Posted on 24 January 2015 by admin
समाजवादी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता श्री राजेन्द्र चैधरी ने कहा है कि राज्य विधान सभा क्षेत्र से विधान परिषद के सदस्यों के निर्वाचन के लिए हुए मतदान में समाजवादी पार्टी के सभी 8 प्रत्याशियों की जीत वस्तुतः लोकतांत्रिक और धर्मनिरपेक्ष ताकतों की जीत तथा सांप्रदायिक ताकतों की पराजय है। गत विधान सभा उपचुनावों की नतीजों से उन्होने सीख नहीं ली। अब उनको “मोदी लहर“ “मोदी मैजिक“जैसे भ्रमजाल से छुटकारा मिल जाना चाहिए। चुनाव नतीजों ने जता दिया है कि उत्तर प्रदेश में श्री अखिलेश यादव के कुशल नेतृत्व पर जनता ही नहीं जनप्रतिनिधियों का भी भरोसा कायम है।
विधान परिषद के इन चुनावो में भाजपा ने राजनीतिक माहौल बिगाड़ने की हरचन्द कोशिश की। अन्य दलों से विधायकों की खरीद फरोख्त और सन् 2017 के चुनाव में टिकट दिलाने का झांसा देकर भाजपा नेताओं ने लोकतंत्र की सभी मर्यादाओं का मजाक बनाया है। उनका यह आचरण राजनीतिक शिष्टाचार के भी खिलाफ है। इससे जाहिर है कि भाजपा की व्यापारी मानसिकता नहीं गई है।
विधान परिषद के चुनाव परिणामों ने यह साबित कर दिया है कि मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव के नेतृत्व में समाजवादी सरकार ने विकास का जो नया एजेण्डा लागू किया है, उससे प्रदेश में सर्वांगीण परिवर्तन की लहर पैदा हुई है। सभी दलों के विधायक विकास की इस प्रक्रिया के साक्षी है और उन्हें भी इसका लाभ मिल रहा है। इसलिए समाजवादी पार्टी के सभी 8 प्रत्याशियों को उनका मत मिला है और वे शानदार तरीके से विजयी घोषित हुए हैं।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 24 January 2015 by admin
महान क्रान्तिकारी ंएंव आजाद हिन्द फौज के कमाण्डर नेताजी सुभाष चन्द्र बोस जी का जन्म 23 जनवरी 1897 को हुआ था। इनके पिता जानकीनाथ बोस कोलकता हाईकोर्ट में प्रसिद्व वकील थे। पिता की इच्छा थी कि उनका पुत्र सुभाष चन्द्र बोस आई.सी.एस. की परीक्षा पास करके कलेक्टर बनें। परन्तु सुभाष चन्द्र बोस जी के मन में छात्र जीवन से ही देश को आजाद कराने की इच्छा जन्म ले चुकी थी। आई॰सी॰एस॰ की परीक्षा पास करने के उपरान्त भी उन्होने प्रशासनिक सेवा को ज्वाइन नहीं किया एंव देश सेवा का व्रत लेकर आजादी के आन्दोलन में कूद गये। ऐसे महान नेता की 118वीं जयन्ती आज भा.ज.पा कार्यालय, नवीन मार्केट, में घूमघाम से मनायी गयी। सांयकाल 5ः00 बजे कार्यकर्ताओं व नेताओं ने सुभाषचन्द्र बोस जी के चित्र पर पुष्पार्चन किया।
कार्यक्रम में प्रमुख रूप से सर्वश्री सुरेन्द्र मेैथानी, नवनिर्वाचित विधानपरिषद के सदस्य अरूण पाठक, सुनील बजाज, सत्येन्द्र पाण्डेय, दीपक ंिसह, आशुतोष त्रिपाठी, रवि प्रकांश ंिसह आदि थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 24 January 2015 by admin
नेता जी की जयंती पर अखिल भारतीय लोधी राजपूूत युवा मण्डल ने किया विचार गोष्ठी का आयोजन
अखिल भारतीय लोधी राजपूत युवा मण्डल ने सुभाष चन्द्र बोस की जयंती पश्चिमपुरी स्थित जिला कार्यालय मनाई। इस अवसर पर एक विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसके मुख्य अतिथि अ.भा.लोधी राजपूत युवा मण्डल के राष्ट्रीय अध्यक्ष आनन्द राजपूत रहे।
विचार गोष्ठी का शुभारंभ आनन्द राजपूत ने नेता जी के चित्र पर माल्र्यापण कर दीप प्रज्जवलित किया।
उन्होंने कहा कि देश के आज हर युवा की सोच नेताजी जैसी होनी चाहिए। उन्होंने जयहिन्द का नारा देकर एक अखण्ड भारत की स्थापना की थी। उनके उस सपने का वर्तमान में देश के प्रत्येक युवा को पूर्ण करने की जिम्मेदारी लेनी होगी, देश का युवा आज विश्व का भाग्यविधाता बनने की कावलियत रखता है। उन्होंने अपील की, कि लोधी समाज आदी रोटी खाये पर अपने बच्चों को शिक्षा जरूर दिलाये, जिससे कि भविष्य में वे देश व समाज की भविष्य निर्माण में अपनी भूमिका सुनिश्चित कर सकेें।
