राष्ट्रीय लोकदल के प्रदेष अध्यक्ष मुन्ना सिंह चैहान ने सरकार के एक वर्ष पूरे होने पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुये कहा कि यह सरकार अब तक सबसे लुंज-पुंज, लचर, अपराधियों, भ्रष्टाचारियों तथा बलात्कारियों के सामने नतमस्तक होने वाली सबसे फ्लाॅप शो वाली सरकार है। सरकार सभी मोर्चों पर फेल है साथ ही साथ सरकार का इकबाल जनता में खत्म हो गया है।
श्री चैहान ने आगे बताया कि सरकार ने किसानों से वादा किया था कि सत्ता में आते ही गेहूँ, धान व गन्ना की उपज पर किसानों को बोनस दिया जायेगा। सरकार ने न तो बोनस दिया न ही उनकी उपज का लाभकारी मूल्य दिया इसका जीता जागता उदाहरण सरकार की गड़बड़ नीति से धान की खरीद में भारी घोटाला जाँच के घेरे में है। गन्ना किसानों के बकाया 4500 करोड़ रूपये को चुकाने में सरकार हीलाहवाली कर रही है। सरकार को मिल मालिक गन्ना किसानों के बकाये भुगतान के मुददे को लेकर कठपुतली की तरह नचा रहे हैं।
उन्होंने आगे बताया कि सरकार के विगत एक वर्ष कार्यकाल में प्रदेष में 1164 हत्या, 320 बलात्कार, व 920 लूट के गम्भीर मामले सरकार के खाते में दर्ज है। सरकार गुण्डों, माफियाओं, अपराधियों पर रोक लगाने में नाकाम है जिसके कारण कुण्डा और टाण्डा की घटनाओं को अंजाम मिला। सरकार की कानुन व्यवस्था ध्वस्त है। सरकार की गलत नीतियों के कारण सरकारी पुलिस अफसर महफूज नहीं है तो आमजन की सुरक्षा खतरे में पड़नी लाजमी है। सपा सरकार के सत्ता में आते ही प्रदेष में साम्प्रदायिक दंगों की बाढ़ आ गयी जिसका जीता जागता उदाहरण फैजाबाद, बरेली, प्रतागढ़, कोसी सहित 24 घटनाओं ने प्रदेष की जनता के अमन चैन को तार-तार कर दिया। सरकार सम्प्रदायिक दंगों को रोकने में नाकाम रही जिसका खामियाजा प्रदेष की जनता को भुगतना पड़ा।
उन्होंने आगे बताया कि सरकार ने अकलियतों से वादा किया था सत्ता में आते ही 18 प्रतिषत का आरक्षण दिया जायेगा लेकिन एक वर्ष बीतने के बाद भी आरक्षण के नाम पर उन्हंे झुनझुना पकड़ा दिया अब अकलियत भी हत्या, लूट दुष्कर्म के खिलाफ मुखर होकर सपा को कटघरे में खड़ा कर दिया है साथ ही साथ सरकार ने वादा किया था कि सत्ता में आते दहषतगर्दी केस में फसे बेगुनााहों को जेलों से रिहा कर देंगे लेकिन सरकार अभी तक अमली जामा पहनाने में नाकाम रही वहीं सरकार ने मुस्लिम बोर्डों के गठन में अकलियतों को ठेंगा दिखाते हुये मुसलमानों से किये सारे वादे को ठण्डे बस्ते मेें डाल दिया।
राष्ट्रीय लोकदल के प्रदेष प्रवक्ता प्रो0 के0के0 त्रिपाठी ने बताया कि सरकार ने बडे़ जद्दोजहद के बाद आबकारी नीति की मंजूरी दी जोकि माया सरकार की हूबहू काॅपी है। सरकार ने जनता से वादा किया था कि सत्ता में आते शाम की दवा सस्ती होगी जबकि जनता को धोखा देते हुये देषी शराब पर दस फीसदी और अग्रेजी शराब पर बीस फीसदी दाम बढ़ाकर समाजवादी चरित्र की कलई खोल दी। पोंटी चण्ढा भी माया के बडे़ करीबी रहकर जनता को लूटा वहीं सपा सरकार पोंटी चण्ढा से हाथ मिलाकर जनता से भारी दाम वसूल रही है। सरकार नई कृषि नीति को सब्जबाग दिखा कर खाद, बीज, कीटनाषक दवाओं के दाम को बढ़ाकर खेती पर लागत मूल्य दुगुना कर दिया जिससे किसान खेती छोड़कर चैराहे पर खडे़ होकर मजदूरी करने के लिए विवष है।
श्री त्रिपाठी ने आगे बताया कि सरकार ने सभी किसानों से कर्जमाफी का वादा करके वोट तो झटक लिया लेकिन सिर्फ भूमि बिकाऊ बैंक की कर्जमाफी कर किसानों के साथ सरासर नइंसाफी की। साड़ी कम्बल बाॅटने का वादा भी गरीबों से किया था इस पर भी सरकार खरी नहीं उतरी वहीं कम्बल, साड़ी खरीद भी घोटालों के घेरे में है। प्रदेष के बेरोजगारो को बेरोजगारी भत्ता देने के नाम पर नौजवानों का धोखा देते हुये 8.5 करोड़ बेरोजगारी भत्ता बाॅटा वहीं भत्ता बाॅटने में 12.5 करोड़ की फिजूलखर्ची ने सरकार की लोहियावादी नीति और नियत की कलई खोल दी। लैपटाॅप और बेरोजगारी भत्ता उन्हीं लोगों में बंट रहा है। सरकार एक वर्ष में अधिकारियोें को ताष के पत्ते की तरह फेंट कर उनके मनोबल को गिरा दिया जिससे सरकार की मषीनरी में जंग लगता जा रहा है। जिसका खामियाजा जनता को भुगतना पड़ रहा है। मा0 उच्च न्यायालय ने संज्ञान में लेकर कर्मचारियों को ताष के पत्ते की तरह फेटने पर रोक लगाने का निर्देष दे चुकी है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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