गंगा और रामगंगा नदी का जलस्तर बढ़ने से जनपद की तीन तहसीलों के लगभग आठ सौ गांव और मजरें बाढ़ की चपेट में आ गए। 25 मकान पानी की जलसमाधि बन चुके है हरपालपुर का कटियारी क्षेत्र सबसे ज्यादा प्रभावित क्षेत्र माना जा रहा है थाना अन्य सरकारी भवन डिग्री काॅलेज परिसर सभी जगह पानी ही पानी है मुख्य मार्गो पर पानी होने पर यातायात बाधित हो चुका है। जिससे पीएसी की फ्लट कंपनी को हाइवे पर डेरा डालकर राहत पहुंचाने का काम करना पड़ रहा हैं निकलने की चाहत सड़क मार्ग पर चार ट्रक पलट गए। रोडवेज बसों का संचालन बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूल सभी बंद कर दिए गए है। पांच नदियों के बीच बसा यह कटियारी क्षेत्र की स्थिति सबसे भयानक बन चुकी हैं संचार विभाग का बीटीएस बंद होने के कारण सेंवाएं भी बंद हो रही है। मल्लावां क्षेत्र का राघौपुर मेंहदीघाट पर एक मीटर पानी भर गया। पानी मुख्य मार्गो पर भर गया है। क्षेत्र का भगतपुरवा मढ़ियां, हरैया, नारायणपुर, पिड़िया आदि गांवों में पानी भरा है। इन गांवों के 25 मकान पानी में डूब कर बह गए। जनपद के जिलाधिकारी एके सिंह राठौर के अनुसार अगर जरूरत पड़ी तो अब सेना की मदद ली जाएगी। एसडीएम सतीश चंद्र ने बताया कि तीन मोटर वोटे काम कर रही है तथा एक रिजर्व में रखकर काम लिया जा रहा है। जनपद के नेता समाजवादी पार्टी के अशोक बाजपेई, कांग्रेस अजय सिंह, विधायक रजनी तिवारी विधायक नितिन अग्रवाल अपनी अपनी टीमों के साथ तमाम समाजसेवी बाढ़ राहत शिविर खोलकर मदद करने में आगे आ गए है। और प्रशासन की हर प्रकार से मदद कर रहे है।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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