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केन्द्र तथा राज्य सरकार के समन्वित प्रयास प्रदेश की समस्याओं के निराकरण तथा राज्य को नई ऊँचाइयों पर ले जाने में सहायक: मुख्यमंत्री

Posted on 17 June 2018 by admin

niti-aayog-meetingसुरेन्द्रअग्निहोत्री, लखनऊ : 17 जून, 2018
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बैठक में प्रतिभाग किया

केन्द्र तथा राज्य सरकार के समन्वित प्रयास प्रदेश की
समस्याओं के निराकरण तथा राज्य को नई ऊँचाइयों
पर ले जाने में सहायक: मुख्यमंत्री

राज्य सरकार ‘सबका साथ सबका विकास‘ की
अवधारणा पर प्रदेश को स्वच्छ, स्वस्थ, समर्थ तथा
सर्वोत्तम प्रदेश बनाने के लिये कृतसंकल्पित

जनता की खुशहाली के लिये ‘‘साफ नीयत, सही विकास‘‘
के संकल्प को साकार कर रही है राज्य सरकार
प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की अध्यक्षता में आज नई दिल्ली में कल्चरल सेंटर राष्ट्रपति भवन के सभागार में नीति आयोग की शासी परिषद की चतुर्थ बैठक सम्पन्न हुई। बैठक में प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी सहित विभिन्न प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों, केन्द्रीय मंत्रियों एवं नीति आयोग के उपाध्यक्ष द्वारा प्रतिभाग किया गया। इस अवसर पर अपने संबोधन में मुख्यमंत्री जी ने भरोसा जताया कि केन्द्र तथा राज्य सरकार के समन्वित प्रयास प्रदेश की समस्याओं के ससमय निराकरण तथा राज्य को नई ऊॅचाईयों पर ले जाने में सहायक होंगे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राज्य सरकार ‘सबका साथ सबका विकास‘ की अवधारणा पर प्रदेश को स्वच्छ, स्वस्थ, समर्थ तथा सर्वोत्तम प्रदेश बनाने के लिये कृतसंकल्पित है। प्रदेश की जनता की खुशहाली के लिये राज्य सरकार द्वारा ‘साफ नीयत, सही विकास‘ के संकल्प को साकार किया जा रहा है। प्रधानमंत्री जी के वर्ष 2022 तक देश के किसानों की आमदनी दोगुनी करने की प्रतिबद्वता को पूरा करने केे लिये किसानों को नवीन तकनीक से जोड़ना आवश्यक है। इसके लिये प्रदेश में 20 नये कृषि विज्ञान केन्द्र तथा 100 कृषि कल्याण केन्द्र स्थापित किये जा रहे हैं। किसानों के लिये बाजार को व्यापक और प्रतिस्पर्धी बनाने के लिये ई-नाम योजना प्रदेश की 100 मण्डी समितियों में लागू गयी है, जो देश में सर्वाधिक है। इस योजना में, देश के किसी भी राज्य की तुलना में, प्रदेश में सर्वाधिक 28 लाख किसानों तथा 31 हजार व्यापारियों को पंजीकृत किया गया है। देश के कुल खाद्यान्न उत्पादन में उत्तर प्रदेश की भागीदारी 20 प्रतिशत है। साथ ही, दुग्ध, गेहूं, गन्ना और आलू उत्पादन में राज्य का देश में पहला स्थान है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश सरकार गन्ना किसानों की मदद के लिये पूरी तरह से प्रतिबद्व है। अब तक 32,940 करोड़ रुपये गन्ना मूल्य का भुगतान कराया जा चुका है। प्रदेश में दो चीनी मिलों की स्थापना की जा रही है तथा दो चीनी मिलों की पेराई क्षमता में विस्तार किया गया है। इस वर्ष प्रदेश में 1,101 लाख मीट्रिक टन गन्ने की रिकार्ड पेराई की गयी, जो गत वर्ष की कुल पेराई 827 लाख मीट्रिक टन से 33.12 प्रतिशत अधिक है। केन्द्र सरकार द्वारा देश में चिन्हित लगभग 22,000 ग्रामीण हाट बाजारों को अवस्थापना सुविधाओं से युक्त करने एवं उनके आधुनिकीकरण की नीति तैयार की जा रही है। इस सम्बन्ध में प्राप्त दिशा निर्देशों को समयबद्ध ढंग से लागू किया जायेगा। प्रदेश के बुन्देलखण्ड क्षेत्र में 132 ग्रामीण अवस्थापना केन्द्र का निर्माण कराया जा चुका है।
इसके अतिरिक्त ऋण मोचन योजना के लिये 36 हजार करोड़ रुपये का बजट प्राविधान करते हुये 86 लाख लघु एवं सीमान्त किसानों का ऋण मोचन किया गया। किसानों को उनकी उपज का लाभकारी मूूल्य दिलाने के लिये अभियान चलाकर गत वर्ष 36.99 लाख मी0टन गेहूं की खरीद की गयी, जो पहले की अपेक्षा 4 गुना तथा प्रदेश के इतिहास में अब तक की सर्वाधिक खरीद थी। इसी प्रकार गतवर्ष में किसानों से सीधे 42.90 लाख मी0टन धान खरीद कर 6663.32 करोड़ रुपए का भुगतान कृषकों के खाते में कराया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि इस वर्ष 49 जनपदों में 10,454 तालाबों का कार्य प्रारम्भ किया गया है। सभी जनपदों में 20 हजार से अधिक तालाबों का निर्माण तथा जीर्णोद्धार करने की योजना बनाई गयी है। प्रदेश में विभिन्न सिंचाई परियोजनाओं के माध्यम से 19 लाख 29 हजार हैक्टेयर सिंचन क्षमता सृजित किया जाना प्रस्तावित है। सरयू नहर राष्ट्रीय परियोजना दिसम्बर 2019 तक पूर्ण हो जायेगी, जिससे लगभग 14 लाख हैक्टेयर अतिरिक्त सिंचन क्षमता का सृजन होगा। गत कई वर्षों से लम्बित चली आ रही 3,420 करोड़ रुपए लागत की बाणसागर परियोजना को एक वर्ष की अवधि में ही पूर्ण कर लिया गया है। वर्षों से लम्बित, 587 करोड़ रुपए लागत की 6 परियोजनाओं को एक वर्ष की अवधि मार्च, 2018 में पूर्ण किया गया है। इन 6 परियोजनाओं से 670 गाॅव एवं 63 हजार से अधिक किसान लाभान्वित होेंगे।h2018061748652
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश में अच्छी चिकित्सा सुविधा प्रदान करने के लिये 6 मण्डल स्तरीय और 4 जिला स्तरीय अस्पतालों में डायलिसिस सेवायें प्रारम्भ की गयी हैं, साथ ही 150 एडवान्स लाइफ सपोर्ट एम्बुलेन्स सेवा का शुभारम्भ भी किया गया है। प्रदेश में गत वर्ष में चार चरणों में सघन मिशन इन्द्रधनुष अभियान चलाया गया। उन्होंने कहा कि आयुष्मान भारत योजना एक महत्वपूर्ण पहल है। योजना के प्रथम चरण में जनपद श्रावस्ती के सिरसिया ब्लाक के समस्त 29 उपकेंद्रों को हेल्थ एण्ड वैलनेस सेण्टर के रूप में उच्चीकृत करने हेतु चयनित किया गया है। द्वितीय चरण में 10 चयनित जनपदों इलाहबाद, बस्ती, बरेली, मेरठ, झाॅसी, फर्रूखाबाद, वाराणसी, गोरखपुर, मिर्जापुर तथा सीतापुर के 300 उपकेन्द्रों को हेल्थ एण्ड वैलनेस सेण्टर के रूप में उच्चीकृत करने हेतु चयनित किया गया है। तृतीय चरण में प्रदेश के चिन्हित 8 महत्वाकांक्षी जनपदों में 60-60 हेल्थ एण्ड वैलनेस सेण्टर स्थापित करने के साथ ही प्रदेश के शेष जनपदों में 30-30 उपकेन्द्रों तथा 714 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों एवं 255 सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों को आरोग्य केन्द्र के रूप में सुदृढ़ किया जायेगा।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश में प्रधानमंत्री राष्ट्रीय सुरक्षा मिशन को संचालित करने के लिये प्रस्तावित योजना को इन्श्योरेन्स माॅडल पर चलाये जाने का फैसला लिया गया है। इससे प्रदेश के लगभग 1.18 करोड़ परिवारों को निःशुल्क चिकित्सा सुविधा का लाभ सुलभ होगा। गोरखपुर में एम्स का निर्माण कार्य प्रारम्भ हो गया है। फैजाबाद, बस्ती, बहराइच, फिरोजाबाद तथा शाहजहांपुर में जिला चिकित्सालयों को उच्चीकृत कर राजकीय मेडिकल काॅलेज के रूप में स्थापित करने की कार्यवाही प्रारम्भ हो गयी है। दूसरे चरण में एटा, हरदोई, प्रतापगढ़, फतेहपुर, सिद्धार्थनगर, देवरिया, गाजीपुर और मीरजापुर मंे नये 8 मेडिकल कालेजों को स्वीकृति प्रदान करते हुये एम0ओ0यू0 निष्पादित किया जा चुका है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि कुपोषित एवं अति कुपोषित बच्चों के सर्वांगीण विकास एवं कुपोषण की रोकथाम हेतु प्रदेश सरकार द्वारा विभिन्न विभागों के मध्य समन्वय स्थापित कर 41 चिन्हित जनपदों में शबरी संकल्प योजना लागू की जा रही है। इस वर्ष 8,950 आंगनबाड़ी केन्द्रों का निर्माण कराया जाएगा। इज्जतघर (शौचालय) निर्माण में उत्तर प्रदेश का देश में प्रथम स्थान है। ग्रामीण क्षेत्रों में बेसलाइन सर्वे 2012 के अनुसार कुल चिन्हित 2 करोड 69 लाख परिवारों के सापेक्ष अब तक 1 करोड़ 94 लाख परिवारों को व्यक्तिगत इज्जतघरश्शौचालय की सुविधा उपलब्ध करा दी गयी है, शेष 74 लाख परिवारों को 2 अक्टूबर, 2018 तक शौचालय सुविधा से युक्त कराते हुये उत्तर प्रदेश को खुले में शौच से मुक्त बनाये जाने का लक्ष्य है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री आवास योजना, ग्रामीण के अंतर्गत उत्तर प्रदेश ने गत वर्ष में 8.85 लाख स्वीकृत आवासों का निर्माण कराकर देश में प्रथम स्थान प्राप्त किया है। चालू वित्तीय वर्ष में ग्रामीण क्षेत्रों में 2 लाख आवास बनाये जाने का लक्ष्य है। इसी प्रकार, प्रधानमंत्री आवास योजना, शहरी के अन्तर्गत नगरीय क्षेत्रों में गतवर्ष में 3 लाख 58 हजार आवासों की स्वीकृति भारत सरकार से प्राप्त हो चुकी है और एक लाख आवासों का निर्माण किया जा रहा है। इस योजना में भी राज्य ने देश में प्रथम स्थान प्राप्त किया है।
