Posted on 10 January 2011 by admin
खादी एवं ग्रामोद्योग विभाग की समीक्षा बैठक सम्पन्न
उत्तर प्रदेश की खादी एवं ग्रामोद्योग राज्य मन्त्री (स्वतन्त्र प्रभार) श्रीमती ओमवती ने विभागीय अधिकारियों को विभाग की विभिन्न योजनाओं के क्रियान्वयन में और तेजी लाने के निर्देश देते हुए कहा कि खादी एवं ग्रामोद्योग से जुड़ी विभिन्न योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन से प्रदेश में बेरोजगारी की समस्या को बड़ी हद तक हल किया जा सकता है। उन्होंने स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत संचालित की जा रही मुख्यमन्त्री ग्रामोद्योग रोजगार योजना के क्रियान्वयन पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता पर बल दिया।
श्रीमती ओमवती ने कल यहां आयोजित विभागीय कार्यों की मासिक समीक्षा बैठक में अधिकारियों को यह निर्देश दिये। बैठक में प्रमुख सचिव, खादी एवं ग्रामोद्योग श्री अशोक कुमार, खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड के मुख्य कार्यपालक अधिकारी तथा परिक्षेत्रीय अधिकारियों ने भाग लिया।
समीक्षा बैठक में अवगत कराया गया कि स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत संचालित मुख्यमन्त्री ग्रामोद्योग रोजगार योजना में 103.00 करोड़ रूपये के संस्थागत पूंजीनिवेश से 3689 इकाईयों की स्थापना कराई गई जिससे 41000 ग्रामीणों को रोजगार उपलब्ध कराया गया। इस प्रकार माह दिसम्बर, 2010 तक लक्ष्य के सापेक्ष लगभग 93 प्रतिशत की उपलब्धि प्राप्त की गई। प्रधानमन्त्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के अन्तर्गत भी 47.94 करोड़ रूपये के पूंजीनिवेश से 437 ग्रामोद्योग इकाईयों की स्थापना करायी गई जिससे लगभग 12625 लोगों को रोजगार प्राप्त हुआ।
बैठक में यह भी बताया गया कि खादी तथा ग्रामोद्योग बोर्ड को चालू वित्तीय वर्ष में आयोजनागत योजनाओं के संचालन हेतु 18.26 करोड़ रूपये का बजट प्राविधान किया गया है जिसके सापेक्ष 13.67 करोड़ रूपये की वित्तीय स्वीकृतियां निर्गत की जा चुकी हैं तथा 8.97 करोड़ रूपये का व्यय भी किया जा चुका है। साथ ही इकाईयों की स्थापना से पूर्व 3802 व्यक्तियों/महिलाओं को विभिन्न योजनाओं के अन्तर्गत प्रशिक्षण प्रदान किया गया तथा गुणवत्ता नियन्त्रण कार्यक्रम के अन्तर्गत भी 30 जागरूकता कार्यक्रम तथा तीन तकनीकी प्रशिक्षण प्रदान किये गये। ग्रामोद्योगी उत्पादों के प्रचार-प्रसार एवं प्रदर्शनियों के उद्देश्य से जनपद बिजनौर में एक आंचलिक प्रदर्शनी का आयोजन किया जा चुका है। माह जनवरी, 2011 में लखनऊ में राज्य स्तरीय प्रदर्शनी तथा गोरखपुर व कानपुर में आंचलिक प्रदर्शनी का आयोजन किया जा रहा है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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Posted on 10 January 2011 by admin
खाद्य एवं रसद विभाग की समीक्षा बैठक सम्पन्न
फर्जी राशन कार्ड रखने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाय तथा डाटा डिजिटाईजेशन का कार्य 28 फरवरी से पहले पूर्ण कर लिया जाय। इसके साथ ही ए0पी0एल0 राशन कार्ड आवेदन करने के 15 दिनों में, अन्त्योदय/बी0पी0एल0 कार्ड 30 दिनों में एवं डुल्पीकेट राशन कार्ड 7 दिनों में बन जाने चाहिए।
