Posted on 16 July 2018 by admin
लखनऊ: दिनांक: 16 जुलाई, 2018
प्रदेश के दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के तहत शकुन्तला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय में संयुक्त निदेशक का एक पद कुल सचिव की तैनाती के उद्देश्य से प्रतिनियुक्ति रिजर्व के रुप में सृजित किया गया है।
अपर मुख्य सचिव, दिव्यांगजन सशक्तीकरण, श्री महेश कुमार गुप्ता द्वारा जारी आदेश के अनुसार यह अस्थाई पद 21 मई, 2018 से 28 फरवरी, 2019 तक की अवधि के लिए सृजित किया गया है।
Posted on 16 July 2018 by admin
लखनऊ: 16 जुलाई, 2018
उत्तर प्रदेश सरकार ने लोकतंत्र सेनानियों/राजनैतिक बन्दियों की मासिक सम्मान राशि में पांच हजार रु0 की वृद्धि कर दी है। वृद्धि स्वरूप अब उन्हें 20,000 प्रति माह पेंशन मिलेगी।
यह जानकारी विधि एवं न्याय, राजनैतिक पेंशन, अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत मंत्री श्री ब्रजेश पाठक ने आज यहां देते हुए बताया कि लोकतंत्र सेनानियों/राजनैतिक पेंशनरो को मीसा/डी.आई.आर. के तहत जेल में बन्दी के दौरान अनेकों कठिनाइयों एवं यातनाओं को सहना पड़ा था। उनके योगदान को देखते हुए सरकार द्वारा पेंशन की राशि में वृद्धि की गई है।
श्री पाठक ने बताया कि देश में आपातकालीन अवधि (25 जून, 1975 से 21 मार्च, 1977) तक मीसा/डी.आई.आर. लगाकर राजनैतिक बन्दियों/लोकतंत्र सेनानियों को जेल में भेज दिया गया था। उन्होंने बताया कि अब तक उन्हें 15000 रु0 मासिक सम्मान राशि मिल रही थी, जिसे अब बढ़ाकर 20,000 रु0 किया गया है। यह धनराशि 01 जुलाई, 2018 से देय हो गयी है।
सूचना अधिकारी- अजय द्विवेदी
Posted on 16 July 2018 by admin
लखनऊ: 16 जुलाई, 2018
जिला सैनिक बन्धु की बैठक 19 जुलाई, 2018 को प्रातः 10ः00 बजे ‘‘कलेक्ट्रेट सभागार, लखनऊ में जिलाधिकारी की अध्यक्षता में आयोजित की जायेगी, जिसमें पूर्व सैनिकों की सामाजिक एवं प्रशासनिक सहित अन्य समस्याओं की सुनवाई एवं उसका निस्तारण स्वयं प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा किया जायेगा।
जिला सैनिक कल्याण एवं पुनर्वास अधिकारी लखनऊ, ले0कर्नल शरद भट्ट (अ0प्रा0) ने समस्त पूर्व सैनिकों से अनुरोध किया है कि अपने लिखित आवेदन पत्र जिला सैनिक कल्याण एवं पुनर्वास कार्यालय, सैनिक भवन, कैसरबाग, लखनऊ में दिनांक 18 जुलाई, 2018 तक सायं 04ः00 बजे तक उपस्थित होकर प्रस्तुत करे, ताकि सम्बन्धित विभाग से समस्या निस्तारण हेतु प्रयास किया जा सके। साथ ही यह भी अनुरोध है कि उक्त बैठक में पूर्व सैनिक तथा उनके आश्रित स्वयं उपस्थित होकर अपनी समस्या से अवगत कराते हुए सेवा प्राप्त करें।
Posted on 16 July 2018 by admin
लखनऊ: 16 जुलाई, 2018
