‘एक जनपद-एक उत्पाद’ योजना के
क्रियान्वयन में बजट की कमी आड़े नहीं आने दी जाएगी
देश के अन्य राज्य भी ‘एक जनपद-एक उत्पाद’ को
मान्यता दे रहे हैं और अपने यहां ऐसी योजना शुरू कर रहे हैं
मुख्यमंत्री जी ने 10 हस्त शिल्पियों को ‘टूल किट’ तथा
10 उद्यमियों को ऋण धनराशि का प्रतीकात्मक चेक वितरित किया
11 हजार 755 हस्त शिल्पियों को बैंकों के माध्यम से
01 हजार करोड़ रुपए से अधिक की ऋण राशि उपलब्ध करायी
‘एक जनपद-एक उत्पाद’ योजना के माध्यम से
01 लाख 65 हजार से अधिक लोगों को रोजगार से जोड़ा गया
मुख्यमंत्री ने अमेजन के माध्यम से अच्छा कार्य करने वाले ‘एक
जनपद-एक उत्पाद’ योजना के उद्यमियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया
मुख्यमंत्री ने ‘चिकनकारी व जरी-जरदोजी’
पर केन्द्रित एक कैटलाॅग का विमोचन किया
‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना के माध्यम से 02 वर्षों में एमएसएमई क्षेत्र
में बड़ा बदलाव आएगा: लघु, सूक्ष्म एवं मध्यम उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन मंत्री
मुख्यमंत्री ने ‘एक जनपद-एक उत्पाद’ योजना के तहत
‘चिकनकारी व जरी-जरदोजी’ पर आयोजित समिट को सम्बोधित किया
सुरेन्द्र अग्निहोत्री, लखनऊ : 28 अक्टूबर, 2018
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि ‘एक जनपद-एक उत्पाद’ (ओ0डी0ओ0पी0) योजना के द्वारा राज्य सरकार ने प्रदेश के परम्परागत उत्पाद एवं उद्यमिता को आगे बढ़ाने के अपने वायदे को पूरा किया है। इस योजना की सफलता पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि इसकी सबसे बड़ी विशेषता यह है कि इसमें कम पूंजी निवेश से बेहतर रोजगार की भरपूर सम्भावना है। प्रदेश के सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार ‘एक जनपद-एक उत्पाद’ योजना को हर सम्भव सहयोग प्रदान करेगी। राज्य सरकार द्वारा इस योजना के लिए बजट व्यवस्था की गई है। इस योजना के क्रियान्वयन में बजट की कमी आड़े नहीं आने दी जाएगी। उन्होंने कहा कि देश के अन्य राज्य भी इस योजना को मान्यता दे रहे हैं और अपने यहां ऐसी योजना शुरू कर रहे हैं।
मुख्यमंत्री जी आज यहां अवध शिल्प ग्राम में ‘एक जनपद-एक उत्पाद’ योजना के तहत ‘चिकनकारी व जरी-जरदोजी’ पर आयोजित समिट में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। इस अवसर पर 100 से अधिक हस्तशिल्पियों और उद्यमियों को ‘टूल किट’ वितरित की गई। मुख्यमंत्री जी ने 10 हस्त शिल्पियों को ‘टूल किट’ तथा 10 उद्यमियों को ऋण धनराशि के प्रतीकात्मक चेक वितरित किए। साथ ही, अमेजन पर अच्छा कार्य करने वाले उद्यमियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री जी ने ‘चिकनकारी व जरी-जरदोजी’ के ऊपर एक कैटलाॅग का विमोचन भी किया। इस अवसर पर ओ0डी0ओ0पी0 योजना के सम्बन्ध में जानकारी देने वाली एक लघु फिल्म भी प्रदर्शित की गई।