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मुख्यमंत्री ने जन शिकायतों के समयबद्ध निस्तारण में लापरवाही बरतने और उदासीनता दिखाने के कारण 10 वरिष्ठ अधिकारियों से स्पष्टीकरण मांगे जाने के निर्देश दिए

Posted on 10 June 2017 by admin

मुख्यमंत्री ने सचिव बेसिक शिक्षा परिषद (इलाहाबाद), निदेशक बेसिक शिक्षा, निदेशक माध्यमिक शिक्षा, अपर निदेशक माध्यमिक शिक्षा तथा अपर निदेशक बेसिक शिक्षा से स्पष्टीकरण मांगने के निर्देश दिए
महानिदेशक चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, निदेशक समाज कल्याण, निदेशक पंचायती राज, प्रमुख अभियन्ता लोक निर्माण विभाग तथा प्रमुख अभियन्ता सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग से भी स्पष्टीकरण मांगा जाए
जन-शिकायतों का समयबद्ध तथा गुणवत्तापूर्ण निस्तारण राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकताओं में शामिल, इस सम्बन्ध में लापरवाही बरतने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होगी: मुख्यमंत्री
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने जन शिकायतों के समयबद्ध निस्तारण में सबसे ज्यादा खराब प्रदर्शन करने वाले 10 वरिष्ठ अधिकारियों से स्पष्टीकरण मांगे जाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने जिन अधिकारियों से स्पष्टीकरण मांगे जाने के निर्देश दिए हैं, उनमें सचिव बेसिक शिक्षा परिषद इलाहाबाद, महानिदेशक चिकित्सा एवं स्वास्थ्य, निदेशक बेसिक शिक्षा, निदेशक माध्यमिक शिक्षा, निदेशक समाज कल्याण, निदेशक पंचायती राज, अपर निदेशक माध्यमिक शिक्षा (इलाहाबाद), अपर निदेशक बेसिक शिक्षा (इलाहाबाद), प्रमुख अभियन्ता लोक निर्माण विभाग तथा प्रमुख अभियन्ता सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग शामिल हैं।
मुख्यमंत्री जी ने मुख्य सचिव को निर्देशित किया है कि वे इन अधिकारियों का स्पष्टीकरण प्राप्त करते हुए जन-शिकायतों के निस्तारण में अपेक्षित गति लाया जाना सुनिश्चित करें। ज्ञातव्य है कि मुख्यमंत्री जी द्वारा लोक-शिकायतों के निस्तारण की समीक्षा की गई थी। उन्होंने अधिक संख्या में संदर्भाें के अनिस्तारित रहने को चिन्ताजनक बताते हुए इन अधिकारियों से स्पष्टीकरण तलब किए जाने का फैसला लिया है। उन्होंने कहा है कि जन-शिकायतों का निर्धारित समय सीमा में गुणवत्तापूर्ण निस्तारण राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकताओं में शामिल है और इस सम्बन्ध में लापरवाही बरतने वालों के विरूद्ध सख्त कार्रवाई होगी।

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6 माह में राज्य के 100 चिकित्सालयों को ई-हाॅस्पिटल योजना से आच्छादित किया जाएगा

Posted on 06 June 2017 by admin

  • जिन वादों में राज्य सरकार पक्षकार है, उन सभी मुकदमों की समीक्षा करते हुए प्रदेश सरकार यथावश्यक निर्णय लेगी: मुख्यमंत्री
  • त्वरित न्याय के लिए 10 वर्ष से पूर्व के मुकदमों की भी समीक्षा की जाएगी
  • झांसी एवं गोरखपुर में एक-एक हजार तथा चित्रकूट में पांच सौ सीटों का बी०पी०ओ० खोले जाने के निर्देश
  • वाराणसी एवं अयोध्या में एन0आई0ई0एल0आई0टी0 की स्थापना के लिए राज्य सरकार हर सम्भव सहयोग प्रदान करेगी: योगी जी
  • डिजिटल पेमेण्ट को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार के सभी विभागों का लक्ष्य निर्धारित
  • सरकारी योजनाओं में भ्रष्टाचार समाप्त करने तथा पारदर्शिता लाने के लिए आधार से जोड़ने का प्रयास
  • राज्य सरकार को कम से कम वर्तमान की अपेक्षा तीन गुना आई0टी0 साॅफ्टवेयर निर्यात करने के लिए गम्भीरता से काम करना होगा: रविशंकर प्रसाद
  • मुख्यमंत्री ने केन्द्रीय विधि एवं न्याय तथा संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री के साथ विभिन्न योजनाओं की समीक्षा की

