- फलों की खेती व बकरी पालन के साथ उद्यान, पशुपालन को प्रोत्साहन
- मुख्य विकास अधिकारी द्वारा किसानों की आमदनी में वृद्वि पर विशेष बल
कृषि तकनीकी प्रबन्ध अभिकरण (आत्मा) के गर्वनिंग बोर्ड की आज विकास भवन पर आयोजित बैठक में वर्ष 2012-13 के लिए 282 लाख रूपये की जिला कृषि कार्य योजना अनुमोदित की गई। कार्य योजना कृषि निदेशालय के माध्यम से भारत सरकार को प्रेषित की जायेगी। बैठक की अध्यक्षता करते हुए मुख्य विकास अधिकारी डा0 रूपेश कुमार ने फसल उत्पादन में वृद्वि के उपायों के साथ उद्यान, मत्स्यपालन, पशुपालन आदि विभागों की योजनाओं को समन्वित करते हुए किसानों की आमदनी बढाने पर बल दिया।
उन्होंने फूलों की खेती को प्रोत्साहन दिये जाने की चर्चा करते हुए ट्यूलिप और आर्किड की खेती की ओर किसानों का ध्यान आकर्षित किया। उन्होंने कहा कि नागरिकों में बकरी पालन हेतु रूझान बढा है। बकरी अनुसंधान केन्द्र भी निकट ही कार्यरत है। नाबार्ड द्वारा बकरी पालन हेतु अनुदान देय है। किसाानों द्वारा बकरी पालन हेतु बैंको द्वारा ऋण देने में रूचि न लेने की जानकारी दी गई। मुख्य विकास अधिकारी ने बैठक में उपस्थित लीड बैंक प्रबन्धक तथा जिला विकास प्रबन्धक नाबार्ड को शिकायत पर प्रभावी कार्यवाही के निर्देश दिये।
उन्होंने विकास खण्ड स्तर पर कार्यरत कृषि सूचना एवं परामर्श केन्द्रों (FIAC) को प्रभावी बनाने, किसान पाठशालाओं के नियमित आयोजन, क्षमता वृद्धि हेतु किसान समूहों के गठन हेतु निर्देश दिये। किसान मेलों व फसल प्रदर्शन के अलावा गत वर्ष की भांति किसानों के भ्रमण कार्यक्रम आयोजित कराने हेतु निर्देश दिये। बैठक में फारमर अवार्ड (किसान सम्मान) हेतु ढाई लाख रूपये की धनराशि स्वीकृत की गई।
मुख्य विकास अधिकारी ने किसानों को नई तकनीकों, विभागीय योजनाओं तथा अनुदान आदि की नियमित जानकारी हेतु मासिक न्यूज लैटर का प्रकाशन प्रारम्भ करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि गत वर्ष जिन विभागों को धनराशि आवंटित की गई थी वे एक सप्ताह में उपयोग प्रमाण पत्र प्रस्तुत करें अन्यथा दण्डात्मक कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने योजना से लाभान्वित परिवारों/व्यक्तियों पर आधारित सफलता की कहानियां नियमित रूप से भेजने हेतु निर्देश दिये।
उप निदेशक कृषि अनिल कुमार तिवारी ने बैठक का संचालन करते हुए प्रगति आख्या तथा विभागवार अनुमोदित धनराशि की जानकारी, जिला उद्यान अधिकारी, मुख्य पशुचिकित्सा अधिकारी,सहायक निदेशक मत्स्य, कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिकों आदि ने विभागीय योजनाओं की जानकारी दी।
डा0 सुरेन्द्र पाल सिंह व डा0 आर. बी. सिंह द्वारा खारी पानी में सुधार और शुष्क खेती पर दिये सुझावों पर सहमति प्रकट करते हुए मुख्य विकास अधिकारी ने वाटर रिचार्ज के लिए 15 लाख रूपये की की कार्य योजना प्रस्तुत करने के निर्देश दिये।
बैठक में परियोजना निदेशक राम रक्षपाल सिंह सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी तथा बंगाली बाबू अरेला, प्रेम नारायण त्यागी, वीरेन्द्र सिंह आदि विभिन्न विकास खण्डों से आये प्रगतिशील किसान उपस्थित थे।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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