Archive | चित्रकूट

बुधवार की शाम जनपद वासियों के लिए कहर बन कर आया तूफान

Posted on 19 May 2010 by admin

तेज आंधी व ओलों की चपेट में आकर चार हुए घायल ,टीनें गिरने से तीन गायों की मौके पर हुई मौत

तेज आंधी के साथ गिरे ओलों से आम की फसल हुई चौपट,ओलों के से सब्जी की बारियों को हुआ नुकसान

भीषण गर्मी झेल रहे लोगों को अचानक बदले मौसम ने थोड़ी सी राहत तो दी लेकिन तूफान के रूप में आई तेज आंधी ने कहर भी खूब बरपाया। तूफान के साथ अचानक गिरे बड़े-बड़े ओलों से लोग चुटहिल भी हुए। लगभग दस मिनट तक चले आंधी और पानी के इस कहर से जहां एक ओर जनजीवन अस्त-व्यस्त रहा वहीं जगह-जगह पेड़ गिरने से राष्ट्रीय राजमार्ग समेत मुख्यालय के कस्बाई रास्ते भी बन्द हो गए। वहीं कच्चे घरों में रहने वालों के लिए तो आंधी बरबादी का आलम ले कर आई। जिसके चलते लोगों के टीन टप्पर व खपरैल तक उड़ गए। इसके अलावा बिजली की तारें टूट जाने से विद्युत आपूर्ति भी बाधित हो गई। विभागीय लोगों की माने तो विद्युत व्यवस्था सुचारू करने में काफी समय लग सकता है। पिछले एक सप्ताह से जनपदवासी भीषण गर्मी कीमार झेल रहे थे। दो दिन से तो पारा उतरने का नाम ही नहीं ले रहा था। बुधवार को भी लोग सबेरे से गर्मी के मारे परेशान हाल हो रहे थे। लेकिन अपराहन बाद लगभग तीन बजे से आसमान में बदली छा जाने से और ठण्डी हवाओं के झोकों से लोगों को राहत मिली और उम्मीद बंधी की जल्द ही बारिश होगी। वहीं शाम चार बजते-बजते हल्की ठण्डी हवाओं के झोकों ने उग्रता से तूफान का रूप धारण कर लिया। इसी के साथ ही अचानक  बड़े-बड़े ओले गिरते देख लोग भौचक्के रह गए। ओले गिरने के कुछ ही देर बाद तेज बारिश शुरू हुई जिसने आमजन को गर्मी से थोड़ी देर के लिए निजात दिलाई। लगभग दस मिनट तक चलने वाले तेज आंधी और पानी के दौरान जिले में जगह-जगह पेड़ों के गिरने से नेशनल हाइवे 76 के साथ-साथ जिले के अन्य मार्ग भी जाम हो गए। जिसके चलते सैकड़ों वाहन जहां के तहां रुक गए। इसके अलावा कच्चे माकान में रहने वालों के लिए तो आंधी और पानी कहर बन कर टूट पड़ा । तेज आंधी में खपरैलों के साथ-साथ लोगों के टीन-टप्पर भी उड़ गए। वहीं दूसरी ओर ओलों की मार व पेड़ों के गिरने से जिले में लगभग आधा दर्जन से लोग चुटहिल हो गए। हालांकि तूफान का मुख्य केन्द्र जिला मुख्यालय कर्वी ही रहा लेकिन इससे आस-पास के लगभग 20 किमी तक का इलाका प्रभावित हुआ।ckt1

चक्रवाती तूफान के साथ गिरे ओलों ने भयंकर तबाही मचा डाली। इस दौरान जहां बिजली गिरने से एक व्यक्ति बुरी तरह झुलस गया वहीं पेड़ गिरने व माकान का छज्जा टूट जाने से चार लोगों के गम्भीर रूप से घायल होने की खबर मिली है। इसके अलावा चित्रकूट में हनुमान धारा के पास निर्मोही अखाड़ा द्वारा संचालित गोशाला की टीनें गिरने से तीन गायों की मौके पर मौत हो गई जबकि सैकड़ों गायें बुरी तरह घायल हो गई।

बुधवार की शाम लगभग चार बजे आए भयंकर तूफान के साथ ही बड़े-बड़े ओले गिरने लगे। तेज आंधी के दौरान जगह-जगह पेड़ गिर गए वहीं कईयों के माकान भी धराशायी हो गए। आंधी में अपने घर के सामने लगे पेड़ के नीचे खड़े इटरौर भीषमपुर निवासी रामबाबू 30 पुत्र स्व. मोतीलाल अचानक बिजली गिरने से बुरी तरह झुलस गया। परिजनों ने उसे तत्काल जिला अस्पताल में भर्ती कराया। वहीं प्राथमिक उप स्वास्थ्य केन्द्र इटवा डुडैला में तैनात फार्मासिस्ट लक्ष्मी सागर सिंह 40 पुत्र जवाहर निवासी छिपनी बाहर खेरा ड्यूटी से वापस लौट रहा था रास्ते में आंधी आने से बचाव करने के लिए सीतापुर रामायण मेला परिसर के पास लगे पेड़ के नीचे खड़ा हो गया और आंधी में पेड़ गिरने से उसके नीचे दबकर वह गम्भीर रूप से घायल हो गया। जिसे आस-पास के लोगों ने किसी तरह निकाल कर इलाज के लिए अस्पताल भेजा। इसके अलावा पथरौड़ी गांव में आधी के कारण मकान का छज्जा गिर जाने से सखिया 50 पत्नी रघुनन्दन गम्भीर रूप से घायल हो गया। वहीं पथरामानी में बिजली कड़कने की आवाज से 15वर्षीय सब्बू पुत्र बच्छराज बेहोश हो गया। सभी घायलों का इलाज जिला अस्पताल में चल रहा है। वहीं बालक की स्थिति गम्भीर बनी हुई है। इसी तरह चित्रकूट में हनुमान धारा के समीप निर्मोही अखाड़ा द्वारा संचालित गोशाला की टीने आंधी में उड़ कर नीचे आ गिरीं जिनकी चपेट में आने से तीन गायों तो मौके पर ही मौत हो गई जबकि एक सैकड़ा से अधिक गायें चुटहिल हो गईं। इधर मुख्यालय कर्वी के आस-पास क्षेत्रो में केन्द्र बिन्दु बने तूफान व ओले की चपेट में आने से तरौहां कस्बे में भी दर्जनों लोग चुटहिल हुए हैं व कई जानवरों की मौत की खबर मिली है। ckt3