press-4उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने केन्द्रीय विधि एवं न्याय तथा संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री श्री रवि शंकर प्रसाद के साथ आज यहां शास्त्री भवन में विभिन्न योजनाओं की समीक्षा की। इस बैठक में प्रदेशवासियों को त्वरित एवं पारदर्शी सुविधा प्रदान करने एवं नौजवानों को रोजगार उपलब्ध कराने के लिए विभिन्न इलेक्ट्राॅनिक्स योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू करने का निर्णय लिया गया है। इसके साथ ही, वादकारियों को त्वरित न्याय उपलब्ध कराने के लिए भी कई महत्वपूर्ण निर्णय लिये गये हैं। इस मौके पर फैसला किया गया कि केन्द्र सरकार राज्य के 100 चिकित्सालयों को अगले 6 माह में ई-हाॅस्पिटल योजना से आच्छादित करेगी। इसके लिए राज्य सरकार आवश्यक सहयोग प्रदान करेगी। इस समय राज्य के 3 चिकित्सालयों में ही यह योजना लागू हैं, जिनमें डाॅ0 राम मनोहर लोहिया चिकित्सालय, डाॅ0 श्यामा प्रसाद मुखर्जी चिकित्सालय एवं के०जी०एम०यू० शामिल हैं। स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध कराने की दृष्टिकोण से इस योजना के तहत लोगों को घर बैठे पंजीयन की सुविधा मिलेगी।
लम्बित वादों की संख्या को देखते हुए योगी जी ने कहा कि जिन वादों में राज्य सरकार पक्षकार है, उन सभी मुकदमों की समीक्षा करते हुए प्रदेश सरकार यथावश्यक निर्णय लेते हुए प्रकरणों को न्यायालय से बाहर सुलझाने का काम करेगी, जिससे वादों की संख्या घटे और लोगों को त्वरित न्याय मिले। इसी प्रकार, 10 वर्ष से पूर्व के मुकदमों की भी समीक्षा करते हुए राज्य सरकार की तरफ से हर सम्भव सहयोग प्रदान करने का निर्णय लिया गया है, जिससे इन मुकदमों का शीघ्र निपटारा हो सके।
इस मौके पर मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उत्तर प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में आई०टी० के उपयोग की अपार संभावनाएं हैं। केन्द्र सरकार के सहयोग से राज्य सरकार प्रधानमंत्री जी के सपनों को साकार करने के लिए पूरी गम्भीरता से काम कर रही है। बैठक में केन्द्र सरकार के अधिकारियों द्वारा मुख्यमंत्री जी को अवगत कराया गया कि केन्द्र सरकार द्वारा छोटे नगरों में आई०टी० के माध्यम से रोजगार उपलब्ध कराने के लिए कुल 52 हजार सीटों के बी०पी०ओ० स्थापित किए जा रहे हैं, जिसमें उत्तर प्रदेश के लिए 8,880 सीट लक्षित की गई हैं। इस क्रम में, बरेली व गाजीपुर में 200-200, कानपुर में 300, लखनऊ में 830, उन्नाव, झांसी एवं इलाहाबाद में 100-100 तथा टी०सी०एस० के माध्यम से वाराणसी में 1000 सीट का बी०पी०ओ० स्थापित किया जा रहा है। वाराणसी के बी०पी०ओ० में महिलाओं को प्राथमिकता दी जाएगी। इस क्रम में, मुख्यमंत्री जी ने झांसी में 1000, चित्रकूट में 500 के अलावा गोरखपुर में 1000 सीट क्षमता के बी०पी०ओ० की स्थापना कराने के लिए राज्य सरकार के अधिकारियों को आवश्यक प्रबन्ध करने के निर्देश दिए।
योगी जी ने कहा कि इलेक्ट्राॅनिक्स मैनुफैक्चरिंग के क्षेत्र में बड़े पैमाने पर काम करने की योजना बनायी गयी है। राज्य सरकार शीघ्र नई औद्योगिक नीति लागू करेगी। उन्होंने भरोसा जताया कि नई औद्योगिक नीति के फलस्वरूप अगले 02 सालों में प्रदेश में बड़े पैमाने पर निवेश सम्भव हो सकेगा, जिससे यहां के नौजवानों को राज्य में ही रोजगार मिल सकेगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा प्रयास किया जा रहा है कि इलेक्ट्राॅनिक्स कम्पनियां नोएडा के अलावा प्रदेश के अन्य शहरों में भी निवेश के लिए आगे आएं। उन्होंने उत्तर प्रदेश को इलेक्ट्राॅनिक्स मैनुफैक्चरिंग का हब बनाने का संकल्प व्यक्त करते हुए कहा कि राज्य सरकार गे्रटर नोएडा में स्थापित हो रहे तीनों इलेक्ट्राॅनिक्स मैनुफैक्चरिंग क्लस्टर के लिए पूरा सहयोग प्रदान करेगी।
मुख्यमंत्री जी ने प्रदेश के नौजवानों में डिजिटल स्किल बढ़ाने के लिए नेशनल इंस्टीट्यूट आॅफ इलेक्ट्राॅनिक्स एण्ड आई0टी0 (एन0आई0ई0एल0आई0टी0) की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करते हुए कहा कि इसके अधिक से अधिक केन्द्र उत्तर प्रदेश में खोले जाने चाहिए। उन्होंने पहले से स्थापित लखनऊ एवं गोरखपुर एन0आई0ई0एल0आई0टी0 की कठिनाइयों को दूर करने का आश्वासन देते हुए कहा कि वाराणसी और अयोध्या में भी इस प्रकार के केन्द्र स्थापित करने के लिए राज्य सरकार हर सम्भव सहयोग प्रदान करेगी।
योगी जी ने कहा कि भारत नेट के माध्यम से गांवों को आॅप्टिकल फाइबर के माध्यम से जोड़ा जा रहा है। प्रदेश के सभी सांसदों द्वारा चयनित तीन-तीन आदर्श गांवों को वाईफाई की सुविधा से जोड़ने का आग्रह करते हुए उन्होंने कहा कि इन गांवों में प्रदेश व केन्द्र सरकार की सभी योजनाओं को प्रभावी ढंग से लागू कराया जाएगा। डिजिटल पेमेण्ट को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार के सभी विभागों को लक्ष्य निर्धारित कर दिए गए हैं। सरकारी योजनाओं में भ्रष्टाचार समाप्त करने तथा पारदर्शिता लाने के लिए योजनाओं को आधार से जोड़ने का प्रयास किया जा रहा है। नई खनन नीति का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि इसमें ई-टेण्डरिंग एवं जी0आई0एस0 बेस्ड माइनिंग की व्यवस्था की गई है।
इस अवसर पर केन्द्रीय मंत्री श्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि उत्तर प्रदेश द्वारा अभी करीब 18 हजार करोड़ रुपए का निर्यात साॅफ्टवेयर के क्षेत्र में किया जाता है, जो सम्भावना से काफी कम है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को कम से कम वर्तमान की अपेक्षा तीन गुना निर्यात करने के लिए गम्भीरता से काम करना होगा। उन्होंने वर्तमान राज्य सरकार की प्रशंसा करते हुए कहा कि बहुत कम समय में नोएडा में सैमसंग कम्पनी को अपनी यूनिट विस्तारित करने का मौका दे दिया गया। दिनांक 07 जून, 2017 को इस कम्पनी का काम शुरू होने जा रहा है। उन्होंने कहा कि इससे बड़ी संख्या में रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे। उन्होंने इस बात पर संतोष व्यक्त किया कि उत्तर प्रदेश मोबाइल मैनुफैक्चरिंग का हब बन चुका है, जिसके माध्यम से करीब 30 हजार लोगों को डायरेक्ट तथा 60 हजार लोगों को इनडायरेक्ट रोजगार के अवसर मिले हैं।
बैठक में औद्योगिक विकास मंत्री श्री सतीश महाना, विधायी एवं न्याय मंत्री श्री बृजेश पाठक, सचिव आई0टी0, भारत सरकार सुश्री अरुणा सुन्दराजन, सचिव विधि एवं न्याय मंत्रालय, भारत सरकार सुश्री स्नेहलता श्रीवास्तव, अपर सचिव आई0टी0, भारत सरकार श्री अजय कुमार, केन्द्र एवं राज्य सरकार के अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

