माननीया मुख्यमंत्री जी ने ‘‘उ0प्र0 मुख्यमंत्री महामाया गरीब आर्थिक मद्द योजना’’ के तहत 10 लाभार्थियों को स्वीकृत पत्र तथा बैंक की पासबुक देकर योजना का शुभारम्भ किया
प्रथम चरण में 31 लाख गरीबों को लाभान्वित किया जा रहा है बाकी परिवारों को अगले चरण में आच्छादित किया जायेगा
योजना में 50 फीसदी लाभार्थी एस0सी0 तथा एस0टी0 के होंगे
योजना में बी0पी0एल0, अन्त्योदय, वृद्धावस्था पेंशन, विकलांग पेंशन तथा विधवा पेंशन योजनाओं के लाभ से वंचित सभी गरीबों को प्रतिमाह 300 रूपये की धनराशि मिलेगी
उत्तर प्रदेश की माननीया मुख्यमंत्री सुश्री मायावती जी ने आज यहां उ0प्र0 मुख्यमंत्री महामाया गरीब आर्थिक मद्द योजना के अन्तर्गत चयनित लखन जनपद के 10 लाभार्थी परिवारों की महिला मुखिया को स्वीकृति पत्र तथा उनके खाते में छमाही किस्त की धनराशि 1800 रूपये की धनराशियुक्त बैंक की पासबुक देकर, इस योजना का पूरे प्रदेश में शुभारम्भ किया। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को स्पष्ट रूप से निर्देश दिये कि किसी भी दशा में कोई भी गरीब व्यक्ति इस योजना से छूटने न पाये। उन्होंने कहा कि इस योजना के प्रथम चरण में 31 लाख गरीबों को लाभान्वित किया जा रहा है और बाकी बचे परिवारों को अगले चरण में लाभान्वित किया जायेगा। इसमें कम से कम 50 फीसदी लाभार्थी अनुसूचित जाति तथा जनजाति के होंगे।
उल्लेखनीय है कि इस योजना का शुभारम्भ माननीया मुख्यमंत्री जी द्वारा 1 अक्टूबर, 2010 से की जानी थी, लेकिन पंचायत चुनावों के कारण इसे एक महीने आगे बढ़ाना पड़ा और आज 1 नवम्बर को इस योजना की शुरूआत की जा रही है। जनपद लखीमपुरखीरी तथा एटा में उपचुनाव होने के कारण आदर्श आचार संहिता लगी हुई है, जिसके कारण इस योजना के लाभार्थियों के खाते में धनराशि आचार संहिता समाप्त होने के बाद हस्तान्तरित की जायेगी।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने अपने सरकारी आवास पर इस योजना के शुभारम्भ के अवसर पर आयोजित समारोह में जिन 10 लाभार्थियों को पासबुक वितरित किया, उनमें लखन की श्रीमती रामकली, श्रीमती आशा देवी, श्रीमती रानी देवी, श्रीमती सुमिरता, श्रीमती रामेश्वरी, श्रीमती जहरून्निशा, श्रीमती फूलमती, श्रीमती कान्ती, श्रीमती जगरानी तथा श्रीमती शशि शामिल हैं। इस मौके पर अपने सम्बोधन में उन्होंने कहा कि प्रदेश के गरीब लोगों को सीधे आर्थिक मदद पहुॅंचाने के लिये राज्य सरकार ने अपने सीमित संसाधनों से इस योजना का यािन्वयन आज से प्रारम्भ कर दिया है, जिसके तहत पहले चरण में प्रदेश के लगभग 31 लाख गरीब परिवारों को सीधा लाभ पहुंचेगा और योजना के अगले चरण में बाकी बचे हुए गरीब परिवारों को लाभान्वित किया जायेगा। इसके अलावा महिलाओं को सशक्त बनाने के उद्देश्य से इस योजना के तहत लाभार्थी के तौर पर मुख्य रूप से परिवार की महिला मुखिया को चयनित करने की व्यवस्था की गयी है।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उनकी सरकार की यह कोशिश है कि 300 रूपये प्रतिमाह की नकद धनराशि उपलब्ध कराने वाली इस योजना के माध्यम से हर गरीब परिवार अपनी रोजमर्रा की सभी जरूरतों को कुछ हद तक पूरा कर सके। उन्होंने कहा कि भारत सरकार द्वारा प्रदेश में गरीबी की रेखा के नीचे जीवन-यापन करने वाले लगभग एक करोड़ सात लाख परिवारों को ही अब तक खाद्यान्न सस्ती दरों पर दिये जाने की संख्या निर्धारित की गयी है, जबकि उत्तर प्रदेश में गरीबी की रेखा के नीचे के जीवन-यापन करने वालों की संख्या एक करोड़ से कहीं अधिक है, जैसा कि विभिन्न सरकारी ऑकड़ों से यह बात साफ हो गयी है।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उनकी सरकार के इस प्रयास से एक बात और साफ हो गयी है कि केन्द्र सरकार द्वारा गरीबी रेखा के नीचे रहने वाले लोगों अर्थात् बी0पी0एल0 लाभार्थियों की संख्या को न बढ़ाने के पीछे कहीं न कहीं केन्द्र सरकार का गरीबों के प्रति उपेक्षापूर्ण व्यवहार साफ तौर पर झलकता है। उन्होंने आगे कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा बी0पी0एल कार्ड धारकों को सस्ता खाद्यान्न देते समय 300 रूपये से भी कम की धनराशि सब्सिडी के रूप में दी जाती है। अर्थात् केन्द्र सरकार बी0पी0एल कार्ड धारकों को सस्ता खाद्यान्न देते समय 300 रूपये से कम की ही मदद देता है। इसलिए यदि प्रदेश सरकार अपने सीमित संसाधनों के बावजूद प्रदेश में निवास करने वाले गरीबी रेखा के नीचे के सभी परिवारों को लाभान्वित कर सकती है, तो केन्द्र सरकार के द्वारा धन की कमी बता कर गरीब परिवारों को किसी भी प्रकार की मदद न देना निहायत दुर्भाग्यपूर्ण है।