25 जुलाई।
प्रदेश में विकास का दावा करने वाले प्रदेश के मुख्यमंत्री को पहले खोखले विकास की पूरी जानकारी प्राप्त कर लेनी चाहिए, क्योंकि पिछले दशकों से सैंकड़ों अधूरे पड़े पुलों एवं सड़कों का निर्माण अभी भी अधूरा है। मुख्यमंत्री द्वारा आज की गई नई योजनाओं का शिलान्यास मात्र राजनैतिक मंशा के चलते प्रतीत होता है।
प्रदेश कंाग्रेस के प्रवक्ता अमरनाथ अग्रवाल ने आज यहां जारी बयान में कहा कि मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव द्वारा आज 3500 करोड़ रूपये की लागत से पुलों एवं सड़कों की योजनाओं के शिलान्यास के मौके पर प्रदेश के विकास की चिंता जताया जाना आश्चर्यजनक है क्योंकि यदि मुख्यमंत्री को प्रदेश के विकास की इतनी ही चिंता है तो प्रदेश में कई वर्षो से लगभग 230 पुल एवं तमाम सड़कें अधूरी पड़ी हैं, उन्हें पूरा करने के निर्देश भी जारी करने चाहिए, क्योंकि उन क्षेत्रों की जनता को इन लम्बित पड़ी योजनाओं के कारण काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है।
प्रवक्ता ने कहा कि मुख्यमंत्री जी द्वारा शिलान्यास के मौके पर पूर्ववर्ती सरकार पर आरोप लगाये जाने कि पिछली सरकार के कार्यकाल में शुरू हुए पुल एवं सड़कें पूर्ववर्ती सरकार की ही निष्क्रियता के चलते अभी तक पूरी नहीं हो सकी है। खुद वर्तमान सरकार की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान लगाता है। मुख्यमंत्री जी को यह बताना चाहिए था कि वर्तमान सरकार ने इन अधूरी पड़ी योजनाओं को पूरा करने के लिए क्या कार्ययोजना बनाई है।
श्री अग्रवाल ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा पिछले वर्ष 2012-2013 में बजट का केवल 56 प्रतिशत ही खर्च कर पाई है एवं चालू वर्ष में भी मात्र 15 से 17 प्रतिशत धन ही खर्च कर सकी है। ऐसे में मुख्यमंत्री जी के प्रदेश के विकास के दावे खोखले साबित हो रहे हैं।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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