उत्तर प्रदेश के परिवहन मंत्री राजा महेन्द्र अरिदमन सिंह ने परिवहन कार्यालयों द्वारा फर्जी ड्राइविंग लाइसेंस जारी किये जाने तथा दलालों के माध्यम से लाइसेंस बनवाने की शिकायतों को गम्भीरता से लेते हुए परिवहन आयुक्त को निर्देश दिये हैं कि फर्जी लाइसेंस जारी किया जाना तथा दलालों के माध्यम से ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने को हर हालत में कड़ाई से रोका जाए।
परिवहन मंत्री ने आज यहां सचिवालय स्थित अपने कार्यालय में आयोजित बैठक में इस आशय के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि यह बड़े खेद की बात है कि बार-बार निर्देश दिये जाने के बावजूद भी ड्राइविंग लाइसेंस जारी करने में सावधानी नहीं बरती जा रही है। उन्होंने वर्षों से एक ही स्थान पर जमे कार्मिकों के तत्काल पटल परिवर्तन के निर्देश दिए।
परिवहन मंत्री के निर्देश पर त्वरित कार्रवाई करते हुए परिवहन आयुक्त श्री आलोक कुमार ने सभी उप परिवहन आयुक्तों, सम्भागीय एवं सहायक सम्भागीय परिवहन अधिकारियों को निर्देश जारी करते हुए कहा है कि लर्निंग लाइसेंस तथा स्थायी ड्राइविंग लाइसेंस चाहने वाले आवेदकों के पते व आयु संबंधी साक्ष्यों की सावधानी से चेकिंग की जाय तथा चेक करने वाले कार्मिकों एवं अधिकारियों द्वारा प्रपत्र ‘‘चेक किया’’ लिखा जाए तथा हस्ताक्षर करने के उपरान्त नाम व पदनाम वाली मुहर भी लगायी जाए।
जारी निर्देश में कहा गया है कि लाइसेंस संबंधी प्रत्येक आवेदन पत्र यथा शिक्षार्थी लाइसेंस, स्थायी ड्राइविंग लाइसेंस तथा लाइसेंस के नवीनीकरण आदि संबंधी आवेदनों के साथ रजिस्टर्ड डाक या स्पीड पोस्ट के अनुरूप डाक टिकट लगा लिफाफा पते के साथ प्रत्येक आवेदक से अनिवार्य रूप से लिया जाए। यह भी सुनिश्चित किया जाए कि लिफाफे पर लिखा पता आवेदन पत्र में लिखे पते के अनुरूप हो। यह भी सुनिश्चित किया जाए कि कोई भी लाइसेंस किसी भी आवेदक या अन्य व्यक्ति को सीधे न दिया जाए तथा सभी तरह के लाइसेंस रजिस्टर्ड डाक से आवेदक के दिए गये पते पर ही भेजा जाए। डाक से भेजे गये लाइसेंसों के रिकार्ड कार्यालय में रखा जाए। डाक से लाइसेंस भेजने जाने की व्यवस्था आगामी एक सितम्बर से लागू होगी।
परिवहन विभाग के क्षेत्रीय कार्यालयों में लिपिकों के पटल परिवर्तन के संबंध में सभी अधिकारियों को निर्देश दिये गये हैं कि एक पटल पर 3 वर्ष से अधिक समय से कार्य करने वाले सभी कार्मिकों के पटल परिवर्तन का कार्य आगामी 3 सितम्बर तक बिना किसी अपवाद के अनिवार्य रूप से पूरे कर लिए जाएं तथा अनुपालन आख्या 5 सितम्बर तक मुख्यालय को भेजे जाएं। पटल परिवर्तन न करने वाले अधिकारियों को प्रतिकूल प्रविष्टि दी जाएगी।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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