जनपद की बाल विकास परियोजना का संचालन कर रही हजारो आंगन वाडी कार्यकत्रियों और सहायिकाओं को केन्द्र सरकार द्वारा बढाया गया मानदेय एक वर्ष बीत जाने के बाद भी नही मिला ।
हैरत है कि इस मंहगाई के दौर में इतने अल्प मानदेय मे परिवार चलाना मुस्किल हो रहा है कार्यकर्ताओं द्वारा प्रदेश स्तर पर पूर्व में चलाये गये धरना प्रदर्शन में पूर्ववर्ती माया सरकार के शासन स्तरीय अधिकारियों ने मात्र आश्वासन ही दिया यहां तक कि केन्द्र सरकार द्वारा मानदेय दोगुना करने का वजट २०१०-११ में करके अपने हिस्से का ४६८ करोड रुपये भी प्रदेश सरकार को माहभर के भीतर अवमुक्त कर दिया गया ।
मगर भारत सरकार ने गरीब महिलाओं के उस धन को भी हडप लिया जिसका खामियाजा आज तक प्रदेश की गरीब आंगनवाडीकर्मी भुगत रही है न तो मानदेय ही बढा हुआ मिला न ही एरियर का भुगतान ही किया जा रहा है और तो और परियोजनाओं से पोषाहार की ढुलाई भी वर्षो से वही दी जा रही है ।
इस सम्बन्ध में जिला कार्यव्रहृम कार्यालय व निदेशालय स्तर पर रहस्यमय चुप्पी साध ली गई है जिले की आंगनवाडियों ने मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से कार्यकर्ताओं को नियमित करने और बढे हुए मानदेय का भुगतान की मांग की है ।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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