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राज्य सरकार किसानों की आय में वृद्धि के लिए काम कर रही है - राज्यपाल

Posted on 21 January 2010 by admin

लखनऊ - उत्तर प्रदेश के राज्यपाल श्री बी0एल0 जोशी आज विधान मण्डल के वर्ष2010 के प्रथम सत्र को संयुक्त रूप से सम्बोधित करते हुए कहा कि उनकी सरकार ने सर्वजन हिताय, सर्वजन सुखाय की नीति पर चल कर प्रदेश के सभी वर्गों, समुदायों तथा क्षेत्रों के समुचित उत्थान के लिए कार्य किया है। जोशी ने कहा कि सरकार उत्तर प्रदेश में सामाजिक परिवर्तन लाने के उद्देश्य से अनुसूचित जाति/जनजाति, शोशित, वंचित, पिछड़े और हर तरफ से उपेक्षित लोगों के जीवन एवं सामाजिक स्तर को उठाने का गम्भीर प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने इन वर्गों में समय-समय पर जन्मे महान सन्तों, गुरूओं व महापुरूषो, खासतौर से महात्मा ज्योतिबा फुले, छत्रपति शाहूजी महाराज, नारायणा गुरू, बाबा साहेब डॉ0 भीमराव अम्बेडकर एवं मान्यवर श्री कांशीराम जी के नाम पर स्मारक, संग्रहालय, मूर्तियां, पार्क, जिले व यूनीवर्सिटी/कालेज आदि स्थापित करके इन्हें पूरा-पूरा आदर व सम्मान दिया है। उन्होंने कहा इन महापुरूषो ने अपनी पूरी जिन्दगी समाज के उपेक्षित लोगों को अपने पैरों पर खड़ा करने के लिए समर्पित की है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने प्रदेश के सभी क्षेत्रों के समुचित विकास के लिए पूर्वांचल, पिश्चमी उत्तर प्रदेश तथा बुन्देलखण्ड को अलग से राज्य बनाने के लिए केन्द्र सरकार की स्वीकृति हेतु पत्र लिखा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के पिछड़े क्षेत्रों के विकास के लिए उनकी सरकार ने केन्द्र सरकार से 80 हजार करोड़ रूपये का विशेश आर्थिक सहायता पैकेज देने की मांग भी की है। उन्होंने राज्य में ऊर्जा तथा सिंचाई क्षमता में वृद्धि के लिए केन्द्र सरकार से प्रदेश की भारत-नेपाल सीमा पर संयुक्त रूप से नदियों से बिजली पैदा करने की परियोजनाओं को शीघ्र मूर्त रूप देने का अनुरोध किया।

राज्यपाल ने कहा कि उनकी सरकार ने विकास को जमीनी जरूरतों से जोड़ते हुए प्रदेश की जनता को सभी बुनियादी सुविधायें देने की पूरी कोशिश की है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में आधारभूत सुविधाओं के विकास, बेहतर चिकित्सा सुविधा, किसानों को सिंचाई एवं अन्य संसाधनों को मुहैया कराने की योजनाओं का क्रियान्वयन तत्परता से किया जा रहा है। इसी कड़ी में सरकार ने गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले (बी0पी0एल0) परिवारों के हित में, जो किसी भी पेंशन योजना अथवा सस्ती दर पर खाद्यान्न की सुविधा से आच्छादित नहीं हैं, उनके लिए उ0प्र0 मुख्यमन्त्री महामाया गरीब आर्थिक मद्द योजना चलाने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि इस योजना के तहत प्रत्येक गरीब परिवारों को 300 रूपये प्रतिमाह की दर से आर्थिक मद्द देकर उन्हें रोजमर्रा की जरूरतों को पूरा करने लायक बनाने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि प्रथम चरण में इस योजना से लगभग 30 लाख गरीब परिवारों को लाभान्वित करने का लक्ष्य रखा गया है, बाकी बचे बी0पी0एल0 परिवारों को अगले चरण में लाभान्वित किया जाएगा।

