राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय सचिव अनिल दुबे ने मुजफ्फरनगर में शान्ति सद्भाव और भाईचारे की स्थापना हेतु जा रहे राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष चै0 अजित सिंह को न जाने देने तथा राष्ट्रीय महासचिव व सांसद श्री जयन्त चैधरी की यू0पी0 गेट पर की गिरफ्तारी को अलोकतांत्रिक बताया। सोमवार को लखनऊ में जारी बयान में श्री दुबे ने कहा कि मुजफ्फरनगर में दंगा नियंत्रण करने में सरकार पूरी तरह से विफल साबित हुई है। पूरा मुजफ्फरनगर दंगों की आग में जल रहा है। ऐसे में रालोद नेताओं को वहां न जाने देकर सरकार ने यह साबित कर दिया है कि वहां पर घटित व लगातार जारी घटनाएं जनता के समक्ष न आ सके। उन्होंने कहा कि श्री जयन्त चैधरी की गिरफ्तारी मुजफ्फरनगर का सच छिपाने के उददेष्य से की गयी है।श्री दुबे ने कहा कि उ0प्र0 में सत्ता में आने के बाद सपा सरकार के शासन में लगातार दंगे हो रहे हैं और उन दंगों पर यह सरकार अंकुष लगाने में पूरी तरह विफल साबित हुई है और मुजफ्फरनगर का दंगा यदि सरकार ने समय रहते ध्यान दे दिया होता तो न होता और इतनी भारी संख्या मंें जनमानस की हानि न होती, उन्होंने कहा कि चैरासी कोसी परिक्रमा जैसे नूराकुष्ती के कार्यक्रम हेतु सरकार ने भारी संख्या मंे पूलिस बल लगाया लेकिन प्रदेष में व्याप्त तनाव और हिंसा रोकने के लिए पर्याप्त सुरक्षा बल लगाने में पूर्णतया सरकार विफल रही जिसकी वजह से दंगा बदस्तूर जारी है और मौतों का आकड़ा बढ़ता ही रहा है इसी सच को छिपाने के लिए रालोद नेताओं को रोका गया।
श्री दूबे ने रालोद अध्यक्ष चैधरी अजित सिंह की केन्द्र सरकार से की गयी राष्ट्रपति शासन की मांग को दोहराते हुये कहा कि केन्द्र सरकार प्रदेष की ताजा स्थितियों को देखते हुये तत्काल राष्ट्रपति शासन लागू करने की घोषणा करे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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