प्रदेश के खादी एवं ग्रामोद्योग मंत्री श्री सत्यदेव पचैरी ने कहा कि जिस तरह उत्पादक और निर्यातक न केवल विदेशी मुद्रा अर्जित करते हैं, बल्कि रोजगार के अवसर भी पैदा करते हैं। इसलिए राज्य सरकार भी उद्यमियों के साथ कन्धे से कन्धा मिलाकर खड़ी है। उद्यमियों को अपनी समस्याओं के समाधान हेतु इधर-उधर न भटकना पड़े, बल्कि अधिकारी स्वयं उनके पास पहुंचकर उनकी समस्याओं का समाधान करें। इस पर विशेष बल दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसके लिए वन स्टाॅप विंडो बनाया जायेगा।
श्री पचैरी आज ग्रेटर नोएडा में स्थित इंडिया एक्सपो सेंटर में 11वें भारतीय फैशन जूलरी एवं एक्सेसरीज शो (आईएफजेएएस) के साथ 61वें अंतर्राष्ट्रीय वस्त्र मेले (आईआईजीएफ) के उद्घाटन अवसर पर बोल रहे थे। इस मौके पर केन्द्रीय संस्कृति राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा0 महेश शर्मा मुख्य अतिथि के तौर पर मौजूद थे। श्री पचैरी ने एक ही मंच पर वस्त्र और फैशन जूलरी मेला एक साथ आयोजित करने के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि वस्त्र तथा फैशन ज्वैलरी एक दूसरे के पूरक हैं और दोनों के बुनियादी ग्राहक भी कमोबेश एक ही होते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि निकट भविष्य में ग्रेटर नोएडा देश का औद्योगिक केन्द्र बन जायेगा।
उल्लेखनीय है कि इस प्रदर्शनी में 250 प्रदर्शकों द्वारा हाई फैशन ज्वैलरी, कम बेशकीमती ज्वैलरी, स्टोल, स्कार्फ, शाॅल, हैंड बैग, क्लच पर्स, वाॅलेट, नेक टाई, बीड्स, स्टोन, हेड, हेयर एक्सेसरीज, फैंसी फैशन फुटवियर, टैटू और बिंदी का प्रदर्शन किया गया है। मेले में प्रदर्शित की जा रही डिजाइनें, समृद्ध पारंपरिक, आधुनिक तथा समकालीन होने के साथ ही बाजारों के अनुरूप उपलब्ध हैं। कई देशों के खरीददारों की इस तीन दिवसीय प्रदर्शनी में पहुंचने की सम्भावना है।
Posted on 16 July 2018 by admin
लखनऊ 16 जुलाई 2018, बसपा सुप्रीमों मायावती के बड़बोले एवं तथ्यविहीन बयानों पर भारतीय जनता पार्टी ने उन्हें आडे़ हाथों लेते हुए बसपा को विपक्ष की हताशा एवं निराशा बताया है। बसपा सुप्रीमों पर चुटकी लेते हुए भाजपा प्रदेश प्रवक्ता मनीष शुक्ल ने कहा कि आज वे दल भी अविश्वास प्रस्ताव की बात कर रहे है जिनकी लोकसभा में सदस्यों की संख्या शून्य है।
प्रदेश प्रवक्ता ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की नेतृत्व वाली सरकार के जनहितकारी नीतियों के कारण देश में भाजपा की बढती लोकप्रियता से विपक्ष बौखलया हुआ है। आज गरीब को निःशुल्क एलपीजी कनेक्शन विद्युत कनेक्शन मिल रहा है। गरीब को पक्की छत और शौचालय दिया जा रहा है। आयुष्मान भारत के अन्र्तगत 50 करोड़ गरीब भी 5 लाख रूपये तक का मंहगा इलाज मुफ्त में करा सकेंगे। 1 रूपये प्रतिमाह पर 2 लाख का दुर्घटना बीमा दिया जा रहा है। गरीब को अहसास हो रहा है कि आज उनके दर्द और समस्याओं को समझने वाला देश का प्रधानमंत्री है।
