उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव श्री आलोक रंजन ने निर्देश दिये हैं कि जनपद मैनपुरी, सोनभद्र, कन्नौज जनपदों में निर्माणाधीन डिग्री काॅलेजों की कक्षायें शैक्षणिक सत्र 2016-17 से नवीन परिसर में ही संचालित कराना सुनिश्चित किया जाये। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि एच0बी0टी0आई0 कानपुर को विश्वविद्यालय बनाने हेतु आवश्यक एक्ट बनाने की कार्यवाही यथाशीघ्र सुनिश्चित करायी जाये। उन्होंने कहा कि जनपद उन्नाव के ट्रांसगंगा सिटी में उपयुक्त भूमि पर स्किल इंस्टीट्यूट की स्थापना कराये जाने हेतु आवश्यक कार्यवाही प्राथमिकता से सुनिश्चित कराते हुये आगामी 15 अप्रैल तक विस्तृत परियोजना रिपोर्ट प्रत्येक दशा में प्रस्तुत कर दी जाये। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि प्रस्तावित स्किल इंस्टीट्यूट में रोजगारपरक नवीनतम तकनीकी शिक्षा से सम्बन्धित ट्रेड खोलने के साथ-साथ रिसर्च सेण्टर की स्थापना का भी प्रस्ताव किया जाये।
मुख्य सचिव आज शास्त्री भवन स्थित अपने कार्यालय कक्ष के सभागार में प्राविधिक शिक्षा एवं उच्च शिक्षा विभाग के कार्यों की समीक्षा कर सम्बन्धित वरिष्ठ अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दे रहे थे। उन्होंने कहा कि विद्यालयों में गुणवत्तायुक्त रोजगारपरक शिक्षा प्रदान करने के साथ-साथ यह भी सुनिश्चित कराया जाये कि अध्ययनरत छात्रों को तकनीकी, कम्प्यूटर आदि की शिक्षा अवश्य दिलायी जाये। उन्होंने कहा कि प्राविधिक शिक्षा विभाग के अधीन संचालित राजकीय/अनुदानित पाॅलीटेक्निक संस्थाओं में उपलब्ध प्रवेश क्षमता के सापेक्ष प्रवेशित बालिकाओं की संख्या अपेक्षाकृत कम होने के कारण तकनीकी शिक्षा के प्रति बालिकाओं को आकर्षित करने हेतु मेधावी छात्राओं के लिये वित्तीय प्रोत्साहन ‘सक्षम बालिका-सम्पन्न परिवार योजना’ का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाये।
श्री रंजन ने प्रदेश में शैक्षिक रूप से पिछड़े 26 जनपदों में 26 माॅडल राजकीय महाविद्यालयों की स्थापना के अन्तर्गत निर्माणाधीन महाविद्यालय भवनों का निर्माण यथाशीघ्र पूर्ण कराते हुये आगामी जुलाई माह से कला, विज्ञान एवं काॅमर्स की कक्षायें प्रत्येक दशा में प्रारम्भ कराने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश के लखनऊ विश्वविद्यालय एवं झांसी विश्वविद्यालय को बी-ग्रेड से ए-ग्रेड में लाने हेतु आवश्यक व्यवस्थायें प्राथमिकता से सुनिश्चित करायी जायें। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि विश्वविद्यालयों में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को तकनीकी, कम्प्यूटर एवं पर्सनाल्टी आदि आवश्यक ज्ञान दिलाने हेतु कम से कम एक सेमेस्टर अवश्य चलाया जाये। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय में बेहतर शिक्षा उपलब्ध कराने हेतु संकायों (फैकल्टी) को आवश्यकतानुसार इम्प्रूवमेंट किया जाये। उन्होंने विश्वविश्वविद्यालयों में ई-लाइब्रेरी को प्रभावी ढंग से क्रियान्वयन कराने के भी निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालयों के परीक्षाफल एवं अंक पत्रों को भी आॅनलाइन उपलब्ध कराना सुनिश्चित कराया जाये।
बैठक में प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा श्री जितेन्द्र कुमार, प्रमुख सचिव प्राविधिक शिक्षा श्री मुकुल सिंघल, प्रमुख सचिव कार्यक्रम क्रियान्वयन एवं प्रमुख स्टाफ आफिसर मुख्य सचिव श्री आलोक कुमार सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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