श्री जोशी ने अपने अभिभाशण में आसमान छूती कीमतों की चर्चा करते हुए कहा कि वर्तमान समय में ऐसी परिस्थितियां बना दी गईं हैं कि खाद्यान्नों, दालों तथा खाद्य तेलों के दाम बेतहाशा बढ़ गये हैं, जिससे आम जनता विशेशकर गरीबों का जीवन दूभर हो गया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने केन्द्र सरकार से खाद्य पदार्थों के मूल्य नियत्रंण की दिशा में सार्थक कदम उठाने का अनुरोध भी किया, परन्तु कीमतों में कमी नहीं आयी है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने अधिकारियों को जमाखोरों एवं कालाबाजारियों के विरूद्ध आवश्यकतानुसार सख्त निरोधात्मक कार्यवाही करने की हिदायत दी है ताकि जनता को मंहगाई से राहत मिल सके। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार आवश्यक वस्तुओं के मूल्यों का दैनिक अनुश्रवण कर रही है, साथ ही सरकार ने चीनी एवं खाण्डसारी की स्टाक सीमा भी निर्धारित की है।

राज्यपाल ने कहा कि राज्य सरकार किसानों की आय में वृद्धि के लिए काम कर रही है, गन्ना किसानों की खुशहाली के लिए उनकी सरकार ने प्रति हेक्टयर उत्पादन में वृद्धि तथा उपज का वाज़िब व लाभकारी मूल्य दिलाने के लिए इस वर्ष वर्ष घोशित राज्य परामिश्रित मूल्य में गत वर्ष के सापेक्ष 25 रूपये प्रति कुन्तल की अभूतपूर्व वृद्धि की है। उन्होंने कहा कि पिछले दो वर्षो में प्रदेश की योजना का आकार दोगुना हो गया। चालू वित्तीय वर्ष में विश्व व्यापी मन्दी के बावजूद प्रदेश की विकास दर में सुधार के आसार हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश की प्रतिव्यक्ति आय में निरन्तर इजाफा हो रहा है और वर्ष 2008-09 में प्रतिव्यक्ति आय बढ़ कर 18,710 रूपये हो गई है।

श्री जोशी ने कहा कि उनकी सरकार ने अन्यायमुक्त, अपराधमुक्त एवं भयमुक्त वातावरण का सृजन करते हुए कानून का राज स्थापित किया है। विभिन्न आपराधिक एवं माफिया तत्वों के विरूद्ध प्रभावी कार्यवाही की गई है। कोई भी व्यक्ति कितना भी प्रभावशाली या ऊंची पहुंच वाला क्यों न हो, कानून तोड़ने पर उसके विरूद्ध कड़ी से कड़ी कार्यवाही की गई। प्रदेश में साम्प्रदायिक सौहार्द का माहौल बना है। किसी भी प्रकार का कोई जातिगत अथवा क्षेत्रगत तनाव या नक्सलवादी अथवा आतंकवादी घटनाएं घटित नहीं हुईं हैं। उन्होंने कहा कि लोकसभा सामान्य निर्वाचन-2009 भी स्वतन्त्र, निश्पक्ष एवं शान्तिपूर्ण रूप से निपटाये गये।

राज्यपाल ने कहा कि जनिशकायतों को गुणवत्तापरक निस्तारण के लिए सरकार ने तहसील एवं थाना दिवस की व्यवस्था लागू की है। सरकार ने पुलिसबल को सुदृढ़ करने के लिए दो लाख से अधिक पद सृजित करके नवसृजित पदों की भर्ती प्रक्रिया भी प्रारम्भ कर दी है। प्रथम चरण में 35 हजार पुलिस आरक्षियों की भर्ती प्रक्रिया निश्पक्ष एवं पारदर्शी ढंग से चल रही है।

