उत्तर प्रदेश के राज्यपाल, श्री राम नाईक ने मुख्यमंत्री, श्री अखिलेश यादव को पत्र लिखकर अपेक्षा की है कि 23 प्रकरणों में लोकायुक्त/उप-लोकायुक्त के विशेष प्रतिवेदनों पर अपना व मुख्य सचिव उत्तर प्रदेश शासन का स्पष्टीकरण ज्ञापन (मगचसंदंजवतल उमउवतंदकनउ) शीघ्र उपलब्ध कराने का कष्ट करें ताकि उसे लोकायुक्त/उप-लोकायुक्त से प्राप्त विशेष प्रतिवेदनों के साथ अधिनियम की धारा-12(7) की अपेक्षा के अनुसार राज्य विधान मण्डल के प्रत्येक सदन के समक्ष प्रस्तुत कराया जा सके।
श्री नाईक ने यह भी अपेक्षा की है कि लोकायुक्त/उप-लोकायुक्त के 19 विशेष प्रतिवेदनों, जिन पर राज्य सरकार का स्पष्टीकरण ज्ञापन प्राप्त हो चुका है, को अपने अथवा मुख्य सचिव, उत्तर प्रदेश शासन के स्पष्टीकरण ज्ञापन के साथ राज्य विधान मण्डल के प्रत्येक सदन के समक्ष आगामी सत्र में प्रस्तुत करवाते हुए उन्हें अवगत कराया जाय।
उल्लेखनीय है कि लोकायुक्त द्वारा उ0प्र0 लोकायुक्त तथा उप-लोकायुक्त अधिनियम, 1975 की धारा-12(5) के अंतर्गत राज्यपाल को कुल 43 विशेष प्रतिवेदन प्रेषित किये गये थे। राज्यपाल द्वारा अधिनियम की धारा-12(7) के अंतर्गत मुख्यमंत्री एवं मुख्य सचिव, उत्तर प्रदेश शासन के स्पष्टीकरण ज्ञापन हेतु राज्य सरकार को प्रेषित किये गये थे। जनवरी, 2012 से 31 मार्च, 2015 तक कुल 20 प्रकरणों के संबंध में मुख्यमंत्री एवं मुख्य सचिव, उत्तर प्रदेश शासन के स्पष्टीकरण ज्ञापन प्राप्त हुए है। उक्त 20 विशेष प्रतिवेदनों के संबंध में प्राप्त स्पष्टीकरण ज्ञापन में से केवल 1 प्रकरण में लोकायुक्त/उप-लोकायुक्त से प्राप्त विशेष प्रतिवेदन राज्य सरकार के स्पष्टीकरण ज्ञापन के साथ राज्य विधान मण्डल के समक्ष प्रस्तुत किया जा सका है। राज्यपाल द्वारा इससे पूर्व इस संबंध में 12 सितम्बर, 2014 को भी एक पत्र मुख्यमंत्री को प्रेषित किया गया था।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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