आनन्द राजपूत ने आगरा में हाईकोर्ट की खण्डपीठ की स्थापना समर्थन किया, उन्होंने कहा कि लोधी समाज का हर युवा खण्डपीठ के इस आंदोलन में आगरा के अधिवक्ताओं के साथ है, सड़क पर अ.भा. लोधी राजपूत युवा मण्डल का कार्यकर्ता अधिवक्ताओं के साथ आगरा व आस-पास के जनपदों में कंधे से कंधा मिलाकर साथ रहेगा।
सत्येन्द्र लोधी ने कहा कि लोधी समाज का हर युवा समाजिक बुराईयों को छोड़ नेता जी के बनाये हुए आर्दशों का अनुरशण करेगा।
गोष्ठी की अध्यक्षता रामदास वर्मा व संचालन डाॅ. सुनील राजपूत ने किया।
बैठक में प्रमुख रूप से नरेश भाई, मानसिंह, मोरध्वज, दीपक लोधी, पप्पू काका, वेदपाल, अचल सिंह, झम्मन सिंह, राजू, संजीव लोधी आदि प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 24 January 2015 by admin
भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के अग्रणी सेनानी, नेताजी सुभाष चन्द्र बोस की जयंती पर आज प्रदेश कंाग्रेस मुख्यालय में प्रदेश कंाग्रेस अध्यक्ष डाॅ0 निर्मल खत्री जी, पूर्व सांसद की अध्यक्षता में पुष्पांजलि सभा का आयोजन किया गया।
यह जानकारी देते हुए प्रदेश कंाग्रेस के इंचार्ज प्रवक्ता वीरेन्द्र मदान ने बताया कि पुष्पंाजलि सभा को सम्बोधित करते हुए प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डाॅ0 निर्मल खत्री ने कहा कि नेताजी ने भारत की आजादी के लिए अपना सर्वस्व न्यौछावर कर दिया। नेताजी ने आजाद हिन्द फौज का गठन कर क्विट इंडिया और तुम मुझे खून दो मैं तुम्हे आजादी दूंगा, जैसे नारे के साथ हिन्दुस्तान को आजादी दिलाने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका अदा की।
इस मौके पर पूर्व मंत्री श्री रामकृष्ण द्विवेदी, पूर्व मंत्री श्री सत्यदेव त्रिपाठी, पूर्व एमएलसी श्री राजेशपति त्रिपाठी, पूर्व एमएलसी श्री हरीश बाजपेयी, विधायक श्री विवेक कुमार सिंह एवं श्रीमती अराधना मिश्रा, सुश्री अनुसुइया शर्मा, पूर्व विधायक श्री श्यामकिशोर शुक्ल, श्री अमीर हैदर, श्री हनुमान त्रिपाठी, श्री प्रमोद सिंह, श्री ओंकारनाथ सिंह, चै0 सत्यवीर सिंह, डा0 लालती देवी, डा0 जियाराम वर्मा, श्री शिव पाण्डेय, श्री सुभाष श्रीवास्तव,श्री एस0जे0एस0 मक्कड़, श्री सुबोध श्रीवास्तव, श्रीमती शीला मिश्रा, डा0 पी0के0 त्यागी, श्री अमित श्रीवास्तव त्यागी, श्रीमती मनु सिंह, श्रीमती सुशीला शर्मा, श्रीमती अनन्ता तिवारी, मो0 नासिर ने भी भावभीनी पुष्पांजलि अर्पित की है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 23 January 2015 by admin
गणतंत्र दिवस पर भारतीय वायु सेना के विमान 60 से 500 मीटर की ऊंचाई पर उड़ान भरेंगे। पक्षिओं से उड़ानों की सुरक्षा के मद्देनजर भारतीय वायु सेना ने नागरिकों से अपील की है कि वो 26 जनवरी तक अपने आसपास के क्षेत्र को साफ रखें। खुले में खाने की चीजेंए कूड़ाए मृत पशु आदि ना फेंके।
नागरिकों से यह भी आग्रह किया गया है कि यदि वह अपने आस.पास कोई मृत पशु.पक्षी को देखते हैं तो तुरंत इसकी सूचना नजदीकी वायु सेना यूनिट या पुलिस स्टेशन को दें।
उड़ानों के मार्ग में संवेदनशील क्षेत्र हैं दृ पालमए नजफगढ़ नालाए तिहाड़ जेलए युद्ध स्मारक और राष्ट्रपति भवन से सटे इलाके।
दरअसल कम ऊंचाई पर उड़ान भरने वाले विमानों के लिए पक्षी बड़ा खतरा होते हैं। खुले में खाने.पीने की चीजें या मांस आदि दिखने पर पक्षी बड़ी संख्या में उसके आसपास मंडराने लगते हैं। ऐसी स्थिति ना पैदा होए इसके लिए भारतीय वायु सेना ने लोगों से खुले में कूड़ा और खाने.पाने की चीजें ना फेंकने की अपील की है। साथ ही आसपास किसी मृत पशु के नजर आने पर तुरंत वायु सेना यूनिट या पुलिस स्टेशन को सूचित करने का अनुरोध किया गया है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 23 January 2015 by admin
