उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने कहा है कि राज्य में पर्यटन की अपार सम्भावनाएं मौजूद हैं और इनको बढ़ावा देकर प्रदेश को तेजी से आर्थिक तरक्की के रास्ते पर ले जाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए आगरा-लखनऊ-वाराणसी को हेरिटेज आर्क के रूप में विकसित किया जाएगा। साथ ही, महत्वपूर्ण पर्यटक स्थलों के आस-पास सड़कों के निर्माण के लिए अलग से फण्ड की व्यवस्था भी की जाएगी। उन्होंने कहा कि प्रथम फेज में ताजमहल के तीन कि.मी. दायरे में विश्वस्तरीय पर्यटक सुविधाएं उपलब्ध कराने का प्रयास किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री आज यहां शास्त्री भवन में उ0प्र0 पर्यटन प्रोत्साहन परिषद की पहली बैठक में अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। लखनऊ की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि यहां की गंगा-जमुनी तहजीब एवं ऐतिहासिक स्थलों की पर्यटन में महत्वपूर्ण भूमिका को देखते हुए ऐतिहासिक भवनों पर प्रकाश की व्यवस्था की जा रही है। साथ ही, रूमी दरवाजा, घण्टाघर, इमामबाड़ा आदि स्थलों के आस-पास उच्चस्तरीय बुनियादी सुविधाएं विकसित करने का कार्य तेजी से किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि लखनऊ नगर को हेरिटेज सिटी के रूप में जाना जाता है, लेकिन राज्य सरकार इसे ग्रीन शहर के रूप में भी विकसित करने के लिए काम कर रही है।
श्री यादव ने कहा कि पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सूचीबद्ध कम्पनियों से बुनियादी सुविधाओं के विकास एवं सेवाओं के आधुनिकीकरण हेतु सुझाव मांगे जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि इसी बैठक में फिक्की से उ0प्र0 टैªवेल मार्ट के लिए एम.ओ.यू. पर हस्ताक्षर किया गया है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के बुन्देलखण्ड, अवध एवं सूफी-सर्किट आदि क्षेत्रों के लिए अलग-अलग योजनाएं तैयार कर इन्हें लागू किया जाएगा। पर्यटन से जुड़े सभी विभागों को आपस में समन्वय स्थापित कर अन्य महत्वपूर्ण व्यक्तियों एवं संस्थाओं से सुझाव लेकर कार्य करने के लिए कहा गया है। इससे जहां प्रदेश में रोजगार के नये अवसर पैदा होंगे, वहीं प्रदेश की तरक्की का रास्ता भी खुलेगा। उन्होंने बताया कि पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए जिला पर्यटन प्रोत्साहन परिषद गठित करने के निर्देश सभी जिलों को दिए गए हैं। इस परिषद में कम से कम 60 प्रतिशत सदस्य निजी क्षेत्र से होंगे। आगरा में थीम पार्क के विकास की जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि यहां एक मुगल संग्रहालय की भी स्थापना की जाएगी, जिसके माध्यम से लोगों को मुगल कालीन इतिहास एवं परम्परा की विस्तृत जानकारी मिल सकेगी। उन्हांेने कहा कि इलाहाबाद में कुम्भ के दौरान विश्व में एक ही स्थान पर सर्वाधिक लोग एकत्रित होते हैं। इसको दृष्टिगत रखते हुए यहां की बुनियादी सुविधाओं के विकास के लिए अलग से योजना तैयार की गई है।
