13 अप्रैल।
प्रदेश में स्वास्थ्य सेवावों की दयनीय स्थिति पर कांग्रेस पार्टी ने दुःख जताया है। पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता श्री जीशन हैदर ने कहा कि राजधानी के अस्पतालों की बदहाली को लेकर आये दिन अखबारों की छपती खबरें और तस्वीरें स्वास्थ्य सेवाओं की हकीकत बयाँ करने के लिए काफी है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार के लिए इससे शर्मनाक बात और क्या हो सकती है कि प्रदेश के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री खुद कहते है कि गाँव में तैनात डाँक्टर गुंडे है। सपा के सत्ता में आने के बाद अभी तक स्वास्थ सेवाओं में बेहतरी के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाये गए बजाय बयानबाजी पर जोर दिया जा रहा है। राजधानी लखनऊ में सरकारी अस्पतालों की हालत बद से बदतर बनी हुई है। अस्पतालों में डाक्टर समय से नहीं पहुचते। सरकारी आदेश आज उन डाक्टरों के लिए बेअसर साबित हो रहे है जिनको पैसे कमाने की ललक है। अव्यवस्था के चलते मरीज अस्पतालों की चौखट पर दम तोड़ दे रहे है। गाँव की गरीब जनता पैसे के आभाव में अस्पताल तक पहुँच नहीं पाती।
श्री हैदर ने बताया कि लखनऊ में लगभग कुल 9 सीण्एचण्सी समेत 43 पीण्एचण्सी है। पर सरकार द्वारा निर्धारित मानक भी ये राजधानी के सीण्एचण्सीण्पूरा नही करते है। मानक के अनुसार एक सामुदायिक हास्पिटल में कुल सात डाक्टर होने चाहिए। जिसमे एक सर्जन एएक पीडियाट्रिक्सए एक गायनकोलाजिस्ट एक चेस्ट स्पेशलिस्टए दो मेडिकल आफिसर के पद होते है।
श्री हैदर ने सवाल उठाया कि सपा का चुनाव के समय दिया गया नारा ष्रोटी कपडा सस्ती होएदवा पढाई मुफ्ती होष् कहाँ गया। सपा सरकार के इस रवैये से जनता अब आजिज आ चुकी है जिसका खामियाजा सपा को आगामी चुनाव में चुकाना पड़ेगा।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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