केंद्रीय गृह मंत्री श्री राजनाथ सिंह ने वेब पोर्टल श्माई सिक्योीरिटी डॉट इनश् शुरू करने का फैसला किया है जो सुरक्षा के क्षेत्र से संबंधित वेब अनुप्रयोगों में नवाचार के लिए मंच होगा। कोई भी व्यहक्तिए कंपनीए छात्रए एनजीओ आदि लोगों के लिए उपयोगी सुरक्षा अनुप्रयोगों को तैयार कर सकता है और इस पोर्टल पर डाल सकता है। इससे आम जनता को सुरक्षा से संबंधित अनुप्रयोग बड़ी मात्रा में उपलब्धह हो जाएंगे।
वेब पोर्टल श्माई सिक्योअरिटी डॉट इनश् को शुरू करने का मुख्यग उद्देश्य सुरक्षा संबंधी अनुप्रयोगों को विकसित करने में नवाचार को बढ़ावा देने के साथ.साथ लोगों को उनकी सुरक्षा जरूरतों के लिए सुरक्षित और विश्ववसनीय अनुप्रयोग प्रदान करना है। लोगों के पास अपनी आवश्य कता के लिए सबसे बेहतर अनुप्रयोग का चयन करने का विकल्पक होगा।
मंत्रालय इस वेबसाइट पर महिलाओंए बच्चोंेए वरिष्ठा नागरिकों और अन्यो कमजोर वर्गों के लिए आपात स्थिति में सुरक्षा उपलब्ध कराने के अनुप्रयोगों को प्राथमिकता देगा। इंटरनेट पर आपत्तिजनक सामग्री की निगरानी और साइबर अपराध रोकनेए उसकी निगरानी और पहचान के अन्यग अनुप्रयोगों को भी प्राथमिकता दी जाएगी। लोगों में सुरक्षा के बारे में जागरुकता बढ़ाने और उन्हें कानूनी प्रावधानों के बारे में शिक्षित करने तथा जरूरतमंद लोगों को कानूनी सेवा सुविधाएं उपलब्धन कराने के अनुप्रयोगों पर भी जोर दिया जाएगा।
आधारभूत जांच के मानदंड के अनुसार अनुप्रयोग विकसित करने वालों को क्लााउड आधारित वातावरण में उनके अनुप्रयोग लगाने के लिए हार्ड वेयर और मिडिल वेयर संशाधन की अनुमति दी जाएगी। मंत्रालय द्वारा गठित एक विशेषज्ञ दल उपयोगिताए नवाचारए जन स्वीमकृतिए प्रयुक्ति तकनीकए प्रबंधनए उन्नजयनए प्रतिक्रिया प्रक्रिया आदि जैसे मानदंडों पर अनुप्रयोगों का मूल्यां कन करेगा।
मंत्रालयए केवल सुरक्षा परीक्षण में सफल अनुप्रयोगों को ही अपनी वेबसाइट पर डालने की अनुमति देगा।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 23 January 2015 by admin
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति श्री बराक ओबामा 27 जनवरी 2015 को आकाशवाणी से प्रसारित होने वाले कार्यक्रम ष्मन की बातष् की अगली कड़ी में अपने विचार साझा करेंगे।
प्रधानमंत्री ने कहा. ष्इस महीने की श्मन की बातश् की कड़ी विशेष होगी क्यों कि हमारे गणतंत्र दिवस के अतिथि राष्ट्रपति बराक ओबामा और मैं एक साथ हमारे विचार साझा करेंगे।
मैं राष्ट्रपति बराक ओबामा के साथ विशेष ष्मन की बातष् कार्यक्रम का बेसब्री से इंतज़ार कर रहा हूंए जिसका प्रसारण 27 जनवरी को होगा ।
राष्ट्रपति बराक ओबामा के साथ ष्मन की बातष् आपकी भागीदारी के बिना पूरी नहीं होगी। 25 जनवरी तक रु।ेाव्इंउंडवकप का उपयोग कर अपने प्रश्नी भेजें।
इसके अतिरिक्तए डलळवअ ;मेरी सरकारद्ध पर भी प्रश्न भेज सकते है। विशेष रूप से तैयार किया गया ओपन फोरम ीजजचरूध्ध्उलहवअण्पदध्हतवनचपेेनमध्ुनमेजपवदे.वित.ेचमबपंस.उंदद.ाप.इंज.चतवहतंउउम.ूपजी.चउ.उवकप.ंदक.चतमेपकमदज.वइंउंध्ेीवू ष् पर आप अपने सवाल भेजें।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 23 January 2015 by admin
उपराष्ट्ररपति श्री एमण् हामिद अंसारी ने आज यहां एक समारोह में राष्ट्रीठय बहादुरी पुरस्का्र.2014 विजेता बच्चों के साथ बातचीत की। उन्हों ने बहादुर बच्चोंर तथा उनके अभिभावकों के साथ बातचीत की और उन्हें उनके बहादुरी के कारनामों के लिए प्रोत्सांहित किया। बच्चोंि ने उन्हेंु अपनी बहादुरी के कारनामे बताएं। उपराष्ट्र पति ने बहादुर बच्चोंस को उनके करियर में सफलता के लिए शुभकामनाएं दीं।
इस वर्ष 24 बच्चोंे को राष्ट्रीतय बहादुरी पुरस्काकर दिया गया हैए इनमें 4 बच्चोंह को मरणोपरांत पुरस्काार दिया गया। विजेताओं को पदकए प्रमाण पत्र और नकद पुरस्कायर दिया गया। वे गणतंत्र दिवस की परेड में भाग लेंगे।