श्री शुक्ल ने कहा कि प्रदेश की चार बार मुख्यमंत्री रहते मायावती जी को कभी गरीबों की याद नही आई। जातिवाद का विष बोकर मुख्यमंत्री तो बन गई किन्तु जिनकी हितैषी होने का स्वांग रचती थी उनके घर कभी गई क्या? जनहित की बात कभी किया क्या? जब तक सत्ता में रही येन-केन प्रकारेण धन संग्रह और अपने व परिवार के लिए महलों का निर्माण किया और आज कलई खुल जाने से हताशा में तथ्यविहीन बाते कर रही है। वर्षो से लम्बित बाणसागर परियोजना के लोकर्पण से जहां मिर्जापुर-इलाहाबाद एवं आस-पास के किसान खुश है और भाजपा सरकार की प्रशंसा कर रहे है। वहीं मायावती उसके विरोध में बोलकर अपना किसान विरोधी चेहरा बेनकाब कर रही है।
श्री शुक्ल ने मायावती से पूछा कि दलितों की बात आप करती है किन्तु अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में दलित आरक्षण पर आपकी चुप्पी का कारण क्या है? एक वर्ग शरीयत अदालत की बात कर बाबा साहब के संविधान को नकारने की कोशिश कर रहा है इस पर बसपा का स्टैण्ड क्या है? मायावती जी आप राजनैतिक शख्सियत होने के अतिरिक्त महिला भी है आपका और आपकी पार्टी का तीन तलाक और हलाला जैसे घृणित परम्पराओं पर क्या रूख है? जनता मायावती की असलियत समझ चुकी है आने वाले चुनाव में प्रदेश की जनता बसपा की दोहरी नीति का जवाब देगी।
Posted on 15 July 2018 by admin
लखनऊ : 15 जुलाई, 2018 अध्यादेश का उल्लंघन करने वाले व्यक्तियों को कारावास और अर्थदण्ड का प्रावधान
उत्तर प्रदेश के मा0 राज्यपाल श्री राम नाईक द्वारा ’’उत्तर प्रदेश प्लास्टिक और अन्य जीव अनाशित कूड़ा कचरा (उपयोग और निस्तारण का विनियमन) (संशोधन) अध्यादेश, 2018’’ को मंजूरी प्रदान कर दी गयी है । उक्त अध्यादेश द्वारा उत्तर प्रदेश प्लास्टिक और अन्य जीव अनाशित कूड़ा कचरा (उपयोग और निस्तारण का विनियमन) अधिनियम, 2000 में कई संशोधन करते हुए उसके प्रावधानों को और भी कठोर व प्रभावी बनाया गया है । उपरोक्त अधिनियम राज्य विधायिका द्वारा वर्ष 2000 में जैव प्रदूषित कचरा, प्लास्टिक एवं उससे बनायी जाने वाली अन्य सामग्रियों जैसे प्लास्टिक बैग एवं पॉलिथीन आदि के प्रयोग एवं उससे पर्यावरण को होने वाले विविध प्रकार के नुकसानों को नियंत्रित करने के लिए बनाया गया था । वर्ष 2000 के उपरोक्त अधिनियम में प्लास्टिक एवं प्लास्टिक उत्पादों के निस्तारण के लिए कोई प्रभावी प्रावधान नहीं था । जैविक रूप से नष्ट नहीं होने वाले प्लास्टिक व पॉलिथीन आदि जैसे उत्पादों को निस्तारित किये जाने हेतु चलाये जाने वाले कार्यक्रमों से राज्य सरकार पर अनावश्यक रूप से वित्तीय बोझ भी बढ़ता जा रहा था । प्लास्टिक तथा