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राज्य सरकार गरीबों, वंचितों, महिलाओं को त्वरित, सस्ता एवं सुलभ न्याय दिलाने के लिए प्रतिबद्ध: मुख्यमंत्री

Posted on 06 June 2017 by admin

वर्तमान न्यायिक व्यवस्था में नये प्रयोगों को बढ़ावा देते हुए लोगों को शीघ्र न्याय उपलब्ध कराया जाए
‘टेली लाॅ सर्विस काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ की स्थापना गरीबों, वंचितों, महिलाओं और जरूरतमन्दों को सस्ता, सुलभ और त्वरित न्याय दिलाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम
प्राचीन भारत की न्याय व्यवस्था काफी उन्नत, समृद्ध और तार्किक रही है, क्योंकि यह सामाजिक मूल्यों और अवधारणाओं पर टिकी
मुख्यमंत्री ने पंच परमेश्वर की अवधारणा को पुनर्जीवित करने की वकालत की
‘काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ गरीबों को विभिन्न मामलों पर न्यायिकपरामर्श देने के साथ-साथ सस्ता न्याय भी शीघ्र उपलब्ध करा सकेंगे
डिजिटल इण्डिया का न्यायिक श्रीगणेश आज इस कार्यक्रम के माध्यम से हो रहा है: केन्द्रीय विधि, न्याय एवं आई०टी० मंत्री
डिजिटल इण्डिया एक ‘ट्रांसफाॅर्मेशन प्रोग्राम’
आई०टी० के प्रयोग से आज गरीब इम्पावर्ड महसूस कर रहा है
मुख्यमंत्री जी ने ‘मेनस्ट्रीमिंग आॅफ टेली लाॅ सर्विस थ्रू काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ कार्यक्रम को सम्बोधित किया

