted on 04 October 2013 by admin

मंत्रिपरिषद ने खरीफ विपणन वर्ष 2013-14 में मूल्य समर्थन योजना के अन्तर्गत धान क्रय नीति को अनुमोदित करते हुए विभिन्न श्रेणी के धान का समर्थन मूल्य भी निर्धारित कर दिया गया है। इसके तहत कामन धान की श्रेणी के लिए 1310 रुपए प्रति कुन्टल तथा ग्रेड-ए श्रेणी के लिए 1345 रुपए न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित किया गया है। 01 अक्टूबर, 2013 से 28 फरवरी, 2014 की अवधि में धान क्रय का निर्णय लेते हुए मंत्रिपरिषद ने 25 लाख मीटि्रक टन धान क्रय का कार्यकारी लक्ष्य निर्धारित किया है। दिनांक 28 फरवरी, 2014 तक क्रय केन्द्रों पर किसानों द्वारा लाए जाने वाले धान की समस्त मात्रा क्रय की जाएगी। इस खरीफ विपणन वर्ष में केवल किसानों से धान क्रय करने का निर्णय लिया गया है। विक्रेता किसानों का मोबाइलफोन नं0 भी धान क्रय पंजिका में अंकित किया जाएगा। इसके लिए प्रदेश में 3000 क्रय केन्द्र स्थापित किए जाएंगे। जनपद स्तर पर केन्द्रोें का चयन जिलाधिकारी द्वारा किया जाएगा। प्रत्येक क्रय केन्द्र से ग्रामों के सम्बद्धीकरण की व्यवस्था संबंधित जनपदों के जिलाधिकारियों द्वारा की जाएगी। किसानों को धान के मूल्य का भुगतान आर0टी0जी0एस0 के माध्यम से उनके बैंक खाते में किया जाएगा। इसके अलावा किसानों के लिखित अनुरोध पर ‘पेयीज एकाउण्ट ओनली चेक के माध्यम से भी भुगतान की व्यवस्था रहेगी। धान क्रय सरकारी एजेंसियों के अलावा कच्चा आढ़तियों (कमीशन एजेण्ट) के माध्यम से होगी।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
sa@upnewslive.com

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