श्री यादव ने कहा कि उत्तर प्रदेश में विश्व प्रसिद्ध इमारतें, ऐतिहासिक-सांस्कृतिक विरासतें, धार्मिक-पौराणिक स्थल, प्राकृतिक एवं वन्य जीव संरक्षित अभयारण्य बड़ी संख्या में मौजूद हैं, जो देशी-विदेशी पर्यटकों को आकर्षित करने में सक्षम हैं। उन्होंने कहा कि आगरा स्थित ताजमहल विश्व में भारत की पहचान है। इसलिए आगरा सहित प्रदेश में मौजूद विभिन्न पर्यटक स्थलों के बारे में पूर्ण सूचनाएं उपलब्ध कराकर पर्यटकों का रुख उत्तर प्रदेश की ओर किया जा सकता है। उन्हांेने स्मारकों एवं पर्यटक स्थलों के आस-पास का वातावरण अच्छा बनाने पर बल देते हुए कहा कि सुगम यातायात के लिए इन स्थलों तथा नगरों की व्यवस्था भी सुधारनी होगी। स्मारकों के सुन्दरीकरण पर भी उन्होंने बल दिया। उन्होंने कहा कि इटावा की लायन सफारी तथा अन्य प्राकृतिक पर्यटन स्थलों में इको टूरिज्म को बढ़ावा देने की अनेक सम्भावनाएं मौजूद हैं, जिसके लिए हमें विशेष प्रयास करने होंगे। उन्होंने कहा कि प्रदेश में पर्यटन सम्भावनाओं के विकास के लिए फण्ड की कमी नहीं होने दी जाएगी।
मुख्यमंत्री ने बताया कि आगरा एवं वाराणसी में पर्यटन को बढ़ावा देने हेतु एविएशन टरबाइन फ्यूल पर वैट की दर 21 प्रतिशत के स्थान पर 04 प्रतिशत करने पर विचार किया जाएगा। बैठक में वृहद प्रचार-प्रसार, पर्यटक स्थलों के सुदृढ़ीकरण व सुन्दरीकरण एवं टूरिज्म इन्फ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेण्ट की योजनाओं पर भी विचार किया गया। प्रदेश के पर्यटन आकर्षणों को राष्ट्रीय एवं अन्तर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रमोट करने के लिए फिक्की के सहयोग से उ0प्र0 ट्रेवल मार्ट का आयोजन 05 वर्षाें के लिए किया जाएगा। मुख्य पर्यटन स्थलों पर वाई-फाई की सुविधा तथा लखनऊ पेनोरामा की स्थापना इत्यादि पर भी विचार किया गया।
इस मौके पर सुप्रसिद्ध फिल्मकार एवं सामाजिक कार्यकर्ता श्री मुजफ्फर अली ने बताया कि लखनऊ की गंगा-जमुनी तहजीब और यहां की विविधता पर उनके स्तर से पहले ही काफी काम किया गया है। उन्होंने इस बात पर खुशी जाहिर की कि वर्तमान राज्य सरकार प्रदेश में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए संजीदगी से काम कर रही है। उन्होंने कहा कि लखनऊ एवं उत्तर प्रदेश के अन्य पर्यटक स्थलों को दुनिया के नक्शे पर लाने के लिए वे और गम्भीरता से सहयोग प्रदान करेंगे, जिससे अवध की संस्कृति का व्यापक प्रचार-प्रसार हो।
उल्लेखनीय है कि बैठक में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार की अन्तर-प्रदेशीय वायु सेवा नीति, हेरिटेज पर्यटन नीति, पर्यटन निगम की इकाईयों को लीज पर देने, कुशीनगर अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे, ताज अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे, ताजगंज का पर्यटन विकास, विश्व बैंक सहायतित प्रो-पुअर परियोजना, मेगा टूरिज्म सर्किट एवं टूरिज्म डेस्टिनेशन, बटेश्वर हेरिटेज कंजर्वेशन प्रोजेक्ट के माध्यम से नवीन पहल आदि बिन्दुओं पर भी व्यापक विचार-विमर्श किया गया।