आंधी किसानों के लिए भी खतरनाक साबित हुई। इसके कारण कई वर्षो बाद पेड़ों पर आई आम की अच्छी फसल को भी नुकसान पहुंचा। आंधी में कई कुन्तल छोटे कच्चे आम नीचे आ गिरे। वहीं कुछ लोगों के कटहल के पेड़ों को भी नुकसान हुआ। इसी तरह बड़े-बड़े ओले गिरने से लोगों के द्वारा अपनी रोजी-रोटी के लिए लगाई गई सब्जियों की बारियां भी चौपट हो गईं। इन सबके साथ आंधी ने बिजली विभाग को भी काफी चोट पहुंचाई। तेज आंधी और पानी में सैकड़ों बिजली के खंभे गिर गए व जगह-जगह पर बिजली  के तार टूट गए। जिससे बिजली व्यवस्था पूरी तरह ध्वस्त हो गईं। जिसके चलते विभागीय लोगों ने आपूर्ति चालू करने में हाथ खड़े कर दिए। उधर अचानक आए इस तूफान ने कुछ देर के लिए संचार व्यवस्था भी बाधित कर दी। हालांकि दस मिनट तक चले आंधी पानी से लोगों को गर्मी से लोगों को राहत मिली लेकिन उसके बाद उमस भरी गर्मी में लोगों का जीना मुहाल हो गया। दूसरी ओर समाचार लिखे जाने तक नेशनल हाईवे में कपसेठी व नगर के एलआईसी तिराहा और पटेल तिराहा में गिरे भारी भरकम पेड़ों के चलते रास्ता अवरुद्ध रहा। प्रशासनिक अमले के लोग मार्ग चालू कराने के लिए युद्ध स्तर पर पेड़ हटवाने का कार्य जारी किए हुए थे।

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स्व. करवरिया के बड़े पुत्र राजेश को ही सौंपी गई कार्यकारी अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी

Posted on 19 May 2010 by admin

रामायण मेला समिति महामंत्री आचार्य बाबूलाल गर्ग के बेटे को संयुक्त महामंत्री बनाया गया
रामायण मेला भवनम् संरक्षण समिति का भी हुआ गठन
विरासत में मिले पद को कुशलता पूर्वक निभाने का किया वायदा

पूरे देश में ख्याति प्राप्त राष्ट्रीय रामायण मेला के रिक्त चल रहे कार्यकारी अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी आखिरकार समिति ने स्व. करवरिया के पुत्र को ही दे दी। साथ ही मेलासमिति के फाउण्डर महामंत्री के बेटे को संयुक्त महामंत्री बनाया गया है।  अपने पद का कार्यभार सम्भालते हुए नए कार्यकारी अध्यक्ष ने अपने पिता के पदचिन्हों पर चलते हुए रामायण मेला आयोजन को नई बुलन्दियों तक पहुंचाने का वायदा समिति के लोगों से किया। इसके अलावा उन्होंने पिता के सहयोगी रहे बड़े-बुज़ुर्गो को पिता तुल्य बताते हुए उनकी छत्राछाया में ही अपनी जिम्मेदारी निभाने की बात कही।

गौर तलब है कि प्रभु श्री राम की तपोस्थली चित्रकूट में समाजवादी चिन्तक डा. राममनोहर लोहिया के द्वारा आरम्भ किए गए रामायण मेला महोत्सव को स्थापना काल से ही जुड़े बाद में समिति के कार्यकारी अध्यक्ष बने स्व. गोपाल कृष्ण करवरिया ने पूरी जिम्मेदारी के साथ बाखूबी ऊंचाईयों तक पहुंचाया। उन्हीं की मेहनत का नतीजा है कि आज रामायण मेले को राष्ट्रीय रामायण मेले के नाम ख्याति मिली। और डा. राममनोहर लोहिया का सामाजिक समरसता का सपना नई बुलन्दियों तक पहुंचने लगा। लेकिन बीते माह कार्यकारी अध्यक्ष श्री करवरिया का रामायण मेला परिसर स्थित उनके विश्रामकक्ष में ही अचानक निधन हो गया था। जिसके बाद से समिति मे खाली पड़े कार्यकारी अध्यक्ष पद पर ऐसे व्यक्ति की ताजपोशी करने की चर्चाएं चल रही थी जो चित्रकूट की पहचान बन चुके इस महत्वपूर्ण आयोजन को और ऊंचाईयों पर ले जा सके। जिसको देखते हुए मेला समिति की कार्यकारिणी ने बीती 18 मई को स्व. करवरिया के बड़े पुत्रा राजेश कुमार करवरिया को कार्यकारी अध्यक्ष बनाए जाने का निर्णय लिया था। जिसकी घोषणा बुधवार को रामायण मेला परिसर में समिति के महामंत्री आचार्य बाबूलाल गर्ग ने कहा कि स्व. करवरिया राम के रामायणात्व को जन-जन तक पहुंचाने के लिए शुरू से ही समर्पित भावना से काम करते रहे।

उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि उत्ताराधिकार के रूप में मिले पद को  अब उनके बड़े पुत्र राजेश आगे बढ़ाएंगे। वहीं उन्होंने बताया कि अपनी बढ़ती उम्र के कारण समिति द्वारा उनके पुत्र मनोज मोहन गर्ग को मेला समिति का संयुक्त महामंत्री बनाया गया है और उन्हें आशा है कि विरासत में मिली जिम्मेदारी को वह सही तरीके से पूरी करेंगे।  वहीं इस बीच नवनिर्वाचित हुए कार्यकारी अध्यक्ष राजेश करवरिया ने कहा कि वे अपने पिता के पदचिन्हों पर चलते हुए पूरी जिम्मेदारी से रामायण मेले को नई बुलन्दियों तक पहुंचाने का प्रयास करेंगे। इसके अलावा उन्होंने स्व. श्री करवरिया के सहयोगी रहे समिति के वरिष्ठ पदाधिकारियों और सदस्यों के प्रति सम्मान व्यक्त करते हुए कहा कि वे सभी उनके मार्गदर्शक हैं और उन्हीं की सहमति से ही हर निर्णय लिया जाएगा। इस दौरान महामंत्री श्री गर्ग ने बताया कि रामायण मेला भवनम संरक्षण समिति भी बनाई गई है जिसके संरक्षक कार्यकारी अध्यक्ष करवरिया व अध्यक्ष डा. श्याममोहन त्रिपाठी बनाए गए हैं, तथा करुणाशंकर द्विवेदी, हरिशंकर गर्ग व मनोजगर्ग सदस्य नियुक्त किए गए हैं। इस मौके पर डा. श्याम मोहन त्रिपाठी, शिवमंगल शास्त्री, देवीदयाल यादव, मो. यूसुफ, राम प्रकाश श्रीवास्तव, कलीमुद्दीन बेग, प्रशान्त करवरिया आदि मौजूद रहे।

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अपने बच्चे से ज्यादा उसकी तस्वीर को सम्भालें

Posted on 19 May 2010 by admin

चित्रकूट-जब आप का बच्चा पैदा हो तब से लेकर हर  माह उसकी फोटो जरूर निकलवा कर रखे क्यो  कि यदि दुर्भाग्य से आप का बच्चा गुम हो गया तो पुलिस बिना उसकी फोटो के आप की गुमशुदगी की रिर्पोट नही लिख सकेगी।

उक्त जानकारी का खुलासा उस समय हुई जब ग्राम तरौंहा निवासी मुतीबुन निशा बेवा मरहूम जफर खान फरासन टोला इमाम बाडा के पास जिला चित्रकूट अपने नाबालिग बेटे साहिल खा उर्फ बॉबी उम्र 13 साल  की गुमशुदगी की रिपोर्ट लिखाने कोतवाली कर्वी गई। डयूटी मे तैनात  मुन्शी ने विना फोटो के उनकी प्रथम सूचना लेने से मना कर दिया। बच्चे के गम में दुखी मुतीबुन निशा वापस अपने घर आयीं और फोटो तलाशी और स्टूडियों से 5 फोटो पास पोर्ट साइज और एक पोस्ट कार्ड साइज बनवाकर दी फिर भी डयूटी पर तैनात मुन्शी ने प्रथम सूचना रिपोर्ट का प्रार्थना पत्र नही लिया परन्तु कोतवाली प्रभारी चन्द्रधर गौड की मदाख्लत से गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज हो सकी।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
upnewslive.com

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पत्थरों के साथ हल्की बारिश हुई

Posted on 19 May 2010 by admin

चित्रकूट - अचानक हुई बर्फ के पत्थरों की बारिश से जनजीवन थोडी देर के लिए थम सा गया था। पत्थर गिरने से ब्यस्त सडक भी सूनसान हो गई । लोक निमार्ण विभाग कार्यालय के सामने नीम का पेड गिरने से रास्ता जाम हो गया और कोई अनहोनी होने से टल गई।

बुधवार की शाम 4 बजे अचानक आसमान से बर्फ के पत्थर गिरने लगें। राहगीरो ने पत्थरों की मार से बचनें के लिए जहां जगह पायी शरण ली। पत्थरों की गिरने की रफतार इतनी तेज थी कि कुद वाहनों के शीशे चकना चूर हो गये। सार्वजनिक निर्माण विभाग कार्यालय के सामने एक पुड गिर गया जिससे कार्यालय का रास्ता बन्द हो गया। एक नीम का पेड बस स्टैन्ड के पहले गिर गया जिससे भी कोई अनहोनी होने से बच गई। सब्जी के थोक व फुटकर व्यवसायी मोहम्मद शफी ने पत्थरों की रफतार के बारे में बताया कि ह दूकान के अन्दर बैठे थे और एक पत्थर उनके पैर में लगा तो ऐसा लगा कि किसी ने गोली मार दी हो। अजय रिछारिया ने बताया कि पत्थर देख कर छोटे बच्चे डर गये और सहम गये। कुछ लोगों का कयास है कि अब मोसम खुशगवार हो जायेगा।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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डी 14 गैंग का लीडर राजा खान अपने साथी के साथ एसटीएफ के हाथों हुआ ढेर

Posted on 17 May 2010 by admin

60 हजार का ईनामी था राजा खान उर्फ ओमप्रकाश
दाहिने हाथ राहुलपण्डित पर भी था 22 हजार का ईनाम
लोगों ने एसटीएफ टीम को दी बधाई