श्री जोशी ने कहा कि वर्ष 2009-10 में सूखा के बावजूद खरीफ में 126.43 लाख मैट्रिक टन एवं रबी में 332.91 लाख मैट्रिक टन खाद्यान्न के उत्पादन का अनुमान है। उन्होंने कहा कि सरकार ने बेहतर उत्पादन के लिए 46.87 लाख कुन्तल बीज वितरण का प्राविधान किया था, जिसके सापेक्ष खरीफ में 7.94 लाख कुन्तल एवं रबी में 38.94 लाख कुन्तल बीज वितरित  किया गया। उर्वरक उपलब्धता की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि खरीफ 2009 में 29.90 लाख मैट्रिक टन तथा रबी में दिसम्बर, 2009 तक 24.91 लाख मैट्रिक टन उर्वरक का वितरण हुआ। किसानों को  नवीन तकनीक उपलब्ध कराने के लिए खरीफ एवं रबी के मौसमों में कृशि उन्नयन पखवारे का आयोजन किया गया। उन्होंने कहा कि प्रदेश के किसानों के लाभ के लिए सरकार द्वारा डी0ए0पी0 खाद का बफर स्टाक बढ़ाने का निर्णय लिया गया है।

राज्यपाल ने कहा कि प्रदेश में औद्यानिक फसलों के उत्पादन में वृद्धि की अपार सम्भावनाएं विद्यमान हैं। राज्य, आलू व शाकभाजी के उत्पादन में पूरे देश में प्रथम तथा फल में दूसरे स्थान पर है। उन्होंने कहा कि किसानों की माली हालत सुधारने के लिए पुष्पो तथा मसालों की खेती को प्रोत्साहित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सरकार समादेश क्षेत्र विकास एवं जल प्रबन्धन कार्यक्रम के अन्तर्गत सिंचाई प्रणालियों में उपलब्ध जल के प्रबन्धन के माध्यम से कृशि उत्पादन में वृद्धि करने का प्रयास कर रही है। सोडिक लैण्ड रिक्लेमेशन परियोजना के तृतीय चरण में आगामी छ: वर्षो के दौरान 2.4 लाख आर्थिक रूप से कमजोर कृशक परिवारों को लाभन्वित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सिंचन क्षमता में वृद्धि के लिए मुख्य एवं मध्यम सिंचाई की परियोजनाओं को चरणबद्ध ढंग से पूर्ण किया जायेगा। उन्होंने कहा कि जल उपभोक्ता समितियों को अधिकार प्रदत्त करने हेतु उत्तर प्रदेश वाटर मैनेजमेंट रेग्यूलेटरी कमीशन एक्ट तथा सहभागी सिंचाई प्रबन्धन अधिनियम-2009 लागू किया गया है। वर्ष 2009-10 में अल्पकालीन फसली ऋण के रूप में 2600 करोड़ रूपये लक्ष्य के सापेक्ष दिसम्बर, 2009 तक 1826.42 करोड़ रूपये तथा 371.91 करोड़ रूपये दीर्घकालीन ऋण का वितरण किया गया है। किसानों को दूध का लाभकारी मूल्य दिलाने के लिए दुग्धशाला विकास कार्यक्रम चलाया जा रहा है।

श्री जोशी ने कहा कि उनकी सरकार छठे केन्द्रीय वेतन आयोग की संस्तुतियों को राज्य कर्मचारी, स्थानीय निकाय, जिला पंचायत, जल संस्थान एवं विकास प्राधिकरणों तथा राज्य पोशित स्वायत्त शासी संस्थाओं के कार्मिकों के लिए लागू करने वाले प्रदेशों में अग्रणी रही है। इसी के साथ उनकी सरकार ने सार्वजनिक उपक्रमों/निगमों के कार्मिकों को एवं कार्यप्रभारित कार्मिकों को पुनरीक्षित वेतन संरचना का लाभ प्रदान करने के साथ-साथ राजकीय कर्मचारियों के लिए सुनिश्चत कैरियर प्रोन्नत व्यवस्था भी लागू की। राज्य सरकार ने पेंशनभोगी कर्मचारियों को भी पुनरीक्षित पेंशन का लाभ प्रदान किया है। उन्होंने कहा कि कर्मचारियों और पेंशनरों के हित में उठाये गये इन कदमों से प्रदेश सरकार पर काफी अधिक व्यय भार बढ़ा है।

