कासा, जनकेन्द्रित विकास महासमिति एवं लोक हकदारी मोर्चा उ0 प्र0 द्वारा शहीदेआजम भगत सिंह के शहादत दिवस के अवसर पर गंगा प्रसाद वर्मा मेमोरियल सोसाइटी हाल में ‘‘ग्रामीणों की आजीविका के सन्दर्भ में मनरेगाःएक हकीकत’’ विषय पर एक दिवसीय मजदूर सभा का आयोजन किया गया जिसमें उत्तर प्रदेश के 20 जनपदों से मनरेगा श्रमिकों तथा मनरेगा योजना के तहत जाॅब कार्ड से वंचित लगभग 350 लोगों ने अपनी प्रतिभागिता की।
कार्यक्रम के विषय में विस्तृत जनकारी देते हुये कासा के श्री कमल कुमार ने बताया कि उत्तर प्रदेश में मनरेगा श्रमिकों का तथा मनरेगा योजना के तहत जाॅब कार्ड से वंचित समुदाय की स्थिति कैसी है तथा उनके सामने किस तरह की समस्याएं सामने आती है।
कार्यक्रम में कासा के प्रियंक श्रीवास्तव ने उत्तर प्रदेश के 8 जनपदों के 9 विकासखण्डों की 11 ग्रामपंचायतों की मनरेगा सामाजिक अंकेक्षण रिपोर्ट प्रस्तुत की। मिर्जापुर जनपद के अमोई ग्राम पंचायत में सामाजिक अंकेक्षण के दौरान कुल 1135 परिवार सम्मिलित रहे, इन परिवारों से बातचीत तथा पंचायत के दस्तावेजों से जानकारी के अनुसार 1135 परिवारों के सापेक्ष पंचायत में मात्र 915 जाॅब कार्ड बनाये गये है।
चित्रकूट जनपद के चुरेह केशरूवा ग्राम पंचायत में कुल 1248 परिवार निवासरत् है, परन्तु मिली जानकारी के अनुसार इस पंचायत में कुल परिवार की संख्या से 268 जाॅब कार्ड अधिक बनाये गये है।
सोनभद्र जनपद के कोरट ग्राम पंचायत में मिली जानकारी कु अनुसार कुल 555 परिवारों के सापेक्ष 13 जाॅब कार्ड अधिक बनाये गये है।
बाँदा जनपद के छेहराँव ग्राम पंचायत में कुल 310 परिवारों के सापेक्ष मात्र 220 जाॅब कार्ड ही पाये गये।
जालौन जनपद के पीपरीकला ग्राम पंचायत के कुल 291 परिवारों के सापेक्ष 41 जाॅब कार्ड कम बनाये गये।
झांसी जनपद के ग्राम पंचायतों डगरिया रून्द, मुरारी तथा सफा के कुल परिवारों क्रमशः 237, 243, 735 के सापेक्ष क्रमशः 99, 129 तथा 380 जाॅब कार्ड कम बनाये गये।
फतेहपुर जनपद के फिरोजपुर ग्राम पंचायत के कुल 315 परिवार निवासरत् है, परन्तु मिली जानकारी के अनुसार कुल परिवारों की संख्या से 111 जाॅब कार्ड कम बनाये गये है।
देवरिया जनपद की ग्राम पंचायतों गौतमा तथा नरायनपुर के कुल परिवारों क्रमशः 207 तथा 383 के सापेक्ष क्रमशः 80 तथा 291 जाॅब कार्ड कम जारी किये गये है।
झांसी जनपद के ग्राम पंचायतों डगरिया रून्द, मुरारी तथा सफा में क्रमशः 31, 28 तथा 93 परिवार जाॅब कार्ड की सुविधा से वंचित पाये गये।
फतेहपुर जनपद के फिरोजपुर ग्राम पंचायत में 60 परिवार जाॅब कार्ड की सुविधा के लाभ से वंचित पाये गये।
देवरिया जनपद के ग्राम पंचायतों गौतमा तथा नरायनपुर में क्रमशः 19 तथा 6 परिवार जाॅब कार्ड के लाभ से वंचित पाये गये।
जालौन जनपद के पीपरी कला ग्राम पंचायत में 13 परिवार जाॅब कार्ड की सुविधा से वंचित पाये गये वहीं सोनभद्र जनपद के कोरट ग्राम पंचायत में 12 परिवार जाॅब कार्ड की सुविधा से वंचित मिले।
सोनभद्र तथा फतेहपुर जनपद की कोरट एवं फिरोजपुर ग्राम पंचायतों में 25-25 परिवार ऐसे पाये गये जिनके पास 1 से अधिक थे।
देवरिया जनपद की गौतमा तथा नरायनपुर ग्राम पंचायतों में क्रमशः 17 तथा 32 ऐसे परिवार पाये गये जिनके पास 1 से अधिक जाॅब कार्ड था।
मिर्जापुर जनपद के अमोई ग्राम पंचायत में 20 परिवार ऐसे पाये गये जिनके पास 1 से अधिक जाॅब कार्ड उपलब्ध थे।
जालौन जनपद के पीपरी कला ग्राम पंचायत में 11 परिवार ऐसे पाये गये जिनके पास 1 से अधिक जाॅब कार्ड थे।