भारतीय बाल कल्याण परिषद ;आईसीसीडब्यूे द्ध द्वारा 1957 में इन पुरस्कांरों की शुरुआत की गई। परिषद के प्रायोजित कार्यक्रम के तहत पुरस्का र प्राप्त करने वालों को उनकी स्कू।ली शिक्षा पूर्ण करने तक वित्तीरय सहायता प्रदान की जाएगी। कुछ राज्यक सरकारें भी वित्ती य सहायता मुहैया कराती हैं। ष्इंदिरा गांधी छात्रवृत्तिय योजनाष् के तहत आईसीसीडब्यूरे वित्तीाय सहायता ऐसे बालकों को मुहैया कराती है जो इंजीनियरिंग और चिकित्साी जैसे पेशेवर पाठ्यक्रम अपनाते हैं। अन्यल बालकों के लिए यह सहायता उनके स्नाततक तक दी जाती है।
भारत सरकार ने मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेजों तथा पॉलिटेकनिकों में कुछ सीटें पुरस्काकर प्राप्ती बच्चों के लिए सुरक्षित की हैं। बहादुरी पुरस्का रों के लिए चयन उच्चत अधिकार प्राप्तर समिति द्वारा किया जाता है और इसमें विभिन्नक मंत्रालयोंध्विभागोंए गैर.सरकारी संगठनों के प्रतिनिधि तथा भारतीय बाल कल्याकण परिषद के वरिष्ठ सदस्यर होते हैं।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 23 January 2015 by admin
म्यांमार के उप राष्ट्रपति डॉण् साई मौक खाम ने कल ;21 जनवरीए 2015द्ध राष्ट्रपति श्री प्रणब मुखर्जी से राष्ट्रपति भवन में मुलाकात की।
डॉण् खाम के साथ बातचीत के दौरान राष्ट्रपति ने कहा कि भारत म्यामांर के साथ अपने संबंधों को महत्व देता है। भारत और म्यांमार एक समान धार्मिकए भाषाई और जातीय संबंधों की विरासत को साझा करते हैं। म्यांमार अकेला आसियान देश है जिसकी सीमा भारत से लगती है। यह दक्षिण पूर्वी एशिया का प्रवेश द्वार भी है जहां भारत और बेहतर आर्थिक संबंध विकसित करने का इच्छुक है।
राष्ट्रपति ने कहा कि पिछले वर्षों में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों में काफी वृद्धि और विस्तार हुआ है। भारत म्यांमार के साथ सहयोग बढ़ाना चाहता है। क्षेत्र में समग्र विकास और खुशहाली के लिए पड़ोसी देशों से शांतिपूर्णए स्थायी और मजबूत आर्थिक संबंध बनाने को लेकर भारत प्रतिबद्ध है। म्यांमार द्वारा क्षेत्र में और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर बड़ी और अहम भूमिका निभाए जाने का भारत स्वागत करता है। उन्होंने म्यांमार सरकार को आसियान और पूर्वी एशिया सम्मेलनों की सफल अध्यक्षता के लिए बधाई भी दी।
राष्ट्रपति ने कहा कि भारत का हमेशा से विश्वास रहा है कि उसका विकास तब तक पूरा और स्थायी नहीं हो सकता जब तक उसके पड़ोसी देशों के साथ उपयोगी संबंध स्थापित ना हों। भारत सीमाई क्षेत्र के विकास के लिए एमओयू के तहत पांच सालों के लिए सालाना 5 मिलियन अमेरिकी डॉलर की राशि की सहायता देने के लिए प्रतिबद्ध है। भारत पहले ही म्यांमार को 4ण्5 मिलियन अमेरिकी डॉलर जारी कर चुका है। राष्ट्रपति ने कहा कि कलादान परियोजना और कनेक्टिविटी प्रोजक्टों समेत सभी द्विपक्षीय विकास परियोजनाओं को तेजी से पूरा करने के लिए प्रयास जारी हैं।
राष्ट्रपति ने कहा कि भारत.म्यांमार द्विपक्षीय संबंध और मजबूत हो रहे हैं तथा भारत वर्तमान में म्यांमार का चौथा सबसे बड़ा साझेदार है। व्यापारिक संतुलन भी म्यांमार के पक्ष में है। लेकिन इन व्यापारिक संबंधों में दोनों देशों की नजदीकियां उम्मीद के मुताबिक नहीं दिखतीं। भारतीय कंपनियां म्यांमार में ऊर्जाए बिजलीए विनिर्माणए बैंकिंग और बीमा आदि क्षेत्रों में अपनी विशेषज्ञता और संसाधनों का निवेश करने के लिए उत्सुक हैं।
राष्ट्रपति के बयान की प्रतिक्रिया में म्यांमार के राष्ट्रपति ने कहा कि वह बहुत लंबे समय से भारत आना चाह रहे थे। उन्होंने कहा कि दोनों देशों के बीच हमेशा से सौहार्दपूर्ण संबंध रहे हैं और दोनों ने स्वतंत्रता संग्राम के समय एक.दूसरे का साथ दिया है। म्यांमार सरकार विभिन्न क्षेत्रोंए विशेषतौर पर क्षमता निर्माणए स्वास्थ्य और विभिन्न परियोजनाओं के लिए कर्ज देनेए में भारत के सहयोग की आभारी है। उन्होंने राष्ट्रपति से अनुरोध किया कि वह भारतीय कारोबारियों को म्यामांर में अवसर तलाशने के लिए प्रोत्साहित करें।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
