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”मिर्गी का इलाज जादू टोना नही दवार्इया है- डा0 संदीप अग्रवाल

Posted on 24 February 2014 by admin

मिर्गी दुनिया भर में सबसे आम न्यूरोलाजिकल समस्या है यह किसी भी उम्र को प्रभावित करती  है ।यह जानकारी डा0 संदीप अग्रवाल(डी0एम0न्यूरोलाजी) ने देते हुए बताया कि बच्चों व 60-70 वर्ष में अधिक देखी जाती है। दुनिया भर में 50 लाख से अधिक लोग मिर्गी से प्रभावित है व इनमें से 80 प्रतिशत विकासशील देशों में रहते है।
अनुमानत: भारत में 9-10 लाख लोग मिर्गी से प्रभावित है जो वैशिवक बोझ का पाचवा हिस्सा है।
मिर्गी व जब्ती में अन्तर -
मिर्गी व जब्ती में अन्तर है, जब्ती दिमाग में एक क्षणिक, अचानक, असामान्य व अत्यधिक न्यूरोनल गतिविधि के कारण होती है जो व्यकित के व्यवहार को बदलने में सक्षम होती है । जब्ती बचपन व किशोरावस्था में आम है। जबकि मिर्गी, मनुष्य का सामान्य न्यूरोनल नेटवर्क के किसी कारण अति उत्तेजनीय न्यूरोनल नेटवर्क में परिवर्तित होने के कारण होती है जिसमें मनुष्य बार-बार बेसबब (जिसका कोर्इ कारण पहचानने योग्य नही होता है ) जब्ती में परिवर्तित हो जाता है ।
इलेक्ट्रलाइट असंतुलन, नशीली दवाओं के दुपर्योग आदि कारण जिसकी वजह से होने वाले जब्ती को भी मिर्गी नही कहते है । ऐसे रोगियों को लम्बी अवधि तक एन्टीएपिलेपिटक दवाओं की जरूरत नही होती है।
एक अन्य लक्षण को भी हम आमतौर पर मिर्गी मान लेते है- बेहोशी व एैठन या थ्पज (दौरा), यह एक ऐसी सिथति है जिसमें शारीरिक मांस पेशिया तेजी से सिकुड़ती व शिथिल पड़ती हैं जिससे शरीर में अनियंत्रित एैठन उत्पन्न होती है।
एैठन मिर्गी का एक लक्षण हो सकता है । सभी एैठन मिर्गी नही होते व सभी मिर्गी में एैठन नही होती
कारण :-
मिर्गी मसितष्क को प्रभावित करने वाले कर्इ कारणो से होती है ये कभी-कभी अनुवांशिक या अधिग्रहित या दोनो हो सकते है। 60-75 प्रतिशत मिर्गी मामलों में कारण अज्ञात होता है। शेष 25-40 प्रतिशत लोगो में पहचानने योग्य कारण निम्न हो सकते है।
•    अनुवांशिक
•    जन्म के समय चोट या आक्सीजन की कमी
•    गर्भावस्था में मसितष्क को क्षति
•    मसितष्क आघात
•    ब्रेन टयूमर
•    संक्रमण (मैनिंजाइटिस, एडस आदि)
लगभग आधे से अधिक रोगियों में दवार्इ द्वारा दौरे को नियंत्रित किया जा सकता है विभिन्न प्रकार की मिर्गी में लक्षण भिन्न-भिन्न होते हैं।
सामाजिक कलंक :-
एक सामान्य मनुष्य के मुकाबले एक मिर्गी रोगी को समाज मे रहना ज्यादा चुनौतीपूर्ण है। भय व गलतफहमी की वजह से किशोरोें में सामाजिक भेदभाव का जन्म देता है। इस प्रकार सही जानकारी का अभाव सामाजिक कलंक के स्थायीकरण में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
विष्व प्रसिद्ध लोग (मिर्गी के साथ) :-
जुलियस सीजर, सिकन्दर, आगाथा किस्टी, अल्फ्रेड नोबेल, जौन्टी रोडस आदि ने इतिहास में  मिर्गी पर विजयी पार्इ है। तब अन्य क्यों नही ?
मिथक व तथ्य -
मि0: मिर्गी भूत प्रेत के कारण होती है जादू टोना इसका इलाज है।
त0: मिर्गी एक विकार है  इसका इलाज दवाए है।
मि0: मिर्गी एक मानसिक बीमारी है।
त0: नही यह एक मसितष्क की बीमारी है।
मि0: मिर्गी संक्रामक है
त0: मिर्गी निशिचत रूप से संक्रामक नही है।
मि0: मिर्गी वंशानुगत है इसके लिए शादी नही करनी चाहिए ।
त0: केवल 3 प्रतिशत लोगों में वंशानुगत होती है। इसका शादी से कार्इ सम्बन्ध नही है।
मि0: विवाह मिर्गी का इलाज है ।
त0: बिल्कुल नही, केवल दवाएं ।
मि0: मिर्गी में जूता, प्याज सूघांना चाहिए या हाथ में चाभी देनी चाहिए ।
त0: दौरा अपने आप बन्द होता है इन सबके कारण नही।
मि0: मिर्गी में मरीज के मुह में चम्मच देना चाहिए ।
त0: बिल्कुल नही ऐसा करने से मरीज के मुह में चोट लग सकती ।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
sa@upnewslive.com

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