सोनभद्र जनपद के कोरट ग्राम पंचायत में पंचायत द्वारा 78 कार्यों का प्रस्ताव किया गया, जिसके सापेक्ष मात्र 46 कार्यों का अनुमोदन दिया गया।
मिर्जापुर जनपद के अमोई ग्राम पंचायत में पंचायत द्वारा 3 कार्यों का प्रस्ताव किया गया, जिसके सापेक्ष इस पंचायत को सभी 3 कार्यों का अनुमोदन प्राप्त हुआ, परन्तु इस पंचायत द्वारा अनुमोदित 3 कार्यों के स्थान पर मात्र 2 कार्यों का ही क्रियान्वयन किया जा सका।
चित्रकूट जनपद के चुरेह केशरूवा ग्राम पंचायत द्वारा 8 कार्यों का प्रस्ताव किया गया, जिसके सापेक्ष इस पंचायत को सभी 8 कार्यों का अनुमोदन भी प्राप्त हुआ, परन्तु अनुमोदित 8 कार्यों में से मात्र 5 कार्य ही इस पंचायत द्वारा क्रियान्वित किये गये।
बाकी अन्य जनपदों जालौन, बाँदा, झांसी तथा देवरिया जनपद के ग्राम पंचायतों में कार्यों के मामले में स्थिति संतोषजनक पाई गई।
सामाजिक अंकेक्षण से निकले तथ्यों के अनुसार बाँदा जनपद के छेहराँव ग्राम पंचायत में 7 लाख 10 हजार 375 रूपये का बजट मनरेगा कार्यों हेतु प्रस्तावित किया गया, जिसके आधार पर इस ग्राम पंचायत को प्रस्तावित बजट का अनुमोदन भी प्राप्त हुआ, परन्तु सामाजिक अंकेक्षण के दौरान देखने में आया कि इस पंचायत द्वारा अभी तक मात्र 31 हजार 250 रूपये ही व्यय किये गये है।
चित्रकूट जनपद के चुरेह केशरूवा ग्राम पंचायत द्वारा 3 लाख 10 हजार रूपये का बजट मनरेगा के कार्यों हेतु प्रस्तावित किया गया, जिसके सापेक्ष इस पंचायत को प्रस्तावित बजट का अनुमोदन भी प्राप्त हुआ, परन्तु अभी तक पंचायत द्वारा उपरोक्त बजट में से मात्र 53 हजार 520 रूपये ही व्यय किये गये है।
देवरिया जनपद के गौतमा तथा नरायनपुर ग्राम पंचायत द्वारा क्रमशः 6 लाख 89 हजार 700 रूपये तथा 36 लाख 35 हजार रूपये का बजट मनरेगा के कार्यों हेतु प्रस्तावित किया गया, जिसके आधार पर उक्त दोनों ग्राम पंचायतों को प्रस्तावित बजट का अनुमोदन भी प्राप्त हुआ परन्तु अनुमोदित बजट के सापेक्ष दोनों ग्राम पंचायतों द्वारा क्रमशः 4 लाख 18 हजार 740 तथा 4 लाख 96 हजार 99 रूपये ही व्यय किये जा सके है।
सोनभद्र जनपद के कोरट ग्राम पंचायत द्वारा मनरेगा कार्यों हेतु 72 लाख 40 हजार रूपये का प्रस्ताव किया गया, जिसके आधार पर इस पंचायत को 69 लाख 15 हजार रूपये का अनुमोदन भी प्राप्त हुआ, परन्तु इस पंचायत द्वारा अनुमोदित धनराशि के सापेक्ष अभी तक 68 लाख 52 हजार रूपये ही व्यय किया गया है।
जालौन जनपद के पीपरी कला ग्राम पंचायत द्वारा मनरेगा कार्यों हेतु 1 लाख रूपये का प्रस्ताव किया गया, जिसके आधार पर प्रस्तावित बजट का अनुमोदन भी इस पंचायत को प्राप्त हुआ, परन्तु अनुमोदित बजट के सापेक्ष इस पंचायत द्वारा अभी तक 99 हजार 875 रूपये व्यय किये गये है।
सामाजिक अंकेक्षण प्रक्रिया में सम्मिलित कुल 1148 श्रमिकों का 42 प्रतिशत श्रमिकों ने कहा कि उनकी मजदूरी का भुगतान 1 माह से 3 माह के भीतर होता है।
कुल श्रमिकों का 26 प्रतिशत श्रमिकों ने बताया कि उनकी मजदूरी का भुगतान 15 दिन से 1 माह के भीतर होता है।
कुल श्रमिकों का 21 प्रतिशत श्रमिकों ने कहा कि उनकी मजदूरी का भुगतान 1 वर्ष से अधिक के समय में होता है।
मजदूरों के वक्तव्य के अनुसार मनरेगा के तहत निर्धारित 125 रुपये प्रतिदिन की दर से कम मजदूरी प्राप्त करने वाले मजदूरों की संख्या 465 पायी गयी।
मस्टररोल में दर्ज प्रविष्टियों के अनुसार सभी को नियत 125 रुपये प्रतिदिन के हिसाब से मजदूरी का भुगतान किया गया है।