उत्तर प्रदेश के खाद्य एवं रसद मन्त्री श्री राम प्रसाद चौधरी ने यह निर्देश आज यहॉ जवाहर भवन में खाद्य एवं रसद विभाग की समीक्षा बैठक में दिये। उन्होंने कहा कि फर्जी राशन काडोZं के समर्पण के लिए 15 दिन का विशेष प्रवर्तन अभियान चलाया जाय और यदि किसी कोटेदार के पास कार्ड इकट्ठा पाये जाते हैं तो उस कोटेदार एवं सम्बन्धित अधिकारी के खिलाफ कठोर कार्रवाही की जाय।
श्री चौधरी ने कहा कि अन्त्योदय/बी0पी0एल0 राशन का उठान एवं वितरण रोस्टर के अनुसार ही सुनिश्चित होना चाहिए। उन्होंने कहा कि यदि रोस्टर में किसी तरह का परिवर्तन होता है तो उसका समुचित कारण होना चाहिए। रोस्टर अपवाद स्वरूप ही बढ़ना चाहिए रूटीन में नहीं।
बैठक में विशेष सचिव श्री चन्द्र प्रकाश ने निर्देश दिये कि मिट्टी के तेल की काला बाजारी के सम्बन्ध में विशेष प्रवर्तन की कार्यवाही की जाय। उन्होंने कहा कि दुकानों के निलम्बन की कार्यवाही अधिकतम छ: माह में पूरी कर ली जानी चाहिए।
खाद्य आयुक्त श्री राजन शुक्ला ने निर्देश दिये कि पीली मटर की मांग और वितरण की नियमित सूचना उपलब्ध कराई जाय।
बैठक में अपर आयुक्त खाद्य एवं रसद श्री अनिल कुमार दमेले, संयुक्त आयुक्त श्री विनोद राय एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 10 January 2011 by admin
किसी भी कनिष्ठ होम्योपैथिक चिकित्सा अधिकारी को प्रभारी न बनाया जाय। होम्योपैथी चिकित्सा के प्रति जनमानस में जागरूकता पैदा की जाय तथा सभी चिकित्साधिकारी अस्पतालों पर समय से उपस्थित रहें।
प्रदेश के होम्योपैथिक चिकित्सा शिक्षा मन्त्री श्री नन्दगोपाल गुप्ता ´नन्दी´ ने आज यहॉ योजना भवन में आयोजित होम्योपैथी विभाग के कार्यों की समीक्षा के दौरान ये निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि जनमानस में यह आम धारणा है कि छोटे बच्चों को होम्योपैथिक दवाएं दी जाय, बावजूद इसके प्रदेश के 1575 चिकित्सालयों में से 594 चिकित्सालय ऐसे है, जहॉ प्रतिदिन रोगियों की संख्या 50 से भी कम है। उन्होंने कहा कि यह स्थिति अत्यन्त ही खेद जनक है। उन्होंने कहा कि इससे यह परिलक्षित होता है कि चिकित्सक अस्पतालों पर समय से मौजूद नहीं रहते हैं। जबकि इसके विपरीत निजी चिकित्सकों के यहॉ मरीजों की भीड़ लगी रहती है। उन्होंने जिला होम्योपैथिक चिकित्सा अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे भी प्रतिदिन कम से कम 10 मरीजों को अवश्य देखें। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि वे यह सुनिश्चित करायें कि सभी चिकित्सा अधिकारी समय से अस्पताल पर उपस्थित रहें।
श्री नन्दी ने जनपद गोरखपुर एवं अलीगढ़ में नये स्थापित होने वाले राजकीय होम्योपैथिक मेडिकल कालेजों के भवनों के निर्माण कार्य शीघ्र पूरा करने के निर्देश दिये। उन्होंने कार्यदायी संस्थाओं से कहा कि निर्माण कार्यों की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने होम्योपैथिक निदेशक को निर्देश दिये कि वे चिकित्सालयों में दवा की उपलब्धता सुनिश्चित करायें। उन्होंने कहा कि दवाओं की कमी नहीं होनी चाहिए।
बैठक में प्रमुख सचिव श्री जैकब थामस, निदेशक होम्योपैथिक डा0बी0एन0सिंह के अलावा अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 10 January 2011 by admin
आवास पर जाकर पार्थिव शरीर पर श्रद्धासुमन अर्पित किए
प्रदेश के परिवहन मन्त्री श्री राम अचल राजभर ने लोकप्रिय भोजपुरी गायक श्री बालेश्वर राजभर के निधन पर गहरा शोक व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि श्री बालेश्वर के निधन से भोजपुरी गायकी जगत में जो रिक्तता पैदा हुयी है, उसकी पूर्ति करना कठिन है।