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि राज्य सरकार गरीबों, वंचितों, महिलाओं को त्वरित, सस्ता एवं सुलभ न्याय दिलाने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि यह तभी सम्भव है जब वर्तमान न्यायिक व्यवस्था में नये प्रयोगों को बढ़ावा देते हुए लोगों को शीघ्र न्याय उपलब्ध कराया जाए। उन्होंने कहा कि लोक अदालत की वर्तमान व्यवस्था इस दिशा में कारगर साबित हो रही है।
press-2मुख्यमंत्री जी ने यह विचार आज यहां इलाहाबाद उच्च न्यायालय की लखनऊ पीठ में भारत सरकार एवं उत्तर प्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित ‘मेनस्ट्रीमिंग आॅफ टेली लाॅ सर्विस थ्रू काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किये। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के गरीबों को कानूनी सहायता उपलब्ध कराने के सपने को पूरा करने के लिए केन्द्र सरकार के राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण तथा उत्तर प्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के सम्मिलित प्रयासों से ‘टेली लाॅ सर्विस काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ की स्थापना गरीबों, वंचितों, महिलाओं और जरूरतमन्दों को सस्ता, सुलभ और त्वरित न्याय दिलाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। यह न्याय के क्षेत्र में एक नई क्रान्ति का शुभारम्भ है। उन्होंने जनता को सस्ता, सुलभ व त्वरित न्याय दिलाने के लिए लागू की जा रही इस सर्विस का स्वागत करते हुए कहा कि इसके माध्यम से न्यायालय के वादों का त्वरित निस्तारण सम्भव हो सकेगा और लोगों को शीघ्र न्याय मिल सकेगा।
वर्तमान न्याय प्रणाली का जिक्र करते हुए योगी जी ने कहा कि इस पर मुख्य रूप से ब्रिटेन का प्रभाव दिखता है। उन्होंने कहा कि प्राचीन भारत की न्याय व्यवस्था काफी उन्नत, समृद्ध और तार्किक रही है, क्योंकि यह सामाजिक मूल्यों और अवधारणाओं पर टिकी थी। धर्म का दायरा काफी व्यापक एवं जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में व्याप्त था। उसी क्रम में न्याय व्यवस्था भी धर्म में समाहित थी। वैदिक साहित्य, धर्म सूत्रों और स्मृति ग्रन्थों में न्याय प्रक्रिया तथा दण्ड निरूपण का वर्णन विस्तार से मिलता है। प्राचीन न्याय व्यवस्था में व्यवहार तथा अपराध को परिभाषित करने, उनकी सीमाएं निश्चित करने तथा उनके उल्लंघन से सम्बन्धित समाधान का भी उल्लेख मिलता है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्राचीन व्यवस्था में धर्म की मान्यता संकुचित न होकर काफी व्यापक है। धर्म की मान्यता दैव निर्मित एक आचार संहिता के रूप में मान्य थी। राजा, जिसे धर्म रक्षक के तौर पर मान्यता मिली हुई थी वह स्वयं धर्म के आधीन था। धर्म का निर्देशन वेदों ने किया, कालान्तर मंे धर्मशास्त्र ग्रन्थों की रचना हुई। जिसमें धर्म का निर्देशन करने के साथ ही, धर्म विरुद्ध कार्य करने वाले के लिए अनेक प्रायश्चितों के साथ ही विभिन्न प्रकार के दण्डों का निर्धारण भी किया गया। इस प्रकार, पाप और प्रायश्चित तथा अपराध एवं दण्ड की अवधारणाएं हमारे देश में विकसित हुईं।
योगी जी ने कहा कि प्राचीन भारत की राजतंत्रात्मक एवं गणतंत्रात्मक दोनों शासन व्यवस्थाओं में विभिन्न प्रकार की न्याय प्रणालियों का विकास करके उनका अनुपालन कराया जाता रहा है। यहां तक कि ब्रिटिश भारतीय न्यायालयों में भी अपने समय में भारतीय न्याय व्यवस्था की मौलिकता को स्वीकार किया गया है। वर्तमान में हमारे न्यायालय आवश्यकतानुसार कतिपय परिवर्तनों एवं परिवर्धनों के साथ इसे मान्यता प्रदान करते हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्तमान में राज्य के विभिन्न न्यायालयों में सिविल एवं दाण्डिक वाद बड़ी संख्या में लम्बित हैं, जिनके चलते हमें इनके निस्तारण के लिए न्यायेतर व्यवस्था की आवश्यकता है। इसी क्रम में, केन्द्र सरकार के सहयोग से उत्तर प्रदेश शासन द्वारा स्थायी लोक अदालतों का गठन किया गया है, जिनके माध्यम से बड़ी संख्या में आपसी सहमति से वादों के निस्तारण में सफलता मिली है। उन्होंने पंच परमेश्वर की अवधारणा को पुनर्जीवित करने की वकालत की और कहा कि यदि हम इसे फिर से लागू कर सकें तो बहुत सारे वादों का निस्तारण निचले स्तर पर ही सुनिश्चित हो सकेगा।
योगी जी ने कहा कि गरीबों को सस्ता एवं त्वरित न्याय सुलभ कराने के लिए हमें अतिरिक्त प्रयास करने होंगे। उन्होंने इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा अवकाश के दिनों में कार्य करने के निर्णय का स्वागत करते हुए कहा कि इससे गरीब जनता का भला होगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में न्यायिक क्षेत्र में बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है और इस दिशा में हर सम्भव सहायता करेगी। उन्होंने कहा कि न्यायालयों पर काम का अतिरिक्त बोझ है, जिसे प्रशासन के सहयोग से कम किया जा सकता है। राज्य सरकार ने तहसील/थाना दिवस को समाधान दिवस के रूप में प्रभावी बनाने के निर्देश अधिकारियों को दिये हैं, ताकि अधिकतर वादों/समस्याओं का त्वरित समाधान सुनिश्चित हो और न्यायालयों में अनावश्यक वाद दायर न हों।
मुख्यमंत्री जी ने ‘टेली लाॅ सर्विस’ के तहत स्थापित किये जा रहे ‘काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ के विषय में आशा व्यक्त की कि इनके माध्यम से गरीबों को विभिन्न मामलों पर न्यायिक परामर्श मिलने के साथ-साथ सस्ता न्याय भी शीघ्र उपलब्ध हो सकेगा। प्रारम्भ में इस योजना के तहत 500 केन्द्रों की स्थापना की जाएगी। बाद में इनकी संख्या बढ़ायी जाएगी। उन्होंने कहा कि राज्य में पहले से ही 62,000 काॅमन सेण्टर्स मौजूद हैं। केन्द्र सरकार की इस योजना के तहत इन केन्द्रों का उपयोग भी सुनिश्चित किया जाएगा, ताकि गरीबों को सस्ता व सुलभ न्याय सुनिश्चित हो सके। राज्य सरकार इन केन्द्रों के प्रभावी संचालन के सम्बन्ध में पूरा सहयोग करेगी। उल्लेखनीय है कि ‘टेली लाॅ सर्विस’ के तहत स्थापित किये जा रहे इन ‘काॅमन सर्विस सेण्टर्स’ में पैरा लीगल वाॅलेण्टियर्स की सहायता से लोगों को टेलीफोन पर न्यायिक सलाह/सुविधाएं उपलब्ध करायी जाएंगी। योगी जी ने कहा कि लोग न्यायालय न्याय की आशा में जाते हैं। इसलिए यह हम सबकी जिम्मेदारी है कि उन्हें न्याय मिलने में कोई दिक्कत न हो और उनका काम शीघ्रता से हो।
कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए केन्द्रीय मंत्री विधि एवं न्याय और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री श्री रवि शंकर प्रसाद ने कहा कि डिजिटल इण्डिया का न्यायिक श्रीगणेश आज इस कार्यक्रम के माध्यम से हो रहा है। उन्होंने कहा कि डिजिटल इण्डिया एक ‘ट्रांसफाॅर्मेशन प्रोग्राम’ है, जिसकी आधारशिला प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने रखी थी। भारत तकनीक के क्षेत्र में बहुत आगे बढ़ रहा है। डिजिटल इण्डिया गरीबों की सेवा के लिए है। इसके तहत, अब तक 28 करोड़ खाते खोले गये हैं और डी०बी०टी० के तहत सब्सिडी का ट्रांसफर सीधे लाभार्थियों के खातों में किया जा रहा है। आज गरीब इम्पावर्ड महसूस कर रहा है, क्योंकि उसके खाते में उसकी पूरी सब्सिडी पहुंच रही है। उन्होंने कहा कि पिछले तीन सालों के अन्तर्गत आई०टी० के उपयोग से जीवन को आसान बनाने का काम किया जा रहा है। ई-हाॅस्पिटल, ई-पेंशन, डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट (जीवन प्रमाणम) जैसी सेवाओं ने लोगों का जीवन आसान बना दिया है। उन्होंने कहा कि टेली लीगल सर्विस के तहत स्थापित किये जा रहे काॅमन सर्विस सेण्टर्स की संख्या को भविष्य में बढ़ाकर ढाई लाख किया जाएगा। उन्होंने इन सेण्टरों पर काम करने वाले पैरा लीगल वाॅलण्टियर्स को डिजिटल इण्डिया का जमीनी सिपाही बताया। उन्होंने जरूरतमंदों को गुणवत्तापरक न्यायिक सहायता मुफ्त उपलब्ध कराने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि भविष्य में न्याय मित्र योजना भी लागू की जाएगी। मोबाइल तथा आई०टी० के बढ़ते उपयोग की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि पूरे देश में मोबाइल, इण्टरनेट सेवाओं के यूजर्स की संख्या तेजी से बढ़ रही है। अकेले नोएडा में ही 29 मोबाइल कम्पनियां स्थापित हो चुकी हैं।
कार्यक्रम को उच्चतम न्यायालय के न्यायाधीश एवं राष्ट्रीय विधिक प्राधिकरण के कार्यपालक अध्यक्ष न्यायमूर्ति श्री दीपक मिश्रा तथा इलाहाबाद उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश श्री डी०बी० भोंसले एवं उ०प्र० राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के कार्यपालक अध्यक्ष न्यायमूर्ति श्री अरुण टण्डन ने भी सम्बोधित किया।
कार्यक्रम के दौरान उत्तर प्रदेश के विधि एवं न्याय मंत्री श्री बृजेश पाठक, बड़ी संख्या में न्यायमूर्तिगण, अधिवक्ता, पैरा लीगल वाॅलण्टियर्स तथा मीडियाकर्मी मौजूद थे।

