प्रदेष के कारागार मंत्री एवं प्रदेश प्रवक्ता श्री राजेन्द्र चौधरी ने आज यहां कहा कि यह अजीब विडम्बना है कि उत्तर प्रदेश में कांगे्रस समाजवादी पार्टी के खिलाफ हल्ला बोल रही है। गुजरात से एक कांग्रेस महासचिव जब से आए हैं, समाजवादी पार्टी की खिलाफत में ही सबको लगाए हुए हैं। श्री अखिलेश यादव की सरकार पर अनर्गल आरोप लगाए जा रहे हैं। लगता है कांगे्रस दिशा विहीन हो गर्इ है और वह संविधान की मूल भावना से भी किनाराकशी कर रही है। संविधान में भारत को समाजवादी और धर्मनिरपेक्ष राष्ट्र कहा गया है। समाजवादी पार्टी धर्म निरपेक्षता की लड़ार्इ लड़ रही है। कांग्रेस हमला कर जता रही है कि वह प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष तौर पर सांप्रदयिक ताकतों का ही साथ दे रही है।
उ0प्र0 देश का सबसे बड़ा सूबा है जहा लोकसभा की सर्वाधिक 80 सीटें हैं। दिल्ली का रास्ता ही यहा से नहीं जाता वरन केन्द्र की राजनीति की दिशा भी इसी प्रदेश से तय होती है। लोकतंत्र, समाजवाद और धर्मनिरपेक्षता की लड़ार्इ यहा समाजवादी पार्टी पूरी ताकत के साथ लड़ रही है। जनता ने श्री अखिलेश यादव के नेतृत्व में समाजवादी पार्टी की बहुमत की सरकार बनार्इ है जो अपने चुनावी वायदों को निभाते हुए अन्य सूबों के सामने एक आदर्श पेश कर रही है। दो साल से भी कम समय में किसानों, नौजवानों और मुसलमानों के लिए दूसरे राज्यों की किसी सरकार ने इतनी कल्याणकारी योजनाएं नहीं शुरू की है, जितनी समाजवादी पार्टी सरकार ने की हैं।
कांगे्रस के नेताओं को यह नहीं भूलना चाहिए कि समाजवादी पार्टी ने ही हर संकट के समय उनकी यू0पी0ए0 सरकार को बचाया है। राज्यसभा में कांगे्रस के नेता को भेजकर राजनीतिक मर्यादा की एक नर्इ मिसाल भी श्री मुलायम सिंह यादव ने पेश की है। केन्द्र की कांगे्रस सरकार का रवैया प्रदेश सरकार के प्रति खेदजनक ही रहा है। उत्तर प्रदेश को विश्ेाष पैकेज देने की बात हो या उसकी योजनाओं को वित्तीय मदद देने की, केन्द्र सरकार बराबर बहाने बनाकर अड़ंगे लगाती रही है। केन्द्र में बैठे प्रदेश के मंत्रियों ने भी राज्य के प्रति अपना दायित्व नहीं निभाया है और केन्द्रीय इस्पात मंत्री तो बढ़चढ कर अनर्गल बयानबाजी करने से बाज नहीं आ रहे हैं।
सच तो यह है कि आगामी लोकसभा चुनावों में धर्मनिरपेक्ष ताकतों की कठिन परीक्षा होने वाली है। सांप्रदायिक ताकतों ने अपने पंख फैला रखे हैं। श्री मुलायम सिंह यादव के नेतृत्व में समाजवादी पार्टी मोदी के रथ को रोकने में समर्थ है। पहले भी समाजवादी पार्टी ने भाजपा-बसपा को सत्ता से बाहर का रास्ता दिखाया है। आज भी समाजवादी पार्टी ही जाति-धर्म की राजनीति करने वालों के मुकाबले में मजबूती से खड़ी है। कांगे्रस के नेता जो कर रहे हैं उससे सीधा फायदा सांप्रदायिक और विघटनवादी ताकतों को ही मिलने वाला है। कांग्रेस समाजवादी के खिलाफ हल्ला बोलकर देश की एकता- अखंडता के साथ खिलवाड़ करने वालों का ही मनोबल बढ़ा रही है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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