परिवहन मन्त्री ने दिवंगत गायक के आवास पर जाकर उनके पार्थिव शरीर पर श्रद्धासुमन अर्पित किये। उन्होंने शोक सन्तप्त परिजनों को ढाढस बंधाया
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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Posted on 10 January 2011 by admin
मत्स्य विभाग के अपूर्ण कार्य 21 जनवरी तक पूर्ण करने के निर्देश , मोबाइल फिश पार्लर निजी लाभार्थियों द्वारा संचालित होगी
उत्तर प्रदेश के मत्स्य विकास मन्त्री श्री धर्मराज निषाद ने मत्स्य विभाग के अपूर्ण कार्यों को 21 जनवरी तक पूर्ण करने के निर्देश दिये हैं। इसके साथ ही उन्होंने मत्स्य बीज ´´कामनकार्प´´ पूर्ण करने पर जोर दिया।
यह निर्देश मत्स्य विकास मन्त्री श्री धर्मराज निषाद ने आज यहॉ मत्स्य निदेशालय के सभागार में विभागीय कार्यक्रमों की समीक्षा बैठक में दिये। उन्होंने कहा कि ´´कामनकार्प´´ फिश के बीज में बढ़ोत्तरी हेतु सभी तैयारियॉं जल्द पूरी कर ली जायें। उन्होंने सम्बंधित अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे जिला प्रशासन से वार्ता कर नि:शुल्क भूमि का चयन एक सप्ताह में पूरा करें ताकि मत्स्य हाट का कार्य जहॉ अपूर्ण है उसे तत्काल पूर्ण कर लिया जाये।
श्री निषाद ने मत्स्य बीज का बकाया मूल्य एक सप्ताह में वसूल करने के निर्देश दिये। उन्होंने मोबाइल फिशपार्लर चलाने के भी निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि प्रथम चरण में यह मोबाइल फिशपार्लर वैन गाजियाबाद, मेरठ, लखनऊ व कानपुर में संचालित की जायेगी। इस कार्य हेतु निजी क्षेत्र के लाभार्थियों का चयन शीघ्र पूर्ण किया जाये। उन्होंने बताया कि एक लाख 65 हजार रूपये प्रति यूनिट इस पर खर्च करने का लक्ष्य है। सम्बंधित अधिकारी अपने जिलों में लाभार्थियों के चयन का कार्य शुरू कर दें।
मत्स्य विकास मन्त्री ने राष्ट्रीय मित्स्यकी विकास बोर्ड योजना के तहत ट्रेनिंग का कार्य जनवरी तक पूरा करने के निर्देश दिये। इसके साथ ही राष्ट्रीय कृषि विकास योजना व डास्प योजना की समीक्षा की गई।
बैठक में सचिव/निदेशक मत्स्य श्री हरशरण दास के अलावा मण्डलीय/जनपदीय उपनिदेशकों सहित सभी सम्बंधित अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 10 January 2011 by admin
बांस की उन्नत प्रजाति के सम्बंध में किसानों को प्रशिक्षित किया जाये-फतेह बहादुर सिंह
उत्तर प्रदेश के वन एवं जन्तु उद्यान मन्त्री श्री फतेह बहादुर सिंह ने कहा है कि आज आधुनिक समय में भी बांस का उपयोग व्यक्तियों द्वारा किया जा रहा है। बांस समाज के समस्त वर्गों विशेष कर निर्धन व निर्बल वर्गों के लिये जीवन का आधार है। वर्तमान सरकार समाज के निर्धन व निर्बल वर्ग का जीवन स्तर उठाने के लिये कृत संकल्प है। बेम्बू मिशन योजना इस दिशा में एक मील का पत्थर साबित होगी।
वन मन्त्री आज यहॉ गोमतीनगर के दयाल पैराडाइज होटल में राष्ट्रीय बांस मिशन द्वारा ´´बांस रोपण एवं आय वृद्धि´´ विषय पर आयोजित एक दिवसीय राज्य स्तरीय कार्यशाला में मुख्य अतिथि के रूप में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्होंने कहा कि कृषि वानिकी पद्धति अपना कर कृषक इससे पर्याप्त लाभ कमा सकते हैं।
श्री फतेह बहादुर सिंह ने कहा कि वन क्षेत्र के बाहर बांस की खेती को अधिक से अधिक प्रोत्साहित किया जाये। इसके लिये बांस की खेती की उन्नत तकनीक विकसित करनी होगी तथा अधिक उत्पाद व मूल्य देने वाली प्रजातियॉ व आधुनिक तकनीक से किसान भाइयों को परिचित करवाना होगा।