उन्हांेने बताया कि गतवर्ष में छात्र-छात्राओं को निःशुल्क पाठ्य-पुस्तकें, यूनिफाॅर्म, स्कूल बैग तथा प्रथम बार जूता, मोजा एवं स्वेटर भी उपलब्ध कराया गया, जिसे इस वर्ष भी उपलब्ध कराने की व्यवस्था की गई है। चालू वित्तीय वर्ष में हाईस्कूल तथा इण्टरमीडिएट में एन0सी0ई0आर0टी0 पाठ्यक्रम लागू किए जाने का निर्णय लिया गया है तथा न्यूनतम 220 शैक्षिक कार्य दिवस निर्धारित किए गए हैं। उत्तर प्रदेश, कौशल विकास नीति लागू करने वाला प्रथम राज्य है। कौशल विकास मिशन द्वारा प्रदेश के 14 से 35 आयुवर्ग के अल्पशिक्षित एवं स्कूल ड्राॅपआउट युवाओं को उनकी आजीविका अर्जन हेतु सक्षम बनाने के लिए रोजगारपरक व्यवसायों में निःशुल्क कौशल प्रशिक्षण की सुविधा उपलब्ध करायी जा रही है। गतवर्ष में 2 लाख से अधिक युवाओं का पंजीकरण करते हुए 1 लाख से अधिक युवाओं को प्रशिक्षित किया गया। इस वर्ष 3 लाख से अधिक युवाओं को प्रशिक्षित करने का लक्ष्य है।
इसके अलावा प्रदेश में विमान सुविधा को बढ़ावा देने के दृष्टिगत जनपद गौतमबुद्धनगर के जेवर में एक इण्टरनेशनल ग्रीनफील्ड हवाई अड्डे की स्थापना की जा रही है। रीजनल कनेक्टिविटी स्कीम के अन्तर्गत प्रदेश के 12 एयरपोर्ट को विकसित किया जा रहा है तथा 22 एयर रूट को चयनित किया गया है। प्रयाग कुम्भ-2019 के मद्देनजर इलाहाबाद को भी कुछ शहरों के साथ विमान सेवा से जोड़ा जा रहा है। प्रदेश में निवेश को प्रोत्साहित किए जाने के उद्देश्य से राज्य सरकार द्वारा 16 नई नीतियां बनाई गई हैं, जिनके सकारात्मक परिणाम मिल रहे हैं। इनमें से कुछ महत्वपूर्ण नीतियों में औद्योगिक निवेश एवं रोजगार प्रोत्साहन नीति 2017, नागर विमानन प्रोत्साहन नीति 2017, खाद्य प्रसंस्करण उद्योग नीति 2017, सूचना प्रौद्योगिकी एवं स्टार्ट-अप नीति 2017, इलेक्ट्राॅनिक्स विनिर्माण नीति 2017, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन नीति 2017, सौर ऊर्जा नीति 2017, पर्यटन नीति 2017, औषधि उद्योग नीति आदि हैं।
मुख्यमंत्री जी ने केन्द्र सरकार द्वारा उत्तर प्रदेश में डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग काॅरिडोर की स्थापना के लिये आभार व्यक्त करते हुये कहा कि यह प्रदेश के विकास को एक नई दिशा देगा। इस काॅरिडोर के बन जाने से बुन्देलखण्ड क्षेत्र का पिछड़ापन और आर्थिक गरीबी दूर होगी। अलीगढ़, झांसी, चित्रकूट, आगरा, कानपुर और लखनऊ से गुजरने वाले इस डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग काॅरिडोर में लगभग 20 हजार करोड़ रुपये का निवेश प्रस्तावित है और ढाई लाख से अधिक लोगों को रोजगार मिलने की सम्भावना है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने लखनऊ से गाजीपुर तक कुल 341 किलोमीटर लम्बाई वाले 6-लेन पूर्वान्चल एक्सप्रेस-वे के निर्माण का निर्णय लिया है। इस एक्सप्रेस-वे के लिए कुल आवश्यक भूमि में से 93 प्रतिशत भूमि प्राप्त हो गयी है। एक्सप्रेस-वे का निर्माण कार्य शीघ्र प्रारम्भ कराते हुए इस परियोजना को वर्ष 2021 तक पूर्ण कराये जाने का लक्ष्य है। इसके साथ ही गोरखपुर को पूर्वान्चल एक्सप्रेस-वे से जोड़ने के लिए गोरखपुर लिंक एक्सप्रेस-वे परियोजना के निर्माण का भी निर्णय लिया गया है। बुन्देलखण्ड क्षेत्र को जोड़ने के लिए बुन्देलखण्ड एक्सप्रेस-वे परियोजना के निर्माण का निर्णय लिया गया है।
मुख्समंत्री जी ने कहा कि ऊर्जा के क्षेत्र में प्रदेश सरकार ने विशेष उपलब्धियां हासिल की हैं। पिछले 4 वर्षों में औसतन प्रतिवर्ष 14,000 मजरों के सापेक्ष वर्ष 2017-18 में 61,000 से अधिक मजरों को विद्युतीकृत किया गया है। पिछले 15 वर्षों में औसतन प्रतिवर्ष 6.5 लाख घरों को विद्युत कनेक्शन दिया जा रहा था जबकि गतवर्ष में 46 लाख से अधिक घरों को बिजली कनेक्शन दिया गया। प्रदेश सरकार की नई सौर ऊर्जा नीति, 2017 का निवेशकों ने अभूतपूर्व स्वागत किया है, जिसके फलस्वरूप रिन्यूवेबिल इनर्जी सेक्टर में 50 हजार करोड़ रुपये से अधिक के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं। सौभाग्य योजना के अन्तर्गत लगभग 1.68 करोड़ ग्रामीण तथा 3 लाख नगरीय घरों को विद्युत संयोजन से आच्छादित करने के लिए मजरों/आबादीवार डी0पी0आर0 तैयार की गयी है। ऊर्जा संरक्षण के क्षेत्र में भी निरंतर प्रयास किया जा रहा है। गत 7 माह में 15 नगर निगमों में 5.80 लाख से अधिक स्मार्ट और ऊर्जा दक्ष एल0ई0डी0 से प्रदेश की सड़कों को रोशन किया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश के विभिन्न जनपदों के विशिष्ट उत्पादों की राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर ब्राॅण्डिंग, रोजगार सृजन एवं समेकित विकास के उद्देश्य से ‘एक जनपद-एक उत्पाद’ योजना प्रारम्भ की गयी है। जनमानस को त्वरित गति से आवागमन की सुविधा उपलब्ध कराये जाने के दृष्टिगत कानपुर, आगरा और मेरठ मेट्रो रेल परियोजनाओं की डी0पी0आर0 भारत सरकार को प्रेषित की गई हैं। इसके अलावा, वाराणसी, इलाहाबाद, गोरखपुर व गाजियाबाद में भी मेट्रो रेल का संचालन प्रस्तावित है। स्मार्ट सिटी मिशन के अन्तर्गत प्रदेश के 10 नगर-लखनऊ, वाराणसी, कानपुर, आगरा, झांसी, इलाहाबाद, अलीगढ़, मुरादाबाद, सहारनपुर व बरेली को चयनित किया गया है। उत्तर प्रदेश में जेम पोर्टल निरन्तर प्रगति कर रहा है। विभिन्न विभागों द्वारा अब तक 699.94 करोड़ रुपये की कुल खरीदारी हो चुकी है, जो आज पूरे देश में द्वितीय स्थान पर है। उत्तर प्रदेश स्टेट जेम पूल एकाउण्ट सफलतापूर्वक संचालित करने वाला देश का प्रथम राज्य बन गया है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि इसके अलावा प्रदेश में पारदर्शी और स्वच्छ प्रशासन तथा निर्माण कार्यों, सेवाओं एवं सामग्री के क्रय में प्रतिस्पर्धा सुनिश्चित कराए जाने हेतु ई-टेण्डरिंग प्रणाली लागू की गई है। जन सेवा केन्द्र, लोकवाणी केन्द्र, ई-सुविधा के माध्यम से आमजन को 149 शासकीय सेवाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। 75 हजार से अधिक जनसेवा केन्द्रों की स्थापना की गई है, जिनमें से 59 हजार जनसेवा केन्द्रों को भीम एप से जोड़ दिया गया है। शासकीय प्रक्रियाओं और सेवा वितरण तंत्र में दक्षता-वृद्धि निष्पक्षता तथा कार्यप्रणाली और प्रभावशीलता में सुधार हेतु ई-आॅफिस प्रणाली उत्तर प्रदेश सचिवालय में लागू कर दी गई है। प्रदेश में जन सामान्य की दिन-प्रतिदिन की समस्याओं का समाधान कराए जाने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री हेल्पलाइन की स्थापना की गई है। प्रधानमंत्री जी की पहल पर देश में 115 महत्वाकांक्षी जनपदों का चिन्हांकन किया गया है। इनमें से 08 जनपद उत्तर प्रदेश के हैं। इन जनपदों के विकास को गति देने के उद्देश्य से डिस्ट्रिक्ट एक्शन प्लान तैयार करते हुए उसका क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि ग्राम स्वराज अभियान के अन्तर्गत प्रथम चरण के कार्य सफलतापूर्वक सम्पन्न हो गये हैं। प्रदेश के चयनित 08 महत्वाकांक्षी जनपदों में ग्राम स्वराज अभियान को सघनता से लागू कराया जायेगा। गरीबी रेखा सेे नीचे जीवन-यापन करने वाले सभी वर्गांे के परिवारों की पुत्रियों की शादी हेतु मुख्यमंत्री सामूहिक विवाह योजना संचालित है। इस योजना के अंतर्गत प्रत्येक विवाह संस्कार हेतु 35,000 रुपए की धनराशि की व्यवस्था है। गत वित्तीय वर्ष में इस योजना से 14,580 पात्र व्यक्तियों को लाभान्वित किया गया है।
मुख्यमंत्री जी ने प्रधानमंत्री जी एवं अन्य सभी महानुभावों को प्रयाग कुम्भ-2019 में सम्मिलित होने के लिए आमंत्रित करते हुए कहा कि प्रयाग कुम्भ-2019 का अयोजन 6 वर्ष के अन्तराल पर हो रहा है। इस अवधि में जनसंख्या वृद्धि के दृष्टिगत सभी मूलभूत सुविधाओं यथा-पेयजल, प्रकाश, सफाई, स्वास्थ्य, सुरक्षा एवं सुगम आवागमन हेतु सड़क आदि का विकास-विस्तार प्राथमिकता पर कराया जा रहा है।
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बी.एस.पी. द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति-दिनांक 15.06.2018