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मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को जेवर, जनपद गौतमबुद्धनगर की घटना का जल्द से जल्द खुलासा करने के सख्त निर्देश दिये

Posted on 02 June 2017 by admin

घटना को अंजाम देने वालों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाए

घटना के मृतक के आश्रितों को 5 लाख रु० की आर्थिक मदद प्रदान किये जाने की घोषणा

प्रदेश सरकार द्वारा पीड़ित परिवार की महिलाओं एवं अन्य सदस्यों को शिक्षा सहायता, आर्थिक एवं सुरक्षा सहायता उपलब्ध करायी जाएगी

राज्य सरकार कानून-व्यवस्था के मामले में किसी भी प्रकार की समझौता नहीं करती
press1उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने अधिकारियों को जेवर, जनपद गौतमबुद्धनगर की घटना का जल्द से जल्द खुलासा करने के सख्त निर्देश दिये हैं। उन्होंने कहा कि इस घटना को अंजाम देने वालों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाए, ताकि भविष्य में कोई भी आपराधिक तत्व ऐसा करने का दुःसाहस न कर सके।
मुख्यमंत्री जी आज शास्त्री भवन में घटना के प्रभावितों से भेंट कर रहे थे। मुलाकात के दौरान विधायक श्री धीरेन्द्र सिंह तथा जेवर नगर पंचायत के पूर्व उपाध्यक्ष श्री मोहम्मद यूनुस भी मौजूद थे। मुख्यमंत्री जी ने पीड़ित परिवार की बात को सहानुभूतिपूर्वक सुना और हर सम्भव मदद का आश्वासन दिया।
योगी जी ने घटना के मृतक के आश्रितों को 5 लाख रुपये की आर्थिक मदद प्रदान किये जाने की घोषणा की। उन्होंने प्रभावित परिवार को जल्द से जल्द न्याय दिलाने का निर्देश देते हुए कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा पीड़ित परिवार की महिलाओं एवं अन्य सदस्यों को शिक्षा सहायता, आर्थिक एवं सुरक्षा सहायता उपलब्ध करायी जाएगी।
मुख्यमंत्री जी से मुलाकात के दौरान विधायक श्री धीरेन्द्र सिंह ने उन्हें अवगत कराया कि वर्ष 2015 तथा 2016 में यमुना एक्सप्रेस-वे के आसपास लूट की आपराधिक घटनाएं हुई थीं, जिनमें से बड़ी संख्या में पंजीकृत नहीं की गयीं। जो अभियोग दर्ज किये गये उनकी विवेचना भी ठीक से नहीं की गयी, जिसकी वजह से उस क्षेत्र में बदमाश बेखौफ घूम रहे हैं। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राज्य सरकार कानून-व्यवस्था के मामले में किसी भी प्रकार की समझौता नहीं करती हैं। प्रदेश सरकार यह तय कर चुकी है कि अपराध तथा अपराधियों के लिए उत्तर प्रदेश में कोई जगह नहीं होगी।
जेवर नगर पंचायत के पूर्व उपाध्यक्ष श्री मोहम्मद यूनुस ने कहा कि मुख्यमंत्री जी से भेंट के बाद उन्हें भरोसा हो गया है कि प्रभावितों के साथ न्याय किया जाएगा। दोषियों को सख्त से सख्त सजा दिलाई जाएगी।

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मुख्यमंत्री ने तृतीय अन्तर्राष्ट्रीय योग दिवस की तैयारियों की उच्चस्तरीय समीक्षा की

Posted on 02 June 2017 by admin

योग दिवस से पहले सम्पूर्ण लखनऊ नगर में स्वच्छता अभियान चलाया जाए

सड़कों एवं अन्य सार्वजनिक स्थानों पर ऊर्जा दक्षता एवं कम विद्युत खपत
के लिए एल०ई०डी० बल्ब लगाए जाएं

रमाबाई अम्बेडकर मैदान के आसपास उपलब्ध बुनियादी सुविधाओं
की आवश्यकतानुसार मरम्मत करायी जाए