राज्यपाल ने कहा कि राष्ट्रीय राज्यमार्ग तथा राजमार्गो के रख-रखाव एवं उनके उच्चीकरण हेतु केन्द्र सरकार द्वारा पर्याप्त धनराशि उपलब्ध नहीं कराई जा रही है। उन्होंने कहा कि इस वर्ष 1424 करोड़ रूपये के प्रस्ताव केन्द्र को भेजे गये परन्तु केन्द्र द्वारा कोई भी धनराशि केन्द्रीय मार्ग निधि के अन्तर्गत स्वीकृत नहीं की गई। उन्होंने कहा कि राज्य के सहयोग के बावजूद नेशनल हाई-वे अथॉरिटी ऑफ इण्डिया की परियोजनाओं में गति नहीं आ पा रही है। इसी प्रकार प्रधानमन्त्री ग्राम सड़क योजना की लगभग 6000 करोड़ रूपये के प्रस्ताव भारत सरकार के ग्राम विकास मन्त्रालय में लिम्बत है।

श्री जोशी ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में विकास कार्यों को प्राथमिकता पर कराने के लिए राज्य सरकार ने डॉ0 अम्बेडकर ग्राम सभा विकास योजना की संरचना एवं स्वरूप में व्यापक परिवर्तन करते हुए डॉ0 अम्बेडकर समग्र विकास योजना लागू की है। इस योजना के अन्तर्गत 5598 ग्राम सभाओं को समस्त कार्यक्रमों से सन्तृप्त किया गया है। उनकी सरकार ने पहली बार डॉ0 अम्बेडकर ग्राम सभाओं में सी0सी0रोड व के0सी0 ड्रेन का निर्माण आबादी के आन्तरिक मार्गों के लिए महत्वाकांक्षी कार्यक्रम प्रारम्भ किया है। उनकी सरकार ने इन गांवों की अनुसूचित जाति की बस्तियों में 10,000 सोडियम लाईट लगाने का कार्य भी शुरू किया है।

राज्यपाल ने कहा कि उनकी सरकार औद्योगिक विकास के लिए यमुना एक्सप्रेस वे, ग्रेटर नोएडा, नोएडा, गीडा, लीडा, बीडा आदि विकास प्राधिकरणों के गठन किये हैं। पब्लिक प्राइवेट पार्टीसिपेशन के तहत मेडिकल कॉलेज, पैरामेडिकल कालेज, पॉलिटेकनिक, आई0टी0आई0 आदि स्थापित किये जा रहे हैं। औद्योगिक वातावरण सृजित करने के फलस्वरूप 57,965 करोड़ रूपये का पूंजी निवेश प्रदेश में हुआ है। सरकार ने पी0पी0पी0 के अन्तर्गत विश्वस्तरीय प्रवेश नियन्त्रित आठ लेन की 1,047 किमी0 लम्बी गंगा एक्सप्रेस-वे, छ: लेन की 165 किमी0 लम्बी यमुना एक्सप्रेस-वे तथा ग्रेटर नोएडा से उत्तरांचल सीमा के निकट अपर गंगा कैनाल के तट पर एक्सप्रेस-वे बनाने का निर्णय लिया। इसके अतिरिक्त बारा एवं करछना में तापीय विद्युत परियोजनाए, कानपुर एवं आगरा में इनपुट बेस्ड विद्युत वितरण फ्रेन्चाइजी का चयन, नौ शहरों में सॉलिड वेस्ट मैनेजमेन्ट, आठ पॉलिटेकनिक, छ: आई0टी0आई0 एवं आगरा में इनर रिंग रोड भी पी0पी0पी0 के आधार पर बनाने का निर्णय लिया है।

