उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने कहा है कि लखनऊ हाट के जरिए हस्तशिल्पियों और बुनकरों को अपना हुनर दिखाने और अपने उत्पाद की बिक्री का मौका मिलेगा। लखनऊ हाट पर्यटन उद्योग को बढ़ावा देने में भी मददगार साबित होगा। इस प्रकार इसके जरिए लोगों को रोजगार के अवसर भी सुलभ होंगे।
श्री यादव आज यहां अपने सरकारी आवास पर आयोजित एक कार्यक्रम में लखनऊ हाट का लोकार्पण करने के बाद अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्होंने कहा कि प्रदेश के ज्यादातर जिले अपने खास उत्पाद और हस्त शिल्प के लिए मशहूर हैं। परम्परागत हस्त शिल्प और कुटीर उद्योग को बेहतर बाजार और आधुनिक तकनीक उपलब्ध कराने से इनसे जुड़े लाखों परिवारों को फायदा मिलेगा। यही कारण है कि समाजवादी सरकार बड़े पैमाने पर इस ओर कार्य कर रही है। पिछले दिनों भदोही कारपेट बाजार का शिलान्यास सम्पन्न हुआ। इसी कड़ी में जहां एक ओर लखनऊ हाट का लोकार्पण किया गया, वहीं दूसरी ओर नोएडा के शिल्प हाट एवं बुनकर भवन की आधारशिला भी आज रखी गई है। राज्य सरकार इसी प्रकार गाजियाबाद और लखनऊ में भी बुनकर बाजार स्थापित करेगी।
श्री यादव ने ‘मेरा आगरा कैम्पेन’ की सफलता की सराहना करते हुए पर्यटन सचिव से यह अपेक्षा की कि वे इसी प्रकार ‘मेरा लखनऊ कैम्पेन’, ‘मेरा वाराणसी कैम्पेन’ तथा ‘मेरा नोएडा कैम्पेन’ का भी आयोजन कराएं ताकि इन स्थानों पर पर्यटन को बढ़ावा मिले और लोग अपनी विरासत के प्रति और जागरुक हों।
कार्यक्रम को पर्यटन मंत्री श्री ओम प्रकाश सिंह ने सम्बोधित करते हुए कहा कि राज्य में पर्यटन उद्योग के जरिए बड़े पैमाने पर लोगों को रोजगार मिल रहा है। इस अवसर पर प्रदेश के राजनैतिक पेंशन मंत्री श्री राजेन्द्र चैधरी, बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री श्री योगेश प्रताप सिंह ‘योगेश भइया’, मुख्य सचिव श्री आलोक रंजन, प्रमुख सचिव अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास श्री महेश गुप्ता, प्रमुख सचिव सूचना श्री नवनीत सहगल, पर्यटन सचिव श्री अमृत अभिजात, महाराष्ट्र विधान सभा के विधायक श्री अबु आसिम आज़मी आदि भी उपस्थित थे।
गौरतलब है कि लखनऊ में पर्यटकों को एक ही छत के नीचे हस्तशिल्प/हथकरघा से निर्मित कलात्मक वस्तुओं को उपलब्ध कराने के उद्देश्य से पर्यटन विभाग द्वारा विभूति खण्ड गोमतीनगर में 992.39 लाख रुपए की लागत से लखनऊ हाट का निर्माण कराया गया है। पांच मंजिला इस हाट का पहला तल इम्पोरियम के लिए, दूसरा एवं तीसरा तल हथकरघा एवं हस्त शिल्प के लिए निर्धारित किया गया है। पहले और चैथे तल पर 15-15 दिवसीय प्रदर्शनियों के आयोजन होंगे। इसी प्रकार पांचवें तल पर फूडकोर्ट की सुविधा उपलब्ध होगी। हाट में कुल 36 दुकानें निर्मित हैं। इस प्रकार लखनऊ हाट में दुकानों, प्रदर्शनी हाल, डिस्प्ले एरिया, फूडकोर्ट तथा बेसमेण्ट एवं ग्राउण्ड फ्लोर पर पार्किंग की व्यवस्था करायी गयी है।
लखनऊ हाट इस दृष्टि से अनूठा तथा अन्य स्थानों से अलग प्रकृति का होगा कि इसमें केवल हस्त निर्मित शिल्प सामग्रियों का ही प्रदर्शन और बिक्री की जाएगी। इस प्रकार लखनऊ हाट पर्यटन उद्योग के साथ-साथ कुटीर उद्योग व हस्तशिल्पकारी को प्रोत्साहित और प्रचारित-प्रसारित कराने की दृष्टि से महत्वपूर्ण केन्द्र होगा।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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