आयोजन के दिन पूरे नगर में सुरक्षा की पर्याप्त व्यवस्था
सुनिश्चित कराने के निर्देश
4उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने आज यहां अपने सरकारी आवास पर तृतीय अन्तर्राष्ट्रीय योग दिवस (21 जून, 2017) के लिए की जा रही तैयारियों की उच्चस्तरीय समीक्षा की। इस मौके पर उन्होंने निर्देशित किया कि योग दिवस के पूर्व सम्पूर्ण लखनऊ नगर में स्वच्छता के लिए अभियान चलाया जाए। इसके साथ ही, सड़कों एवं अन्य सार्वजनिक स्थानों पर ऊर्जा दक्षता एवं कम विद्युत खपत के लिए एल०ई०डी० बल्ब लगाए जाएं।
मुख्यमंत्री जी ने कार्यक्रम स्थल रमाबाई अम्बेडकर मैदान के आसपास स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने के निर्देश देते हुए कहा कि इसके आसपास उपलब्ध बुनियादी सुविधाओं की आवश्यकतानुसार मरम्मत करायी जाए। उन्होंने कहा कि मुख्य कार्यक्रम स्थल के अतिरिक्त प्रदेश के सभी जनपद मुख्यालयों, तहसीलों, एवं विकास खण्डों के सार्वजनिक स्थानों, विद्यालयों एवं पार्काें में भी व्यापक रूप से योग कार्यक्रम सम्पादित कराने के लिए व्यवस्था मुकम्मल करायी जाए। साथ ही, लखनऊ नगर के अन्य सार्वजनिक स्थानों एवं पार्काें में आम नागरिकों की सुविधा हेतु एल०ई०डी० स्क्रीन लगाकर लाइव टेलीकास्ट कराने एवं सुरक्षा की पर्याप्त व्यवस्था सुनिश्चित कराने के लिए भी कहा।
योगी जी ने कार्यक्रम का व्यापक प्रचार-प्रसार कराने का निर्देश देते हुए कहा कि इस कार्यक्रम के सफल क्रियान्वयन के लिए गठित समितियों को अपने दायित्वों का पूरी गम्भीरता एवं जिम्मेदारी के साथ निर्वहन करना चाहिए। कार्यक्रम से पूर्व 7 जून, 2017 को आयुष विभाग द्वारा राजभवन में योग दिवस के कर्टन रेजर के रूप में योग कार्यक्रम का आयोजन किया गया है। उन्होंने कहा कि जिन 452 योग प्रशिक्षकों को विभिन्न विभागों एवं संस्थाओं के लिए नामित किया गया है। उनके सहयोग से लोगों को अधिक से अधिक पारंगता के साथ योग करने का प्रशिक्षण दिलाया जाए। उन्होंने मुख्य कार्यक्रम में प्रतिभाग करने वाले लोगों को निर्धारित व्यवस्था के अनुरूप टी-शर्ट उपलब्ध कराने तथा कार्यक्रम स्थल तक प्रतिभागियों को लाने हेतु बसों की मुकम्मल व्यवस्था करने के निर्देश भी दिये। योग दिवस कार्यक्रम की तैयारियों से सम्बन्धित सूचनाओं के आदान-प्रदान के लिए बनाये गये व्हाट्सएप ग्रुप का समुचित उपयोग करने का निर्देश देते हुए कहा कि इस कार्यक्रम में अधिक से अधिक जनसहभागिता सुनिश्चित करायी जाए।
ज्ञातव्य है कि 21 जून, 2017 को लखनऊ के रमाबाई अम्बेडकर मैदान में अन्तर्राष्ट्रीय योग दिवस का आयोजन किया गया है, जिसमें प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के साथ करीब 70,000 लोग प्रतिभाग करेंगे। कार्यक्रम के सफल आयोजन के लिए अपेक्स स्टीयरिंग कमेटी का गठन किया गया है, जिसमें सचिव आयुष, भारत सरकार तथा मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश सहित 15 अधिकारी शामिल किये गये हैं, जिनमें पुलिस महानिदेशक तथा प्रमुख सचिव गृह भी सदस्य के रूप में नामित हैं। इसके अलावा, को-आर्डिनेशन कमेटी, सिक्योरिटी कमेटी, साइट कमेटी, योगा आॅर्गेनाइजिंग कमेटी, ट्रान्सपोर्ट कमेटी, मीडिया एडवर्टाइजिंग एण्ड मार्केटिंग कमेटी, स्वच्छता एवं सौन्दर्यीकरण कमेटी तथा आमंत्रण पत्रों की तैयारी वितरण एवं पार्किंग हेतु भी कमेटी का गठन किया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अन्तर्राष्ट्रीय योग दिवस पर आयोजित होने वाला कार्यक्रम शासकीय नहीं बल्कि जनसामान्य का योग कार्यक्रम है। उन्होंने कहा कि इस आयोजन में पतंजलि संस्थान, आर्ट आॅफ लिविंग, मोक्षायतन, ब्रह्मकुमारी, देव संस्कृति जैसी संस्थाओं के अलावा एन०सी०सी०, एन०एस०एस०, सी०आर०पी०एफ०, बी०एस०एफ०, सेना सहित राज्य सरकार के कई विभाग भी प्रतिभाग कर रहे हैं।
बैठक में सभी सम्बन्धित विभागों के वरिष्ठ अधिकारी एवं संस्थाओं के पदाधिकारी मौजूद थे।

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प्रदेश की कानून-व्यवस्था में व्यापक सुधार के लिए बीट सिपाही से लेकर ऊपर तक के पुलिस अधिकारियों की जिम्मेदारी तय की जाए: मुख्यमंत्री

Posted on 02 June 2017 by admin

प्रदेश की कानून-व्यवस्था बनाये रखना राज्य सरकार की सर्वाेच्च प्राथमिकता

कम्युनिटी पुलिसिंग के लिए प्रत्येक जनपद में एक
राजपत्रित अधिकारी को नामित किया जाए

