नागरिक उड्डयन मंत्री एवं राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष चै. अजित सिंह ने केन्द्रीय सेवाओं में जाट आरक्षण के मुद्दे को लेकर केन्द्रीेय गृहमंत्री श्री पी. चिदम्बरम से आज नाॅर्थ ब्लाॅक, नई दिल्ली में मुलाकात की।
चै. अजित सिंह ने गृहमंत्री से मांग की कि जाट आरक्षण के मुद्दे को जल्द सुलझाया जाए जिससे कि सभी वर्गों में समानता लाई जा सके तथा जाटों को उनके अधिकार दिलाए जा सकें। कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव श्री दिग्विजय सिंह तथा चै. अजित सिंह ने श्री चिम्बरम से पहले भी कई बार मुलाकात कर यह मुद्दा उठाया है। गौरतलब है कि रालोद राष्ट्रीय अध्यक्ष ने यह मुद्दा केबिनेट में भी उठाया है।
कांग्रेस और रालोद जाट आरक्षण के मुद्दे को लेकर मुखर हैं। पिछड़ा वर्ग आयोग ने केन्द्रीय सेवाओं में जाट आरक्षण की समीक्षा की मांग को खारिज कर दिया था लेकिन कांग्रेस और रालोद की कोशिशों के कारण केन्द्र सरकार ने पिछले वर्ष नियमों में बदलाव किया। इन्हीं कोशिशों की वजह से पिछड़ा वर्ग आयोग दोबारा इस मुद्दे की सामीक्षा कर रहा है। श्री चिदम्बरम ने आश्वासन दिया है कि पिछड़ा वर्ग आयोग इस पर विधिपूर्वक समीक्षा कर अपनी रिपोर्ट जल्द ही सौपेंगा।
इस मौके पर चै. अजित सिंह ने संवाददाताओं से बातचीत के दौरान कहा कि जाट आरक्षण को लेकर केन्द्रीय गृहमंत्री से मुलाकात सकारात्मक रही। गृहमंत्री ने इस मसले को जल्द ही सुलझाने का आश्वासन दिया है।
चै. अजित सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, राजस्थान, महाराष्ट्र तथा मध्य प्रदेश जैसे कई राज्यों में जाटों को पिछड़ी जाति में शामिल किया जाता है। हरियाणा राज्य में इस मुद्दे को लेकर अलग आयोग भी बनाया गया है। जब जाटों को राज्यों में पिछड़ा वर्ग में शामिल किया जाता है तो केन्द्र में क्यों नहीं?
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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