उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव श्री आलोक रंजन ने सम्बन्धित विभागों के वरिष्ठ अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि प्रदेश के वनावरण एवं वृृक्षाच्छादन में वृृद्धि हेतु अधिक से अधिक वृृक्षारोपण कराये जाने के निर्धारित लक्ष्यों की प्राप्ति अन्तर्विभागीय समन्वय स्थापित कर प्रत्येक दशा में सुनिश्चित कराई जाये। उन्होंने कहा कि वृृक्षारोपण कार्यक्रम को जनोन्मुखी और अधिक प्रभावी बनाने हेतु किसानों एवं आम नागरिकों को प्रेरित कर उनकी निजी भूमि पर वृृक्षारोपण कराये जाने हेतु सभी विकास विभागों यथा-आवास, औद्योगिक विकास, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण, ग्राम्य विकास, नगर विकास, लोक निर्माण, सिंचाई, रेशम विकास, माध्यमिक शिक्षा, बेसिक शिक्षा का अपेक्षित सहयोग प्राप्त किया जाये। उन्होंने कहा कि बच्चों में पौधों के प्रति प्रेम व सहानुभूति का भाव जागृृत करने एवं वृृक्षारोपण के महत्व को उजागर करने हेतु शिक्षा विभाग द्वारा स्कूली बच्चों को पौध रोपित करने हेतु प्रेरित किया जाये। उन्होंने कहा कि वर्तमान वर्ष 2016 के माह जुलाई में किसी निर्धारित तिथि पर वन एवं वन्य जीव विभाग द्वारा 05 करोड़ पौधों का रोपण एवं अन्य विभागों द्वारा 01 करोड़ पौधों का रोपण, कुल 06 करोड़ पौधों का रोपण किये जाने का लक्ष्य निर्धारित है। उन्होंने कहा कि वन विभाग द्वारा 05 करोड़, आवास विभाग द्वारा 05 लाख, औद्योगिक विकास विभाग द्वारा 05 लाख, उद्यान एवं प्रसंस्करण विभाग द्वारा 02 लाख 50 हजार, ग्राम्य विकास विभाग 65 लाख, नगर विकास विभाग द्वारा 02 लाख 50 हजार, लोक निर्माण विभाग द्वारा 02 लाख 50 हजार, सिंचाई विभाग द्वारा 10 लाख, रेशम विकास विभाग द्वारा 02 लाख 50 हजार, माध्यमिक शिक्षा द्वारा 03 लाख, बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा 02 लाख पौधों का वृृक्षारोपण किया जाना लक्षित है।
मुख्य सचिव ने यह निर्देश आवास, औद्योगिक विकास, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण, ग्राम्य विकास, नगर विकास, लोक निर्माण, सिंचाई, रेशम विकास, माध्यमिक शिक्षा, बेसिक शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिवा,ें सचिवों व प्रदेश के समस्त मण्डलायुक्तों एवं जिलाधिकारियों तथा समस्त प्रभागीय वनाधिकारी एवं प्रभागीय निदेशक, सामाजिक वानिकी को परिपत्र जारी कर दिये हैं। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि समस्त जनपदों के जिलाधिकारी अपने-अपने जनपदों में अन्य विभागों के साथ समन्वय स्थापित करते हुए लक्ष्यों की प्राप्ति करना सुनिश्चित करायें। उन्होंने कहा कि जिलाधिकारियों को यह भी सुनिश्चित करना होगा कि जनपद स्तर पर गठित जिला वृृक्षारोपण समिति द्वारा समस्त विभागों के निर्धारित वृृक्षारोपण लक्ष्यों की प्राप्ति हेतु समय-समय पर समीक्षा बैठकें आयोजित कराई जायंे। उन्होंने कहा कि गठित समिति के संयोजक प्रभागीय वनाधिकारी, प्रभागीय निदेशक, सामाजिक वानिकी तथा सभी कार्यदायी विभागों के जिला स्तरीय अधिकारी इसके सदस्य होंगे। उन्होंने निर्देश दिए हैं कि समस्त जनपदों मंे वृृक्षारोपण कार्यक्रम का व्यापक प्रचार-प्रसार कराया जाये तथा जिलों के आवंटित लक्ष्यों को शत-प्र्रतिशत प्राप्त करने हेतु समय से रणनीति तैयार कर वृृक्षारोपण लक्ष्यों को प्राप्त किया जाना सुनिश्चित किया जाये।