Posted on 15 June 2018 by admin

नई दिल्ली, 15 जून 2018 :
(1) सीमावर्ती जम्मू-कश्मीर राज्य में जवानों की लगातार हो रही शहादत के बीच कश्मीर में वरिष्ठ सम्पादक सुजात बुख़ारी की हत्या पर गहरा दुःख व्यक्त।
(2) अब समय आ गया है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की सरकार अपनी अड़ियल नीति को त्याग कर अविलम्ब देशहित में अपनी कश्मीर नीति पर पुनर्विचार करे।
(3) जम्मू-कश्मीर में पी.डी.पी. व बीजेपी की गठबंधन सरकार होने के बावजूद वहाँ सीमा व वहाँ के आन्तारिक हालात लगभग बेकाबू हैं, क्यों?
(4) इसके साथ ही उत्तर प्रदेश बीजेपी की सरकार द्वारा जनहित व जनकल्याण की लगातार घोर उपेक्षा किये जाने की तीखी आलोचना। मा. मुख्यमंत्री व मंत्रीगण सर्वज्ञानी बनकर इतिहास को चैलेन्ज करने के बजाय कम से कम उन मेधावी छात्रों की सुधि लेनी चाहिये जो उनके हाथ से लिये गये इनामी रकम की चेक बाउन्स हो जाने से दुःखी ही नहीं बल्कि काफी ज्यादा आहत भी हैं।
(5) साथ ही बीजेपी शासित असम में भी दो नवयुवक होनहार हिन्दू युवकों को पीट-पीट कर मार डालने व महाराष्ट्र के जलगाँव के जामनेर में कुएं में नहाने पर पिछड़े समुदाय के दो नाबलिगों को पीटने व निर्वस्त्र करके गाँव में घुमाने की घटना की तीव्र निन्दा : बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी।
सीमावर्ती जम्मू-कश्मीर राज्य में जवानों की लगातार हो रही शहादत के बीच कश्मीर में वरिष्ठ सम्पादक सुजात बुख़ारी की हत्या पर गहरा दुःख व्यक्त करते हुये बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी ने कहा कि अब समय आ गया है कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की सरकार अपनी अड़ियल नीति को त्याग कर बिना कोई और विलम्ब किये हुये देशहित में अपनी कश्मीर नीति पर पुनर्विचार करे।
सुश्री मायावती जी ने कहा कि कश्मीर की क्षेत्रीय पार्टी पी.डी.पी. व बीजेपी की गठबंधन सरकार की जम्मू-कश्मीर में होने के बावजूद वहाँ के हालात लगभग बेकाबू हैं तथा पाकिस्तान सीमा के साथ-साथ आन्तरिक राज्य में भी हिंसा व हत्याओं का दुःखद दौर लगातार जारी है। हमारे सैनिकों की लगातार शहादत हो रही हैं। वैसे भी शान्ति व कानून-व्यवस्था किस आवाम को पसन्द नहीं होती है, इसको ध्यान में रखकर ही केन्द्र सरकार को ख़ासकर कश्मीर नीति में परिवर्तन लाना चाहिये तथा राजनीतिक स्तर पर भी सुधार के प्रयास तेज़ करनी चाहिये।
उन्होंने कहा कि बीजेपी की कश्मीर नीति पूर्णतः जनहित व देशहित पर आधारित नहीं होकर पार्टी की संकीर्ण राजनीतिक सोच से ज़्यादा प्रभावित लगती है और शायद यही कारण है कि बीजेपी का जम्मू नेतृत्व भी काफी ज्यादा स्वार्थ में लिप्त पाया जाता है यह कारण जम्मू क्षेत्र भी तनाव व हिंसा का शिकार है तथा आमजनता का जीवन वहाँ भी त्रस्त है। इसलिए बीजेपी को व्यापक जनहित व देशहित को सर्वोपरि रखकर अपनी जम्मू-कश्मीर नीति में व्यापक सुधार लाने की जरूरत है। साथ ही जम्मू-कश्मीर की जनता के साथ वैसा तल्ख़ (कड़वा) सरकारी व्यवहार कतई नहीं होना चाहिये जैसाकि पाकिस्तान की सरकार उसके अनाधिकृत कब्जे वाले कश्मीर के लोगों के साथ लगातार करती चली आ रही है। यह सही है कि कश्मीरी जनमत भारत के साथ रहा है और आज भी है, इसमें किसी को कोई संदेह नहीं होने चाहिये।
इसके साथ ही उत्तर प्रदेश बीजेपी की समस्त सरकार द्वारा जनहित व जनकल्याण की लगातार घोर उपेक्षा किये जाने की तीखी आलोचना करते हुये सुश्री मायावती जी ने कहा कि मुख्यमंत्री के तौर पर सर्वज्ञानी बनकर इतिहास को चैलेन्ज करने के बजाये कम से कम उन मेधावी छात्रों की सुधि लेनी चाहिये जो उनके हाथ से लिये गये इनामी रकम की चेक बाउन्स हो जाने से दुःखी ही नहीं बल्कि काफी ज्यादा आहत भी हैं। बीजेपी कम से कम अब सरकार में आ जाने के बाद संकीर्ण व सस्ती लोकप्रियता वाले काम बन्द करे तो बेहतर है क्योंकि अपने लगभग सवा साल के कार्यकाल में ही बीजेपी ने उत्तर प्रदेश में समाज के हर वर्ग के लोगों का जीवन काफी ज्यादा दुःखदायी बना दिया है तथा अपराध-नियंत्रण व कानून-व्यवस्था तथा विकास व जनहित का काफी ज्यादा बुरा हाल है।
इतना ही नहीं बल्कि ख़ासकर बीजेपी सरकारों में सर्वसमाज के ग़रीबों, मजदूरों, उपेक्षितों, शोषितों, दलितों, पिछड़ों व धार्मिक अल्पसंख्यकों के प्रति भेदभाव व जातिगत व्यवहार चरम पर है क्योंकि इनकी सरकारें ऐसे असमाजिक व आपराधिक तत्वों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई करने को संवैधानिक जिम्मेदारी नहीं समझती हैं। इसी का प्रभाव है कि बीजेपी शासित असम राज्य में भी दो नवयुवक होनहार हिन्दू युवकों को भी पीट-पीट कर मार डाला गया।
इस सम्बंध में महाराष्ट्र के जलगाँव ज़िले के जामनेर में कुएं में नहाने पर पिछड़े समुदाय के दो नाबलिगों को पीटने व निर्वस्त्र करके गाँव में घुमाने की घटना की तीव्र निन्दा करते हुये सुश्री मायावती जी ने कहा कि बीजेपी सरकारें अगर ऐसे मामलों में सख़्त कार्रवाई करती रही होती तो इस प्रकार की जातिवादी घटनाओं पर काफी अंकुश लगाया जा सकता था। गुजरात, हरियाणा, मध्य प्रदेश व झारखण्ड आदि बीजेपी-शासित राज्यों में ऐसी जातिवादी व साम्प्रदायिक घटनायें आम बात हो गयी हैं क्योंकि वहाँ की सरकारों का रवैया ऐसे जघन्य मामलों में भी हमेशा काफी ज्यादा लचर व ग़ैर-जिम्मेदाराना ही रहा है जो काफी चिन्ता की बात है।

