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बुंदेली माटी के अनमोल रत्न स्वामी राजेश्वरानंद सरस्वती (राजेश रामायणी) का गोलोक गमन

Posted on 10 January 2019 by admin

50095640_2118463688219916_3572971783030046720_nलखनऊ। 10 जनवरी, 2019,।बुंदेली माटी के अनमोल रत्न राम कथा मर्मज्ञ श्री
राम कथा के सरस प्रवक्ता
पूज्य स्वामी राजेश्वरानंद सरस्वती (राजेश रामायणी) का छत्तीसगढ़ की राजधानी
रायपुर में 10 जनवरी को हृदय गति रुक जाने की गोलोक धाम गमन हो गया है। अंतिम
प्रवचन विवेकानंद आश्रम रायपुर में भरत चरित्र के दौरान जीवन और मृत्यु पर
केंद्रित रहा,मानो उन्हे आहट मिल गई हो।
परम पूज्य स्वामी जी का जन्म 22 सितंबर 1955 को ग्राम-पचोखरा जनपद जालौन में
हुआ था। स्नात्तक की उपाधि धारण करने के बाद गुरु अविनाशी राम दीक्षा लेकर
वर्ष 1975 में राम कथा गाने का जो सिलसिला शुरू हुआ वह अनवरत चलता रहा। परम
पूज्य स्वामी जी कक्षा 5 के छात्र थे तभी रामचरितमानस को कंठस्थ याद कर लिया
था और अपने मधुर स्वर में गायन करते थे।बुंदेली माटी और बुंदेली भाषा से असीम
प्रेम रखने के कारण अमरशान्ति आश्रम, की स्थापना ग्राम-पचोखरा जनपद जालौन में
की थी।
पूज्य महाराज श्री का अंतिम संस्कार अमरशान्ति आश्रम, ग्राम-पचोखरा,जालौन
उप्र 11 जनवरी दिन शुक्रवार को किया जाएगा। श्री राम कथा के अनूठे
प्रवक्ता पूज्य स्वामी राजेश्वरानंद सरस्वती ( राजेश रामायणी) के निधन
पर सुरेन्द्र अग्निहोत्री प्रदेश अध्यक्ष बुन्देलखन्ड विकास परिषद ने
अपनी श्रद्धा सुमन अर्पित करते हुये कहा कि पूज्य महाराज श्री का असमय
साकेतवास से हम सब बुन्देली जन द्रवित है।पूज्य महाराज जी को राघवेंद्र
सरकार अपने श्री चरणों मे स्थान दें।

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