पॉलिथीन जैसे उत्पादों से पर्यावरण को क्षति पहुंॅचने के अतिरिक्त उनके गड्ढों एवं भराव क्षेत्रों में बड़ी मात्रा में जमा होने, तालाबों, नदियों, वनों व अन्य प्राकृतिक स्थानों के प्रदूषित होने, मानव जीवन, पशुओं, जीव-जन्तुओं आदि को होने वाली क्षति को प्रभावी रूप से नियंत्रित करने तथा दण्डित किये जाने के आशय से उपरोक्त अधिनियम को संशोधित किये जाने के लिए यह अध्यादेश लाया गया है ।
वर्ष 2000 के उपरोक्त अधिनियम में इस अध्यादेश द्वारा किये जा रहे संशोधनों द्वारा जैविक रूप से नष्ट नहीं होने वाले 50 माइक्रॉन से कम मोटाई के प्लास्टिक के थैले, पॉलिथीन, नायलोन, पी0बी0सी0, पॉलीप्रोपाइलिंग, पॉलीस्ट्रिन एवं थर्माकोल के प्रयोग तथा उनके पुनर्निमाण, विक्रय, वितरण, पैकेजिंग, भण्डारण, परिवहन, आयात एवं निर्यात आदि को भी चरणबद्ध तरीके से प्रतिबन्धित एवं विनियमित किये जाने का प्रावधान किया गया है। अध्यादेश द्वारा उक्त अधिनियम में किये जा रहे प्रतिबन्धों का प्रथम बार उल्लंघन किये जाने पर दोषी व्यक्ति को एक माह तक की सजा अथवा न्यूनतम एक हजार रूपये और अधिकतम दस हजार रूपये तक के अर्थदण्ड, द्वितीय बार के उल्लंघन में दोषसिद्ध किये जाने पर छः माह तक के कारावास अथवा न्यूनतम पॉच हजार रूपये एवं अधिकतम बीस हजार रूपये तक के अर्थदण्ड से दण्डनीय किया जा सकेगा । अध्यादेश के प्रावधानों का प्रथम बार उल्लंघन करते हुए प्लास्टिक बैग का विक्रय, विनिर्माण, वितरण, भण्डारण व परिवहन आदि करने पर दोषसिद्ध किये जाने वाले व्यक्ति को छः माह तक के कारावास अथवा न्यूनतम दस हजार रूपये और अधिकतम पचास हजार रूपये के अर्थदण्ड से दण्डित किये जाने की व्यवस्था की गयी है । उक्त प्रावधानों का द्वितीय बार उल्लंघन किये जाने पर दोषसिद्ध किये गये व्यक्ति को एक वर्ष तक की सजा एवं न्यूनतम बीस हजार रूपये और अधिकतम एक लाख रूपये तक के अर्थदण्ड से दण्डित किया जा सकेगा ।
Posted on 15 July 2018 by admin
लखनऊ: 16 जुलाई, 2018
प्रदेश के खादी एवं ग्रामोद्योग मंत्री श्री सत्यदेव पचैरी ने कहा कि जिस तरह उत्पादक और निर्यातक न केवल विदेशी मुद्रा अर्जित करते हैं, बल्कि रोजगार के अवसर भी पैदा करते हैं। इसलिए राज्य सरकार भी उद्यमियों के साथ कन्धे से कन्धा मिलाकर खड़ी है। उद्यमियों को अपनी समस्याओं के समाधान हेतु इधर-उधर न भटकना पड़े, बल्कि अधिकारी स्वयं उनके पास पहुंचकर उनकी समस्याओं का समाधान करें। इस पर विशेष बल दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि इसके लिए वन स्टाॅप विंडो बनाया जायेगा।