प्रभावी पुलिस पेट्रोलिंग से अधिकांश घटनाओं को रोका जा सकता है: योगी जी

कानून-व्यवस्था के लिए जिम्मेदार अधिकारियों एवं कर्मचारियों
की शिथिलता बर्दाश्त नहीं की जाएगी: मुख्यमंत्री

मुख्यमंत्री जी ने प्रदेश की कानून-व्यवस्था की उच्चस्तरीय समीक्षा की
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने प्रदेश की कानून-व्यवस्था में व्यापक सुधार के लिए बीट सिपाही से लेकर ऊपर तक के सभी पुलिस अधिकारियों की जिम्मेदारी तय करने के निर्देश दिये हैं। कानून-व्यवस्था से सम्बन्धित घटनाओं में जिन पुलिस कार्मिकों की लापरवाही सिद्ध हो उनके विरुद्ध तत्काल सख्त कार्रवाई की जाए। इस सम्बन्ध में किसी भी प्रकार की कोताही न बरतने का निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि प्रदेश की कानून-व्यवस्था बनाये रखना राज्य सरकार की सर्वाेच्च प्राथमिकताओं में शामिल है।
मुख्यमंत्री जी आज यहां अपने सरकारी आवास पर प्रदेश की कानून-व्यवस्था की अद्यतन स्थिति की उच्चस्तरीय समीक्षा कर रहे थे। इस मौके पर मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव गृह एवं पुलिस महानिदेशक सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे। उन्होंने कम्युनिटी पुलिसिंग पर बल देते हुए कहा कि इसके लिए प्रत्येक जनपद में एक राजपत्रित अधिकारी को नामित किया जाए। नामित अधिकारी कम्युनिटी पुलिसिंग की लगातार समीक्षा कर इस व्यवस्था को और अधिक चुस्त-दुरुस्त बनाने के लिए जिम्मेदार एवं जवाबदेह माना जाएगा। उन्होंने पुलिस की कार्यक्षमता बढ़ाने का निर्देश देते हुए कहा कि अपराधियों के विरुद्ध तत्काल कठोर कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।
योगी जी ने डायल-100 व्यवस्था को और अधिक सुदृढ़ एवं चैकस बनाने का निर्देश देते हुए कहा कि इस व्यवस्था के तहत, जनपदों को वाहन सहित पर्याप्त संसाधन उपलब्ध कराए गए हैं। उन्होंने सभी वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों एवं पुलिस अधीक्षकों को अपने जनपद से सम्बन्धित डायल-100 व्यवस्था की प्रतिदिन समीक्षा करने का निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि सूचना प्राप्त होने पर समय से डायल-100 का वाहन मौके पर न पहुंचने पर सम्बन्धित पुलिस कार्मिकों के विरुद्ध कठोर कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। उन्होंने इस व्यवस्था को और अधिक पारदर्शी एवं सतर्क बनाने पर बल दिया।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पर्याप्त एवं प्रभावी पुलिस पेट्रोलिंग से कानून-व्यवस्था सम्बन्धी अधिकांश घटनाओं को रोका जा सकता है। उन्होंने सघन एवं लगातार पेट्रोलिंग पर बल देते हुए कहा कि थाना प्रभारियों को अपने क्षेत्रों में सड़कों के किनारे अस्थायी रूप से झोपड़ी बनाकर रहने वालों का भी सत्यापन करना चाहिए। अधीनस्थ कार्मिकों द्वारा की जा रही पेट्रोलिंग का लगातार फीडबैक प्राप्त करने के निर्देश देते हुए उन्होंने कहा कि वरिष्ठ अधिकारी पूरी गम्भीरता से पेट्रोलिंग व्यवस्था की समीक्षा करें तथा लापरवाह कार्मिकों के विरुद्ध सख्ती भी करें। उन्होंने आगाह किया कि कानून-व्यवस्था बनाये रखने के लिए जिम्मेदार अधिकारियों एवं कर्मचारियों की शिथिलता कतई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्हें हर हाल में अपने दायित्वों का पूरी तत्परता एवं कर्मठता से निर्वहन करना होगा।

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मुख्यमंत्री जी जनता की समस्याओं से हुए अवगत

Posted on 30 May 2017 by admin

अधिकारियों को जनसमस्याओं के त्वरित निस्तारण के निर्देश

press-03मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी आज अपने सरकारी आवास पर जनता की समस्याओं से अवगत हुए। मुख्यमंत्री जी ने जनता को उनकी शिकायतों पर शीघ्र कार्यवाही का आश्वासन देते हुए अधिकारियों को जनसमस्याओं के त्वरित निस्तारण के निर्देश दिए।
जनपद लखीमपुर-खीरी से आयीं सुश्री गायत्री देवी ने मुख्यमंत्री जी से अपने बेटे के इलाज के लिए आर्थिक मदद का अनुरोध किया, वहीं गोण्डा से आयीं सुश्री माता देवी ने पेंशन के लिए निवेदन किया। बलिया से आए श्री अन्नू यादव ने ऋण माफी का आग्रह किया। press-04
इनके अलावा भी काफी संख्या में लोगों ने मुख्यमंत्री जी से मुलाकात कर अपनी-अपनी समस्याओं से अवगत कराया। मुख्यमंत्री जी ने सभी मामलों में प्रभावी कार्रवाई करने के निर्देश भी दिए।

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मुख्यमंत्री ने प्रदेश की जनता से भड़काऊ बयानों पर ध्यान न देने की अपील की