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश के प्रत्येक जनपद का कोई न कोई विशिष्ट उत्पाद है। यह पारम्परिक उत्पाद उस जिले की पहचान भी है और स्थानीय जनता के लिए रोजगार का एक महत्वपूर्ण माध्यम भी। इन उत्पादांे को बढ़ावा देकर प्रत्येक जनपद के आर्थिक विकास को गति दी जा सकती है और नौजवानों को स्थानीय स्तर पर रोजगार के बड़े अवसर भी। इसे ध्यान में रखकर ही प्रदेश सरकार ने ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना के संचालन का निर्णय लिया था तथा प्रथम उत्तर प्रदेश दिवस समारोह के अवसर पर 24 जनवरी, 2018 को इसका शुभारम्भ किया गया। इस योजना की पहली समिट का उद्घाटन राष्ट्रपति महोदय द्वारा किया गया। इस मौके पर 04 हजार से अधिक उद्यमियों को 01 हजार करोड़ रुपए से अधिक का ऋण वितरित किया गया था। आज इस मौके पर 11 हजार 755 हस्त शिल्पियों को बैंकों के माध्यम से 01 हजार करोड़ रुपए से अधिक की ऋण राशि उपलब्ध करायी जा रही है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि यहां पर आयोजित ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ समिट में चिकनकारी व जरी-जरदोजी के हस्तशिल्प से जुड़े 08 जनपदों की प्रदर्शनी आयोजित की गई है। प्रदेश का हर जनपद किसी न किसी विशिष्ट उत्पाद से जुड़ा हुआ है। राज्य सरकार द्वारा इन सभी को प्रोत्साहित करने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। इसी के तहत हस्त शिल्पियों को ऋण भी सुलभ कराए जा रहे हैं। हस्त शिल्पियों को क्यूसीआई, एमेजन आदि की मदद से मार्केट भी सुलभ कराया जा रहा है। मार्केट से सीधे जुड़ने के कारण हस्त शिल्पियों की स्थिति में बड़ा सुधार हुआ है। साथ ही, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम क्षेत्र को भी बड़ा फायदा हुआ है।
‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना को सफलता से लागू करने के लिए सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन मंत्री श्री सत्यदेव पचैरी तथा मुख्य सचिव की प्रशंसा करते हुए मुख्यमंत्री जी ने कहा कि योजना के लागू होने के बाद से 02 बड़ी समिट आयोजित की गई हैं। हर जनपद इससे सम्बन्धित समिट के आयोजन के लिए तैयार है। उन्होंने कहा कि योजना के लागू होने के बाद से इसके माध्यम से 01 लाख 65 हजार से अधिक लोगों को रोजगार से जोड़ा गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि हस्त शिल्पियों को ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना से जोड़ने के लिए उन्हें प्रशिक्षण प्रदान किया गया है। प्रशिक्षित हस्त शिल्पियों और उद्यमियों को टूल किट के साथ प्रमाण-पत्र भी प्रदान किया जा रहा है। यह प्रमाण-पत्र हस्त शिल्पी की कुशलता, कार्य एवं उत्पाद के लिए प्रमाण है। उन्होंने कहा कि परम्परागत हस्त शिल्पियों और उद्यमियों को उत्पादन एवं मार्केटिंग के लिए प्रोत्साहित करने हेतु मुद्रा, स्टैण्ड-अप, प्रधानमंत्री स्वरोजगार योजना, मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना आदि से भी सहायता दी गई है।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन मंत्री श्री सत्यदेव पचैरी ने कहा कि 24 जनवरी, 2018 को शुभारम्भ के पश्चात ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना तेजी से आगे बढ़ रही है। योजना के माध्यम से 01 वर्ष में 01 लाख 65 हजार लोगों को रोजगार दिया गया है। योजना के माध्यम से हस्त शिल्पियों, कारीगरों तथा उद्यमियों की क्षमता संवर्धन पर बल दिया जा रहा है। उन्हें भरपूर आमदनी हो, इसके लिए उत्कृष्ट किस्म के टूल भी उपलब्ध कराए जा रहे हैं। क्षमता और गुणवत्ता से इन्हें राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय बाजार में भागीदारी बढ़ाने में मदद मिलेगी। उन्होंने कहा कि योजना के तहत यह दूसरा कार्यक्रम है। प्रदेश के प्रत्येक जिले में ऐसे ही कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे। उन्होंने विश्वास जताया कि आगामी 02 वर्षों में ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना के माध्यम से एमएसएमई क्षेत्र में बड़ा बदलाव आएगा।
