दिनांक-04.04.2013
समाजवादी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता श्री राजेन्द्र चैधरी ने कहा है कि समाजवादी पार्टी ने हमेशा मुस्लिमों के हितों की लड़ाई लड़ी है। श्री मुलायम सिंह यादव पूरे देश में लोकतंत्र, धर्मनिरपेक्षता और समाजवाद के प्रतीक पुरूष बन गए हैं। इतिहास गवाह है कि जब कट्टरपंथी ताकतों के निशाने पर बाबरी मस्जिद थी तब श्री मुलायम सिंह यादव ने ही सरकार गंवाने का खतरा उठाकर भी उसे टूटने से बचाया था। वे हमेशा इस बात पर जोर देते हैं कि देश संविधान से चलेगा, आस्था से नहीं। समाजवादी पार्टी की सरकार बनने पर मुस्लिमों को यह भरोसा हो चला है कि अब उनको हर हाल में इंसाफ मिलेगा और उनके विकास की योजनाओं को गति मिलेगी।
समाजवादी पार्टी ने सर्वप्रथम मुस्लिमो को रोजी रोटी और सम्मान दिया है। श्री मुलायम सिंह यादव सरकार में उर्दू भाषा को रोजगार से जोड़ने का काम हुआ। उर्दू अनुवादकों की भर्ती हुई। पुलिस-पीएसी की भर्ती में मुस्लिमों को तरजीह दी गई। बुनकरों को बिजली बिलों में 50 प्रतिशत की छूट दी गई थी।
समाजवादी पार्टी सरकार ने मुस्लिम नौजवानों को दहशतगर्द बताकर उत्पीड़न का शिकार नहीं बनने दिया है। जो निर्दोष नौजवान पिछली बसपा सरकार के दिनों से जेल में बंद है उनकी रिहाई के कदम भी उठाए गए हैं। मुख्यमंत्री जी ने कड़े निर्देश दे रखे हैं कि प्रदेष में सांप्रदायिक सद्भाव बिगड़ने नहीं दिया जाएगा। कानून व्यवस्था में चूक होने पर अब आईजी, डीआईजी स्तर के अधिकारी भी कार्यवाही की जद में आने से नहीं बचेगें।
मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने वर्ष 2013-14 के बजट में अल्पसंख्यक समुदाय के छात्र/छात्राओं को छात्रवृत्ति एवं शुल्क प्रतिपूर्ति योजना हेतु 777 करोड़ रूपए की व्यवस्था की हैं। इसी तरह मदरसा/ मकतब में धार्मिक शिक्षा के साथ-साथ आधुनिक विषयों की षिक्षा की सुविधा प्रदान किए जाने की योजना हेतु 200 करोड़ रूपए रखे गए हैं।
अल्पसंख्यक समुदायों की 10वी पास छात्राओं को आगे की शिक्षा अथवा विवाह के लिए एकमुश्त 30,000 रूपए का अनुदान दिया जा रहा है। मुस्लिमो के कब्रिस्तानों की सुरक्षा हेतु उनकी चहारदीवारी बनाने का निर्णय लिया गया। मुस्लिम युवा जो प्रतियोगी परीक्षाओं में बैठना चाहते हैं, उनकी फ्री कोचिंग सुविधा एवं इंटर पास छात्राओं को लैपटाप उपलब्ध कराए गए हैं।
यद्यपि केन्द्र की कांग्रेस सरकार ने सच्चर कमेटी और रंगनाथ मिश्र आयोग गठित किए थे पर मुस्लिमो के हित में उनके द्वारा की गई सिफारिशों को उसने कूड़ेदान में डाल रखा है। सच्चर कमेटी की रिपोर्ट में कहा गया है कि मुस्लिमों की हालत दलितों से बदतर है। आयोग ने उन्हें आरक्षण देने की सिफारिश की। श्री मुलायम सिंह यादव ने संसद में मुस्लिमों के पक्ष में आवाज उठाई। चुनाव घोषणा पत्र में उन्हें आर्थिक सामाजिक तथा शैक्षिक दृष्टि से अत्याधिक पिछड़ा मानते हुए दलितों की तरह जनसंख्या के आधार पर अलग से आरक्षण दिए जाने का वायदा किया गया। मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने केन्द्र सरकार को पत्र लिखकर इस दिशा में कार्यवाही का आग्रह किया है। राज्य सरकार अपनी सीमा में मुस्लिमों को ज्यादा से ज्यादा सुविधाएं तथा राहत देने के लिए संकल्पित है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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