महिलाओं के आर्थिक सशäकिरण के भाग के रूप में अपनी भिन्न पहल के भाग के रूप में भारतीय महिला बैंक लिमिटेड गैर सरकारी संगठनों (एनजीओ) के साथ गठजोड़ करेगा। ऐसी ही एक पहल के रूप में बैंक ने –षिट फाउंडेशन के साथ साझेदारी की है। यह एक एनजीओ है जो महिला लाभार्थियों की पहचान और विकास के काम करेगा। बैंक लाभार्थियों को वित्तीय सहायता देगा।
साझेदारी के पहले कदम के रूप में बैंक ने महिला लाभार्थियों को कर्ज मुहैया कराया है। यह –षिट फाउंडेशन के प्रोजेक्ट Þमोमो रंगोलीß के तहत लखनऊ के मलिहाबाद गांव में खुदरा बिक्री के लिए दुकानें शुरू करने ध् चलाने के लिए है।
Þमोमो रंगोलीß महिलाओं के लिए महिलाओं की खुदरा दुकान है जिससे पूरे समाज का जुड़ाव रहता है। इस परियोजना का मकसद ग्रामीण क्षेत्रों की महिलाओं का सशäकिरण है। इसके तहत महिलाओं को उनके काम वाले भिन्न सामान ऐसी जगहों पर मुहैया कराए जाते हैं जहां उन्हें आपने काम की चीजें कम या सीमित रूप से मिलती हैं। खासतौर से ऐसे उत्पाद जो उनके स्वास्थ्य और स्वस्थ रहने में अच्छा खासा सुधार ला सकते हैं और इस तरह आखिरकार उनके जीवन की गुणवत्ता बेहतर कर सकते हैं।
आज (04.02.2014) लखनऊ में हुए एक समारोह में लाभार्थियों को मंजूरी पत्र का वितरण करते हुए भारतीय महिला बैंक लिमिटेड की अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक श्रीमती उषा अनंतसुब्रमणियन ने कहा कि बैंक देश के दूसरे हिस्सों में भी भिन्न गैर सरकारी संगठनों से ऐसे गठजोड़ करेगा। बैंक भारत के प्रत्येक घर की महिलाओं को इस योजना में शामिल करने और उनके सशäकिरण के लिए हर संभव कदम उठा रहा है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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