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Posted on 23 January 2015 by admin
वीएनआईद्ध दृश्य एक . चहल.पहल भरी महानगर की एक सुबह। घर में गजल गायक जगजीत सिंह की गायी गजल का रिकार्ड बज रहा हैए ष्सूरज ठेकेदार सा सबको बांटे कामष् भाई को कॉलेज के लिये तैयार होते देख निशा लगातार सोच रही हैए आखिर मैं क्यों नही जाती कॉलेजघ् मां उसे जल्दी से भाई का कॉलेज बैग लाने के लिये कहती हैए अनमनी सी वह थके कदमों से जाती है और एक फीकी सी मुस्कान के साथ बैग भाई को थमा देती हैए और इस सारे मंजर को झाड़ू लगाते.लगाते ध्यान से देख रही हैए घर में सफाई का काम करने वाली छोटीए यह सब देख उसे अपने घर की सुबह याद आ रही है जब मां ने छोटे भाई को तो तैयार हो स्कूल जाने के लिये कहा और उसे जल्दी से घर का काम निबटा कर मेम साब के यहां सफाई के लिये भेज दिया। निशा और छोटी दोनों समाज के अलग.अलग तबकों की बेटियांए लेकिन दोनों के मन में सवाल एक से. इस सूरज ने उन्हें अपने भाईयों के तरह पढ़ने का काम क्यों नही दिया। निशा को कॉलेज की पढाई की इजाजत नहीं दी गयी और छोटी के नन्हे कदमों को स्कूल की तरफ कदम बढाने ही नही दिये गये और वो लाचार और वह बस लालची नजरों से आते.जाते स्कूल जाते बच्चों को देखती रहीण्ण्ण्
दृश्य. दोए हरियाणा का एक छोटा सा गांवए दूर केरल से इस गांव मे ष्ब्याहष् के नाम पर लाई गई उषा अपनी अजन्मी बिटिया की जिंदगी को लेकर पथराई सी आखों से काम तो खेत में कर रही है लेकिन मन में बंवडर मचा हुआ हैए सास और पति ने धमकी दी है अगर इस बार भी लड़की हुई तो इस बार भी वही हश्र होगा जो पिछली बार हुआ था। उस वक्त एक टेस्ट में उसके गर्भ में बिटिया का पता लगते ही सास और पति ने उसे गर्भ में ही मरवा दिया थाए लेकिन उषा इस बार किसी भी कीमत पर अजन्मी बिटिया की जान बचाना चाहती हैए चाहती हैए सास और पति से चीख.चीख कर पूछना कि इस बार तो ष्शादीष् के नाम पर लड़की लाने केरल जाना पड़ाए लेकिन अगर लड़कियों की जिदंगियों को यूं ही खतम करते रहे तो कहीं भी लड़की नहीं मिलेगीए लड़की नहीं रही तो संसार कैसे चलेगाए लेकिन सवालों का बंवंडर उसके मन में ही उमड़.घुमड़ रहा हैए हिरणी सी भयभीत वह लगातर सोच तो रही है लेकिन शब्द जबान पर आ ही नहीं पा रहे हैंण्ण्ण्
जीए ये भद्दी और घृणित सच्चाई आज की हैए और हमारे आस पास की ही है। भले ही हम सब यह सुनते हुए बड़े हुए हों कि स्त्री देवी हैए बेटियां पूजनीय हैंए लेकिन अब भी काफी जगह चाहे महानगर हो या सुदूरवर्ती गांवए सच्चाई कुछ और ही है। बेटियों को पूजने की बात कहने वाले हमारे समाज में आज भी बड़ी संख्या में बेटियां मां के गर्भ में ही मारी जाने लगीं हैं। कितने ही लड़कियां स्कूल जाने को तरसती हैंए स्कूल की इमारत में जाना उनकी हसरत ही रह जाती है। अब केन्द्र सरकार ने इस बदनुमा दाग से अधिक आक्रमकता से निबटने का फैसला करते हुए ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् को एक आंदोलन की तरह चलाने का मन बनाते हुए इसे अपने अन्य महत्वाकांक्षी अभियान के तरह चलाने की घोषणा की है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22जनवरी को हरियाणा के पानीपत से इस अभियान या यूं कहें इस आंदोलन का शंखनाद होगा। यह योजना प्रारंभ में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के ऐसे 100 चुनिंदा जिलों में एक राष्ट्रीय अभियान के जरिए कार्यान्वित की जाएगीए जहां बालक.बालिकाओं का अनुपात बेहद कम है। खास बात यह है कि ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् योजना का शुभारंभ हरियाणा से ही इसलिए किया जा रहा है क्योंकि इसी राज्य में बालक.बालिका अनुपात सबसे कम यानी सर्वाधिक खराब है। ष्कन्या भ्रूण हत्याष् जैसी घटनाएं बदस्तूर जारी हैं और इस पाप के लिये कोई और नहींए बल्कि इन अजन्मी बेटियों के नासमझ माता.पिताए इनके अपने ही जिम्मेदार हैं। कुछ चंद सिक्कों की खातिर डॉक्टरी के नाम पर कसाई का काम कर रहे शिक्षितए झोला छाप डॉक्टरए घरेलू तरीकों से इन अजन्मी बच्चियों की जान ली जा रही है। कानून के बावजूद गांवए देहात और छोटे कस्बोंए जगह.जगह ऐसे विज्ञापन आम नजर आते हैं कि हमारी मशीनें फट से बता देंगी कि गर्भ में लड़का है या लड़की और हम सब जानते ही हैं कि गर्भ में बिटिया का पता लगने पर उस काम.तमाम करने के इंतजाम भी वहां हैं।
