समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव से आज बीटीसी 12460 शिक्षक भर्ती संघ, उ0प्र0 के प्रतिनिधिमण्डल ने भेंट कर इलाहाबाद हाईकोर्ट के आदेश के अनुपालन के लिए सहायक अध्यापको को नियुक्ति पत्र दिये जाने के संदर्भ में सहयोग किए जाने की मांग की।
प्रतिनिधिमण्डल में बीटीसी प्रशिक्षु आशीष शांडिल्य, नेहा रंजन, पूजा यादव, ज्योति चैधरी, शिप्रा जायसवाल, सहित पूजा शुक्ला, रोजगार बचाओं अभियान के संयोजक सुधांशु बाजपेयी और सिद्धार्थ मिश्रा रहे। इस अवसर पर सर्वश्री नेता विरोधी दल रामगोविन्द चैधरी, प्रदेश अध्यक्ष नरेश उत्तम पटेल, पूर्व कैबिनेट मंत्री राजेन्द्र चौधरी, शैलेन्द्र यादव ललई, नरेन्द्र वर्मा, बलवंत सिंह रामूवालिया और एसआरएस यादव मौजूद रहे।
श्री अखिलेश यादव ने प्रतिनिधिमण्डल के सदस्यों से कहा कि राज्य की भाजपा सरकार ने दूसरे बजट में भी बेरोजगारी दूर करने की कोई व्यवस्था नहीं की है। नौजवानों के सामने बेरोजगारी की गंभीर समस्या है। केन्द्र की भाजपा सरकार ने 2 करोड़ नौकरियां देने का वादा किया था लेकिन एक लाख को भी नौकरी नहीं मिली। नयी पीढ़ी को भाजपा के झांसे में नहीं फंसना चाहिए, सदैव से भाजपा गुमराह करने की नीति पर चलती रही है। भाजपा संकीर्ण नीतियों के माध्यम से मानसिक प्रदूषण फैला रही है।
श्री अखिलेश यादव ने लखनऊ में शांतिपूर्ण तरीके से धरना दे रहे प्रशिक्षित शिक्षकों के साथ भाजपा सरकार द्वारा दुव्र्यवहार और उनको प्रताड़ित किए जाने की निंदा की है। उन्होंने कहा कि इन्हीं शिक्षकों को कल बच्चों का सुनहरा भविष्य बनाना हैं। उत्तर प्रदेश की सरकार हर प्रकार की नियुक्तियों में प्रतिशोधात्मक राजनीति का रास्ता अपना रही है जिससे प्रदेश की बेरोजगार युवा-ऊर्जा निराशा से उपजे टकराव में व्यर्थ हो रही है। ये सूरत बदलनी ही चाहिए।
प्रतिनिधिमण्डल ने श्री अखिलेश यादव को दिए ज्ञापन में कहा है कि इसी वर्ष 31 मार्च को हजारों बेसिक शिक्षा विभाग के शिक्षक सेवानिवृŸा होने जा रहे है जबकि पहले से ही 25 जुलाई 2017 के सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार प्राथमिक विद्यालयों में एक लाख 37 हजार शिक्षक कम है, जिससे बहुत से प्राथमिक विद्यालय शिक्षक विहीन हो जायेंगे व पिछले 2 साल से बेसिक शिक्षा में कोई भी नई भर्ती नहीं हुई है फिर नये सत्र में ‘‘ स्कूल चलो अभियान‘‘ बिना पर्याप्त शिक्षकों के कैसे सफल होगा? श्री अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा को सत्ता के अहंकार में युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ नहीं करना चाहिए।