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने कहा कि इसी वर्ष 15 जनवरी को जब उ0प्र0 मुख्यमंत्री महामाया गरीब आर्थिक मदद योजना की घोषणा उनकी सरकार द्वारा की गयी, तब जाकर केन्द्र सरकार को थोड़ा होश आया और अब प्रस्तावित खाद्य सुरक्षा बिल के माध्यम से और अधिक गरीब लोगों को शामिल किया जाना केन्द्र सरकार की मजबूरी बन गयी है। इतना ही नहीं, बल्कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा गरीबों को सीधे आर्थिक मदद देने के लिए लागू की गयी इस योजना के चलते देशभर के गरीबों को सीधे आर्थिक लाभ देना सभी सरकारों की एक प्रकार से मजबूरी हो जायेगी और इस प्रकार देश के सभी भागों में निवास करने वाले गरीब लोग अन्तत: सीधे तौर पर लाभान्वित हो सकेंगे। उन्होंने कहा कि मई 2007 में जब उनकी पूर्ण बहुमत की सरकार बनी, तब प्रदेश में रहने वाले सभी गरीब लोगों की कठिनाइयों को दूर करने तथा उन्हें सीधे लाभान्वित करने के लिये एक ठोस योजना तैयार करने का संकल्प लिया था।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने वर्ष 2007-08 में राज्य सरकार द्वारा कराये गये बी0पी0एल0 कार्ड धारकों के व्यापक सर्वेक्षण का उल्लेख करते हुए कहा कि इस सर्वेक्षण से यह बात उभर कर सामने आयी कि प्रदेश में भारी संख्या में ऐसे गरीब परिवार भी हैं, जो बी0पी0एल0 सूची में शामिल होने से छूट गये हैं और ऐसे लाखों बी0पी0एल0 परिवारों को भी सस्ते दर पर गेहूॅं और चावल दिये जाने के लिये उन्होंने अपने स्तर से केन्द्र सरकार से कई बार लिखित अनुरोध किया है। लेकिन केन्द्र सरकार ने इस संख्या में बढ़ोत्तरी करने से साफ मना कर दिया और उनकी सरकार द्वारा इस बारे में किये गये अनुरोध को ठुकरा दिया। उन्होंने कहा कि इसलिये उनकी सरकार ने मजबूर होकर, अपने सीमित संसाधनों के बावजूद, अन्य खर्चों में कुछ कटौती करके कई अन्य जनकल्याणकारी योजनाओं के साथ-साथ उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री महामाया गरीब आर्थिक मदद योजना की शुरूआत की।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने कहा कि इस महत्वपूर्ण योजना को प्रभावी एवं पारदर्शी ढंग से लागू करने के लिए राज्य सरकार द्वारा लाभार्थियों के चयन के लिये हर ग्राम सभा में खुली बैठकें आयोजित करने के निर्देश दिए गए थे और चयन प्रक्रिया साफ-सुथरे और ईमानदार तरीके से सम्पन्न हो, इसलिए इन बैठकों में उपजिलाधिकारी/जनपद स्तरीय अधिकारी की मौजूदगी को अनिवार्य किया गया था। उन्होंने कहा कि इतना ही नहीं, इस प्रकार चयनित किए गए लोगों की सूची हर ग्राम सभा में प्रकाशित की गयी और सूची प्रकाशित होने के एक माह के अंदर लोगों को सूची के बारे में अपनी आपत्ति दर्ज करने का मौका भी दिया गया। उन्होंने कहा कि इन आपत्तियों को सुनने और उनका परीक्षण करने के बाद ही सम्बन्धित जिले के जिलाधिकारी द्वारा योजना के लाभार्थियों की सूची को अंतिम रूप दिया गया।
माननीया मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उनकी सरकार हर मामले में सर्वजन हिताय व सर्वजन सुखाय की नीति पर चलकर, सर्वसमाज के सभी वर्गों की उम्मीदों को पूरा करने के कदम उठाये हैं, जिनके बहुत अच्छे नतीजे मिल रहे हैं और हमने हर मामले में पहले सर्वसमाज में से विशेषतौर पर दलित, शोषित, पिछड़ों, धार्मिक अल्पसंख्यकों, महिलाओं तथा अपर कास्ट समाज के गरीब लोगों को दी है। उन्होंने इस योजना के यािन्वयन में शासन और प्रशासन के अधिकारियों द्वारा किये गये परिश्रम के लिए हार्दिक बधाई दी।
इस अवसर पर मुख्य सचिव श्री अतुल कुमार गुप्ता ने अतिथियों का स्वागत किया और माननीया मुख्यमंत्री जी को आश्वस्त किया कि इस योजना को उनकी अपेक्षाओं के अनुरूप पूरी ईमानदारी एवं प्रभावी ढंग से यािन्वित किया जाएगा। अपर मंत्रिमण्डलीय सचिव श्री नेत राम ने अतिथियों के प्रति आभार व्यक्त किया।
इस अवसर पर मंत्रिमण्डल के अनेक सदस्य, सांसद, विधायक, मंत्रिमण्डलीय सचिव श्री शशांक शेखर सिंह सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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