मानिकपुर - थोड़े ही समय में अपने आतंक का पर्याय बन चुका अंर्तरप्रान्तीय डकैत राजा खान अपने दाहिने हाथ राहुल पण्डित के सहित सोमवार की तड़के एसटीएफ के साथ हुई मुठभेड में प्रशिक्षित कमाण्डों द्वारा ढेर कर दिया गया। 60 हजार के ईनामी बदमाश राजा खान पाठा क्षेत्रा में दूसरे नंबर का बड़ा गैंग लीडर था। मुठभेड़ के दौरान उसके पास से पुलिस से लूटी थ्री नॉट थ्री रायफल व 22 हजार के ईनामी राहुल पण्डित के कब्जे से 12 बोर की दोनाली बन्दूक व भारी मात्रा में कारतूस बरामद हुए हैं।
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बड़े गैंगों के सफाए के बाद शान्त हो चुके पाठा इलाके में इधर एक बार फिर छुटभैया डकैतों ने सर उठाना शुरू कर दिया था। जिनमें बड़ी तेजी से उभर कर सामने आए डी 14 गैंग के लीडर दस्यु राजा खान उर्फ ओमप्रकाश यादव ने अपने साथियों सहित पाठा क्षेत्रा में थोड़े ही समय में अपने आतंक के बल पर दहशत फैला दी थी। वह मानिकपुर के ग्रामीण इलाकों में संचालित पत्थर की खदानों में तो वसूली करता ही था साथ ही गांवों हो रहे विकास कार्यों में चौथ न मिलने पर कई काम भी बन्द करवाए थे। उसके आतंक से लोग इतने भयभीत हो गए थे कि मानिकपुर इलाके में काम करवाने की हिम्मत किसी भी ठेकेदार की नहीं होती थी। इसी के चलते विभिन्न विभागों द्वारा संचालित दर्जनों विकास कार्य ठप्प हो गए थे। दस्यु राजा खान द्वारा इधर कई सामाजिक संस्थाओं के कार्यों में भी हस्तक्षेप करते हुए उनसे भी चौथ देने की मांग की जाने लगी थी। उसके डर से पाठा के ग्रामीण इलाकों में समाज कार्य कर रही संस्थाओं के कार्यकर्ताओं ने भी अपना काम बन्द कर दिया था। ग्रामीण इलाकों में घटनाएं दर घटनाएं करते हुए उसने पुलिस की नाक में भी दम कर दिया था। जिसके बाद से जिला पुलिस बदमाशों की तलाश में सघन अभियान चला रही थी। वहीं इसी बीच जिले को ददुआ और ठोकिया से मुक्ति दिलाने वाली एसटीएफ ने भी गैंगों को ठिकाने लगाने के लिए कमर कसते हुए अपना अभियान शुरू कर दिया था। रविवार की देर रात एसटीएफ को उसके सूत्रो से जानकारी मिली कि मारकुण्डी थानान्तर्गत मोटवन जंगल में डी 14 गैंग का लीडर दस्यु राजा खान उर्फ ओम प्रकाश यादव अपने दाहिने हाथ राहुल तिवारी उर्फ राहुल पण्डित के साथ मौजूद है। जिस पर एसटीएफ के डिप्टी एसपी आलोक जायसवाल के नेतृत्व में सोमवार की तड़के लगभग ढाई बजे इंस्पेक्टर ऋषि यादव, उप निरीक्षक एफ आर खान, उपनिरीक्षक महावीर समेत एक दर्जन प्रशिक्षित कमाण्डों से लैस टीम ने बदमाशों की घेराबन्दी करने के लिए जैसे ही नाले को पार किया कि एसटीएफ टीम पर बदमाशों की ओर से फायर होने लगे। एसटीएफ जवानों ने भी अपना बचाव करते हुए जवाबी फायरिंग की। जिसमें कुछ ही देर बाद सामने की ओर फायरिंग रुक जाने पर एसटीएफ टीम ने आड़ लेकर 17ckt10नजदीक पहुंची तो दस्यु राजा खान उर्फ ओम प्रकाश यादव मर चुका था। जबकि एक बदमाश भागता दिखा जिसे ललकारते हुए रुकने के लिए कहा गया। लेकिन वह एक ढह चुके घर की आड़ लेकर एसटीएफ जवानों पर दोबारा फायर करने लगा। जिसे नाले के दूसरे कोने से आई कमाण्डों की टीम ने तड़के लगभग साढ़े तीन बजे ढेर कर दिया।
जिसकी पहचान राहुल पण्डित उर्फ राहुल तिवारी के रूप में की गई। मुठभेड़ के बाद एसटीएफ के डिप्टी एसपी आलोक जायसवाल ने बताया कि अन्तर्रप्रान्तीय दस्यु सरदार राजा खान के पीछे उनकी टीम पिछले तीन दिनों से लगी हुई थी। जहां कई बार दस्यु उनको चकमा दे कर निकल भागा था। लेकिन रविवार की रात एक बार उन्होंने फिर मारकुण्डी थाना क्षेत्रा के टिकरिया स्टेशन से लगभग डेढ़ किलोमीटर आगे मोटवन जंगल में उसे घेर लिया गया। जहां उनके कमाण्डों ने बिना किसी नुकसान के उसे ठिकाने लगाने में सफलता पाई। उन्होंने बताया कि राजा खान उर्फ ओम प्रकाश यादव निवासी बिलहरी थाना बहिलपुरवा के कब्जे से पुलिस से लूटी गई थ्री नॉट थ्री रायफल और राहुल पण्डित उर्फ राहुल तिवारी निवासी कैलहा थाना बहिलपुरवा के कब्जे से 12 बोर की दो नाली बन्दूक व आधा सैकड़ा विभिन्न बोरों के कारतूस बरामद हुए हैं। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा राजाखान उर्फ ओम प्रकाश के ऊपर 50 हजार का ईनाम था। जबकि मध्यप्रदेश पुलिसा द्वारा दस हजार रुपये का ईनाम घोषित था। वहीं उसके दाहिने हाथ राहुल पण्डित के ऊपर यूपी से 12 हजार और एमपी से 10 हजार रुपये का ईनाम घोषित किया गया था। इधर एसटीएफ के हाथों डी 14 गैंग के लीडर राजा खान के ठोके जाने की खबर मिलते ही पुलिस कप्तान डा. तहसीलदार सिंह, सीओ सिटी उदयशंकर, सीओ मानिकपुर, एसडीएम सदर गुलाब सिंह, कोतवाली प्रभारी सीडी गौड़, मारकुण्डी एसओ भाष्कर मिश्रा, मानिकपुर एसओ के के मिश्रा, मऊ एसओ हरिशरण यादव, भारी पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंच गए। साथ ही दस्यु के मरने की खबर फैलते ही सैकड़ों लोगों का हुजूम भी मोटवन जंगल पहुंचा था जो दस्यु राजा खान के ठोके जाने से राहत की सांस लेते हुए एसटीएफ टीम की वाहवाही कर रहा था।

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अब भूंख से नही मरेगा कोई गरीब किसान: फातिमा

Posted on 17 May 2010 by admin

चित्रकूट,एक्शन एड लखनऊ के सहयोग से प्रगति माध्यम समिति चित्रकूट ने 5 ग्रामों में ग्रेंन बैंक की स्थापना कर दी है। इस ग्रेंन बैंक से कोई भी गरीब जरूरतमन्द अनाज उधार लेकर अपनी भूख शान्त कर सकता है।