कार्यशाला को सम्बोधित करते हुये प्रमुख सचिव वन श्री चंचल कुमार तिवारी ने कहा कि नेशनल वम्बू मिशन के दिशा निर्देशों के अनुरूप प्रदेश में बांस संवर्धन की योजना वर्ष 2007-08 से प्रारम्भ की गई है। इस योजना के मुख्य उद्देश्य राजकीय एवं गैर राजकीय भूमि पर जन सहभागिता सुनिश्चित करते हुये बांस रोपण एवं संवर्धन के लिये कृषकों एवं कारीगरों की कुशलता को बढ़ावा देना एवं उच्च कोटि की रोपण सामग्री की आपूर्ति सुनिश्चित करना है।
प्रमुख सचिव ने कहा कि आज की एक दिवसीय कार्यशाला में बांस संवर्धन के सम्बंध में वैज्ञानिकों एवं किसानों द्वारा विचार-विमर्श के पश्चात जो सुझाव आयेगें, उसपर शासन स्तर से विचार किया जायेगा।
प्रमुख वन संरक्षक श्री डी0एन0एस0 सुमन ने बताया कि बांस संवर्धन योजना की सफलता के लिये कार्यशाला के माध्यम से सुझाव के पश्चात शासन स्तर से जो निर्देश दिया जायेगा, उसका अनुपालन वन विभाग द्वारा किया जायेगा।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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Posted on 10 January 2011 by admin
रबी फसलों की लक्ष्य के अनुरूप शत-प्रतिशत बुआई
उत्तर प्रदेश में रबी फसलों की शत-प्रतिशत बुआई का कार्य पूरा कर लिया गया है। रबी फसलों के लिए 44.39 लाख कुन्तल बीज वितरण के सापेक्ष अभी तक 43.59 लाख कुन्तल बीजों का वितरण करने के साथ ही 28.47 लाख मीट्रिक टन उर्वरकों का वितरण किया जा चुका है। किसानों को शत-प्रतिशत किसान क्रेडिट कार्ड उपलब्ध कराने के लिए रणनीति को अन्तिम रूप दे दिया गया है। आगामी 15 जनवरी को कैम्प लगाकर 3.58 लाख किसानों को किसान क्रेडिट कार्ड उपलब्ध कराये जायेंगे।
प्रदेश के कृषि मन्त्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने आज यहां लोक निर्माण विभाग के विश्वेश्वरैया प्रेक्षागृह में कृषि विभाग के कार्यों की समीक्षा के दौरान यह जानकारी दी। उन्होंने रबी फसलों के 31 दिसम्बर तक 126.14 लाख हेक्टेयर के बुआई लक्ष्य के सापेक्ष शत-प्रतिशत बुआई लक्ष्य हासिल करने पर सन्तोष व्यक्त किया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि किसानों को उनकी मांग के अनुरूप खाद एवं बीज समय से उपलब्ध कराये, इसमें किसी प्रकार की कोई भी कोताही बर्दाश्त नहीं होगी। उन्होंने कहा कि रबी फसलों के 53 लाख मीट्रिक टन लक्ष्य के सापेक्ष 32.11 लाख मीट्रिक टन उर्वरक उपलब्ध हो चुका है। किसानों को उनकी मांग के अनुरूप खाद उपलब्ध करायी जायें। बैठक में बताया गया कि दिसम्बर माह के अन्त तक किसानों की मांग के अनुरूप 28.47 लाख मीट्रिक टन का वितरण किया जा चुका है।
श्री सिद्दीकी ने कहा कि अधिकारी सुनिश्चित करें कि किसानों की समस्याओं का त्वरित निदान समय से हो। बैठक में कृषि मन्त्री को बताया गया कि रबी 2010-11 में 14122.44 करोड़ रूपए के फसली ऋण वितरण के लक्ष्य के सापेक्ष 7634.79 करोड़ रूपए का फसली ऋण का वितरण किया जा चुका है। उन्होंने कहा कि अधिकारी जून 2011 तक प्रदेश के शत-प्रतिशत अवशेष किसानों को (65 लाख) किसान क्रेडिट कार्ड उपलब्ध कराये जायें। उन्होेंने कहा कि प्रदेश के 4911 ग्रामों के 3.58 लाख चयनित किसानों को 15 जनवरी को कैम्प लगाकर किसान क्रेडिट कार्ड उपलब्ध कराये जाये।
