नेता प्रतिपक्ष विधान परिशद अहमद हसन एवं प्रदेष प्रवक्ता राजेन्द्र चैधरी ने मौके पर जाकर निरीक्षण करने के बाद की प्रेस काफ्रेन्स में बताया किः-
लखनऊ में पिपराघाट रेलवे फाटक के पास बसी गरीबों की बस्ती के 200 से ज्यादा कच्चे पक्के आवासों को आज प्रातः 10Û30 बजे पुलिस बल के साथ आए एलडीए अधिकारियों ने ढहा दिया। उन्होने यहां चल रहे मदरसा और मस्जिद को भी नहीं बख्षा, उस पर भी बुलडोजर चला दिया। पवित्र कुरान षरीफ और मस्जिद’-मदरसा में रखा सामान भी हटाने नहीं दिया गया। उसे भी जमीदोज कर दिया गया। इसका विरोध करने पर सीओ हजरतगंज के निर्देष पर पुलिस ने बर्बरतापूर्वक लाठियां भांजी जिसमें समाजवादी पार्टी के लखनऊ महानगर के महासचिव मो0 एबाद बुरी तरह घायल हो गए। कुछ अन्य नेता भी चोटिल हुए। लाठी चार्ज में स्थानीय महिलाएं भी षिकार हुई और अब वह खुले आसमान में टूटे हुऐ अपने मकानों की ढेर पर बैठे हुये हैं। यह बसपा षासन के घोर अत्याचार की पराकाश्ठा है।
पिछले 25 वर्शो से यहां लगभग 2 हजार लोग रह रहे हैं। यहां एक मस्जिद एवं मदरसा भी है। स्थानीय आबादी में अधिकांष परिवार मुस्लिम एवं गरीब वर्ग के लोग हैं। बताते है यहां बस्ती उजाड़कर मुख्यमंत्री सुश्री मायावती अपना कोई निर्माण कराने वाली है।
पिछले दो दिन से इस बस्ती को खाली कराने के लिए स्थानीय पुलिसकर्मी आकर लोगों को धमका रहे थे। उनका कहना था कि बस्ती खाली कर दो नहीं तो पूरी बस्ती आग में झोंक दी जाएगी और बाषिंदो को बांग्लादेषी बताकर जेल में ठूंस दिया जाएगा।
आज 3 जून, को अचानक सुबह ही पुलिस बल ने एलडीए अधिकारियों के साथ मिलकर बस्ती को उजाड़ना षुरू कर दिया। लोगों ने बहुत हाथ पैर जोड़े कि घरों से सामान तो निकाल लेने दें लेकिन उनकी कोई बात नहीं सुनी गई। बुलडोजरों से निर्माण तोड़ दिए गए। मदरसा मस्जिद भी ध्वस्त कर दिए गए।
मस्जिद-मदरसा तोड़े जाने और बिना वैकल्पिक व्यवस्था के गरीबों को उजाड़ देने की कार्यवाही से स्थानीय लोगों में गहरा आक्रोष पैदा हो गया है। तनाव की स्थिति है। घटना की सूचना पाकर समाजवादी पार्टी के एम0एल0सी0 श्री राकेष सिंह राना, महानगर अध्यक्ष श्री सुषील दीक्षित, पूर्व महासचिव श्री विजय सिंह, मो0 षाहिद, श्री देवेन्द्र सिंह एवं मो0 हनीफ खान,, नगर कोशाध्यक्ष श्री ताराचंन्द यादव, श्री अषोक यादव देव, श्रीमती मुन्नी पाल, सागर धानुक, श्री वीरेन्द्र यादव, श्री राजेन्द्र यादव श्री मुदसीर हसन आदि समाजवादी पार्टी नेता जब वहां पहुॅचे और उजड़े लोगों के लिए वैकल्पिक व्यवस्था की मांग की तो पुलिस ने उनके साथ भी अभद्र व्यवहार किया और उन्हें गालियां दी। पुलिस ने समाजवादी पार्टी कार्यकर्ताओं को धमकाने के साथ उनपर लाठियां बरसाई। महानगर के महासचिव मो0 एबाद को पुलिस ने लाठियां मारकर घायल कर दियां और गिरफ्तार कर ले गयी।
राजधानी में पुलिस के इस बर्बर कृत्य की समाजवादी पार्टी निन्दा करती है। बसपा की वर्तमान सरकार गरीबों को उजाड़ने और उनकी जगह बड़े-बड़े पार्को, स्मारकों और हाथियों की मूर्तियाॅ लगवाने पर करोड़ों रूपए खर्च कर रही है। दलितों की बेटी चांदी के डिनरसेट में खाना खाती है। उन्हें गरीबों की भूख, उनकी परेषानियों से कोई मतलब नहीं है। यह गरीब विरोधी, दलित विरोधी और जन विरोधी सरकार है। मुस्लिमों और पिछड़े वर्ग के प्रति उसका विद्वेशपूर्ण व्यवहार अमानवीय है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
upnewslive.com