झांसी की रानीए इंदिरा गांधीए कल्पना चावलाए किरण बेदीए बच्छेन्द्री पॉलए महादेवी वर्माए इसरो की महिला वैज्ञानिकए ऐश्वर्या रॉय बच्चनए किरण शॉ मज़ुमदारए फातिमा बीबीए सानिया मिर्जाएसानिया नेहवालए चंदा कोचर और लता मंगेशकर जैसी भारतीय समाज को गर्व से भर देने वाली महिलाओं के बावजूद यह स्थिति बेहद दुखदण्ण्ण् इस बात को शायद लोग भूल जाते हैं कि बेटियां भी अपने माता.पिता का नाम रोशन करती हैं और वक्त आने परए खासकर बुढ़ापे में उनका सहारा भी बन सकती हैं। निष्ठुर सोच वाले ये भी नहीं समझ पा रहे हैं कि अगर बेटियां कम हो गईं तो वे अपने बेटों के लिए बहनें और बहुएं कहां से लाएंगे। सरकारीए गैर सरकारी तौर पर इस घृणित बुराई को रोकने के प्रयासो के बावजूद कन्या भ्रूण हत्याएं हो रही हैं। अब केन्द्र सरकार ने इस बदनुमा दाग से अधिक आक्रमकता से निबटने का फैसला करते हुए ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् को अपने अन्य महत्वाकांक्षी अभियान के तरह चलाने की घोषणा की है। जिसका आगाज खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 22 जनवरी को हरियाणा के पानीपत से करेंगे। यह योजना प्रारंभ में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के ऐसे 100 चुनिंदा जिलों में एक राष्ट्रीय अभियान के जरिए कार्यान्वित की जाएगीए जहां बालक.बालिकाओं का अनुपात बेहद कम है। खास बात यह है कि ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् योजना का शुभारंभ हरियाणा से ही इसलिए किया जा रहा है क्योंकि इसी राज्य में बालक.बालिका अनुपात सबसे कम यानी सर्वाधिक खराब है।
इस योजना का मुख्य उद्देश्य ष्बालक.बालिकाष् अनुपात बढ़ाना है। बालक.बालिका अनुपात ;सीएसआरद्ध से यह पता चलता है कि किसी भी राज्य या शहर अथवा देश में हर 1000 बालकों के अनुपात में कितनी बालिकाएं हैं। एक दुखद सच यह है कि कन्या भ्रूण हत्या की निर्मम घटनाओं के चलते भारत में यह अनुपात लगातार घटता जा रहा है। वर्ष 1991 में हर 1000 बालकों पर 945 बालिकाएं थींए लेकिन वर्ष 2011 में हर 1000 बालकों पर 918 बालिकाएं ही थीं। आंकड़े बयान करते है कि इस दौरान हरियाणा में सबसे कम यानि 877 महिलायें जबकि केरल में सर्वाधिक यानि 1000 के पीछे 1084 महिलायें हैं। आधिकारिक सूत्रो के अनुसार इस स्थिति में सुधार लाने के लिये मोदी सरकार के अन्य महत्वाकांक्षी कार्यक्रम . ष्स्वच्छता अभियानष्ए ष्नमामि गंगेष् और ष्मेक इन इंडियाष् अभियान की तरह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बेटियों को उनका हक दिलाने के लिए यह अभियान शुरू कर रहे हैं ताकि उन के साथ भेदभाव खत्म करने और कन्या भ्रूण हत्या रोकने का ठीक दिशा में तेजी तथा प्रभावी कदम उठा कर बेहतर आज और कल बनाया जा सके। सूत्र बताते है कि अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस पर उन्होनें बेटियों के साथ भेदभाव खत्म करने और समानता का माहौल बनाने की अपील करते हुए इस बारे में लोगों से सुझाव मांगे थे। इन सुझावों के आधार पर सरकार ने ष्बेटी बचाओ.