समाजवादी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता राजेन्द्र चैधरी ने कहा है कि झूलेलाल पार्क, लखनऊ में अध्यापक पात्रता परीक्षा (टीईटी) में बैठने की अनुमति देने की मांग कर रहे बीपीएड बेरोजगारों पर सोमवार को पुलिस लाठीचार्ज और प्रदर्शनकारियों की गिरफ्तारी प्रदेश की बसपा सरकार की हठधार्मिता और अधिनायकशाही मनोवृत्ति का नग्न प्रदर्शन है। इसकी जितनी निन्दा की जाए कम है।
जब से प्रदेश में बसपा की सरकार बनी है नौजवानों को सबसे ज्यादा उत्पीड़न का शिकार होना पडा है। जब भी वे अपनी कोई मांग उठाते है, यह सरकार उनपर लाठियां बरसाती है। बेरोजगार नौजवान अपनी मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे थे तभी अधिकारियों के आदेश पर पुलिस-पीएसी ने उन्हें दौड़ा-दौड़ा कर बेरहमी से पीटा। कई बेरोजगार गोमती नदी में कूद गए उनको भी पीटा गया। युवतियों तक से अभद्रता की गई और उन पर लाठियां चलाई गई। कई नौजवान बुरी तरह घायल हुए जिन्हें ट्रामा सेन्टर और बलरामपुर अस्पताल में भर्ती कराया गया।
बसपा सरकार ने नौजवानों की आवाज दबाने में कोई कसर नहीं छोड़ी है। कालेजों, विश्वविद्यालयों की फीस बढ़ाकर पढ़ाई मंहगी की। उर्दू मोअल्ल्मि हों या बीपीएड छात्र, अनुदेशक हों या बेरेाजगार नौजवान सब पर सरकारी कहर उत्पीड़न के रूप में उतरा है। समाजवादी पार्टी की सरकार ने बेरोजगार नौजवानों के लिए भत्ते की व्यवस्था की थी, बसपा ने उसे बंद कर दिया। यह सरकार नौजवानों को सड़क पर असहाय बनाकर छोड़ना चाहती है। उम्मीद है कि अगले विधान सभा चुनावों में नौजवान इसका पूरा बदला लेगें।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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