श्री पचैरी आज ग्रेटर नोएडा में स्थित इंडिया एक्सपो सेंटर में 11वें भारतीय फैशन जूलरी एवं एक्सेसरीज शो (आईएफजेएएस) के साथ 61वें अंतर्राष्ट्रीय वस्त्र मेले (आईआईजीएफ) के उद्घाटन अवसर पर बोल रहे थे। इस मौके पर केन्द्रीय संस्कृति राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डा0 महेश शर्मा मुख्य अतिथि के तौर पर मौजूद थे। श्री पचैरी ने एक ही मंच पर वस्त्र और फैशन जूलरी मेला एक साथ आयोजित करने के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि वस्त्र तथा फैशन ज्वैलरी एक दूसरे के पूरक हैं और दोनों के बुनियादी ग्राहक भी कमोबेश एक ही होते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि निकट भविष्य में ग्रेटर नोएडा देश का औद्योगिक केन्द्र बन जायेगा।
उल्लेखनीय है कि इस प्रदर्शनी में 250 प्रदर्शकों द्वारा हाई फैशन ज्वैलरी, कम बेशकीमती ज्वैलरी, स्टोल, स्कार्फ, शाॅल, हैंड बैग, क्लच पर्स, वाॅलेट, नेक टाई, बीड्स, स्टोन, हेड, हेयर एक्सेसरीज, फैंसी फैशन फुटवियर, टैटू और बिंदी का प्रदर्शन किया गया है। मेले में प्रदर्शित की जा रही डिजाइनें, समृद्ध पारंपरिक, आधुनिक तथा समकालीन होने के साथ ही बाजारों के अनुरूप उपलब्ध हैं। कई देशों के खरीददारों की इस तीन दिवसीय प्रदर्शनी में पहुंचने की सम्भावना है।
Posted on 15 July 2018 by admin
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने कहा है कि केंद्र और उत्तर प्रदेश में भाजपा की डबल इंजन सरकार होने के बावजूद कही विकास की परछाई तक नही दिखाई पड़ रही है। प्रदेश की प्रगति के झूठे दावों के विज्ञापन छपे देखकर भाजपा नेता भले खुश हो लें सच तो यह है कि जन साधारण इसे अपने साथ क्रूर मजाक के तौर पर ही ले रहा है। इसकी भरपाई के लिए ही प्रधानमंत्री जी का भी दौर दौरा तेज हो गया है।
भाजपा ने किसानों को सर्वाधिक उपेक्षित कर रखा है जब कि कृृषि प्रदेश की रीढ़ है। उत्तर प्रदेश के करोड़ों किसानों को कर्जमाफी के नाम पर धोखा दिया गया है। सरकार अंतर्राष्ट्रीय बाजार के दामों की तुलना में किसानों को 14 प्रतिशत कम दाम देती है। आर्गेनाइजेशन फार इकोनामिक कारपोरेशन ऐडं डेवलपमंेट की रिपोर्ट इस तथ्य को उजागर करती है कि यहां किसान को हर तरह से लूटा जा रहा है। अभी भाजपा की कंेद्र सरकार ने 14 फसलों के समर्थन मूल्य बढ़ाने मे स्वामीनाथन कमीशन की सिफारिशे हाशिए में डाल दी हैं। केंद्र सरकार ने अब तक उद्योगपतियों के तीन लाख करोड़ के कर्ज माफ कर जता दिया है कि उसकी प्राथमिकता में किसान नही, पूंजी घराने हंै।
किसानोें को लुभाने के लिए भाजपा चाहे जो प्रचार करे हकीकत यह है कि केंद्र में उसकी सरकार बनते ही हजारों किसानों की आत्महत्याएं भाजपा शासित राज्यों महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, पंजाब, हरियाणा, राजस्थान और उत्तर प्रदेश में हुई है। किसानों की आय वर्ष 2022 तक दुगुनी करने का वादा करने वाली सरकार यह नहीं बताती कि अभी किसान की क्या आय है?