श्री रंजन ने निर्देश दिए हैं कि समस्त जनपदों में निर्धारित लक्ष्यों के अनुरूप, वृृक्षारोपण के लिए आवश्यक पौधों की पर्याप्त उपलब्धता एवं अन्य आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करते हुए जिला वृृक्षारोपण समिति बैठक करके रणनीति तैयार करें। उन्होंने कहा कि निजी पौधशालाओं से पौधों का क्रय तभी किया जायेगा जब प्रभागीय वनाधिकारी, प्रभागीय निदेशक द्वारा सम्बन्धित कार्यदायी विभाग को यह प्रमाण-पत्र उपलब्ध करा दिया गया हो कि उनके नियंत्रणाधीन विभागीय पौधशालाओं में पौध उपलब्ध नहीं है। उन्होंने कहा कि निजी उपलब्ध पौधों की पौधशालावार एवं प्रजातिवार सूचना संकलित करते हुए जिला वृृक्षारोपण समिति को प्रस्तुत की जाये एवं जिला वृृक्षारोपण समिति के माध्यम से उपलब्ध पौधों का विवरण अन्य कार्यदायी विभागों को उपलब्ध कराया जाना सुनिश्चित किया जाये। उन्होंने कहा कि प्रदेश के समस्त जनपदों में निर्धारित वृृक्षारोपण लक्ष्यों की प्राप्ति सुनिश्चित करने हेतु वृृक्षारोपण स्थल का चयन, रोपित किये जाने वाले पौधों का स्थल तथा प्रजातिवार संख्या का अनुमान, पौधों की प्राप्ति के लिए स्रोत (पौधशाला) का चिन्हीकरण, वृृक्षारोपण क्रियान्वयन के लिए सम्बन्धित कर्मचारी एवं व्यक्ति का नाम आदि का विवरण तैयार कराया जाये।
मुख्य सचिव ने बताया कि वृृक्षारोपण लक्ष्यों की प्राप्ति सुनिश्चित किये जाने हेतु आगामी माह जुलाई-2016 निर्धारित किया गया है। उन्होंने निर्देश दिए हैं कि वृृक्षारोपण के रख-रखाव पर विशेष ध्यान दिया जाये क्योंकि रोपण से अधिक महत्वपूर्ण रोपित पौधों की सुरक्षा कार्य है। उन्होंने कहा कि वन विभाग के विभागीय वृृक्षारोपणों का शत-प्रतिशत स्थलीय सत्यापन सम्बन्धित वन संरक्षकों द्वारा अन्तर्विभागीय जांच दलों से कराया जाना सुनिश्चित किया जाये। उन्हांेने कहा कि सम्बन्धित विभागों द्वारा कराये जा रहे वृृक्षारोपण के कुल लक्ष्य का 05 प्रतिशत सत्यापन विभागीय प्रमुख सचिव एवं सचिव द्वारा कराया जायेगा। उन्होंने कहा कि सम्बन्धित विभाग जिन्हें विभागीय वृृक्षारोपण के लक्ष्य आवंटित किये गए हैं, उनके द्वारा स्थलवार रोपित पौधों की सूचना विकास खण्डवार जिला स्तरीय अधिकारी के कार्यालय में रखा जाना सुनिश्चित किया जायेगा ताकि सत्यापन हेतु अन्तर्विभागीय जांच टीमों को विवरण उपलब्ध हो सकें। उन्होंने कहा कि सम्बन्धित विभागों के जिला स्तरीय अधिकारियों द्वारा निर्धारित लक्ष्यों के विरूद्ध प्रगति की संकलित सूचना सम्बन्धित प्रभागीय वनाधिकारी, प्रभागीय निदेशक, सामाजिक वानिकी को उपलब्ध कराया जाये। उन्होंने समस्त जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वृृक्षारोपण की प्रगति रिपोर्ट शासन तथा अपर प्रमुख वन संरक्षक, सामाजिक एवं कृृषि वानिकी कार्यालय को आगामी माह जुलाई, 2016 की निर्धारित तिथि तक उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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