श्री जोशी ने कहा कि उनकी सरकार समस्त बच्चों को कक्षा आठ तक शिक्षा दिलाने हेतु कृतसंकल्प है। उन्होंने कहा कि परिशदीय विद्यालयों में बच्चों के डिजीटल फोटोग्राफी करायी जा रही है। असेवित बस्तियों में प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों की स्थापना, शैक्षिक द्रष्टि से पिछड़े विकास खण्डों में 545 कस्तूरबा गांधी विद्यालय, जिनमें से 171 अल्पसंख्यक बहुल्य क्षेत्रों में खोले गये हैं। प्रदेश के 154 लाख बच्चों को मध्यान्ह भोजन तथा सूखाग्रस्त जनपदों में ग्रीश्म अवकाश भोजन की भी व्यवस्था की गई है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार द्वारा “सावित्रीबाई फुले बालिका शिक्षा मद्द योजना´´ के तहत अब तक 3,03,813 छात्राओं को लाभान्वित किया गया। राज्य सरकार ने उच्च शिक्षा के प्रसार और इसमें गुणात्मक सुधार के लिए कई कदम उठाये हैं। प्रदेश में उर्दू, अरबी, फारसी भाशाओं को बढ़ावा देने के लिए उत्तर प्रदेश उर्दू, अरबी, फारसी विश्वविद्यालय लखनऊ की स्थापना की गई है। अनुसूचित जाति/जनजाति के समाजिक, आर्थिक उन्नयन के लिए बान्दा एवं बिजनौर में आई0टी0 आधारित इंजीनियरिंग कालेज की स्थापना करने का निर्णय लिया गया है। इसके अतिरिक्त अलीगढ़ एवं कानपुर देहात में महामाया पॉलीटेकनिक आफ इन्फारमेंशन टेक्नॉलाजी कालेजों की स्थापना का निर्णय लिया गया है।

राज्यपाल ने कहा कि प्रदेश सरकार  उत्क्रष्ट कलाकारों को मान्यवर श्री कांशीराम कला सम्मान पुरस्कार पहले से ही दे रही है। कलाकारों के लिए इस वर्ष से सन्त रविदास कला सम्मान पुरस्कार योजना भी प्रारम्भ की जा रही है। सरकार ने छात्रवृत्ति योजना के अन्तर्गत लगभग एक करोड़ चालीस लाख अनुसूचित जाति/जनजाति एवं सामान्य जाति को सुविधा मुहैया करायी है। इसके अलावा 31,68,742 अल्पसंख्यक छात्रों को छात्रवृत्ति से आच्छादित किया गया है। उन्होंने कहा कि छात्रवृत्ति योजना में पारदर्शिता एवं समयशीलता लाने के लिए इसका पूर्ण कम्प्यूटराईजेशन किया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार ने विभिन्न पेंशन योजनाओं से 40 लाख लाभार्थियों को सुविधा मुहैया करायी है। अनुसूचित जनजाति और अन्य परम्परागत वननिवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम-2006 का क्रियान्वयन तत्परता से कर रही है। समाज में बालिकाओं के जन्म के प्रति सकारात्मक सोच लाने के उद्देश्य से “महामाया गरीब बालिका आशीर्वाद योजना´´ का क्रियान्वयन करते हुए अबतक 62,284 बालिकाओं को सावधि जमा प्रमाण-पत्र उपलब्ध कराया है।

श्री जोशी ने कहा कि राज्य सरकार, उपनिबंधक कार्यालयों में पंजीयन का कार्य कम्प्यूटरीकृत प्रणाली से किये जाने की परियोजना संचालित कर रही है। इसके अतिरिक्त नेशनल लैण्ड रिकार्ड माडर्नाईजेशन प्रोग्राम चलाने का भी निर्णय लिया गया है। गामीण क्षेत्रों में स्वच्छ पर्यावरण उपलब्ध कराने के लिए 95,060 सफाई कर्मिकों की तैनाती की गई है। सरकार ने वैट प्रणाली को बेहतर बनाने के लिए चेक पोस्टों को समाप्त कर दिया है तथा एक करोड़ रूपये से ऊपर के टर्न ओवर वाले व्यापारियों को ई-रिर्टन की सुविधा अनुमन्य की है।