इसके अतिरिक्त सोशल मीडिया के माध्यम से प्रचार-प्रसार, विभागीय वेब साइट का अपग्रेडेशन, पर्यटन स्थलों पर आधारित मोबाइल एप्स का निर्माण, प्रदेश के बाहर विभिन्न महानगरों में यहां की पाक कला पर आधारित फूड फेस्टिवल के आयोजन के साथ-साथ वन्यजीव/पर्यावरणीय पर्यटन, दुधवा नेशनल पार्क, कतरनिया घाट, लायन सफारी के माध्यम से भी पर्यटकों को आकर्षित करने पर विचार किया गया। बैठक में उत्तर प्रदेश टैªवेल मार्ट तथा फिक्की के मध्य जिस एम.ओ.यू. पर हस्ताक्षर किये गये उसका उद्देश्य पर्यटकों को उनकी जरूरतों के हिसाब से सम्पूर्ण टूरिस्ट पैकेज, अन्य जरूरी सूचनाएं इत्यादि उपलब्ध कराना है। आगामी 15 नवम्बर को इसका अनावरण किया जाएगा, जबकि नवम्बर व दिसम्बर, 2014 में यू.पी.टी.एम. के प्रचार-प्रसार हेतु देश के विभिन्न शहरों में रोड-शो आयोजित किए जाएंगे। वर्ष 2015 में 22, 23 व 24 फरवरी को लखनऊ में प्रथम यू.पी.टी.एम. का आयोजन किया जाएगा। बैठक को पर्यटन मंत्री श्री ओम प्रकाश सिंह तथा मुख्य सचिव श्री आलोक रंजन ने भी सम्बोधित किया।
उत्तर प्रदेश पर्यटन प्रोत्साहन परिषद में सरकारी पदाधिकारियों के अतिरिक्त स्वैच्छिक संस्थाओं के पदाधिकारी एवं गणमान्य लोग शामिल किए गए हैं। इनमें नीमराना होटल समूह के श्री अमन नाथ, चम्बल सफारी, बटेश्वर, आगरा के श्री राम प्रताप सिंह, प्रतिनिधि आई.ए.टी.ओ. श्री प्रतीक हीरा, प्रतिनिधि आई.ए.टी.ओ. (बौद्ध परिपथ) श्री एस.के. सिंह, प्रतिनिधि टी.ए.ए.आई. यू.पी. चेप्टर श्री सुनील सत्यवत्ता, सचिव उ0प्र0 हेरिटेज हाॅस्पिटेलिटी एसोसिएशन श्री पी.एन.डी. सिंह, क्षेत्रीय निदेशक, टी.सी.एस. लखनऊ श्री जयन्त कृष्णा, सुप्रसिद्ध फिल्मकार श्री मुजफ्फर अली, साहित्यकार (ट्रैवेल राइटिंग) श्री निराद ग्रोवर, साहित्यकार श्री योगेश प्रवीन (लखनऊ), सुश्री निधि यादव, श्री शर्वेन्द्र विक्रम सिंह, श्री डी.के. वर्मन (आगरा), यूनिवर्सल लखनऊ के श्री चन्द्र प्रकाश, टूरिज्म गिल्ड आगरा से श्री विशाल भारती, श्रीमती अमृतादास (लखनऊ), अध्यक्ष, यू.पी. होटल एण्ड रेस्टोरेन्ट एसोसिएशन श्री सुरेन्द्र जायसवाल, हबीबुल्लाह स्टेट हजरतगंज लखनऊ से श्री वजाहत हबीबुल्लाह, श्री अरूण चावला (फिक्की), श्री एल.के.झुनझुनवाला (फिक्की), राहुल चक्रवर्ती (फिक्की) नार्थ ईस्ट एअरलाइन्स सुश्री कैप्टन शोभा मणि तथा श्री अमित गुप्ता (फिक्की) शामिल हैं। इसके अलावा पर्यटन राज्य मंत्री श्री मूलचन्द्र चैहान, चेयरमैन, उ0प्र0 राज्य पर्यटन विकास निगम लि0 श्री सुदीप सेन, सलाहाकार पर्यटन विभाग श्री रफीक अंसारी, औद्योगिक एवं अवस्थापना विकास आयुक्त, वित्त, नियोजन, वन, कर निबन्धन एवं परिवहन विभागों के प्रमुख सचिव/सचिव, मुख्य वन संरक्षक, सचिव/महानिदेशक पर्यटन श्री अमृत अभिजात तथा विशेष सचिव डाॅ0 शशांक विक्रम भी इस परिषद के सदस्य हैं।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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