किसानो को भाजपा सरकार फसल बीमा के नाम पर भी छल रही है। वास्तव मेें इस योजना का लाभ किसानों को नहीं बीमा कंपनियों को मिल रहा है। ऐसा नियम है कि किसी गांव के किसान को फसल खरीद होने पर तब तक मुआवजा राशि नही मिलेगी जब तक 70 फीसदी अन्य किसान उसी गांव के पीड़ित न हो। यह किसान के साथ छलावा नहीं तो और क्या है? भाजपा इसी तरह बहकाने की राजनीति करती है।
विडंबना यह है कि गांव-गरीब और किसान की बातें करने वाली भाजपा की कथनी करनी में जमीन आसमान का अंतर है। भाजपा राज में किसान को खाद, पानी, बिजली, कीटनाशक सभी पर ज्यादा खर्च करना पड़ता है और वह भी समय से सुलभ नहीं है। खेतिहर मजदूरों, कृषि में जुटे लोगों का पचास प्रतिशत है, भाजपा की सरकारों ने इनके लिए कुछ नहीं किया है। कृृषि अर्थव्यवस्था पर अब बहुराष्ट्रीय कंपनियों तथा बाजार का कब्जा हो गया है। प्रधानमंत्री जी देश की तस्वीर और तकदीर बदलने के वादे तो बडे़-बडे़ कर रहे हैं पर जमीन पर उनकी एक भी योजना लागू नहीं दिख रही है।
किसानोें को ऐसे तमाम भाजपा के नेता गुमराह करने में रात-दिन एक किए हुए जो कभी खेत की मेड़ तक भी नहीं गए। इससे बड़ी त्रासदी क्या हो सकती है कि भाजपा भी किसानों के हितों की बात करती है। जब कि इस सच्चाई से सभी अवगत हैं कि भाजपा का किसानों से कोई लेना-देना कभी नही रहा। भाजपा का यह कोई हिडन एजेण्डा नही है बल्कि खुल्लम-खुल्ला एजेण्डा है कि बिना विकास किए सिर्फ समाज में नफरत फैलाकर राजनीति करना है। जनता उनके हवाई दावों की हकीकत से उन्हें सन्् 2019 में परिचित करा देगी।
Posted on 15 July 2018 by admin
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने कल आजमगढ़ में जिस तरीके से पूर्वांचल एक्सप्रेस वे का दुबारा फीता काटकर उ0प्र0 के लोगों को ठगने व गुमराह करने का काम किया है वह बहुत ही निराशाजनक है। पूर्वांचल एक्सप्रेस वे को लेकर जिस तरीके से प्रधानमंत्री ने श्रेय लेने की कोशिश की वह उनकी अकर्मण्यता को दर्शाता है और जिस एक्सप्रेस वे को बलिया से लखनऊ 353 किमी का बनना था उसको 12 किमी घटाकर गाजीपुर से लखनऊ 341 किमी कर दिया गया और भारतीय जनता पार्टी के मुख्यमंत्री श्री आदित्यनाथ जी यह कहते हैं कि हमने एक्सप्रेस वे की लागत को 1600 करोड़ घटा दिया क्या यह सरासर जनमानस को धोखा देने वाली बात नहीं है कि एक्सप्रेस वे की दूरी को भी घटाया गया। क्या यही प्रधानमंत्री की उपलब्धि है।
आज अपने जुमलों की कड़ी में फिर प्रधानमंत्री ने बाण सागर डैम का लोकार्पण करते हुए जो कहा कि पिछले साठ सालों में सिंचाई और कृषि के लिए कुछ नहीं हुआ तो शायद प्रधानमंत्री जी को अपने हवाहवाई भाषण के साथ-साथ अध्ययन की भी जरूरत है कि आजादी के समय 1947 में मात्र 2 करोड़ हेक्टेयर भूमि की सिंचाई होती थी तत्पश्चात पं0 नेहरू, इन्दिरा गांधी और राजीव गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकारों ने नहरों का जाल बिछाया और 2014 तक 93 करोड़ हेक्टेयर भूमि पर सिंचाई हो रही थी और बहुत सारे डैम जिसमें कुछ प्रमुख भाखड़ा डैम, नागार्जुन सागर, सरदार सरेावर डैम, हीरा कुण्ड डैम, इन्दिरा सागर सहित लगभग 39 बड़े डैम का निर्माण किया।