राज्यपाल ने कहा कि उनकी सरकार मा0 श्री कांशीराम जी शहरी गरीब आवास योजना के तहत बी0पी0एल0 नगरीय निवासियों के लिए प्रथम चरण में एक लाख एक हजार आवास के सापेक्ष 81,640 आवासों का निर्माण पूर्ण करा चुकी है। नगरीय क्षेत्रों में अवस्थापना सुविधाओं के विकास के लिए जवाहर लाल नेहरू नेशनल अर्बन रिन्युवल मिशन कार्यक्रम कड़ाई से संचालित करा रही है। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्र में तात्कालिक आवश्यकता की परियोजनाओं हेतु निकायों को ब्याज रहित ऋण उपलब्ध कराने के लिए मा0 कांशीराम जी नगर विकास योजना संचालित की जा रही है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार नदियों को प्रदूशण मुक्त करने के लिए कृत संकल्प है। इसी क्रम में 23 नगरों के अन्तर्गत नदी प्रदूशण नियन्त्रण के कार्य कराये जा रहे हैं।

श्री जोशी ने कहा कि पिछड़ी जातियों के लिए संचालित पूर्वदशम छात्रवृत्ति योजना में 50 प्रतिशत तथा दशमोत्तर छात्रवृत्ति एवं शुल्क प्रतिपूर्ति योजना में शत-प्रतिशत केन्द्र सरकार द्वारा सहायता उपलब्ध कराने का प्रावधान है। परन्तु इन योजनाओं के तहत केन्द्र द्वारा देयता के सापेक्ष बहुत नगण्य धनराशि उपलब्ध करायी गई। इन योजनाओं का अधिकांश व्यय भार राज्य सरकार को वहन करना पड़ रहा है। राज्य सरकार ने इन योजनाओं के तहत अब तक 2,07,07,135 पिछड़े वर्ग के छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति उपलब्ध कराने हेतु 838.15 करोड़ रूपये की धनराशि की व्यवस्था की है। इन योजनाओं के तहत प्रदेश को भारत सरकार से 2074 करोड़ रूपये अभी तक प्राप्त नहीं हुए हैं।

राज्यपाल ने कहा कि उत्तर प्रदेश को भगवान बुद्ध के जीवन की विभिन्न घटनाओं से जुड़े रहने का गौरव हासिल है। विदेशी एवं भारतीय पर्यटकों को सुविधा प्रदान करने के लिए उनकी सरकार ने बौद्ध परिपथ के बहुआयामी विकास तथा कुशीनगर एवं सारनाथ में विभिन्न विकास योजनाएं संचालित की हैं। राज्य सरकार कुशीनगर में निजी सहयोग से अन्तर्राश्ट्रीय हवाई अड्डा विकसित करने का निर्णय लिया है। हमारी सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार के अवसर सृजित करने तथा अवस्थापना सुविधाओं के विकास के लिए निरन्तर प्रयास कर रही है। उन्होंने कहा कि मनरेगा, इिन्दरा आवास योजना, महामाया आवास योजना, महामाया सर्वजन आवास योजना को प्रभावी रूप से संचालित किया जा रहा है। प्रदेश सरकार ने स्मार्ट कार्ड ड्राइविंग लाइसेंस हेतु सारथी सॉफ्टवेयर आधारित ड्राइविंग लाइसेंस जारी करने का निर्णय लिया है। प्रदेश में परिवहन सुविधा उपलब्ध कराने हेतु 988 नई बसें परिवहन निगम के बेड़े में सम्मिलित की गई हैं।