उक्त जानकारी प्रगति माध्यम समिति की मुखिया सुश्री शहरोज फातिमा ने दी। सुश्री फातिमा ने आगे बताया कि लगातार कई वर्षो से पड रहे सूखे के कारण किसानों की जिन्दगी में बहुत असर पडा हैं। वह  अपना व अपने बच्चों का पेट भरने में मनरेगा  योजना का भी लाभ नहीं उठा रहा है।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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पीठों व मठों पर गलत आरोप लगाना धर्म के लिए खतरनाक - नरेन्द्रानन्द सरस्वती

Posted on 11 May 2010 by admin

तीर्थ भ्रमण पर चित्रकूट आए सुमेरुपीठ काशी के शंकराचार्य स्वामी नरेन्द्रानन्द सरस्वती ने मंगलवार पत्रकारों से भी मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने कहा कि मठ और पीठ पर आधिपत्य को लेकर विवाद करना गलत है क्योंकि जिस सुमेरुपीठ को आज स्वामी स्वरूपानन्द पीठ मानने से इंकार कर रहे हैं उन्होंने स्वयं दस वर्षो तक यहीं रहकर शिक्षा ली थी। अब उसी को पीठ न मानना गुरुद्रोह है। अगर द्वारिका पीठ के स्वामी स्वरूपानन्द उनसे इतने ही विद्वान है तो वे सार्वजनिक तौर पर शास्त्रार्थ करें। वे हमेशा इसके लिए तैयार हैं।

मंगलवार को पोद्दार इंटर कालेज सीतापुर के पूर्व प्रधानाचार्य रामभवन उपाध्याय के आवास में तीर्थ क्षेत्र भ्रमण में आए सुमेरुपुर काशी के शंकराचार्य नरेन्द्रानन्द सरस्वती ने कहा कि लंबे समय से द्वारिका पीठ के स्वामी स्वरूपानन्द सुमेरुपीठ को पीठ ही मानने से इंकार कर आमजन के बीच स्वयं मजाक बन रहे हैं। क्योंकि इसी सुमेरुपीठ में 1962 से 1972 तक वे स्वयं रहकर शिक्षित हुए थे जिसमें उत्तर मध्यमा की परीक्षा में अनुत्तीर्ण भी हो गए थे। अब ऐसे में वे किस आधार पर सुमेरुपीठ पीठ नहीं मानते हुए अपने गुरू का ही द्रोह कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि वे स्वामी स्वरूपानन्द को चुनौती देते हुए सार्वजनिक रूप से शास्त्रार्थ करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि यदि स्वरूपानन्द स्वयं को शंकराचार्य मानते तो यह साबित करने के लिए उनसे देश के प्रमुख सन्तों, विद्वानों, आमजनता व मीडियाकर्मियों की मौजूदगी में शास्त्रार्थ करें। उन्होंने कहा कि जो भी इसमें हारेगा वह दूसरे का शिष्य कहलाएगा या फिर उसे  जीवित समाधि लेनी पड़ेगी।

वहीं उन्होंने बीते दिनों दिल्ली में सेक्स स्कैण्डल में पकड़े गए भीमानन्द के बारे में बोलते हुए कहा कि उसने कुछ समय पहले बातचीत के दौरान कहा कि वह स्वामी स्वरूपानन्द का शिष्य है। इस मामले की उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए और गेरुआ वस्त्रा धारण कर लोगों को भ्रमित करने वाले लोगों पर कार्रवाई भी होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि कुंभ मेले के दौरान भी उन्होंने स्वामी स्वरूपानन्द के बयान पर चर्चा की थी। लेकिन वे सामने न आकर इधर-उधर से अपने बयान जारी कर रहे हैं। यह सन्त परंपरा के लिए गलत है। साथ ही उन्होंने कहा कि अनादि शंकराचार्य ने सुख शान्ति के लिए अपने चार पीठ बना इस संस्कृति को आगे बढ़ाया था लेकिन वर्तमान समय द्वेषभाव के चलते आज लगातार लोगों द्वारा कटाक्ष किया जा रहा है। जो धर्म के साथ-साथ राष्ट्रीय एकता के लिए खतरनाक साबित हो सकता है।

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अवैध खनन और बिना मानक के चल रहा क्रेशर उद्योग बना लोगों के मुसीबत

Posted on 07 May 2010 by admin

चित्रकूट -   बढ़ रहा है प्रदूषण, नष्ट हो रही प्राकृतिक सुन्दरता, समाप्त होने को है नदियों का अस्तित्व, बरबाद हो रहे हैं उपजाऊ खेत, शिकायत कर्ताओं पर ही होती है विभागीय कार्रवाई, विरोध करने पर सहना पड़ता है ग्रामीणों को दबंगों का कहर। आखिर कौन है इन सबका जिम्ममेदार यदि हम इन सब बातों पर गौर करें तो केवल बस यही निष्कर्ष निकलता है कि इसकी जिम्मेदारी जिले में चल रही अवैध बालू खदानों और बिना मानक के अंधाधुंध चलने वाले क्रेशर उद्योग को ही दी जा सकती है। जहां एक ओर  अवैध बालू खदानों के गोरख धंधे में शामिल लोग अच्छीखासी कमाई कर रहे है वहीं प्रतिदिन हजारों रुपये का सरकारी राजस्व की चोरी भी हो रही है। प्रभू श्री राम की तपोस्थली चित्रकूट जिले में आज भी उनकी कृपा बनी हुई है। जिसके चलते यहां जड़ी-बूटियों के साथ-साथ पर्याप्त मात्रा में खनिज पदार्थ भी पाया जाता है। जहां एक ओर पहाड़ों से निकलने वाला ग्रेनाइट पत्थर लोगों को मालामाल कर रहा है वहीं दूसरी ओर जिले के विभिन्न स्थानों से निकलने वाली छोटी-बड़ी नदियों के घाटों में मौजूद रेत भी सोना साबित हो रही है। हालांकि इनका व्यापार करने के लिए प्रशासन द्वारा ठेकेदारों को खदानों का पट्टा दिया जाता है लेकिन इनसे अच्छी कमाई होने के चलते दबंगों द्वारा अवैध खदाने चलाई जाने लगी। जिसके चलते नदियों और पहाड़ों का अस्तित्व तो संकट में आ ही गया है साथ ही बिना मानकों के चल रहे क्रेशर उद्योग प्रदूषण बढ़ाने में सहायक सिद्ध हो रहा है।

