उत्तर प्रदे’ा में मृदा की उर्वरता एवं उत्पादकता में निरन्तर न्हास की समस्या को दृष्टिगत रखते हुये प्रदे’ा सरकार ने निर्णय लिया है कि सल्फर, जिंक सल्फेट, जिप्सम एवं सूक्ष्म पो”ाक तत्वों के उपयोग को बढ़ावा देने के लिये कृ”ाकों को 75 प्रति’ात अनुदान पर इनकी उपलब्धता करायी जायगीे। राज्य सरकार का यह अनुभव रहा है कि भारत सरकार द्वारा देय अनुदान पर भी कृ”ाकों द्वारा इन पो”ाक तत्वों का आ’ाातीत उपयोग नहीं हो पा रहा है। अत: कृ”ाकों को इन पर राज्य से भी अनुदान देते हुये कृ”ाकों को प्रोत्साहित किया जायेगा।
इस संबंध में कृि”ा मंत्री श्री आनंद सिंह ने बताया कि प्रदे’ा की मृदा में पो”ाक तत्वों की कमी से फसलों की गुणवत्ता एवं उत्पादकता पर प्रतिकूल प्रभाव होता है। अत: इन तत्वों की कमी को दूर करने के लिये जिंक सल्फेट , जिप्सम एवं माइक्रोन्यूट्रिएन्ट मिश्रण के प्रयोग की संस्तुति वैज्ञानिकों द्वारा की गयी है। कृ”ाकों में सूक्ष्म पो”ाक तत्वों की महत्ता की पर्याप्त जानकारी का अभाव एवं आर्थिक कारणों से इन तत्वों के प्रयोग पर अधिक ध्यान नहीं दिया जा रहा है जिसके कारण इनका प्रयोग आव’यकता के अनुरूप नहीं हो पा रहा है।
कृि”ा मंत्री ने बताया कि अनुदान योजना समस्त श्रेणी के कृ”ाकों के लिये अनुमन्य होगी। इनके वितरण का मुख्य आधार ´´मृदा स्वास्थ्य कार्ड´´ होगा, जिसमें खेत एवं फसल का विवरण अंकित होगा, उसी के आधार पर मात्रा का निर्धारण कर कृ”ाकों को पो”ाक तत्व की मात्रा उपलब्ध करायी जायेगी। वितरण में लघु एवं सीमान्त कृ”ाकों को प्राथमिकता दी जायेगी। उन्होंने कहा कि प्रदे’ा सरकार ने यह भी निर्णय लिया है कि इस योजना का लाभ अधिक से अधिक कृ”ाकों तक पहुंचे, इसके लिये प्रचार एवं प्रसार पर भी वि’ो”ा बल दिया जाये।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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