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वसीम रिज़वी ने बनाई ,इंडियन शिया आवामी लीग, पार्टी

Posted on 14 May 2018 by admin

नई दिल्ली उत्तर प्रदेश शिया वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष वसीम रिज़वी ने अपनी नई राजनतिक पारी खेलते हुऐ अपनी नई राजनीतिक पार्टी का ऐलान किया है। उनकी राजनीतिक पार्टी का नाम है इंडियन शिया आवामी लीग। इसके साथ ही उन्होने अपनी पार्टी के 16 प्रदेश अध्यक्षों का भी इेलान कर दिया है।
नई दिल्ली के इंडिया इस्लामिक कल्चरल सेंटर में आयोजित पत्रकार वार्ता के दौरान उत्तर प्रदेश शिया वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष वसीम रिज़वी ने कहा कि उत्तर प्रदेश सहित देश के तमाम हिस्सों में शिया समुदाय के लागों को अल्पसंख्यकों में भी अल्पसंखक माना जाता है। इसीलिये केन्द्र और प्रदेश की सरकारों दुारा चलाई जाने वाली तमाम योजनाओं का हिस्सा शिया समुदाय के लोगों तक नहीं पहुँच नही पातीं है इसके लिये शिया समुदाय के लोगों को जागरूक करने और उनका हिस्सा उनको दिलाने के लिये और राजनीतिक रूप से शिया समुदाय के लोगों जाग्रत करने के लिये हमने एक राजनीतिक पार्टी बनाने का फैसला किया है क्योकि इससे पहले देश में शिया समुदाय के लोगों की अपनी कोई जमात या राजनीतिक पार्टी नहीं थी।
वसीम रिज़वी ने कहा कि हम देश में अमन और शांति का पैग़ाम लेकर जनता के बीच जाऐंगे और उन्हें बताऐंगे कि इस्लाम अमन और शांति का पैग़ाम सिखाता है और इसके लिये हमे किसी भी व्यक्ति के समुदाय या मज़हब से कोई वास्ता नहीं है। एक सवाल के जवाब में उन्होने कहा कि हम देश में बढ़ती फिरका परस्ती और नफरत के खिलाफ है क्योकि हम देश में भाई चारा और अमन चाहते है।
एक सवाल के जवाब में उन्होने कहा कि हमारी इस पार्टी का पहला काम शिया समुदाय के लोगों को उनकी खोई पहचान वापस दिलाना होगा। साथ ही उन्होने कहा कि चाहे वह राजनीतिक पहचान हो या सामाजिक पहचान। उन्होने कहा कि इस देश में शिया समुदाय किसी दुसरे समुदाय से कम या पीछे नहीं है लेकिन मुस्लिम समाज के दूसरे तबकों दुारा शिया समुदाय के हक को हड़प लेने की वजह से शिया समुदाय आज अपनी पहचान वापस पाने और अपने बच्चों के मुस्तकबिल को लेकर परेशान है और शिया समुदाय की इसी परेशानी को लेकर हमने पहल की है और मुझे उम्मीद है कि उत्तर प्रदेश से लेकर देश के हर प्रदेश में रहने वाले शिया समुदाय के लोग उनका साथ देंगे।
उन्होने शिया समुदाय के बड़े नेता मौलान कल्बे जव्वात पर निशाना साधते हुऐ कहा कि वह सिर्फ एक मौलाना है नेता नहीं साथ ही उन्होने यह भी कहा कि मौलानाओं का काम होता है धर्म प्रचार करना ना कि राजनीति करना। उन्होने कहा कि मैं चाहता हूँ कि मज़हब और राजनीति दो अलग अलग चीज़ें हैं और इन्हें अलग ही रहना चाहिये।
अपने उपर लगे आरोपों को लेकर उत्तर प्रदेश शिया वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष वसीम रिज़वी ने कहा कि मेरे उपर जो भी आरोप लगे थे मैं उनसे पूरी तरह बरी हो चुका हुँ और मैं शायद पहला ऐसा व्यक्ति हुँ जिसने बार बार कहकर अपने उपर लगे आरोपों की जांच करवायी और मैं अंततः बरी हो गया हुँ।
पार्टी के बनने के ऐलान के साथ ही वसीम रिज़वी ने अपनी पार्टी इंडियन शिया आवामी लीग की राष्ट्रीय कमेटी और 16 प्रदेशों के अध्यक्षों का भी ऐलान कर दिया। इंडियन शिया आवामी लीग में दो राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मौलाना शोएब काज़िम (लखनऊ) और नईम हसन बाकरी (दिल्ली) एक महासचिव हैदर आग़ा (गोआ) दो सचिव डा0 सैययद शाहीन आबिदी (कर्नाटक) और मीर आज़ाद मौहम्मद (जम्मू) एक खजांची अश्फाक़ हुसैन (फैज़ाबाद) इसके अलावा 8 राष्ट्रीय सदस्य भी बनाऐ है जिनमें ज़हीरुुल हसन (दिल्ली) कैसन अली बाक़री (मुरादाबाद उ0प्र0) विसाल मेंहदी बाक़री (नहटौर उ0प्र0) मौहम्मद ज़ामिन (बाराबंकी उ0प्र0) सैयद रफीकुल हसन रिज़वी (लखनऊ उ0प्र0) सैयद आज़ाद हसन जैदी (गुडगांव हरियाणा) हसन अली (सिरसी सम्भल उ0प्र0) तथा सैययद अली अशतर (लखनऊ उ0प्र0) हैं। इसके अलावा उत्तर प्रदेश की कमान सम्भल उ0प्र0 निवासी चैधरी मौहम्मद उरूज़ आलम के हाथों में सौंपते हुऐ उन्हें उत्तर प्रदेश का अध्यक्ष नियुक्त किया है।

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बी.एस.पी. द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति-दिनांक 11.04.2018