कृषि मन्त्री ने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए कि बुन्देलखण्ड क्षेत्र के पात्र किसानों को सिंचाई व्यवस्था के लिए पात्र लाभार्थियों को 15 जनवरी को ही कैम्प लगकार िस्प्रंकलर सेट का वितरण कराया जाना सुनिश्चित करेें। समीक्षा के दौरान कृषि मन्त्री ने 990.02 करोड़ रूपए की स्वीकृतियों के सापेक्ष 645.61 करोड़ रूपए के व्यय होने पर सन्तोष व्यक्त किया। उन्होेंने कहा कि स्वीकृत कार्यों के लिए धनराशि समय से जारी कर दी जाये।
बैठक में प्रमुख सचिव, कृषि श्री संजय अग्रवाल, कृषि निदेशक डा0 मुकेश गौतम, उत्तर प्रदेश बीज निगम के प्रबन्ध निदेशक, सहित कृषि विभाग के सभी संयुक्त निदेशक, उप निदेशक व जिला कृषि अधिकारियों सहित वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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उत्तर प्रदेश के गन्ना विकास एवं चीनी उद्योग मन्त्री श्री नसीमुद्दीन सिद्दीकी ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि गन्ना क्रय केन्द्रों पर घटतौली को रोकने के लिए क्रय केन्द्रों की नियमित सघन जांच कराई जाये। गन्ना घटतौली में लिप्त 112 तौल लिपिकों को निलिम्बत करने के साथ ही 60 से अधिक के विरूद्ध प्रथम सूचना रिपोर्ट (एफ0आई0आर0) दर्ज कराई जा चुकी है। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि किसानों के गन्ना मूल्य भुगतान पर भी पैनी नज़र रखें। चालू पेराई सत्र में 204 लाख कुन्तल चीनी का उत्पादन हो चुका है।
श्री सिद्दीकी ने आज यहां लोक निर्माण विभाग के सभागार में गन्ना विकास एवं चीनी उद्योग विभाग की समीक्षा के दौरान यह बात कही। उन्होंने अधिकारियों से कहा कि गन्ना घटतौली करने वालों के साथ कोई रियायत न बरतें। उन्होंने कहा कि घटतौली रोकने के लिए क्रय केन्द्रों के विरूद्ध नियमित अभियान चलाने के साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाये कि गन्ना किसानों का कोई भी चीनी मिल शोषण न कर पाये। उन्होंने कहा कि गन्ना भुगतान में हीला-हवाली करने वाली चीनी मिलों का गन्ना दूसरी मिल को व्यावर्तित कर दिया जाये।
बैठक में गन्ना विकास मन्त्री को बताया गया कि घटतौली के विरूद्ध दिसम्बर माह तक 4329 क्रय केन्द्रों का निरीक्षण किया गया जिसमें से 129 गम्भीर तथा 398 सामान्य प्रकृति की अनियतिमततायें मिली है। जांच के दौरान 249 मामलों में नोटिस जारी किया गया तथा 112 तौल लिपिकों को निलिम्बत किया गया और 60 गन्ना क्रय केन्द्रों के विरूद्ध प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कराई गई। प्रदेश की चीनी मिलों ने 9 जनवरी तक 2308 लाख कुन्तल गन्ना किसानों से खरीदकर 2304 लाख कुन्तल की पेराई करते हुए 204 लाख कुन्तल चीनी का उत्पादन किया जबकि गत पेराई सत्र में इसी अवधि में 183 लाख कुन्तल चीनी का उत्पादन हुआ था। चीनी परता में भी गत वर्ष की अपेक्षा आंशिक वृद्धि हुई है। गन्ना मूल्य भुगतान 2814 करोड़ रूपए के विरूद्ध अब तक 3136 करोड़ रूपए का किसानों को भुगतान किया जा चुका है।
प्रमुख सचिव, कृषि श्री संजय अग्रवाल ने अधिकारियों से कहा कि किसानों से सम्बधिन्त विभागों से आपसी समन्वय बढ़ायें जिसका लाभ किसानों को मिल सकें। उन्होंने कहा कि अधिकारी अभी से ऐसी रणनीति बनाये जिससे आगामी पेराई सत्र में लगभग दो लाख हेक्टेयर क्षेत्र में गन्ना बुवाई का लक्ष्य निर्धारित किया जा सकेें। उन्होंने कहा कि किसानोें के बीज सहखेती के लाभों को भी प्रचारित किया जाये।
