Categorized | लखनऊ.

ध्वस्त हो चुकी कानून व्यवस्था

Posted on 15 April 2013 by admin

12 अप्रैल।
प्रदेश में कानून व्यवस्था पूरी तरह ध्वस्त हो चुकी है और पुलिस पर सरकार का नियंत्रण खत्म हो चुका है। मा0 उच्चतम न्यायालय के फटकार के बाद भी प्रदेश में अपराध थमने का नाम नहीं ले रहा है। ताजा उदाहरण है कि बुलन्दशहर की पुलिस ने एक ओर जहां महिला के साथ दुवर््यवहार किया वहीं इससे पहले झांसी जिले में दस साल की नाबालिग लड़की को थाने के लाकअप में बन्द कर दिया गया, जिस पर मा0 उच्चतम न्यायालय ने पुनः फटकार लगायी। किन्तु ऐसी घटनाएं आये दिन घटित हो रही हैं इससे लग रहा है कि सरकार का पुलिस पर नियंत्रण खत्म हो गया है और प्रदेश में कानून व्यवस्था भंग हो गयी है।
प्रदेश कंाग्रेस के प्रवक्ता द्विजेन्द्र त्रिठी ने आज यहां जारी बयान में कहा कि प्रदेश के पुलिस महानिदेशक श्री प्रकाश सिंह की याचिका पर पुलिस सुधार के लिए वर्ष 2006 में मा0 उच्चतम न्यायालय ने सात सूत्रीय आदेश जारी किये थे जबकि राष्ट्रीय पुलिस आयोग ने भी पुलिस सुधार के लिए कई महत्वपूर्ण सिफारिशें की थी। दुःखद पहलू तो यह है कि तब से लेकर अभी तक उ0प्र0 की सरकारों ने इन सिफारिशों को लागू करने के लिए कोई कदम नहीं उठाये।
प्रवक्ता ने कहा कि अभी पिछले दिनों केन्द्रीय सतर्कता आयुक्त(सीवीसी) आर. श्रीकुमार ने पुलिस की कार्यशैली को लेकर गंभीर टिप्पणी की है। उनकी दलील थी कि डेढ़ सौ साल पुराने जिस कानून से पुलिस संचालित हो रही है उसने पुलिस को कानून लागू करने वाली एजेंसी की जगह सरकार का एजेंट बनाकर रख दिया है। पिछले दो दशक में यू0पी0 पुलिस की हालत निरन्तर खराब होती गयी है। पुलिस सुधार के नाम पर जो भी प्रयोग हुए पूर्ववर्ती और वर्तमान सरकारों ने सिर्फ अपने हितों के लिए किया। भाजपा, बसपा, सपा की सरकारों में पुलिस व्यवस्था बदतर होती चली गयी। हालत यह हो गयी है कि अब तो आमजन के बीच भी पुलिस का इकबाल खत्म हो गया है और आये दिन पुलिस पर हमले हो रहे हैं।
प्रवक्ता ने कहा कि प्रदेश में खत्म हुए पुलिस के इकबाल का सबसे ताजा उदाहरण जहां प्रतापगढ़ में सी.ओ. की हत्या की गयी वहीं गोरखपुर कचेहरी में सरेआम पुलिस उपाधीक्षक के कपड़े फाड़े गए एवं बेईज्जत किया गया। जिस सूबे में पुलिस अधिकारी सुरक्षित न हों वहां आम जनता की सुरक्षा का क्या हाल होगा?
श्री त्रिपाठी ने उत्तर प्रदेश सरकार से मांग की है कि अपने हित की बात छोड़कर जनता के हित के लिए पुलिस को मजबूत करने के लिए मा0 उच्चतम न्यायालय की मंशा के अनुरूप आवश्यक कदम उठाये और तत्काल पुलिस सुधार के लिए एक ठोस रणनीति तैयार करे।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
sa@upnewslive.com

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