Posted on 11 April 2018 by admin

(1) वर्तमान में ख़ासकर दिनंाक 2 अप्रैल के ‘‘भारत बन्द‘‘ की आड़ में बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर के अनुयाइयों की अंधाधुंध गिरफ्तारी तथा उन पर अनेकों प्रकार की अन्य जुल्म-ज्यादती करने वाली बीजेपी व इनकी सरकारों को क्या कोई नैतिक हक बनता है कि वह इन वर्गों के मसीहा परमपूज्य बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर की जयन्ती मनाये?
(2) यह विडम्बना नहीं तो और क्या है कि बीजेपी अब बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर का नाम लेने की नाटकबाजी तो करती रहती हंैं, किन्तु उनके करोड़ों अनुयाइयों पर जातिवादी जुल्म-ज्यादती करने व इनके संवैधानिक व कानूनी अधिकारों को छीनने में कोई कसर नहीं छोड़ती हैै।
(3) परन्तु अब वे लोग अपनी सत्ता प्राप्ति के लिये काफी गम्भीर लगते हैं क्यांेकि वे जान गये हैं कि बीजेपी एण्ड कम्पनी के शासन में उन्हें गुलामी से मुक्ति तथा समता व न्याय का जीवन कभी भी नहीं मिल सकता है।
(4) बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर की जयंती मनाने की नैतिकता प्राप्त करने के लिये श्री नरेन्द्र मोदी सरकार को पहले सरकारी कर्मचारियों को प्रमोशन में आरक्षण देने सम्बंधी संविधान संशोधन विधेयक को, जो राज्यसभा से पारित है, लोकसभा से भी पारित कराना चाहिये जो कि पिछले चार वर्षों से लम्बित पड़ा हुआ है, क्यों?: बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी।

नई दिल्ली, 11 अप्रैल, 2018, दिन बुधवार: सरकारी भय व आतंक पैदा करने के बाद विभिन्न राज्यों में हजारों लोगों को इनके ‘‘भारत बन्द‘‘ की आड़ में गिरफ्तार करने तथा उन पर अनेकों प्रकार की अन्य जुल्म-ज्यादती करने वाली बीजेपी व इनकी सरकारों को क्या कोई नैतिक हक बनता है कि वह इन वर्गों के मसीहा परमपूज्य बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर की जयन्ती मनाये?
बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी ने कहा कि परमपूज्य बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर की असली पहचान उनके करोडों अनुयाइयों के दुःख-दर्द, सुख-चैन, उनकी जातिवाद से मुक्ति तथा उनके हित व कल्याण से पूरी तरह से जुड़ी हुई है जिसके लिये वे जीवन भर संघर्षरत रहे और जिसकी उपेक्षा व अनदेखी करके कोई भी सरकार सही मायने में ’’कल्याणकारी सरकार’’ हो ही नहीं सकती है। ऐसी सरकार हमेशा गरीब, मजदूर व जनविरोधी ही कहलायेगी क्योंकि वे ही बहुसंख्यक हैं और असली भारत हैं।
वोट के स्वार्थ की राजनीति करके सत्ता प्राप्त करने की कोशिश में धर्म का राजनीति में अनुचित इस्तेमाल, धार्मिक उन्माद व हिन्दू-मुस्लिम साम्प्रदायिकता फैलाना, आपस में नफरत व वैमन्सयता एवं जातिवादी बर्बर व्यवहार आदि बीजेपी सरकारों की ख़ास विशेषता रही है, परन्तु यह विडम्बना नहीं तो और क्या है कि बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर का नाम तो सरकारी मजबूरीवश लेते हैं तथा इनके नाम पर अन्य और भी नाटकबाजी भी करते हैं, किन्तु उनके करोड़ों अनुयाइयों पर जातिवादी जुल्म-ज्यादती करने तथा इनके संवैधानिक व कानूनी अधिकारों को छीनने व छिनवाने में कोई कसर नहीं छोड़ते हैं। क्या इसे ही बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर व दलितों के प्रति प्रेम व स्नेह कहेंगे?
सुश्री मायावती जी ने कहा कि वैसे भी दलितों व पिछड़ों ने ऐसा सरकारी फर्जी व वक्ती प्रेम व पाखण्ड बहुत देखा है किन्तु अब वे संगठित होकर अपने कानूनी हक के लिये व खासकर जातिवादी अत्याचार-व्यवहार व भेदभाव के विरुद्ध संघर्ष करना सीख गये हैं और उसके लिये सरकारी अन्याय-अत्याचार के रुप में जेल तक जाकर कीमत चुका रहे हैं।
परन्तु श्री नरेन्द्र मोदी की बीजेपी सरकार को यह समझ लेना चाहिये कि उनके संघर्ष व आकांक्षाओं को अब और ज्यादा दिनों तक दबाया व कुचला नहीं जा सकता है। अब वे लोग अपनी सत्ता को पाने के लिये काफी गम्भीर हैं क्यांेकि वे अच्छी तरह से जान गये हैं कि बीजेपी एण्ड कम्पनी के शासन में उन्हें गुलामी से मुक्ति तथा समता व न्याय का जीवन कभी भी नहीं मिल सकता है बल्कि वे सत्ताधारी मुटठीभर लोग इन बहुसंख्यक तबकों को हमेशा की तरह लाचार व गुलाम बनाये रखने की हीन, जातिवादी व सामन्ती मानसिकता त्यागने वाले नहीं हैं।
सुश्री मायावती जी ने कहा कि खासकर उत्तर प्रदेश व मध्य प्रदेश आदि बीजेपी शासित राज्यों में सरकारी भय, आतंक व गिरफ्तारी का ऐसा ताण्डव मचा हुआ है कि इस बार परमपूज्य बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर की जयन्ती भी लोग खुलकर मनाने के प्रति आशंकित है, जिसका तत्काल समाधान ज़रुरी है, ऐसी बी.एस.पी. की माँग हैं।
इसके अलावा बीजेपी व केन्द्र में प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार को दलितों की कोई भी बात करने व इनके गांवों में जाकर रात बिताने का ढोंग आदि करने के पहले इनको अपनी नेक नीयती व सत्यता का थोड़ा प्रमाण अवश्य देना चाहिये और इस क्रम में सबसे पहले दलित कर्मचारियों को प्रमोशन में आरक्षण से सम्बन्धित संविधान संशोधन विधेयक को, जो राज्यसभा से पारित हो चुका है, उसे लोकसभा से पारित करना चाहिये जो काम श्री नरेन्द्र मोदी की सरकार में लगभग चार वर्षों से लम्बित पड़ा हुआ है। साथ ही एससी-एसटी अत्याचार निवारण कानून, 1989 को उसके मूल रुप में बहाल करने की तत्काल जरुरत है। केन्द्र सरकार अध्यादेश लाकर भी ऐसा कर सकती है। तभी इन्हें आगे चलकर परमपूज्य बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर की पवित्र जयन्ती को मनाने की नैतिकता प्राप्त हो पायेगी।

जारीकर्ता:
बी.एस.पी. केन्द्रीय कार्यालय
4, गुरूद्वारा रकाबगंज रोड,
नई दिल्ली - 110001

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बी.एस.पी द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति-दिनांक 23.02.2018

Posted on 23 February 2018 by admin

(1) करोड़ों-अरबों रुपया खर्च करके ’इन्वेस्टर्स समिट’ कराना वर्तमान में एक ऐसा फैशन हो गया है जिसके नाम पर बीजेपी सरकारें सरकारी धन पानी की तरह बहाती हैं जबकि जनता के इसी गाढ़ी कमाई के धन से ग़रीबों, किसानों व बेरोज़गार युवाओं को काफी राहत व जनता के असली हित व कल्याण के अनेक महत्त्वपूर्ण काम तत्काल किये जा सकते थे।
(2) ’इन्वेस्टर्स समिट’ महंगाई व बेरोज़गारी आदि की ज़बर्दस्त जनसमस्याओं व सरकार की अन्य विफलताओं पर से लोगों का ध्यान बांटने का एक माध्यम बनने के साथ-साथ बीजेपी की सरकारों द्वारा यह खाओ-पकाओ का एक नया साधन भी बन गया लगता है।
(3) अगर उत्तर प्रदेश में अपराध-नियंत्रण व क़ानून-व्यवस्था की स्थिति अच्छी होगी तभी यहाँ उद्योग-धंधे आयेंगे परन्तु वर्तमान हालात में तो ऐसा नहीं लगता है कि प्राइवेट निवेशक यहाँ आने में कोई ख़ास रूचि रखते हैं।
(4) इन्वेस्टर्स समिट के लिये निवेशकों को आमंत्रित करने से पहले क़ानून-व्यवस्था को चुस्त-दुरूस्त करके उत्तर प्रदेश में सुरक्षा का अच्छा वातावरण पैदा करे।
(5) चाहे प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की सरकार हो या उत्तर प्रदेश में बीजेपी की सरकार इन पर जनता का अब भरोसा नहीं के बराबर ही रह गया है क्योंकि इनकी वादाखिलाफियों की सूची काफी लम्बी होती चली जा रही है। बीजेपी नेताओं की बातों व वायदों पर अब जनता कैसे भरोसा करे?: बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी।