श्री जोशी ने कहा कि राज्य सरकार को केन्द्र द्वारा बी0पी0एल0, ए0पी0एल0 और अन्त्योदय योजना की मदों में लगभग 3370 करोड़ रूपये की सिब्सडी अभी तक प्राप्त नहीं हुई है, फिर भी राज्य सरकार अपने सीमित संसाधनों से इन योजनाओं को संचालित कर रही है। सार्वजनिक वितरण प्रणाली के सम्बन्ध में लोगों की समस्याओं के त्वरित निराकरण के लिए कॉल सेण्टर की स्थापना की गई है। उनकी सरकार ने खाद्यान्न की कमी वाले सूखा एवं दैवीय आपदा से प्रभावित बुन्देलखण्ड एवं पूर्वांचल के नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में 781 ग्रामीण खाद्यान्न बैंक स्थापित किये हैं। राज्य सरकार ने उत्तर प्रदेश जमीन्दारी विनाश अधिनियम-1950 की धारा-122 `ख´ (4 ख) में संशोधन करके ग्राम सभा की भूमि पर अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के व्यक्तियों के मई 13, 2007 तक के कब्जे को भी विनियमित किया है। इसी प्रकार शहरी क्षेत्रों में गरीब बस्तियों के अन्तर्गत अनाधिकृत रूप से बसे बी0पी0एल0 परिवारों को उनके आवासों का मालिकाना हक दिलाने हेतु सरकार ने सर्वजन हिताय गरीब आवास योजना लागू की है।

राज्यपाल ने कहा कि उनकी सरकार ने कारागारों में निरूद्ध बिन्दयों को स्वावलंबी एवं कार्यकुशल बनाने के उद्देश्य से विभिन्न केन्द्रीय कारागारों में कारागार उद्योगों की स्थापना की है। प्रदेश में घनी आबादी के मध्य आने वाले 09 जनपदों के कारागारों को शहर से बाहर स्थानान्तरित करके नवीन कारागारों के निर्माण एवं कारागार विहीन 13 जनपदों में जिला कारागारों के निर्माण का निर्णय लिया है। प्रदेश में विकलांगजनों को समाज की मुख्य धारा में जोड़ने के लिए राज्य सरकार ने कई कदम उठाये हैं। इसी क्रम में डॉ0 शकुन्तला मिश्रा पुनर्वास विश्वविद्यालय लखनऊ की स्थापना की है, जिसमें विशेश शिक्षा संकाय के छ: पाठ्यक्रमों का संचालन शुरू हो चुका है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार स्वास्थ्य सुविधाओं को बढ़ावा देने के लिए निरन्तर प्रयास कर रही है। इसी दिशा में राजकीय ऐलोपैथिक मेडिकल कॉलेज कन्नौज, उरई (जालौन) में भवनों का निर्माण अन्तिम चरण में है। उन्होंने कहा कि पूर्वांचल में ए0ई0एस0 एवं जे0ई0एस0 से बचाव के लिए 3.50 करोड़ बच्चों को टीका लगाकर उन्हें सुरक्षा प्रदान की गई है। इसके अतिरिक्त जननी सुरक्षा योजना को भी प्रभावी रूप से लागू किया जा रहा है। प्रदेश में नकली, अधोमानक तथा मिलावटी खाद्य पदार्थो की रोकथाम के लिए खाद्य एवं औधि प्रशासन विभाग का गठन किया गया है।

राज्यपाल ने कहा कि उनकी सरकार प्रदेश में विद्युत की कमी दूर करने के लिए पी0पी0पी0 के माध्यम से स्थापित की जानी वाली परियोजनाओं के लिए निवेशकर्ताओं का चयन पूर्ण कर चुकी है तथा निविदा प्रक्रिया अन्तिम चरण में है। राज्य सरकार ने ग्यारहवीं पंचवर्षीय योजना की बची हुई अवधि में लगभग 7000 मेगावाट तथा बारहवीं पंचवर्षीय योजना में 25,000 मेगावाट अतिरिक्त विद्युत क्षमता स्थापित करने के लिए परियोजनाएं चिन्हित करके कार्यवाही शुरू कर दी है।

सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
upnewslive.com

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