उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव श्री जावेद उस्मानी ने निर्देश दिए हैं कि गोमती रीवर फ्रंट परियोजना के विकास हेतु विस्तृत परियोजना रिपोर्ट यथाशीघ्र तैयार कर सक्षम स्तर से अनुमोदन प्राप्त किया जाए। उन्होंने कहा कि परियोजना के अन्तर्गत कुढिया घाट सेक्शन, पक्का पुल से डालीगंज पुल सेक्शन, डालीगंज पुल से हनुमान सेतु, हनुमान सेतु से निशातगंज पुल, निशातगंज पुल से गोमती बैराज आदि स्थलों को विकसित करने हेतु जनसाधारण से भी आमंत्रित सुझावों को समावेश कर लिया जाए। गोमती रीवर फ्रंट परियोजना की विस्तृत परियोजना रिपोर्ट को मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुतीकरण भी कराया जाए।
मुख्य सचिव सचिवालय स्थित अपने कार्यालय कक्ष के सभागार में गोमती रीवर फ्रंट परियोजना की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हाइड्रोलाॅजिकल स्टडी का कार्य शीघ्रताशीघ्र पूर्ण कराया जाये तथा सम्पूर्ण परियोजना के उभय तटों का कान्सेप्चुअल प्लान भी तैयार करा लिया जाए। उन्होंने कहा कि मनोरंजनात्मक क्षेत्र, विकास हेतु उपलब्ध खुली भूमि का उपयोग कर जनोपयोगी बनाया जाए।
श्री उस्मानी ने परियोजना के क्रियान्वयन हेतु लखनऊ विकास प्राधिकरण को नोडल एजेन्सी नामित करते हुए कहा कि परियोजना के कार्याें में तेजी लाकर विस्तृत कार्ययोजना तैयार की जाए। उन्होंने कहा कि गोमती तटों के विकास हेतु पूर्व में आवंटित नगर विकास अथवा अन्य विभाग को आवंटित धनराशि से कराये जाने वाले कार्याें को इस परियोजना में समाविष्ट करने हेतु आवश्यक अनुमोदन तत्काल करा लिया जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि परियोजना के अन्तर्गत जनसुविधाओं को दृष्टिगत रखते हुए साइकिल ट्रैक एवं पर्यटन स्थल आदि बनाए जायें, ताकि अधिकाधिक लोग आकर्षित होकर लखनऊ शहर की सुन्दरता से लाभान्वित हो सकें। उन्होंने कहा कि पर्यटकों को आकर्षित करने के दृष्टिकोण से भी घाटों का सुन्दरीकरण एवं विकास कराया जाए।
बैठक में प्रमुख सचिव आवास श्री शम्भू नाथ शुक्ला, उपाध्यक्ष लखनऊ विकास प्राधिकरण श्री रजनीश दुबे, मण्डलायुक्त लखनऊ श्री संजीव मित्तल सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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