उत्तर प्रदेश में पूर्व मुख्यमंत्री पं0 कमलापति त्रिपाठी व स्व0 वीर बहादुर सिंह जी के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश में खासतौर से पूर्वांचल में सिंचाई के लिए नहरों का जाल बिछाया गया।
श्रीमती इन्दिरा गांधी जी के नेतृत्व में कांग्रेस सरकार ने हरितक्रान्ति की शुरूआत की थी जिसके अन्तर्गत लघु सिंचाई गांव-गांव तक पहुंची। उसका परिणाम यह हुआ कि भारत में 1947 में 5 करोड़ मीट्रिक टन से कम अनाज उत्पादन था हम दूसरे देशों से खाने के लिए अनाज का आयात करते थे और 2014 आते-आते कांग्रेस सरकारों के नेतृत्व में भारत में खाद्य उत्पादन बढ़कर 26.5 मीट्रिक टन लगभग 5 गुना से ज्यादा हो गया और भारत दुनिया में प्रथम खाद्य निर्यातक देश बना। 2014 में 187000 करोड़ का खाद्य निर्यात किया गया।
प्रधानमंत्री जी उ0प्र0 आने के बाद यदि अपने वादों और जवाबदेही पर चर्चा करते कि 80 लाख करोड़ का काला धन विदेशों से वापस कब आयेगा? चार साल में 8 करोड़ रोजगार कहां हैं? 15-15 लाख खातों में कब जमा करवाया जायेगा? डीजल-पेट्रोल के दाम कब घटेंगे? दलितों पर अत्याचार कब रूकेगा? किसानों का कर्जा कब माफ होगा? तो शायद जनता को इन्साफ मिलता।
उत्तर प्रदेश में सड़कों के नाम पर झूठ की खेती और जनता को गुमराह किया जा रहाः-
उत्तर प्रदेश की भाजपा की सरकार ने जो वादा किया था कि हम सारी सड़कें गड्ढामुक्त करेंगे डेढ़ साल से ज्यादा गुजर जाने के बाद भी आज जनता गड्ढों में सड़क ढूंढ रही है। जिस तरीके से सड़कों के गड्ढामुक्ति के नाम पर भ्रष्टाचार हुआ।
शिकायत के बाद भी जांच नहीं करायी गयी, इससे स्पष्ट होता है कि सरकार अपनी नाकामी पर लीपापोती कर रही है। सड़कों का बुरा हाल है आज भी सड़कें जैसी की तैसी बदहाल स्थिति में बनी हुई हैं और सड़कों की मरम्मत के नाम पर भ्रष्टाचार जारी है जिसका प्रमाण बनारस में हुई ओवरब्रिज पुल दुर्घटना से पता चलता है कि आज भी उन 18 लोगों की दुखद मृत्यु के दोषारोपी ठेकेदार अज्ञात है।
क्या सरकार के उपमुख्यमंत्री व लोकनिर्माण मंत्री श्री केशव मौर्य जी प्रदेश में हुए उपचुनाव में भाजपा की हार का बदला जनता से ले रहे हैं।
Posted on 15 July 2018 by admin
लखनऊ, 15 जुलाई 2018, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के वरिष्ठ प्रचारक एवं उत्तरप्रदेश भाजपा में अवध, काशी, ब्रज, पक्छिम सहित पंजाब, हरियाणा, दिल्ली प्रदेशों में वर्षों संगठनमंत्री रहे, भाजपा के राष्ट्रीय प्रशिक्षण एवं आजीवन सहयोग निधि प्रमुख, उत्तरप्रदेश में देवरिया जिला के निवासी मा. रामप्यारे पाण्डेय जी के अकस्मात् स्वर्गवास पर भाजपा के पूर्व प्रदेश मंत्री वीरेन्द्र तिवारी ने दुःख एवं शोक-समवेदना व्यक्त की है, ईश्वर से उनकी आत्मा को शान्ति प्रदान करने की प्रार्थना, चरणो में शत्-शत् नमन एवं विनम्र भावांजलि अर्पित करते हुए श्री तिवारी ने कहा कि पूज्य राम प्यारे जी के निधन से समाज और राष्ट्र को अपूर्णनीय क्षति हुयी है।