नई दिल्ली, 23 फरवरी 2018: ’इन्वेस्टर्स समिट’ अर्थात उद्योगपतियों का सम्मेलन आयोजित कराना वर्तमान में एक ऐसा फैशन हो गया है जिसके नाम पर ख़ासकर बीजेपी सरकारें सरकारी धन पानी की तरह बहाती हैं जबकि जनता के इसी गाढ़ी कमाई के धन से ग़़रीबों, मजदूरों व बेरोजगार युवाओं को बड़ी राहत व जनता के असली हित व कल्याण के अनेक महत्त्वपूर्ण काम तत्काल किये जा सकते थे। साथ ही इससे लाखों किसानों के सर से कर्ज की मुक्ति मिल सकती थी।
इसके अलावा हाल के अनुभवों को देखकर जनता को यह लगने लगा है कि वास्तव में ’इन्वेस्टर्स समिट’ लोगों को काफी ज्यादा सताने वाली महंगाई व बेरोज़गारी आदि की जबर्दस्त जनसमस्याओं व सरकार की अपनी अन्य घोर विफलताओं पर से लोगों का ध्यान बांटने का एक माध्यम बनने के साथ-साथ बीजेपी की सरकारों द्वारा यह खाओ-पकाओ का एक अच्छा साधन भी बन गया लगता है।
बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी ने उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में हुये ’इन्वेस्टर्स समिट’ पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुये कहा कि महाराष्ट्र आदि कई अन्य राज्यों के बाद अब उत्तर प्रदेश में बीजेपी की सरकार पर भी ’इन्वेस्टर्स समिट’ का बुख़ार चढ़ गया है और इसे ही सबसे बड़ी जनसेवा व विकट जनससमयाओं का हल मानकर पूरी सरकार ही इसमें काफी व्यस्त रही है तथा सरकारी धन को भी पानी की तरह इसके प्रचार व प्रसार पर बेहिसाब-किताब ख़र्च किया गया है जबकि यह एक सर्वव्यापी सच है कि जिस भी देश व प्रदेश में अपराध-नियंत्रण व कानून-व्यवस्था की हालत अच्छी नहीं होती है वहाँ कोई भी उद्योगपति उद्योग-धंधा लगाना घाटे का सौदा समझता है।
अगर प्रदेश में अपराध नियंत्रण व क़ानून-व्यवस्था की स्थिति सही होगी तभी यहाँ उद्योग-धंधे आयेंगे परन्तु वर्तमान हालात में तो ऐसा नहीं लगता है कि प्राइवेट निवेशक यहाँ आने में कोई खास रूचि लेंगे। इसलिये इस बात की पूरी आशंका है कि जनता की गाढ़ी कमाई का अरबों रूपया खर्च करके हुआ यह ’इन्वेस्टर्स समिट’ राजनीतिक अखाड़ेबाजी के साथ-साथ ’’शो बाजी’’ ही मात्र बनकर रह जायेगा तथा सरकार कई लाख करोड़ रूपये के एम.ओ.यू. ;डमउवतंदकनउ व िन्दकमतेजंदकपदहद्ध के हस्ताक्षर होने का ढिंढोरा पीटकर जनता को फिर से वरग़लाने का प्रयास कर रही है क्योंकि एम.ओ.यू. की हैसियत अब एक सादे काग़ज से ज़्यादा कुछ भी नहीं रह गया है। एक उद्योगपति बीजेपी नेताओं को खुश करने के लिये आखिर एक साथ कितने बीजेपी- शासित राज्य में कारखाने लगायेंगा?
इसीलिए उत्तर प्रदेश बीजेपी सरकार को अन्य बीजेपी सरकारों का अंध अनुसरण करके कई सौ करोड़ों रूपये फिजूल में खर्च करके ’इन्वेस्टर्स समिट’ करने से पहले प्रदेश की कानून-व्यवस्था को खूब चुस्त-दुरूस्त करके उत्तर प्रदेश में सुरक्षा का अच्छा वातावरण पैदा करना चाहिये था। वैसे भी क्या केवल सैकड़ों पुलिस इन्काउन्टरों के बल पर कानून-व्यवस्था की स्थिति को बेहतर किया जा सकता है?
इसके साथ ही ज्यादातर स्वयं बीजेपी के लोगों द्वारा ही उत्पन्न किये जा रहे जंगलराज व माफियाराज को समाप्त करने की ईमानदार कोशिश करने के क्रम में सख्त कानूनी कदम उठाये, ना कि अपने मंत्री व नेताओं पर से आपराधिक मुकदमों को वापस लेने का गलत व गै़र-कानूनी प्रयास लगातार करती रहे। बीजेपी सरकार द्वारा अपने नेताओं पर से मुकदमा वापसी की नीति से उत्तर प्रदेश में कानून-व्यवस्था की बदतर स्थिति सुधरने वाला नहीं है बल्कि इससे और ज्यादा बिगडे़गा ही।
सुश्री मायावती जी ने कहा कि बेहतर कानून-व्यवस्था के माध्यम से आमजनता के जान-माल व मज़हब की सुरक्षा करना सरकार की पहली संवैधानिक ज़िम्मेदारी होती है, जिसमें बीजेपी की सरकारें बुरी तरह से विफल साबित हो रही हंै क्योंकि इनकी नीयत व नीति दोनों में ही नफरत, हिंसा, साम्प्रदायिकता व जातिवाद की ज़हर निहित है। इन अभिशापों आदि से मुक्त होने के कारण ही बी.एस.पी. की चार बार यहाँ उत्तर प्रदेश में रही सरकार अपराध-नियंत्रण व कानून-व्यवस्था तथा जनहित व विकास के मामले में अति-उत्तम सरकार रही और जिस दौरान पूरा उत्तर प्रदेश हिंसा, जातिवाद व दंगा-मुक्त प्रदेश बना हुआ था।
उन्होंने कहा कि चाहे प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की सरकार हो या प्रदेश की बीजेपी सरकार इन पर उत्तर प्रदेश की जनता का अब भरोसा नहीं के बराबर ही रह गया लगता है क्योंकि इनकी वादाखिलाफियों की सूची काफी लम्बी होती चली जा रही है। ग़रीब परिवार के लोगों को विदेशों में जमा कालाधन को वापस लाकर 15 से 20 लाख रुपये देने का सन् 2014 के लोकसभा आमचुनाव का श्री नरेन्द्र मोदी का लुभावना वायदा अब भी लोगों के मन-मस्तिष्क में कुरेदता रहता है जबकि इनकी सरकार का समय समाप्त होकर अब नया लोकसभा का आमचुनाव आने वाला है। देश व प्रदेश की जनता बीजेपी नेताओं की बातों व वायदों पर अब कैसे भरोसा कर सकती है?

जारीकर्ता:
बी.एस.पी. केन्द्रीय कार्यालय
4, गुरूद्वारा रकाबगंज रोड,
नई दिल्ली - 110001

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उत्तर प्रदेष के मुख्यमंत्री, योगी आदित्यनाथ नई दिल्ली में विदेष मंत्री, भारत सरकार, श्रीमती सुषमा स्वराज से भेंट करते हुए

Posted on 18 February 2018 by admin

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बी.एस.पी द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति-दिनांक 18-02-2018

Posted on 18 February 2018 by admin

(1) प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार की नाक के नीचे 20 हज़ार करोड़ रूपये का बैंक महाघोटाला हो गया और सरकार सोती रही, यह कैसी जनहितैषी सरकार?
(2) साथ ही श्री मोदी द्वारा देश को दिये गये इस आश्वासन का क्या हुआ कि ना खायेंगे और ना खाने देंगे?
(3) तथा जनधन योजना के अन्तर्गत करोड़ों ग़़रीबों व मेहनतकश लोगों की गाढ़ी कमाई का हजारों करोड़ रूपया क्या अपने चहेते उद्योगपतियों व धन्नासेंठों को ग़बन करने के लिये ही सरकारी बैंकों में जमा कराया गया था?
(4) क्या ’अच्छे दिन’ लाने व विदेशों से कालाधन वापस लाकर ग़रीब परिवारों में 15 से 20 लाख रूपये बांटने की तरह वे आश्वासन देश की सवा सौ करोड़ आमजनता को ठगने के लिये बीजेपी सरकार की केवल जुमलेबाजी मात्र थी?
(5) केवल बड़ी-बड़ी बातें ही नहीं इस सनसनीखेज बैंकिंग महाघोटाले के लिये श्री मोदी सरकार तत्काल अपनी ज़िम्मेदारी स्वीकार करते हुये, जो भी दोषी लोग है तो उनके ख़िलाफ सख़्त कार्रवाई करे ताकि बैंकिंग व्यवस्था में जनता का विश्वास बहाल हो सके?
(6) देश में आर्थिक महाघोटालों व अर्थव्यवस्था में मज़बूती के दावों के बावजूद रोज़गार के अवसर उपलब्ध नहीं होने आदि से यह साफ तौर पर लगता है कि श्री मोदी सरकार में सरकारी व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा गई है: बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी।

