भारतीय जनता पार्टी ने कहा कि बसपा सरकार मे हुए घोटालो पर पर्दा डालने आरोपियों को बचाने जैसी सराफत से सरकार बाज आये। प्रदेश प्रवक्ता विजय बहादुर ने कहा कि नोयडा फार्म हाउस घोटाले के मामले पर सच कौन बोल रहा है। मुख्यमंत्री अथवा लोकायुक्त ?
प्रदेश भाजपा मुख्यालय पर नियमित ब्रिफिंग के दौरान प्रदेश प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक ने कहा कि सरकार के कद्दावर मंत्री आजम खांॅ कहते है कि पिछले पांच साल की अंधेरगर्दी व लूट का हिसाब नही लिया है तो सरकार कि सराफत को कमजोरी न समझा जाये। पार्टी का चुनाव घोषणा पत्र बनाते समय जो वादे किए गए थे उन्हे पूरा करने मे अखिर क्या कठिनाई है। सपा ने अपने घोषणा पत्र के पृष्ठ संख्या 20 पर कहा कि “ पिछले पाॅच वर्ष में हुए भ्रष्टाचार की जाॅंच एक आयोग के द्वारा करायी जायेगी जो निश्चित समय सीमा के अन्दर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करेगी “ तब मंत्री को यह नही लग रहा था कि यह बदले की कार्यवाही दिखेगी ? तो अब जांच न कराने के क्यो बहाने खोजे जा रहे है। वह भी तब जब मुख्यमंत्री लगातार अपने चुनावी घोषणा पत्र की सभी बातो को पूरा करने का वादा करते नही थकते है।
उन्होंने कहा कि “लोकायुक्त की संस्था को न केवल मजबूत बनाना जरूरी है अपितु उसे बहु सदस्यीय बनाना भी आवश्यक है। उसके नियंत्रण में अनुसंधान पुलिस शाखा को सुपुर्द करना भी आवश्यक है“ का वादा इसी घोषण पत्र मे किया गया था। किन्तु अपने घोषणा पत्र से इतर लोकायुक्त संस्था को कहां बहुसदस्यीय बनाते और नही तो इसे आर.टी.आई. के दायरे से ही बाहर कर दिया। आखिर किसे बचाने के लिए। कही ऐसा तो नही की पिछली सरकार के 7 मंत्रियो को जिस तरह लोकायुक्त की जांच मे आने पर कुर्सी गवानी पड़ी। उसको देखते हुए आगे के दिनो मे इस सरकार के मंत्रीगण को बचाने के लिए पेशबन्दी तो नही ।
श्री पाठक ने कहा कि आखिर जांच के मामलो पर कौन सी शक्तियाॅ है जिसके कारण मुख्यमंत्री अखिलेश यादव को बार-बार अलग-अलग बयान देना पड़ रहा है। नोयडा फार्म हाउस घोटालो के मामलो मे सच कौन बोल रहा है मुख्यमंत्री अथवा लोकायुक्त। जब इस मामले पर प्ररम्भिक जांच हो चुकी है। रिपोर्ट सरकार के पास आ चुकी है। वरिष्ठ लोगों समेत लखनऊ 14 अफसरों की भुमिका संदिग्ध पायी गयी है। अब बजाय इस प्राथमिक जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्यवाही करने के मुख्यमंत्री कह रहे है कि इसे लोकायुक्त को जांच करने के लिए कहा गया है। जब कि लोकायुक्त ने साफ किया है कि उन्हे अभी तक मौखिक था लिखित किसी भी रूप मे नोएडा फार्म हाउस घोटाले की जांच सौपे जाने की सूूचना नही है। आखिर सच कौन बोल रहा है।
श्री पाठक ने मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से आग्रह किया कि वे भ्रमित होने की बजाय अपने वादो को पूरा करने का काम करे। अपने वादे के अनुरूप भ्रष्टाचार के विरूद्ध कठोर कार्यवाही कराये।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
agnihotri1966@gmail.com
sa@upnewslive.com