बेटी बढ़ाओष्अभियान को अंतिम रूप दिया है। यह योजना महिला एवं बाल विकास मंत्रालयए मानव संसाधन विकास मंत्रालय और स्वास्थ्य मंत्रालय की संयुक्त पहल है। महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के अनुसार यह योजना लड़कियों और महिलाओं के अधिकारों का सम्मान करने और उन्हें सुरक्षा मयस्सर करने पर भी केंद्रित होगी। इस दुनिया में अपना पहला कदम रखने के लिए तैयार बच्चियों के जीवन की रक्षा करना और उन्हें शिक्षित कर अपनी जिंदगी में आने वाली तमाम चुनौतियों का सामना करने लायक बनाना ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् योजना इस योजना का उद्देश्य है। देश भर में जन अभियान के माध्यम से सामाजिक मानसिकता को बदल कर और इस विषम विषय पर जागरूकता पैदा करके इस योजना को सफल बनाने की कोशिश की जाएगी। इसमें लड़कियों एवं महिलाओं से किए जा रहे भेदभाव को समाप्त करने पर भी जोर दिया जाएगा। बालक.बालिका अनुपात में बेहतरी को सुशासन के एक प्रमुख विकास संकेतक के तौर पर शामिल करना भी इसका एक उद्देश्य है। इस योजना की मुख्य रणनीतियों में सामाजिक लामबंदी एवं संवाद अभियान को बढ़ावा देना भी शामिल है ताकि सामाजिक मानदंडों में बदलाव लाने के साथ.साथ बालिकाओं को समान महत्व दिलाया जा सके।
सूत्रों ने बताया कि हरियाणा के पानीपत से शुरू होने वाले इस अभियान में सभी प्रदेश और केंद्र शासित राज्यों के चुनिंदा शहरों को शामिल किया जाएगा। ष्बेटी बचाओ.बेटी बढ़ाओष्अभियान की शुरुआत से पहले केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्रलय ने पानीपत में इस विषय पर दो दिन की कार्यशाला भी आयोजित की है। इस कार्यशाला में हिस्सा लेने के लिए गुजरातए राजस्थान और पश्चिम बंगाल की महिला मुख्यमंत्रियों को आमंत्रित किया गया है। कार्यशाला में प्रधानमंत्री कार्यालय अभियान से जुड़े तीनो केन्द्रीय मंत्रालयो के केन्द्रीय मंत्रीएहरियाणा के मुख्य मंत्री सहित और नीति आयोग के अधिकारी भी हिस्सा लेंगे।
महिला पुरूष अनुपात दर की निराशाजनक तस्वीर के बाद अब जरा जानें महिला साक्षरता की तस्वीरए वहां भी तस्वीर निराशाजनक है। 2011 मे महिला साक्षरता दर 65ण्46ः तथा पुरुष साक्षरता दर 82ण्14ः दर्ज की गयी है। बिहार में यह दर सबसे कम यानि 46ण्40ः उत्तर प्रदेश में 51ण्36ःए हरियाणा में 56ण्91ः तथा राजस्थान में 47ण्76ः है। खुशी की बात यह है कि केरल में महिला साक्षरता दर 100 यानि शत प्रतिशत है। सूत्रों के अनुसार इस योजना की मुख्य रणनीतियों में सामाजिक लामबंदी एवं संवाद अभियान को बढ़ावा देना भी शामिल है ताकि सामाजिक मानदंडों में बदलाव लाने के साथ.साथ बालिकाओं को समान महत्व दिलाया जा सके।
ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् अभियान के मुख्य बिंदु रू
ऽ सभी ग्राम पंचायतों में गुड्डा.गुड्डी बोर्ड लगाए जाएंगे। हर महीने इस बोर्ड में संबंधित गांव के बालक.बालिका अनुपात को दर्शाया जाएगा।
ऽ ग्राम पंचायत हर लड़की का जन्म होने पर उसके परिवार को तोहफा भेजेगी।
ऽ ग्राम पंचायत साल में कम.से.कम एक दर्जन लड़कियों का जन्मदिन मनाएगी।
ऽ सभी ग्राम पंचायतों में लोगों को ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् की शपथ दिलाई जाएगी।
ऽ किसी गांव में अगर बालक.बालिका अनुपात बढ़ता हैए तो वहां की ग्राम पंचायत को सम्मानित किया जाएगा।
ऽ बाल विवाह के लिए ग्राम प्रधान को जिम्मेदार माना जाएगा और उसके खिलाफ कार्रवाई होगी।
ऽ कन्या भ्रूण हत्या रोकने के बारे में जागरुकता फैलाने के लिए स्थानीय स्कूलों और कॉलेजों को अभियान में शामिल किया जाएगा।
ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् कार्यक्रम के तहत 100 जिलों के चयनध्पहचान का तरीकाध्नियम कुछ इस तरह से किया जाएगा रू
कद्धण् 23 राज्यों ध्केंद्र शासित प्रदेशों में 918 के राष्ट्रीय औसत बालक.बालिका अनुपात वाले 87 जिले चुने जाएंगे।
खद्धण् 918 के राष्ट्रीय औसत बालक.बालिका अनुपात से ज्यादाए लेकिन गिरावट का रूझान दर्शा रहे 8 जिले चुने जाएंगे।
गद्धण् इसी तरह 918 के राष्ट्रीय औसत बालक.बालिका अनुपात से ज्यादाए लेकिन इसमें बढ़ोतरी का रूझान वाले 5 जिले चुने जाएंगे। माना यह जा रहा है कि इससे देश के अन्य भागों में स्थित जिले भी इन चुनिंदा जिलों से सीख ले सकेंगे।
इस अभियान के तहत सम्बद्ध तीनो मंत्रालयो की भूमिका भी तय की गयी है.
