सड़क यातायात दुर्घटनाएं मानवीय त्रासदी हैं। समय से पहले होने वाली मौतों, चोटों और उत्पादकता की हानि के तौर पर इनमें उच्च मानवीय पीड़ा और सामाजिक व आर्थिक लागत शामिल है। स्टीलबर्ड हार्इ टेक इंडिया लिमिटेड (एसबीएचटी) अपने गुणवत्ता हैलमेटस के जरिये पिछले 50 सालों से मोटरसाइकिल सवारों को इन दुर्घटनाओं से सुरक्षा प्रदान करने का प्रयास कर रहा है। कंपनी अपने गोल्डन जुबली वर्ष में प्रवेश करते हुए 50 शानदार वर्षों का उत्सव मना रही है।
रिपोर्टों के अनुसार सड़क यातायात चोटें हर साल लगभग 13 लाख लोगों की मृत्यु के साथ दुनिया में मौतों के प्रमुख कारणों में चौथे स्थान पर रही। डब्ल्यूएचओ के अनुसार सड़क यातायात दुर्घटनाएं भारत में मौत का छठा प्रमुख कारण है और युवाओं और मध्यम आयु वर्ग की आबादी के अस्पताल में भर्ती होने, मौत, विकलांगता और सामाजिक-आर्थिक नुकसान का बड़ा कारण है। इन दुर्घटनाओं में सबसे अधिक हताहत होने वाले मोटरसाइकिल सवार हैं।
50 साल पहले जब स्टीलबर्ड हार्इ टेक इंडिया लिमिटेड (एसबीएचटी) के अध्यक्ष श्री सुभाष कपूर ने कंपनी की स्थापना की थी उनका इरादा मोटरसाइकिल सवार को सुरक्षा की पेशकश करना था जहां वे सबसे कमजोर थे।
श्री कपूर के अनुसार हम मुनाफाखोरी के कारोबार में नहीं हैं। हम गुणवत्ता के साथ समझौता नहीं करते। हमारे हैलमेट अंतरराष्ट्रीय मानकों पर आधारित हैं। कोर्इ इंसान सस्ती बाइक खरीदने के बारे में सोच सकता है मगर हैलमेट के मामले में कभी समझौता नहीं करना चाहिए।
भारत में हैलमेट उधोग की वृद्धि के बारे में श्री कपूर ने कहा कि 50 साल पहले जब मैंने इस कारोबार में प्रवेश किया था तब भारतीय दोपहिया बाजार में करीब 1300 लम्ब्रेटा और 1600 वेस्पा का उत्पादन होता था। आज 50 साल बाद जब स्टीलबर्ड हैलमेट अपनी स्वर्ण जयंती वर्ष मना रहा है, भारत दो पहिया वाहनों का सबसे बड़ा उत्पादक बन गया है और स्टीलबर्ड भारत की सबसे अग्रणी हैलमेट विनिर्माण कंपनी के रूप में उभरी है।
एसबीएचटी की स्थापना 13 मार्च 1964 में की गर्इ थी। समय के साथ कंपनी गुणवत्तापूर्ण हैलमेट उपलब्ध कराने में भारत की अग्रणी और सबसे सम्मानित कंपनी के तौर पर उभरी है। अनुसंधान और विकास पर मजबूती से ध्यान देते हुए कंपनी की शिमला के बददी में एक अत्याधुनिक फैसिलिटी है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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