जिले में मौजूद है अपार प्राकृतिक खनिज संपदा जहां एक ओर जिले की सीमा में प्रहरी के रूप में खड़ी विंध्यपर्वत श्रृंखलाओं में तमाम तरह की जड़ी-बूटियों  के साथ-साथ ग्रेनाई पत्थर अच्छी खासी मात्रा में पाया जाता है तो वहीं दूसरी ओर पहाड़ी, मऊ, राजापुर आदि ग्रामीण इलाकों से निकलने वाली नदियों के किनारे अच्छी गुणवत्ता वाली भरपूर बालू भी निकलती है। जिसके चलते जिले में बालू व पत्थर उद्योग को बढ़ावा देने के लिए प्रशासन द्वारा पट्टे पर खदानें दी जाती हैं। जिनके माध्यम से ठेकेदार तो फायदा उठाते ही हैं सरकारी राजस्व की भी बढ़ोत्तरी होती है।

चल रही है अवैध खदानें पट्टे पर पत्थर व बालू की खदानों के ठेकेदारों की अच्छी कमाई को देख जिले के दबंग और असरदार लोगों ने अपनी हनक के बल पर अवैध खदानें चलानी शुरू कर दी। जिसके चलते एक ओर लौरी, हनुमानगंज, इटवा, भौंरी, लोखरी, भरतकूप, रसिन आदि गावों के किनारे स्थित पहाड़ों में अवैध पत्थरों की खदाने चल रही है। इसी तरह पहाड़ी थानान्तर्गत ओरा, नहरा, लोहदा, दरसेड़ा, परसौंजा, चिल्ला, कहेटा, सकरौली, ममसी, राजापुर व मऊ आदि के नदी किनारे बसे गांवों में बालू माफियाओं द्वारा प्रतिदिन अवैध खनन कर सैकड़ों ट्रैक्टर बालू निकाली जा रही है। जिसके चलते ग्रामीणों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। ग्रामीणों का आरोप है कि अवैध खदानों के संचालन में दबंगों का साथ सम्बंधित सरकारी मशीनरी के लोग भी देते हैं। जिसका फायदा अवैध खदानों को चलाने वाले लोग उठाते हैं।

बढ़ रहा है प्रदूषण समाप्त हो रही है प्राकृतिक सुन्दरता वैसे देखा जाए तो चित्रकूट का प्राकृतिक सौन्दर्य अपनी चरम सीमा पर है लेकिन इसमें विंध्यपर्वत श्रृंखला की छोटी-छोटी पहाड़ियों में छाई हरियाली और  बरसात  के समय इनसे गिरने वाले झरने यहां की सुन्दरता में चार चान्द लगाते हैं। इन सबके बावजूद भी दशकों से दस्यु समस्या झेल रहे इस पूरे इलाके में पर्यटन उद्योग को बढ़ावा नहीं मिल सका। इसके अलावा जब इन पहाड़ों व नदियों की प्राकृतिक सुन्दरता में अवैध खनन करने वाले माफियाओं की नज़र पड़ी तो इसमें जैसे ग्रहण ही लग गया। जिसके कारण जिलेे में प्रदूषण तो बढ़ा ही साथ ही साथ नदियों के अस्तित्व पर भी खतरा मण्डराने लगा है। आपरेशन पोस्ट भरतकूप के अलावा जिले के अन्य कई स्थानों पर चल रहे क्रेशर उद्योगों का प्रभाव आस-पास के इलाके में मौजूद प्राकृतिक वनस्पतियों पर पड़ने लगा है। जिसका खामियाजा ग्रामीणों को भुगतना पड़ता है।

मिल रहा है बढ़ावा अवैध खनन को
भरतकूप के अलावा जिले के अन्य इलाकों में चलने वाली क्रेशर मशीनों में पत्थरों की अच्छी खासी खपत को देखते हुए  पहाड़ियों में खदानों की संख्या भी बढ़ गई है। इनमें से कुछ का तो खनिज विभाग से पट्टा है लेकिन ज्यादातर  अधिकतर खदाने अवैधरूप से चल रही हैं। सूत्रो की माने तो पट्टे की खदानों से महंगे दामों  में पत्थर खरीदने के बजाए ज्यादातर क्रेशर उद्योग मालिक क्षेत्रा में चल रही अवैध खदानों से निकलने वाले पत्थरों को खरीदते हैं। जिससे यहां अवैध पत्थर खदानों को बढ़ावा तो मिल ही रहा है साथ ही  पहाड़ भी खोखले होते जा रहे हैं। इसी तरह ग्रामीण विकास में होने वाले निर्माण कार्यों को कराने वाले ठेकेदार व सम्बंधित लोग भी बालू व पत्थर के अवैध खनन को बढ़ावा दे रहे हैं।
होती है मानकों की अनदेखी

बिना मानकों के चलने वाले क्रेशर उद्योग से आसपास इलाके का पूरा वातावरण को प्रदिूषत होता जाता है। लोग बताते हैं कि जब क्रेशर मशीनें चलती हैं उस समय इतनी गर्द हवा में मिल जाती है कि सांस लेना भी दूभर हो जाता है। इसके अलावा इन मशीनों से निकलने वाली धूल शाम होने से पहले ही अंधेरा कर देती है। जिसके कारण नजदीक का नजारा भी नहीं दिखाई देता। ग्रामीणों का कहना है कि मशीनें चलने के बाद शाम के समय सामने से आ रहे वाहनों की स्थिति भी उनके काफी पास आ जाने पर ही समझ में आती है। जिसके कारण कभी-कभी भयानक हादसे की स्थिति बन जाती है। लोग बताते हैं मशीनों से निकलने वाली धूल से छायी धुंध के चक्कर में अक्सर उनको मार्ग दुर्घटनाओं का सामना करना पड़ता है।  सूत्र की माने तो शायद ही किसी के पास पर्यावरण विभाग का प्रमाणपत्र हो। इसके अलावा क्रेशर मशीन चलाते समय पानी का छिड़काव किया जाना चाहिए जबकि उद्योग संचालकों द्वारा ऐसा नहीं किया जाता ।

