लोगों में बढ़ रही नषा खोरी से न केवल व्यक्ति, बल्कि पूरा परिवार प्रभावित होता है। ऐसे में समाज को सुधारने में लोगों केा प्रभावी कदम उठाने होगें। इन्हें रोकने के लिए बनाया गया मद्य निषेध महकमा तो अफसरों के लिए सैरगाह बन गया है। आला अफसर भी वेतन निकासी इनके काम काज् पर ध्यान नहीं दे रह हैं। सार्वजनिक स्थलों पर धूम्र पान पर रोक के लिए बने कानून का पालन होता तो दूर यहाॅ डी0एम0, एस0पी0 व सी0एम0ओ0 की अगुआई में बनी जिला स्तरीय टास्क फोर्स की बैठक तक नही होती। यही कारण है कि कलेक्टेट, अस्पताल व अन्य सरकारी कार्यालय के बगल रोक के बाद भी सिगरेट व पान की धड़ल्ले से बिक्री हो रही है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
sa@upnewslive.com