नई दिल्ली, 18 फरवरी 2018: बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार की नाक के नीचे 20 हज़ार करोड़ रूपये से अधिक का बैंक महाघोटाला हो गया और सरकार सोने का बहाना करती रही, जिससे दो अह्म प्रश्न उठते हैं कि श्री मोदी द्वारा देश को दिये गये इस आश्वासन का क्या हुआ कि ना खायेंगे और ना खाने देंगे तथा दूसरा यह कि जनधन योजना के अन्तर्गत करोड़ों ग़रीबों व मेहनतकश लोगों की गाढ़ी कमाई का रूपया क्या अपने चहेते उद्योगपतियों व धन्नासेंठों को ग़बन करने के लिये ही सरकारी बैंकों में जमा कराया गया था?
साथ ही क्या ’अच्छे दिन’ लाने व विदेशों से कालाधन वापस लाकर ग़रीब परिवारों में 15 से 20 लाख रूपये बांटने की तरह वे आश्वासन देश की सवा सौ करोड़ आमजनता को ठगने के लिये बीजेपी सरकार की केवल जुमलेबाजी थी?
अभी हाल में ही कुछ सच्चे देशभक्तों द्वारा पर्दाफाश किये जाने पर काफी बड़ा करीब 12 हजार करोड़ रूपये का बैंकिंग घोटाला पकड़े जाने पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुये सुश्री मायावती जी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी सरकार का क्या इसे ही अपना गुड गर्वेइन्स मानेगी की उसके चहेते उद्योगपतिगण देश के धन को लूटकर और बड़े धन्नासेठ बनते रहे और फिर भी बीजेपी सरकार उन्हें अपने गोद में बैठाये फिरती रही?
वास्तव में श्री मोदी सरकार एक तरफ अपनी अलोकतांत्रिक सोच के हिसाब से काम करते हुये देश को ’विपक्ष-मुक्त’ बनाने के लिये ई.डी. सी.बी.आई. व आयकर विभाग आदि सरकारी मशीनरी का खुलकर दुरूपयोग करती रही जबकि दूसरी तरफ इनके धन्नासेठ प्रियपात्रों के लिये सरकार द्वारा बेईमानी व अनैतिकता के हर दरवाजे़ खोल दिये गये। इस प्रकार देश में जनहित व जनकल्याण की संवैधानिक ज़िम्मेदारी को पूरी तरह से भुलाकर धन्नासेठों के लिये ही पलक-पावड़े बिछाने का काम श्री मोदी सरकार द्वारा किया जाता रहा है और अन्ततः इसका नतीजा यह हुआ है कि धन्नासेठों की संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है तथा गरीब, किसान व बेरोजगार युवागण हर प्रकार से मोहताज का जीवन जीने को मजबूर हो रहे हैं।
सी.बी.आई के मुताबिक ज्यादातर घोटाला सन् 2017-18 अथार््त चालू वर्ष में हुआ है तो क्या इस सनसनीखेज बैंकिंग महाघोटाले के लिये श्री नरेन्द्र मोदी सरकार कोई ज़िम्मेदारी अपने ऊपर लेकर इसके मुख्य दोषियों के ख़िलाफ सख़्त कार्रवाई करने की हिम्मत रखती है ताकि बैंकिंग व्यवस्था में जनता का विश्वास बहाल हो सके?
इसके अलावा आखिर क्या कारण है कि देश में अरबों-खरबों रूपयों का घोटाला करने वाले धन्नासेठों जैसे ललित मोदी, विजय माल्या व नीरव मोदी एण्ड कम्पनी आदि के लोगों को बड़ी आसानी से देश छोड़कर विदेश भाग जाने दिया जाता है? क्या श्री मोदी सरकार व बीजेपी एण्ड कम्पनी ऐसे जघन्य अपराधों में भी यही जवाब देगी कि हम चुनाव जीत रहे हैं इसलिये ऐसे कामों के लिये भी जनता का समर्थन हमें प्राप्त है?
सुश्री मायावती जी ने कहा कि इस प्रकार की देश लूट की घटनाओं से यह साफ तौर पर स्पष्ट है कि देश में नई टेकनोलोजी व आधार कार्ड आदि का इस्तेमाल केवल ग़रीबों, मज़दूरों, छोटे व्यापारियों, किसानों आदि को हर प्रकार से परेशान करने के लिये ही किया जा रहा है जबकि बड़े-बड़े उद्योगपति व धन्नासेठों आदि को हर प्रकार से देश को लूटने की छूट दे दी गयी है।
अगर ऐसा नहीं होता तो विभिन्न स्तर पर श्री नरेन्द्र मोदी सरकार व बीजेपी एण्ड कम्पनी के लोगों को ख़ासकर इस बैंकिग महाफ्राड के बारे में काफी कुछ मालूम होने के बावजूद समय पर समुचित कार्रवाई क्यों नहीं की गयी? लोग पूछ रहे हैं कि ऐसी सरकारी कार्रवाई का क्या लाभ जब चिड़ियाँ चुग गयी खेत? क्या बीजेपी एण्ड कम्पनी अपने पास से इस गबन व घोटाले की भरपाई करेगी? कम से कम श्री नरेन्द्र मोदी सरकार को चाहिये कि सरकार के स्तर पर तुरन्त ही ज़िम्मेदारी तय करे तथा प्रथम दृष्टया दोषी के खिलाफ सख़्त कार्रवाई करे।
इस प्रकार के आर्थिक महाघोटालों व अर्थव्यवस्था मे मजबूती के बीजेपी सरकार के बड़े-बड़े दावों के बावजूद रोजगार के अवसर उपलब्ध नहीं होने आदि से यह साफ तौर पर लगता है कि श्री नरेन्द्र मोदी सरकार में सरकारी व्यवस्था पूरी तरह से चरमरा गई है और इस अपनी घोर व घातक विफलता पर से लोगों का ध्यान बांटने के लिये ही धार्मिक मुद्दे व धार्मिक व साम्प्रदायिक उन्माद आदि फैलाने का काम देश भर में बीजेपी व आर.एस.एस. एण्ड कम्पनी द्वारा किया जा रहा है, परन्तु जनता अब इनकी ये सब राजनैतिक तिकड़म व पैंतरेबाजी आदि को खूब अच्छी तरह से समझने लगी है और इनके इन बहकावों में नहीं आ रही है।

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भारत के माननीय राष्ट्र पति की पावन उपस्थिति में राष्ट्रापति भवन में एलपीजी की पंचायत का आयोजन

Posted on 13 February 2018 by admin

13 फरवरी 2018, नई दिल्लीस : आज भारत के माननीय राष्ट्रीपति, श्री राम नाथ कोविंद की पावन उपस्थिति में राष्ट्र पति भवन में एक एलपीजी पंचायत का आयोजन किया गया। इस अवसर पर श्री धर्मेंद्र प्रधान,माननीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस,कौशल विकास तथा उद्यमशीलता केंद्रीय मंत्री के साथ विभिन्ना निर्वाचन क्षेत्रों की महिला सांसद, विभिन्न क्षेत्रों के प्रतिष्ठित व्यक्ति, पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय एवं तेल विपणन कंपनियों के के वरिष्ठ् अधिकारी भी उपस्थित थे ।

sm8_2481गरीबी रेखा से नीचे निवास करने वाले परिवारों की 104 महिलाओं, जिन्हेंत प्रधान मंत्री उज्जरवला योजना से लाभ मिला है, को देश के 27 राज्योंन से अपने जीवन में आने वाले बदलाव के अनुभवों को साझा करने के लिए इस कार्यक्रम में आमंत्रित किया गया ।

इस अवसर पर लोगों को संबोधित करते हुए भारत के राष्ट्र पति ने प्रधान मंत्री उज्जकवला योजना के आरंभ होने के 21 माह के अंदर ही 3.4 करोड़ से अधिक ग्राहकों के नामांकन पर अपनी प्रसन्न ता व्य क्तज की। उन्होंने कहा कि उज्ज्वला योजना महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है |