बरबाद हो रहे हैं खेत

आपरेशन पोस्ट भरतकूप क्षेत्र में अंधाधुंध चल रहे स्टोन के्रशर उद्योग के प्रदूषण से आस-पास क्षेत्रो में मौजूद ग्रीन बेल्ट भी धीरे-धीरे समाप्त हो रही है। जिसका खामियाजा ग्रामीणों का भुगतना पड़ रहा है।  लोगों का कहना है कि मशीनों से निकली धूल से आदमी ही नहीं पेड़ पौधों का जीना भी मुहाल हो गया है। क्रेशर मिल के आस-पास मौजूद खेतों व पेड़ों को देखा जाए तो इनके पत्ते हरे दिखाई देने के बजाए पूरा पेड़ सफेद दिखाई देता है। इतना ही नहीं मशीनों से  निकली वाली धूल खेतों में गिरने के कारण मशीनों के नजदीक स्थित खेतों का उपजाऊपन भी नष्ट हो चला है। वहीं दूसरी ओर रात के अंधेरे में अवैध खदानों से बालू भर कर निकलने वाले वाहनों के कारण खेतों की मिट्टी खराब होती है। ग्रामीण बताते हैं कि जब उनकी फसलें खेतों में खड़ी होती हैं उस समय उनको भारी नुकसान उठाना पड़ता है।

चायपान की दुकान व ढाबे चलाने वाले लोग भी हैं परेशान
आपरेशन पोस्ट भरतकूप के मुख्य मार्ग में अपनी छोटी-छोटी चाय पान की दुकान व ढाबों आदि के जरिए रोजी रोटी चलाने वाले लोग भी यहां क्रेशर उद्योग के कारण बढ़े प्रदूषण के चलते हलाकान हो गए हैं। उनका कहना है कि खाने पीने की चीजें बनाते समय उन्हें काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। मशीनों से उठने वाली धूल उनकी दुकानों तक भी आती है जिसके कारण खाने पीने का सामान खराब होता है।

आजिज आ चुके लोगों को है कार्रवाई का इन्तजार

क्रेशर उद्योग संचालकों द्वारा मानकों की अनदेखी व मनमानी से आजिज आ चुके ग्रामीणों का कहना है कि इस उद्योग से जुड़ा हर विभाग इनकी मनमानी जानता है लेकिन इनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाती। ग्रामीणों का कहना है कि अब उन्हें मानकों की अनदेखी करने वाले क्रेशर संचालकों के खिलाफ कार्रवाई होने का इन्तजार है। वहीं लोगों का कहना है कि यदि इनका विरोध किया जाता है तो दबंगों के कहर का शिकार होना पड़ता है। इसके अलावा यदि प्रशासन से शिकायत की जाती है तो उल्टे शिकायत कर्ता के खिलाफ ही कार्रवाई हो जाती है और किसी को सम्बंधितों की नोटिस मिल जाती है तो किसी पर शिकायत वापस लेने का दबाव डाला जाता है।

नरेन्द्र मिश्रा

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मुठभेड़ के दौरान पुलिस की पकड़ में आए नकली नोटों के व्यापारी

Posted on 04 May 2010 by admin

लेन-देन विवाद होने के कारण फंस गए जाल में

चित्रकूट -   नकली नोटों का व्यापार करने वालों में लेन-देन करते समय आपस में झगड़ा हो गया। उनको आपस में झगड़ता देख आस-पास मौजूद लोगों की सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस और युवकों की बीच हुई मुठभेड़ में तीन को गिरफ्तार कर लिया गया। जबकि उनके कब्जे से 32 बोर का देशी रिवाल्वर व एक 315 बोर का तमंचा भी बरामद हुआ है। गिरफ्तार लोगों में से दो का तो लंबा आपराधिक इतिहास भी पुलिस द्वारा बताया जा रहा है। जिसमें हत्या, अपहरण समेत कई गम्भीर मामले दोनों के विरुद्ध विभिन्न जनपदों में चल रहे हैं।

मिली जानकारी के मुताबिक मंगलवार की दोपहर सीतापुर कस्बे के रामघाट के नजदीक स्थित पितृ स्मृति विश्राम गृह के दो नवयुवक एक अधेड़ व्यक्ति के ऊपर असलहा तान दो लाख रुपये साथी से मंगाने की बात कह रहे थे। इसी बीच किसी ने मामले की सूचना पुलिस अधीक्षक बीरबहादुर सिंह को दे दी। उन्होंने तत्काल चौकी प्रभारी सीतापुर इन्द्रपाल बुन्देला को मौके पर भेजा। पुलिस कर्मी तीन पार्टियां बनाकर कुछ ही देर में रामघाट पहुंच गए और युवकों को घेरने का प्रयास करने लगे। पुलिस को आता देख युवकों ने पुलिस पार्टी पर फायर करना शुरू कर दिया। जिसका बचाव करते हुए कुछ ही देर बाद दोनों नवयुवकों समेत अधेड़ को चौकी के सिपाही सन्तोष ओझा, सीताराम, चन्द्रमा तिवारी, भानु प्रताप व रामध्वज ने पकड़ने में सफलता पाई। पुलिस ने पकड़े गए दोनो नवयुवकों में से एक पास से 32 बोर का देशी रिवाल्वर व दूसरे के पास 315 बोर का तमंचा भी बरामद करते हुए सीतापुर पुलिस चौकी लाए। जहां उनकी पहचान शातिर अपराधी उमाकान्त पाण्डेय पुत्र श्यामसुन्दर निवासी रसिन व शैलेन्द्र उर्फ बउवा पुत्र जगपाल अलीगंज बान्दा के रूप में हुई। जिसमें उमाकान्त ने बताया कि उसकी कौशांबी निवासी राजेश तिवारी से दो लाख नकली नोट के बदले एक लाख के असली नोट देने का वायदा हुआ था। उसी का लेन-देन करने के लिए वे लोग रामघाट पहुंचे थे। जहां वह पहले से तय रणनीति के अनुसार अपने साथी शैलेन्द्र उर्फ बउवा को भी लिवा लाया था। जो दो लाख रुपये नकली नोट मिलते ही राजेश तिवारी व उसके आने वाले साथी को गोली मार रुपये लेकर रफूचक्कर हो जाता। उसने बताया कि लेकिन जब राजेश उसे अकेले मिला तो उसने नोट मांगे। इस पर राजेश ने उससे असली नोट दिखाने की बात कही उस वक्त तक राजेश का साथी कहीं नज़र नहीं आ रहा था। इसी बीच शैलेन्द्र उर्फ बउवा ने रिवाल्वर निकाल राजेश की कनपटी पर सटा दिया और फोन कर उससे अपने साथी को नकली नोटों के साथ बुलाने के लिए कहा। इसी बीच वे लोग पुलिस के हत्थे चढ़ गए और नकली नोट लेकर आया राजेश का अज्ञात साथी मौके से भागने में सफल रहा।  वहीं कोतवाली प्रभारी सीडी गौड़ ने बताया कि उमाकान्त शातिर अपराधी है उसके ऊपर अपहरण समेत लूट के कई मामले दर्ज हैं और उसकी तलाश में पुलिस काफी समय से जुटी हुई थी। उन्होंने बताया कि शैलेन्द्र उर्फ बउवा बान्दा जिले का चर्चित अपराधी है। इसके खिलाफ भी दो दर्जन से अधिक मामले जनपद समेत विभिन्न थानों में चल रहे हैं। जिसमें बान्दा जिले का चर्चित दोहरा हत्याकाण्ड  समेत बियर दुकान चलाने वाले युवक की नृशंसता पूर्वक हत्या का मामला शामिल है।

