अपात्र को आवास स्वीकृति होने की दशा में किश्त की धनराशि की वसूली दोषी अधिकारियों से की जायेगी-एनपी सिंह
लखनऊ 30 जुलाई, 2018। उत्तर प्रदेश के आयुक्त ग्राम्य विकास श्री नागेन्द्र प्रसाद सिंह प्रदेश के समस्त जनपदों के परियोजना निदेशक डीआरडीए को निर्देश दिये हैं कि गत् वर्ष के अधूरे प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण को आगामी 15 अगस्त तक हर हाल में पूरा कर लिया जाय इसके साथ ही चालू वित्तीय वर्ष के चिन्हित पात्र लाभार्थियों के खाते में स्वीकृत धनराशि की प्रथम किश्त 03 अगस्त 2018 तक अनियार्व रूप से स्थानान्तरित कर दिया जाय।
ग्राम्य विकास आयुक्त सोमवार को यहां वीडियो कांफ्र्रेसिंग के माध्यम से समस्त जनपदों के परियोजना निदेशकों से प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण की समीक्षा कर रहे थे। उन्हांने कहा कि जिन जनपदों में आवास के लक्ष्य ज्यादा हैं उन जनपदों में आवासों को पूरा करने की कार्य योजना तैयार कर ली जाय और उसके अनुसार समयबद्ध ढंग से कार्यवाही की जाय।
श्री एमपी सिंह ने लाभार्थियों को 90 से 95 दिन का मनरेगा से रोजगार उपलब्ध कराने तथा शौचालय बनवाने के निर्देश दिये। उन्होंने खण्ड विकास अधिकारियों को आवास निर्माण के साथ ही मनरेगा से मस्टररोल जारी करते हुए 90 से 95 दिन का रोजगार लाभार्थी परिवार को उपलब्ध कराने की भी हिदायत दी। इसके साथ ही उन्होंने सभी परियोजना निदेशकों को निर्देश दिया कि यदि कहीं प्रथम किश्त प्राप्त होने के बाद यह पता चेले कि लाभार्थी अपात्र है तो उससे धनराशि की वसूली करने के साथ ही दोषी अधिकारियों व कर्मचारियों के विरूद्ध विभागीय कार्यवाही की जाय। उन्हांने कहा कि परियोजना निदेशक के वार्षिक मूल्यांकन में अधूरे आवासों को समय से पूरा कराना तथा पात्रों को आवास आवंटित करने को भी आधार बनाया जायेगा।
परियोजना निदेशकों द्वारा अनियमितता के बाद की गई कार्रवाई की जानकारी भी दी गई। वीडियो कांफ्रेंसिंग में बताया गया कि जौनपुर, सीतापुर, इलाहाबाद, हरदोई, बस्ती, मिर्जापुर, गोण्डा, सोनभद्र, लखनऊ एवं बहराइच आदि जनपदों में 125 प्रकरणों में 95 एफआईआर ग्राम प्रधानों के विरूद्ध 95 जी के तहत की गयी। अधिकारियों/कर्मचारियों के विरूद्ध 24 एफआईआर, 11 निलम्बन, 33 विभागीय कार्यवाही की गयी तथा 03 को प्रतिकूल प्रविष्टि देते हुए 49 अधिकारियों/कर्मचरियों को चेतावनी निर्गत की गयी है।
ग्राम्य विकास आयुक्त ने वीडियो कान्फ्रेंसिंग में अधिकारियों स्पष्ट कहा कि यदि कोई भी अधिकारी/कर्मचारी धनराशि के दुरूपयोग में लिप्त पाया जाता है तो उसके विरूद्ध वैधानिक कार्यवाही की जायेगी।
उन्होंने सभी परियोजना निदेशकों को चेतावनी देते हुए कहा कि इस वर्ष आवासों के स्वीकृति के प्रक्रिया में यदि किसी अपात्र को आवास स्वीकृत हो जाता है तो इसके लिए परियोजना निदेशक तथा खण्ड विकास अधिकारियों के साथ ही फील्ड स्तर कर्मियों से भी समानुपातिक रूप से स्वीकृत किश्त की धनराशि वसूल की जायेगी।