उन्होंने महिलाओं के स्वास्थ्य, कल्याण और सशक्तिकरण के माध्यम से सामाजिक न्याय अग्रिम करने के प्रयासों के लिए पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय को बधाई दी। उन्हें विश्वास जताया कि उज्ज्वला योजना के तहत एलपीजी पंचायतों का आयोजन बहुत उपयोगी साबित होगी।
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माननीय राष्ट्रपति ने कहा कि प्रदूषणकारी ईंधन के उपयोग से ग्रामीण गरीब परिवारों की महिलाएं खराब स्वास्थ्य की शिकार हो रही हैं | इस योजना ने महिलाओं को इस खतरे से बाहर आने तथा स्वस्थ और खुशहाल जीवन जीने में में मदद की है | माननीय राष्ट्रपति आगे कहा कि एक स्वच्छ और स्वस्थ रसोई, महिलाओं का सामाजिक-आर्थिक समावेश में शामिल होना, समय की अधिक उपलब्धता प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के लाभ में से कुछ हैं ।
इस अवसर पर श्री प्रधान ने कहा कि प्रधान मंत्री उज्ज्वला योजना का उद्देश्य सिर्फ एलपीजी कनेक्शन वितरित करना ही नहीं है, बल्कि उन महिलाओं द्वारा सामना किए जा रहे स्वास्थ्य संबन्धित खतरों को कम करना है जो अभी भी खाना पकाने के लिए पारंपरिक ईंधन का उपयोग कर रही हैं। पीएमयूवाई के तहत 3.4 करोड़ कनेक्शन जारी करने के साथ ही, हम समय सीमा के भीतर 8.0 करोड़ कनेक्शन के संशोधित लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए पूर्ण रूप से प्रतिबद्ध हैं।

आगे बोलते हुए उन्हों ने कहा कि एलपीजी पंचायत , लाभार्थियों के साथ बातचीत करने तथा उनके अनुभवों का इस्तेमाल करते हुए उज्ज्वला के आसपास एक स्थायी और व्यवहार्य आंदोलन की शुरूआत करने के लिए एक ज्ञान आधार बनाने के लिए एक मंच के रूप मंध कार्य रही है । इन बैठकों से एलपीजी के सुरक्षित और नियमित उपयोग की जरूरत की पुन: पुष्टि होगी।

कार्यक्रम के दौरान, 5 पीएमयूवाय लाभार्थियों ने अपने व्य क्तिगत अनुभव साझा करते हुए अपने परिवार में एलपीजी का उपयोग शुरू होने के बाद अपने जीवन पर आए गहरे असर के बारे में बताया। ऐसा ही एक अनुभव साझा करते हुए पीएमयूवाय छतीसगढ़ की एक लाभार्थी, सुश्री नारायणी बाई साहू ने बताया कि “…आप समय को नहीं खरीद सकते परन्तु उज्ज्वला खरीद कर समय बचा सकते है …” | उन्होंाने बताया कि भोजन पकाने से बचने वाले खाली समय में उन्होने कपड़े सिलने का काम सीखा और इससे होने वाली आमदनी का एलपीजी रिफिल के वित्तपोषण और बच्चों की शिक्षा में उपयोग हो रहा है।
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एलपीजी पंचायत एक सामुदायिक बैठक है जो आपस में एलपीजी उपभोक्ताीओं के मेलजोल के एक प्लेसटफॉर्म के तौर पर कार्य करता है, यहां आपस में एक दूसरे की जानकारी से सीखा जाता है, वे अपने अनुभव साझा करते हैं, साथ ही एलपीजी के सुरक्षित उपयोग के प्रति लोगों को संवेदनशील करता है । लगभग 100 एलपीजी उपभोक्तााओं को एक साथ लाकर उन्हें एक अंत: क्रियात्मरक प्लेाटफॉर्म पर विचारों के आदान प्रदान की सुविधा देकर उन्हें एलपीजी के सुरक्षित तथा स्थाकयी उपयोग के बारे में चर्चा करने का मौका मिलता है, वे इसके लाभों तथा भोजन पकाने और महिला सशक्ती करण के लिए स्विच्छ‍ ईंधन के उपयोग के बीच संबंध के बारे में जानते हैं। साथ ही इससे उपभोक्तााओं को एलपीजी पारिस्थितिक तंत्र के विभिन्नए हिस्से‍दारों के साथ उपभोक्तासओं को मिलने का अवसर भी प्रदान किया जाता है, जैसे ओएमसी अधिकारी, वितरक, मैकेनिक और डिलिवरी मैन, जो उनके प्रश्नों और शंकाओं का समाधान करते हैं।

एलपीजी पंचायतें नए एलपीजी प्रयोक्तााओं को कुछ जारी योजनाओं के बारे में भी दोबारा जानकारी देने के फोरम के रूप में उपयोग की जाएंगी, जैसे मुद्रा, स्टैंुड अप इंडिया, सुकन्याा समृद्धि योजना, राष्ट्री य ग्रामीण आजीविका मिशन (एनआरएलएम), ताकि इन कार्यक्रमों के लाभ पाने के लिए उन्हें प्रोत्साहन दिया जा सके।

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बी.एस.पी. द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति-दिनांक 12.02.2018

Posted on 12 February 2018 by admin

(1) इलाहाबाद में की गई एक होनहार दलित एल.एल.बी. के छात्र की निर्मम हत्या यह गहरे दुःख व चिन्ता का विषय। पीड़ित परिवार के लोगांे से मिलने हेतु उत्तर प्रदेश बी.एस.पी. स्टेट यूनिट के अध्यक्ष व पूर्व मंत्री श्री रामअचल राजभर को इलाहाबाद भेजा।
(2) सदियों से शोषित-पीड़ित दलित समाज जिसमें आज़ादी के लगभग 70 वर्षों के बाद भी उच्च शिक्षा नाम मात्र की ही है एक होनहार एल.एल.बी. छात्र की हत्या पूरे समाज के लिये ही बड़े दुःख व चिन्ता की बात है। इससे पूरा समाज आहत हुआ है।
(3) बीजेपी की संकीर्ण, जातिवादी व नफरत की राजनीति के कारण उत्तर प्रदेश ही नहीं बल्कि पूरे देश का माहौल काफी ज़्यादा दूषित व हिंसक है। सर्वसमाज के ख़ासकर लिखे-पढ़े युवक रोजगार आदि नहीं मिल पाने के कारण कुण्ठा का शिकार हैं: बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी।

नई दिल्ली, 12 फरवरी 2018: इलाहाबाद में दलित लाॅ छात्र की निर्मम हत्या पर गहरा दुःख व्यक्त व संवेदना व्यक्त करते हुये बी.एस.पी. की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री व पूर्व सांसद सुश्री मायावती जी ने कहा कि ऐसे सदियों से शोषित-पीड़ित दलित समाज, जिसमें आज़ादी के लगभग 70 वर्षों के बाद भी उच्च शिक्षा नाम मात्र की ही है, के एक होनहार एल.एल.बी. छात्र की हत्या पूरे समाज के लिये ही बड़े दुःख व चिन्ता की बात है। इस घटना से पूरा समाज आहत हुआ है।
वास्तव में इलाहाबाद में दलित छात्र की इस प्रकार की नृशंस हत्या उत्तर प्रदेश बीजेपी शासन में कोई यह अकेली नई घटना नहीं है बल्कि ऐसी दर्दनाक घटनायें लगातार ही घटित हो रही हैं और उसके लिये कोई और नहीं बल्कि बीजेपी की संकीर्ण, जातिवादी व नफरत की राजनीति पूरी तरह से दोषी है जिस कारण ही उत्तर प्रदेश में ही नहीं बल्कि पूरे देश में ही माहौल काफी ज़्यादा दूषित व हिंसक है। सर्वसमाज के ख़ासकर लिखे-पढ़े युवक रोजगार आदि नहीं मिल पाने के कारण कुण्ठा का शिकार हैं और जिस कारण विभिन्न प्रकार के अपराध हर स्तर पर लगातार बढ़ रहे हैं तथा समाज का तानाबाना भी बिखऱ रहा है।
सुश्री मायावती जी ने कहा कि दिलीप सरोज नामक जिस छात्र की हत्या अकारण ही खुलेआम कर दी गयी है उस परिवार की भरपाई किसी रूप में भी नहीं हो सकती है, फिर भी परिवार को सान्तवना की सख़्त जरूरत है जिसके लिये उन्होंने बी.एस.पी. उत्तर प्रदेश यूनिट के अध्यक्ष व पूर्व मंत्री श्री रामअचल राजभर को स्थानीय बी.एस.पी. पार्टी यूनिट के लोगों के साथ जाकर परिवार से मिलने का निर्देश दिया है ताकि उनकी यथासम्भव मदद की जा सके। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार को भी दोषियों को सख़्त सज़ा देने के साथ-साथ पीड़ित परिवार की भी जरूर मदद करनी चाहिये।

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उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी 3 फरवरी, 2018 को नई दिल्ली स्थित अक्षरधाम मंदिर का भ्रमण करते हुए तथा परम पूजनीय स्वामी महाराज जी से मिलते हुए।

Posted on 03 February 2018 by admin

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