महिला एवं बाल विकास मंत्रालय रू आंगनवाड़ी केंद्रों पर गर्भावस्था के पंजीकरण को प्रोत्साहित करनाए भागीदारों को प्रशिक्षित करनाए सामुदायिक लामबंदी और आपसी संवाद को बढ़ावा देनाएबालक.बालिका अनुपात को कम करने के अभियान में जुटे ष्चैंपियनोंष् को शामिल करनाए अग्रिम मोर्चे पर काम कर रहे कार्यकर्ताओं एवं संस्थानों को मान्यता और पुरस्कार देना।
स्वास्थय एवं परिवार कल्याण मंत्रालय रू गर्भधारण पूर्व और जन्म पूर्व जांच तकनीकों पर कड़ी नजर रखनाए अस्पतालों में प्रसव को बढ़ावा देनाए जन्म पंजीकरणए निगरानी समितियों का गठन करना।
मानव संसाधन विकास मंत्रालय रू लड़कियों का पंजीकरणए स्कूलों में लड़कियों की ड्रॉप आउट दर में कमी लानाए विद्यालयों में लड़कियों के अनुरूप मानक बनानाए शिक्षा के अधिकार अधिनियम पर सख्ती से अमल करनाए स्कूलों में लड़कियों के लिए शौचालय बनाने पर विशेष ध्यान देना।
ष्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओष् यानी बेटियों का उनका हक दिलाने वाला अभियान निश्चित रूप से एक जनहित और राष्ट्रहित क्रांति है। सरकारी सूत्रों के अनुसार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बालिकाओं के साथ भेदभाव खत्म करने और कन्या भ्रूण हत्या रोकने का आह्वान कर चुके हैं। प्रधानमंत्री का यह भी कहना है कि अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस पर हमें अपनी बेटियों की उपलब्धियों का जश्न मनाना चाहिए क्योंकि वे पढ़ाई से लेकर खेल के मैदान तक बेहतरीन प्रदर्शन कर रही हैं। प्रधानमंत्री ने कन्या भ्रूण हत्या को समाप्त करने पर बल देते हुए कहा कि इसे बहुत ही शर्मनाक और गंभीर चिंता का विषय बताया तथा इस बुराई को समाप्त करने के लिए मिलकर काम करने की अपील की है।
बालिका के सशक्तिकरण पर केंद्रित महत्वपूर्ण योजना श्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओश् पर केंद्र सरकार 100 करोड़ रुपये खर्च करेगी। इसका उल्लेख वित्त वर्ष 2014.15 के बजट में किया गया है।
हालांकिए श्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओश् योजना के आलोचकों की भी कोई कमी नहीं है। इन लोगों का कहना है कि इस योजना को सफल बनाने के लिए मामूली रकम के बजाय भारी.भरकम धन का आवंटन किया जाना चाहिए। इसके साथ ही कन्या भ्रूण हत्या करने वालों पर ज्यादा.से.ज्यादा सख्ती बरतने की भी जरूरत हैए ताकि अन्य लोगों के मन में भय पैदा हो। जाहिर हैएइसके लिए एक कड़ा कानून बनाना होगा। इसी तरह गर्भधारण पूर्व और जन्म पूर्व जांच तकनीकों का धड़ल्ले से इस्तेमाल करने वाले डॉक्टरों पर भी कड़ाई से लगाम कसने की जरूरत है। इसके अलावा स्कूली शिक्षा के दौरान ही बालिकाओं के साथ समानता का भाव बालकों के जेहन में पैदा करने की कोशिश की जानी चाहिएए तभी आगे चलकर वे उनके साथ भेदभाव करने से बच सकेंगे। यही नहींए इसका फायदा उनकी नई पीढ़ी को भी मिलेगा।
इनका कहना है कि बालिकाओं के खिलाफ हिंसा की बढ़ती घटनाओं के मद्देनजर निश्चित तौर पर सुनियोजित तरीके से कदम उठाने पड़ेंगे। पैसे की भारी किल्लत के साथ अन्य कष्ट उठाकर भी अपनी बेटियों की पढ़ाई के साथ.साथ उन्हें आर्थिक दृष्टि से सक्षम बनाने वाले माता.पिता को सार्वजनिक तौर पर सम्मानित करने की भी आवश्यकता हैए ताकि वे समाज के अन्य लोगों के लिए नजीर बन सकें और संकुचित सोच वाले लोग उनसे प्रेरणा ले सकें। इसके साथ ही बहादुरी के कारनामे दिखाने वाली लड़कियों को भी सार्वजनिक तौर पर सम्मानित करने की आवश्यकता है। इसके साथ ही बालिकाओं एवं महिलाओं के स्वास्थ्य से जुड़े मुद्दों पर गौर करने और उनके लिए विशेष सरकारी एवं निजी अस्पताल खोले जाने की भी जरूरत है। इसी तरह नई पीढ़ी का मार्गदर्शन भी अभी से ही करना जरूरी है। इन सब का भी सकारात्मक असर हमारे समाज पर अवश्य पड़ेगा और आगे चलकर लड़कियों एवं महिलाओं के साथ समानता का भाव लोगों के मन में पैदा होगा। उम्मीद की जानी चाहिये कि श्बेटी बचाओए बेटी पढ़ाओश् के प्रभावी अभियान से सूरज ठेकेदार सा निशा और छोटी को भी पढ़ने का काम सौंपेगा और उषा की अजन्मी बिटिया सूरज की रोशनी देखने इस दुनिया में कदम रखेगी और पढ़.लिख कर सूरज ठेकेदार उसे भी कोई अच्छा काम काज सौंपेगा। आमीनण्ण्ण्
’शोभना जैन ऑनलाइन हिंदी न्यूज़ एंड फीचर सर्विसेजए विज़न न्यूज़ ऑफ़ इंडिया की एडिटर.इन.चीफ हैं
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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