6 सितंबर को आतंकवाद के विरुद्ध होरही रैली पर प्रतिबंध लगाए जाने की निंदा के लिए इमाम बाड़ा गुफ़रानमाब चैक में विभिन्न धर्मों की प्रेस कान्फ्रेंस का आयोजन हुआ। प्रेस कान्फ्रेंस को सम्बोधित करते हुए मौलाना सय्यद कल्बे जवाद नक़वी ने कहा कि जिस तरह पूरी दुनिया में इस्राईल का सरकारी आतंकवाद फैल रहा है इसी तरह यूपी में भी सरकारी आतंकवाद फैल रहा है जिसकी अगुवाई कुछ लीडर कररहे हैं जिन्होंने आतंकवाद विरुद्ध रैली पर प्रतिबंध लगाया है। ऐसी मानसिकता रखने वालों को सिर्फ़वोट चाहिए चाहे वो अबूबकर बग़दादी से मिलें या अलक़ायदा से। इस रैली पर इसलिए प्रतिबंध लगाया गया ताकि हिन्दू मुसलमान लड़ते रहें और शिया-सुनी आपस में झगड़ते रहें इनमें कभी एकता ना हो क्योंकि अगर इनमें एकता होगई तो वोट लेना मुश्किल हो जाएगा। इलेक्शन खत्म होने के बाद हम रैली के आयोजन का ऐलान करेंगे और ये आतंकवाद विरोधी रैली बड़े इमामबाड़े ही में होगी। रैली को इसलिए रोका गया क्योंकि वक़्फ संपत्तियों पर डी0एम0 और ए0डी0एम0 का नाजायज़ क़ब्जा और हमारा विरोध करना उन्हें बुरा लग रहा था इसलिए बौखलाकर उन्होंने रैली को बैन कर दिया। रैली पर इलेक्शन कमीशन ने रोक नहीं लगाई बल्कि डी0एम0 ने पाबंदी लगाई है अपनी बेईमानियाँ छुपाने के लिए।
स्वामी यातिंदर आनंद संयोजक साधू परिषद ने कहा कि जो शैतान होताहै वो अपना काम करने के लिए किसी ना किसी का सहारा लेता है और आज शैतान इस्लाम का सहारा लेकर पूरी दुनिया में ख़ौफ़ फैला रहा है। इन्हीं शैतानी ताकतों को यूरोप के मुल्क हथियार और पैसा देकर मज़बूत करते हैं। संसार में जब भी कोई अच्छे काम के लिए आगे आता है तो यही शैतान उसके खि़लाफ़ ख़ड़ा होताहै। उन्होंने कहा कि हम शैतान से घबराने वाले नहीं हैं चाहे वो किसी भी शक्ल में आए। यही शैतान मौलाना कल्बे जवाद के खि़लाफ़ खड़ा है ताकि उनके कामों को रोका जा सके। उन्होंने कहा कि ऐसे लोगों को सत्ता में आने का अधिकार नहीं है जो हर फ़साद में शामिल हैं। जितने भी दंगे हुए सिर्फ़आज़म ख़ान का नाम क्यों लिया जाता है। उन पर केस होना चाहिए, मुक़द्दमा चलना चाहिए। क्या अब ऐसे लोग हमें मज़हब समझाएंगे।
ब्रहमण समाज के लीडर स्वामी सारंग ने कहा कि शिया और ब्रहमण समाज मिलकर ऐसे मंच की स्थापना करें जो आतंकवाद के विरुद्ध इस काम को आगे बढ़ाएं। हम केवल आतंकवाद का विरुद्ध ना करें बल्कि इस मानसिकता को भी विरोध करें जो आतंकवाद के साये में परवान चढ़ी है। मौलाना कल्बे जवाद ने स्वामी सारंग की मंच की योजना की सराहना की और कहा हम जल्दी ही ऐसा मंच तैयार करेंगे जिस में हरधर्म के लोग शामिल होंगे।
सिख समाज के लीडर गुरमीत सिंह ने कहा कि रैली पर पाबंदी लगाकर सरकार ने शक्ति का प्रदर्शन किया है। आज पूरी दुनिया आतंकवाद से जूझ रही है और सरकार रैली पर बैन लगा रही है। धर्म का ग़लत मतलब बताया जा रहा है। आज़म ख़ान शिया और सुन्नी के दरमियान दीवार खड़ी कररहे हैं।