उन्होंने कहा कि काफी समय से यह जनपद चित्रकूट के आस-पास ही रहकर घटनाओं को अंजाम दे रहा था और उसकी व उमाकान्त की दोस्ती जेल में उस समय हुई थी जब दोनों अलग-अलग मामलों में बन्द थे। वहीं श्री गौड़ ने बताया कि राजेश तिवारी का आपराधिक रिकार्ड वे पड़ोसी जनपद कौशांबी से मंगवा रहे हैं ताकि इसके द्वारा किए गए दूसरे अपराधों की जानकारी हो सके। दूसरी ओर रामघाट में दोपहर के समय हुए इस मामले से लोगों में दहशत फैल गई कि नकली नोटों के कारोबारी यहां भी अपनी पैठ जमाने लगे हैं जिसमें लेन-देन के चक्कर में ही यह तीनों व्यक्ति पुलिस से मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार हुए हैं। पुलिस ने तीनों के खिलाफ 307, 12/14 आदि धाराओं में मामला दर्ज कर जेल भेज दिया है।

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संस्था वनागंना ने छ: दिवसीय प्रशिक्षण दिया

Posted on 02 May 2010 by admin

चित्रकूट (ब्यूरो) महिलाओं के अधिकारों के लिए लडने की पहचान बनाने वाली संस्था वनागंना ने छ: दिवसीय प्रशिक्षण देकर अन्य संस्थाओं को भी महिलाओं के हक की खातिर लडने के लिए कमर कसा दिया है। इस आवासीय प्रशिक्षण में कई संस्थाओं के 50 कार्यकर्ता साथियों ने सफल प्रशिक्षण प्राप्त किया।

उक्त जानकारी वनांगना की प्रशिक्षिका ममता सोनी ने दी । उन्होनें बताया कि इस प्रशिक्षण का मुख्य उददेश्य महिलाओं व दलितों के मुददे सामने आने पर हम उस मुददों को कैसे सम्बोधित करें। जातीय व लिंग आधारित व्यवस्थाए किस प्रकार से समाज को प्रभावित करती हैं। इस मुददे पर कार्यकर्ताओं की समझ का खुलासा करते हुए उन्हें नेतृत्व व निर्णय की भूमिका में आगे लाने का प्रयास किया गया है। ताकि प्रशिक्षण के पश्चात अपनी अपनी संस्था में कार्यकर्ता प्रभावी तरीके से आगे ले जा सकें। इस प्रशिक्षण में उक्त समझ को और बेहतर बनाने के लिए देश विदेश का तजुरबा हासिल मशहूर प्रशिक्षिका माधुरी कुकरेजा ने जातीय पहचान,जातिगत इतिहास और पित्तसत्ता से जुडाव तथा जातिगत राजनीति की समझ कार्यकर्ताओं के अन्दर पैदा की। अनेक तरीकों से प्रतिभागियों को समझा कर उसी समय उनकी प्रतिभा का परखा गया है। निरन्तर दिल्ली से आयीं प्रशिक्षिका पूिर्णमा ने बहुत बेहतर तरीके से जाति और शिक्षा का जुडाव एवं जातिऔर यौनिकता पर सत्र चलाई। प्रशिक्षण के दौरान प्रशिक्षार्थियों को वाद विवाद एवं तर्क वितर्क के माध्यम से एक दूसरे के अन्दर समझ पैदा करने का सफल तरीका अपनाया गया। पुश्पा,रातरानी वनांगना से प्रशिक्षिका के रूप् में जुडीेंं।

प्रगति माध्यम समिति की कार्यकर्ता रूपाली श्रीवास्तव ने माधुरी दीदी व ममता दीदी के द्वारा प्रशिक्षण देने की शैली की सराहना करते हुए कहा कि जो हमे प्रशिक्षण में सिखाया गया है हमें हमेशा याद रहेगा और हम कभी भी उसे नहीं भूलेगेंं। उक्त प्रशिक्षण में डग नेटवर्क लखनउ, एक्शन एड छतरपुर,संकल्प सा0संस्थान जौनपुर,अस्तित्व सामाजिक संस्थान सहारनपुर, प्रगति माध्यम समिति चित्रकूट,सहयोगी ग्रामीण वि0संस्थान कानपुर,सहजनी शिक्षण केन्द्र ललितपुर,खबर लहरिया चित्रकूट,सनतकदा लखलउ,महिला समाख्या चित्रकूट एवं बान्दा नरैनी,अर्तरा,बदौसा,भरतकूप,कर्वी रैपुरा,मानिकपुर आदि संगठनों के साथी शामिल हुए।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
upnewslive.com

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