बैठक में गन्ना आयुक्त श्री कामरान रिजवी सहित शासन के सभी वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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भूतत्व एवं खनिकर्म विभाग की समीक्षा बैठक सम्पन्न
सहकारिता, भूतत्व एवं खनिकर्म मन्त्री श्री बाबू सिंह कुशवाहा ने खनिज विभाग के अधिकारियों को निर्धारित वाषिZक लक्ष्यों की शत-प्रतिशत पूर्ति करने के निर्देश दिये। उन्होंने भूतत्व एवं खनिकर्म विभाग के राजस्व लक्ष्यों की समीक्षा में पाया कि प्रदेश के 22 जनपदों द्वारा 80 प्रतिशत से अधिक तथा 26 जनपदों द्वारा 60 से 80 प्रतिशत के मध्य तथा 24 जनपदों द्वारा 60 प्रतिशत से कम राजस्व की पूर्ति की गई, जिसमें जनपद सोनभद्र, गौतमबुद्धनगर, अलीगढ़, कांशीरामनगर, कुशीनगर, बलियाा, लखनऊ, लखीमपुरखीरी, रायबरेली एवं कानपुरनगर द्वारा 100 प्रतिशत से अधिक लक्ष्यों की पूर्ति करने वाले खान अधिकारियों/खान निरीक्षकों के कार्यों की सराहना की। साथ ही प्रदेश में सबसे कम राजस्व पूर्ति करने वाले 06 जनपदों हाथरस, मथुरा, सन्तकबीरनगर, छत्रपतिशाहूजी महाराजनगर, गाजीपुर एवं चन्दौली के सम्बन्धित अधिकारियों को प्रतिकूल प्रविष्टि दिये जाने के निर्देश दिये। शेष सभी अधिकारियों को यह कड़े निर्देश दिये कि प्रत्येक दशा में शत-प्रतिशत राजस्व लक्ष्यों की पूर्ति हेतु अथक प्रयास करें। आगामी 31 जनवरी तक शत-प्रतिशत राजस्व लक्ष्यों की पूर्ति करते हुए निदेशालय में रिपोर्ट भेंजे।
खनिज भवन के सभागार में आयोजित इस समीक्षा बैठक में खनिजों के अवैध परिवहन व अनियमित खनन पर प्रभावी अंकुश के भी कड़े निर्देश सभी अधिकारियों को दिये गये। विभाग द्वारा संचालित किये जा रहे स्वर्ण प्लेटिनम, बेरबार कॉगलोमिरेट, किम्बरलेट, क्वार्टज एवं पोटास के अन्वेषण कायो्रं की भी समीक्षा की गई और यह निर्देश दिये कि इन अन्वेषण कार्यों को प्राथमिकता देते हुए पूर्ण करने की कार्यवाही सुनिश्चित की जाये।
इस बैठक में यू0पी0एस0आई0डी0 के कार्यों की प्रगति की समीक्षा की गई।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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Posted on 10 January 2011 by admin
उत्तर प्रदेश के भूमि विकास एवं जल संसाधन मन्त्री श्री अशोक कुमार ने विभागीय कार्यकलापों में और तेजी लाने के निर्देश दिये हैं।
श्री अशोक कुमार आज यहॉ बापू भवन के सभा कक्ष में विभागीय कार्यक्रमों की प्रगति की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने बैठक में उपस्थित भूमि संरक्षण अधिकारियों से कहा कि वे प्रदेश के हर गांव में अपने विभाग की भागीदारी सुनिश्चित करायें। उन्होंने कहा कि गांव-गांव जाकर अधिकारी कार्य करायें ताकि लोगों में विभागीय कार्यकलापों का सन्देश जाये।
भूमि विकास एवं जल संसाधन विभाग के प्रमुख सचिव श्री योगेश कुमार ने भी बैठक को सम्बोधित किया।
बैठक में भूमि विकास कार्यक्रम एवं सूखा बाहुल क्षेत्र कार्यक्रम की इकाईवार समीक्षा, ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार सृजन हेतु अनुसूचित जाति/ अनुसूचित जनजाति एवं अल्पसंख्यक लाभार्थियों के रोजगार सृजन की प्रगति और विभागीय कार्यक्रमों में मनरेगा योजना से कनवर्जिएन्स हेतु योजनाओं की प्रगति आदि की विस्तार से समीक्षा की गई।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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