हाजी मुहम्मद सलीस ने कहा कि आज़म ख़ान ने कभी मुसलमानों की तर्जुमानी नहीं की वो हमेशा नफरत और बांटने की सियासत करते रहे हैं। उन्होंने भारत माता को डायन कहा था तो वो कैसे मुसलमान या मुल्क के वफ़ादार होसकते हैं।
अखिल भारतीय ब्रहमण समाज के पंडित राजेंदर नाथ त्रिपाठी ने कहा कोई तो ऐसा आदमी निकला है जो एक लाइलाज बीमारी का ईलाज करने निकले हैं इसी लिए उनकी मुख़ालिफ़त होरही है। मौलाना कल्बे जवाद उसी डाक्टर का काम कररहे हैं हम बताना चाहते हैं कि पूरा ब्रहमण समाज उनके साथ है हम चाहते हैं कि ज़ालिमों को खत्म कर दिया जाये।
माले गावं से आए सफी मीर हमजा ने कहा कि अगर ये रैली पर बैन ना लगाते तो अंदाज़ा होता कि आतंकवाद विरोधी रैली में कितने धर्मों के लोग शामिल होते।
कलकत्ता से आए विजय योगी ने कहा कि हम कल्बे जवाद के हौसले को सलाम करते हैं जिन्होंने पूरी हुकूमत को हिलाकर रख दिया। एक आदमी से पूरी सरकार हिली हुई है अगर रैली होजाती तो सरकार की क्या हालत होती। वो आज़म ख़ान की बेईमानियों से पर्दा हटारहे थे इसलिए बेईमान ताक़तें उनके विरुद्ध होगईं उन्होंने कहा कि रैली पर सरकार का बैन लगाना रैली की कामयाबी और कल्बे जवाद की जीत है क्योंकि ये काम उनकी ताक़त से डर कर किया गया।
ग़ाजि़याबाद के काज़ी-ए-श शहर ख़लीक़अलज़फ़र बुख़ारी ने कहा कि इस वक़्त हमें राष्ट्रीय स्तर पर एक लीडर की ज़रुरत थी जिसे मौलाना कल्बे जवाद ने पूरा किया है हम उनके साथ हैं। हम दूसरे धर्मों के साथ मिल कर अत्याचार के विरुद्ध खड़े होंगे।उन्होंने कहा कि आतंकवाद की सरपरस्ती अगर अमरीका और इसराईल करते हैं तो अमरीका और इसराईल को सऊदी अरब जैसे मुल्क स्पोर्ट करते हैं ।
जमीयत-ए-ओलमाए हिन्द के मौलाना जावेद कासिमी ने कहा सरकार ने अपनी शक्ति का ग़लत प्रयोग किया है और जानबूझ कर रैली को बैन किया है हम सब मौलाना के साथ हैं और आगे भी उनके साथ रहेंगे। उन्होंने कहा कि काबे की कमाई से शराब पीने वाले हमें इस्लाम क्या समझाएंगे।
प्रेस कान्फ्रेंस में कलकत्ता की मस्जिद नाख़ुदा के इमाम हाजी मुहम्मद शफीक़,मौलाना अतहर अब्बास कलकत्ता, मौलाना कौकब मुजतबा,मौलाना बाकि़र काज़मी,मौलाना हुसैन महदी हुसैनी मुंबई,मौलाना नईम अब्बास नौगांवां, मौलाना जलाल हैदर दिल्ली,मौलाना सफी हैदर,मौलाना अकबर अली मुंबई,मौलाना इश्तियाक़हुसैन सीतापूर, मौलाना माजिद रज़ा चितोड़ा मुज़फ्फ़रनगर,मौलाना अक़ील रज़ा हरियाणा,मौलाना शौकत अली बनारस, इसके अलावा विभिन्न धर्मों के गुरु और संगठनों और बड़ी संख्या में सुन्नी मुस्लमानों ने भी शिरकत की।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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