जाॅब कार्ड पर दर्ज प्रविष्टियों का मिलान करने पर 84 मजदूर ही ऐसे मिले जिन्हें 125 रुपये प्रतिदिन की दर से कम मजदूरी का भुगतान हुआ है।
मस्टररोल में दर्ज सूचना के अनुसार कुल 1148 मजदूरों को 125 रुपये की दर से मजदूरी का भुगतान किया गया है।
मजदूरों द्वारा दिये गये वक्तव्य में महज 683 मजदूरों ने ही कहा की उन्हें 125 रुपये की दर से मजदूरी प्राप्त हुई है।
जाॅब कार्ड के साथ मिलान करने पर 1064 मजदूर ही ऐसे मिले जिनकी मजदूरी की दर 125 रुपये प्रतितदन के हिसाब से है। उपस्थित समुदाय ने इस योजना का और बेहतर एवं प्रभावी बनाने के लिये मांगे सरकार के समक्ष रखी महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना की कार्ययोजना का निर्माण श्रमिकों की आवश्यकता के अनुसार खुली बैठकों में ही किया जाये।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना के तहत कार्य के दिनों की संख्या 100 दिन से बढ़ा कर 200 दिन की जाये।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना के तहत पंचायतों में एक अलग से सन्दर्भ केन्द्र की व्यवस्था की जाये, जहाँ पर मनरेगा से सम्बन्धित सभी सूचनाएं सार्वजनिक हो।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना के तहत कार्य के आवेदन की प्राप्ति श्रमिकों को उपलब्ध कराना सुनिश्चित एवं अनिवार्य किया जाये।
प्रत्येक जिलों में तहसील दिवस और थाना दिवसों की तरह मनरेगा दिवस का आयोजन प्रत्येक माह में किया जाये, जहाँ पर मनरेगा श्रमिक अपनी समस्याएं उच्च अधिकारियों तक पहुँचा सके।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना के तहत परिवार को यूनिट न मानते हुये व्यक्ति को यूनिट मानने की व्यवस्था की जाये।
कार्यस्थल पर मूलभूत सुविधाओं की उपलब्धता को अनिवार्य किया जाये।
महिलाओं तथा विकलांगों का जाॅब कार्ड प्राथमिकता के आधार पर बनाया जाये तथा कार्य उपलब्ध कराने में इनको प्राथमिकता के आधार पर रखा जाये।
मनरेगा के तहत कार्य के दौरान हुई दुर्घटना राशि को संशोधित करते हुये इस राशि को बढ़ाया जाये।
ग्राम सभा की खुली बेठकों को अनिवार्य किया जाये।
महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारण्टी योजना के तहत श्रमिकों की मजदूरी का भुगतान 15 दिनों के भीतर सुनिश्चित किया जाये।
कार्य की मांग के 15 दिनों के भीतर कार्य उपलब्ध न होने की दशा में बेरोजगारी भत्ते के प्रावधान को अनिवार्य रूप से लागू किया जाये तथा 15 दिनों के भीतर कार्य न उपलब्ध करा पाने की दशा में ग्राम प्रधान, सचिव तथा खण्ड विकास अधिकारी के विरूद्ध दण्डात्मक कार्यवाही का प्राविधान किया जाये।
प्रत्येक जिले में मनरेगा की कार्ययोजना के निर्माण प्रक्रिया वर्षवार किया जाना सुनिश्चित किया जाये।
उक्त 8 जनपदों के 9 विकास खण्ड़ों की 11 ग्रामपंचायतों में वर्ष 2012-13 के कार्यों की सघन जाँच सक्षम अधिकारियों द्वारा कराई जाये। सदन में चर्चा के दौरान यह तय हुआ कि पूरे कार्यक्रम की विस्तृत रिपोर्ट कार्यक्रम में उपस्थित पैनल सदस्यों की संस्तुतियों के साथ उत्तर प्रदेश सरकार को आवश्यक कार्यवाही हेतु प्रेषित की जायेगी। कार्यक्रम में भइयालाल, सिपाहीलाल, संतोष कोल, पुष्पा रामेश्वर, प्रदीप कुमार, अलक्षेन्द्र प्रताप सिंह, आदि प्रमुख रुप से उपस्थित रहे। संचालन आर0पी0 साहू ने किया।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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