केराकत तहसील में आय, जाति व निवास प्रमाण पत्र के लिये बच्चों महीनों से परेशान हो रहे हैं। शिक्षा प्रेरक की नियुक्ति हेतु निवास प्रमाण पत्र की अनिवार्यता है। देखा जा रहा है कि तहसील परिसर में प्रमाण पत्र लेने के लिये लोगों की भारी भीड़ लगी हुई है जहां उपजिलाधिकारी भी नहीं दिखायी पड़ते हैं।
दूर-दराज से आने वाले लोग सत्तासीन सरकार को कोसते हुये वापस घर लौट जा रहे हैं। सरकार की नयी नियुक्ति प्रणाली मंे जनसेवा केन्द्र व लोक प्रणाली द्वारा प्रत्यक्ष प्रमाण पत्र की प्रक्रिया में बताया गया कि जाति, आय, निवास प्रमाण पत्र में 40 रूपया फीस लिया जाता है लेकिन ऐसी विषम परिस्थितियों में प्रमाण पत्र कैसे निर्गत हो, यह एक विडम्बना ही कही जा सकती है। कुल मिलाकर लोगों का भविष्य अधर में लटका हुआ है। एक-एक माह का जाति, आय, निवास प्रमाण पत्र आज तक बच्चों को नहीं मिल पाया। जनता में चर्चा है कि यह नाजिर के करामत का खेल है। आरोप है कि जिनसे सुविधा शुल्क मिल गया, उसको प्रमाण पत्र जारी कर दिया गया है तथा जो नहीं दिये, वे दौड़ाये जा रहे हैं।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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