Posted on 25 May 2017 by admin

कतिपय तत्व प्रदेश में कायम अमन-चैन के माहौल को खराब करने का प्रयास कर रहे हैं
जनता के सहयोग एवं समर्थन से राज्य सरकार ऐसे तत्वों के मंसूबों को सफल नहीं होने देगी
सहारनपुर की घटना के दोषी व्यक्तियों को चिन्हित कर उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जा रही है
वर्तमान प्रदेश सरकार किसी जाति, सम्प्रदाय या मजहब का प्रतिनिधित्व नहीं करती,
बल्कि ‘सबका साथ, सबका विकास’ की भावना के अनुरूप कार्य करती है

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने प्रदेश की जनता से भड़काऊ बयानों पर ध्यान न देने की अपील की है। उन्होंने कहा कि कतिपय तत्व प्रदेश के हित में राज्य सरकार द्वारा किये जा रहे प्रयासों को पचा नहीं पा रहे हैं। ऐसे लोग प्रदेश में कायम अमन-चैन के माहौल को खराब करने का प्रयास कर रहे हैं। जनता के सहयोग एवं समर्थन से राज्य सरकार ऐसे तत्वों के मंसूबों को सफल नहीं होने देगी।

योगी जी ने कहा कि सहारनपुर की घटना के दोषी व्यक्तियों को चिन्हित कर उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जा रही है। इस सम्बन्ध में लापरवाही करने वाले अधिकारियों की जवाबदेही तय करते हुए उन्हें दण्डित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि वर्तमान प्रदेश सरकार किसी जाति, किसी सम्प्रदाय या किसी मजहब का प्रतिनिधित्व नहीं करती, बल्कि ‘सबका साथ, सबका विकास’ की भावना के अनुरूप कार्य करती है।

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राज्यपाल से मिले केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह

Posted on 14 May 2017 by admin

विभिन्न मुद्दों पर हुई चर्चा

kcp_8606_r2_c1उत्तर प्रदेश के राज्यपाल श्री राम नाईक से आज केन्द्रीय गृहमंत्री श्री राजनाथ सिंह ने राजभवन में भेंट की। राज्यपाल ने केन्द्रीय गृहमंत्री से राष्ट्रपति को संदर्भित विचाराधीन विधेयकों सहित अन्य मुद्दों पर भी चर्चा की। ज्ञातव्य है कि राज्यपाल द्वारा राष्ट्रपति को संदर्भित विधेयक राष्ट्रपति द्वारा गृह मंत्रालय को भेजे जाते हैं।
श्री नाईक से श्री राजनाथ सिंह ने अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस 21 जून को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के प्रस्तावित लखनऊ दौरे पर भी विचार-विमर्श किया तथा आयोजन से जुड़ी अन्य तैयारियों पर भी चर्चा हुई।
राज्यपाल ने केन्द्रीय गृहमंत्री श्री राजनाथ सिंह को राजभवन के विधि सलाहकार श्री एस0एस0 उपाध्याय द्वारा लिखी पुस्तक ‘गवर्नर्स गाईड’ की प्रति भेंट करते हुये कहा कि यह पुस्तक का सबसे ज्यादा राज्यपालों एवं केन्द्रीय गृह मंत्रालय के लिये उपयोगी है।

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विधान सभा अध्यक्ष ने 15 मई, 2017 से शुरु हो रहे सत्र को सुचारु रूप से संचालित करने में सभी दलों से सहयोग प्रदान करने का अनुरोध किया

Posted on 14 May 2017 by admin

press-4_r1_c1भारतीय जनता पार्टी विधान सभा में रचनात्मक बहस को बढ़ावा देने के लिए पूरा सहयोग प्रदान करेगी: मुख्यमंत्री
सकारात्मक दृष्टिकोण से ही लोक-कल्याण किया जा सकता है: योगी जी

उत्तर प्रदेश विधान सभा अध्यक्ष श्री हृदय नारायण दीक्षित ने 15 मई, 2017 से शुरु हो रहे 17वीं विधान सभा के प्रथम सत्र को सुचारु रूप से संचालित करने में सभी दलों से सहयोग प्रदान करने का अनुरोध किया है। उन्होंने कहा कि तार्किक एवं गुणात्मक बहस से ही प्रदेश की जनता को लाभ पहुंचाया जा सकता है। उन्होंने राज्यपाल के अभिभाषण को पूरा सुनने का आग्रह करते हुए कहा कि इससे राज्य सरकार द्वारा सम्पादित किए जाने वाले कार्यों की पूरी जानकारी मिलती है।
इस मौके पर मुख्यमंत्री तथा नेता सदन योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि उनकी पार्टी विधान सभा में रचनात्मक बहस को बढ़ावा देने के लिए पूरा सहयोग प्रदान करेगी। उन्होंने उत्तर प्रदेश की विधान सभा को देश का सबसे बड़ा सदन बताते हुए कहा कि संवाद स्थापित करके ही जन-समस्याओं का प्रभावी समाधान कराया जा सकता है। उन्होंने संसद की तर्ज पर विधान सभा के सत्र को 90 दिन चलाने का आग्रह करते हुए कहा कि इससे प्रदेश की अनेक समस्याओं को सरकार के संज्ञान में लाने और उनका उचित निराकरण कराने में मदद मिल सकती है। उन्होंने सभी दलों से सकारात्मक दृष्टिकोण रखने की अपील करते हुए कहा कि इससे अधिक से अधिक लोक-कल्याण किया जा सकता है।
संसदीय कार्य मंत्री श्री सुरेश खन्ना ने कहा कि सदन को सुचारु रूप से पक्ष एवं विपक्ष के सहयोग से ही चलाया जा सकता है।
बैठक में सुहेल देव भारतीय समाज पार्टी तथा पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं विकलांग जन विकास मंत्री श्री ओम प्रकाश राजभर, बहुजन समाज पार्टी के श्री लालजी वर्मा, कांग्रेस पार्टी के श्री अजय कुमार ‘लल्लू’ तथा अपना दल के श्री नील रतन सिंह पटेल ‘नीलू’ ने अपने-अपने दलों की ओर से पूरा सहयोग प्रदान करने का आश्वासन दिया।

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