लखनऊ 29 मई 2018, भारतीय जनता पार्टी ने अखिलेश यादव की राजनीतिक समझ पर प्रश्न चिन्ह लगाते हुए कहा कि वह पूर्व मुख्यमंत्री रह चुके है और समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष है उन्हें बचकानी बातों से बचना चाहिए। प्रदेश अध्यक्ष डा0 महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने कहा कि अखिलेश जी पूर्व मुख्यमंत्री रह चुके है उन्हें पता होना चाहिए कि चुनाव सरकार नहीं कराती है बल्कि चुनाव आयोग कराता है, और चुनाव आयोग निष्पक्ष संस्था है। अब ऐसे में या तो वह भ्रम फैला रहे है या उनकी समझ कम है। जिस चुनावी प्रक्रिया से वह स्वयं मुख्यमंत्री बने उसी प्रक्रिया का विरोध हार की जिम्मेदारी से बचना मात्र है। भाजपा का मानना है कि जो भी लोग मतदान से वंचित रहे है उनका विधिक आधार पर मतदान सुनिश्चित होना चाहिए। डा0 पाण्डेय ने कहा कि सरकारी बंगले का मोह अखिलेश जी से छूट नहीं रहा और वह सुप्रीम कोर्ट के आदेश के विपरीत जा रहे है।
प्रदेश अध्यक्ष डा0 महेन्द्र नाथ पाण्डेय ने कहा कि अखिलेश यादव सहित तमाम विपक्ष चुनावी नतीजों से पूर्व ईवीएम पर दोषारोपण सहित तमाम बहानेबाजियों से रक्षात्मक वातावरण तैयार करता है जिससे नकारात्मक चुनावी परिणामों के प्रभाव से स्वयं को बचा सकें। विपक्ष द्वारा ईवीएम पर आरोप लगाने पर आमजन भी विपक्ष का माखौल उड़ाता है। भ्रष्टाचार, परिवारवाद, जातिवाद और तुष्टीकरण की राजनीति को मोदी जी की विकासवाद की राजनीति ने हासिए पर धकेल दिया है। सतत हार के बबंडर ने एक दूसरे के धुर विरोधियों को अस्तित्व रक्षा में एक टीले पर खड़ा कर दिया है। समाजवाद, पिछड़े, गरीब, दलितों की हमदर्दी का ढोल पीटने वाले लोग सरकारी बंगलों के ऐशो आराम को सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाबजूद छोड़ने में आनाकानी कर रहे है।
डा0 पाण्डेय ने कहा कि भाजपा की लोकतंत्र में पूर्ण आस्था है और मजबूत तथा प्रभावी लोकतंत्र के लिए भाजपा संकल्पित है। भाजपा की राजनीति देश में गरीबी, बेरोजगारी, अशिक्षा, सामाजिक असमनानता, अस्पृश्यता, के विरूद्ध है और कांगे्रस-सपा-बसपा सहित पूरा विपक्ष भाजपा के विरूद्ध है। सपा-बसपा व कांग्रेसी युति ने विगत पन्द्रह वर्षो में प्रदेश के भाग्य में बदहाली लिख दी थी, गुण्डे, अपराधियों, मनचलो और माफियाओं के भय से प्रदेश का जनमानस डरा और सहमा हुआ था। योगी सरकार में कानून का राज स्थापित हुआ। सख्त कानून व्यवस्था, किसानों की आर्थिक, समृद्धि को संकल्पित सरकार आज प्रदेश की खुशहाली के लिए काम कर रही है। वहीं मुद्दा विहीन विपक्ष सिर्फ भाजपा, विरोध की राजनीति पर आमादा है।