शाहाबाद कोतवाली क्षेत्र का उधरनपुर गांव के वाशिंदे शायह ही इस इतिहास को कभी भी पीढ़ी दर पीढ़ी नहीं भूल पाएगें। जब इस काला रविवार को एक अध्याय जुड़ गया। दीपावली की खुशिंया बच्चों में अपार थी। ठीक उसी प्रकार जिस प्रकार से साहित्यकार प्रेम चंद्र जी की कहानी ईंद का चाँद में बच्चों की खुशियों का वर्णन है। खूब मम्मी पापा को आमदनी होगी। ढे़र सारी मिठाईयाँ खरीद कर हमारे मम्मी पापा हमंे नए कपड़े खरीद कर बनवाएगंे। पुराने कच्चें घरों को नई शक्ल सूरत लिपाई पुताई करने हेतु महिलाएं पुरूष मिट्टी के वास्ते अपने बच्चों को लेकर उस टीले पर गए थे जहां से मिट्टी हमेशा लाते रहे है। दो दर्जन स्त्री पुरूषों के साथ 20-22 बच्चें भी थे। जिनमें नन्हें के दो बच्चें प्रीती और अमित राजकुमार की पुत्री पिंकी अपने छोटे भाई अमन जो उसकी गोद में था रामलखन का पुत्र सचिन रामकिशोर का पुत्र पियूष सभी टीलें पर खेलने लगे। तभी अचानक टीला खिसकने लगा और धंस गया। जिसमें राजकुमार की पुत्री पिंकी अपनी गोद में भाई अमन को लिए थी पिंकी और प्रीति अपनी गोंद में भाईयों को लिए हुए शव निकालने की अवस्था में पाए गए। इस प्रकार प्रशासन ने देर शाम तक इन सभी 6 बच्चों के शवों को निकालकर पंचनामा भर गर्रा नदीं के मुहाने पर अंतिम संस्कार करवा दिया। जो भी वहां मौजूद था सभी के कलेजे फट रहे थे विधायक आसिफ खाॅ बब्बू ने आधा दर्जन बच्चों की मृत्यु पर नायब तहसीलदार को मानवता का पाठ पढ़ाया और कड़ी फटकार लगाई। डीएम एके सिंह राठौर ने प्रत्येक मृतक के परिवार को दस हजार की सहायता देने का भरोसा दिलाया। प्रशासनिक अधिकारियों में एसपी लवकुमार, एएसपी रूचिता चैधरी, एसडीएम जयपाल सिंह भाजपा जिलाध्यक्ष राजीव रंजन मिश्र सहित कई राजनैतिक हस्तिया वहां मौजूद रही। गांव में पसरा सन्नाटा की वजह से ग्रामीणोें ने अपने अपने घरों के चूल्हे भी नहीं जलाए।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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