कार्यक्रम में अपने स्वागत सम्बोधन में मुख्य सचिव डाॅ0 अनूप चन्द्र पाण्डेय ने कहा कि यह समिट चिकनकारी व जरी-जरदोजी से जुड़े 08 जिलों के हस्त शिल्पियों के लिए आयोजित की गई है। इसमें विशेषज्ञों के सत्र आयोजित किये गये हंै। अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर मार्केटिंग के लिए भी सत्र आयोजित किया गया है। भविष्य में भी इसी प्रकार के विशिष्ट व्यवसायों के सम्बन्ध में समिट का आयोजन किया जाएगा। अमेजन द्वारा विभिन्न जिलों में हस्त शिल्पियों तथा उद्यमियों की ट्रेनिंग भी शुरू कर दी गई है तथा 150 से अधिक उद्यमियों को आॅन बोर्ड भी कर दिया गया है। इससे प्रदेश का उत्पाद पूरे विश्व में पहुंचेगा। आइकिया से बरेली और सहारनपुर के काष्ठ कला के उद्यमियों को जोड़ने का कार्य हो रहा है। उन्होंने बताया कि इस समिट में बायर्स और डिजाइनर्स को भी आमंत्रित किया गया है।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए एक्सपोर्ट प्रमोशन काउन्सिल आॅफ हैण्डीक्राफ्ट के एमडी श्री राकेश ने कहा कि भारत सेे लगभग 23 हजार करोड़ रुपए के हैण्डीक्राफ्ट का निर्यात होता है, जिसमें उत्तर प्रदेश की भागीदारी 11 हजार करोड़ रुपए से अधिक की है। ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना एक महत्वाकांक्षी योजना है। इस योजना से प्रदेश के सकल घरेलू उत्पाद में वृद्धि होने के साथ ही स्थानीय रूप से रोजगार में भी बढ़ोत्तरी होगी। देश के अन्य राज्य भी इस योजना को लागू करना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना में उत्तर प्रदेश को बड़ी बढ़त है, क्योंकि यहां पर उत्पादों की संख्या काफी ज्यादा है। उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर योजना की सफलता के लिए पैकेजिंग, डिजाइनिंग में नवाचार की जरूरत पर बल दिया।
‘एक जनपद, एक उत्पाद’ योजना से जुड़ी फर्नीचर एवं होम फर्निशिंग में कार्यरत स्वीडन की कम्पनी आइकिया, आॅनलाइन मार्केटिंग कम्पनी अमेजाॅन के प्रतिनिधियों ने भी कार्यक्रम को सम्बोधित किया। कार्यक्रम के अंत में आयुक्त एवं निदेशक, उद्योग श्री के0 रवीन्द्र नायक ने अतिथियों के प्रति आभार प्रकट किया। कार्यक्रम से पूर्व मुख्यमंत्री जी ने ‘एक जनपद, एक उत्पाद’ प्रदर्शनी का अवलोकन भी किया।
इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री डाॅ0 दिनेश शर्मा, प्राविधिक शिक्षा मंत्री श्री आशुतोष टण्डन, ग्राम्य विकास राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डाॅ0 महेन्द्र सिंह, श्रम एवं सेवायोजन राज्य मंत्री श्री मन्नूलाल कोरी सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, अपर मुख्य सचिव सूचना श्री अवनीश कुमार अवस्थी, सचिव एम0एस0एम0ई0 श्री भुवनेश कुमार सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।