महामहीम श्रीमती प्रतिभा पाटिल
मा. राष्ट्रपति, भारत
राष्ट्रपति भवन
नई दिल्ली
विषय : मायावती सरकार के घोटालों पर भारतीय जनता पार्टी की चार्जशीट
महामहीम महोदया,
उत्तर प्रदेश में बहुजन समाज पार्टी की सरकार ने अपने चार साल पूरे कर लिये हैं। उत्तर प्रदेश की जनता ने मायावती की बीएसपी को पूर्ण और सशक्त बहुमत देकर एक स्वच्छ सुदृढ प्रशासन की अपेक्षा की थी।
उत्तर प्रदेश में वास्तविकता कुछ और ही है। उत्तर प्रदेश के लोग इन दिनों बेहद बुरी तरह ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं. उत्तर प्रदेश में हो रही लूट और अराजकता की कुछ बानगी इस तरह है-
1. 2,54,000 करोड़ रुपये के 100 घोटाले
2. हत्या और डकैती
3. सरकारी अधिकारीयों कर्मचारियों की हत्या और संदिग्ध परिस्थितियों में आत्महत्या
4. उत्तर प्रदेश में नवयौवनाओं का जीवन और अस्मत दोनों ही असुरक्षित है।
5. उच्च पदस्थ स्थानों पर भ्रष्टाचार
6. लोक आयुक्त की जांच में मंत्री दोषी पाये गये
7. सुप्रीम कोर्ट समेत लगभग हर स्तर पर सरकार के खिलाफ सख्त निर्देश और फैसले पारित
8. किसानों की दिन प्रति दिन दयनीय होती स्थिति
9. सत्ता का दुरुपयोग कर किसानों से जमीने सरकार ने हथिया ली। नाम लिया जनहित का और सस्ती खरीद कर बड़े बिल्डरों को कौडियो के दाम सौप दिया गया
10. पुलिस समेत पूरे शासन तंत्र का दुरुपयोग किया गया यहां तक कि सरकार ने आम किसानों और जनता को धमकियां तक दिलवाईं।
11. अगर एक वाक्य में उत्तर प्रदेश की स्थिति का व्याख्या करना हो तो ये कहा जा सकता है कि यूपी का शासन “भय भूख और भ्रष्टाचार से परिपूर्ण है’.
भारतीय जनता पार्टी ने पिछले कुछ महीनों में उच्च स्तरीय भ्रष्टाचार के कई मामलों को उजागर किया है आपके कृपा पूर्ण विवेक और सहज सुलभ संदर्भ के लिये कुछ संलग्नक है:
1. 40,000 करोड का नोयडा महाघोटाला
2. नोयडा फार्म हाउस घोटाला
3. मायावती सरकार के 100 घोटाले – एफ आई आर: प्रथम सूचना रिपोर्ट First Information Report
4. मायावती सरकार के 100 घोटाले – एफ आई आर: प्रथम सूचना रिपोर्ट – दृश्यात्मक साक्ष्य
5. उत्तर प्रदेश चीनी मिल घोटाला
6. “मायाजाल” – लघु वृतचित्र/ सीडी
• बसपा के शासनकाल में पिछले चार साल में भ्रष्टाचार शिष्टाचार बन चुका है
• समग्र भ्रष्टाचार जो पहले कुछ प्रतिशत में हुआ करता था पिछले दो सालो में ये लूट मे परिवर्तित हो चुका है
• ऐसा लगता है कि भ्रष्टाचार और लूट के मुद्दे पर केंद्र और यूपी की मायावती सरकार में होड़ से लगी है कि कौन जनता को ज्यादा लूट ले
• सरकारी कर तंत्र मे एक नयी परिभाषा और नये शब्द गढे जा रहे हैं जैसे– “माया टैक्स”.
• हर सौदे में हर डील में ऊपर से नीचे तक माया कमीशन दिया जाना जरुरी है। चाहे वो निम्न स्तर पर गरीब रोजगार योजना, वृद्धा विधवा पेंशन, बाल पुष्टाहार जैसी योजना हो या फिर उच्च स्तर पर भूमि अधिग्रहण हाउसिंग स्कीम हर योजना में सरकारी रिश्वत का प्रतिशत तय है और इन सभी योजनाओं में माया कमीशन अलग से लिया जाता है.
• मायावती सरकार सरकारी तंत्र को एक एटीएम मशीन की तरह इस्तेमाल कर रही हैं। उत्तर प्रदेश की गरीब जनता इस एटीएम को इस आस से भरती जा रही है कि वो एक ऐसा टेलीफोन बूथ है जिसमें सिक्के डालने से उनकी परेशानियों को खत्म करने का कोई रास्ता दिखाया जायेगा। क्या ये शासन तंत्र और शासित जनता दोनों के लिये एक मज़ाक नहीं तो और क्या है?
हाल में ही नौ जुलाई को हमने साक्ष्यों को साथ एक घोटाला उजागर किया है। ये है 40,000 करोड का नोयडा महाघोटाला इसके तहत
• 60,000 करोड रुपये की जमीन को औने पौने दाम में सिर्फ 19490 करोड़ रुपये में बिल्डरों को बेच दी गयी।
• 16 सबसे मूल्यवान भूखंड सिर्फ दस बिल्डरों में मनमाने ढंग से बांट दिये गये
• इस प्रकरण में निवेश कर दाताओं के लिये छूट में मशहूर स्थानों मारिशस से आने की आशंका है।
• इस नोयडा प्रकरण घोटाले में 13 में से 8 कंपनियां महज एक लाख रुपये के मालिकाना निवेश से बनायी गयी है और इनका स्थापना 2010 से 2011 के बीच ही हुई है.
• AIMS SANYA DEVELOPERS PVT LTD. की स्थापना 06/05/2010 को हुई जबकि उसके हक में सौदा 26/03/2010 को ही कर दिया गया
नोयड़ा फार्म हाउस घोटाला
• साल 2010, में नोयडा आथारिटी/मायावती सरकार ने योजनागत औद्योगिक विकास के नाम पर किसानों से भूमि का अधिग्रहण किया
• उन्हें दिये ये सिर्फ 880/ प्रति वर्ग मीटर दर से पैसे
• आश्चर्य है कि इसी भूमि को साल 2010-11 to “ऊंचे लोगों ” को अपने फार्म हाउस बनाने के लिये दे दिया गया
• इसी भूमि का बाजार मूल्य है करीब 15,000/ प्रति वर्ग मीटर
भारतीय जनता पार्टी ने 7 अप्रैल 2011 को एक एफ आई आर प्रथम सूचना रिपोर्ट जारी की । ये रिपोर्ट मायावती सरकार के 100 घोटालों की थी जिसका मूल्य 2,54,000 करोड़ रुपये है। इन घोटालो के जरिये सरकार ने यूपी में हर वर्ग को लूटा है। चाहे वो गरीब बेसहारा हो या फिर उपेक्षित वर्ग या फिर व्यापारी
माया की माया करोड़ रुपये में
“माया की गैंग” : मनमाने ढंग से जबरन भूमि का अधिग्रहण कर मायावती
की गैंग के कुछ व्यापारियों को भेंट कर दिया गया 40,000
“माया का गिफ्ट” : नोयडा की मूल्यवान सरकारी जमीन को चुनिंदा कारपोरेट
कंपनियों को भेंट कर दी गयी 1,00,000
“माया की चीनी” : पॉन्टी चड्ढ़ा समेत अन्य चुनिंदा लोगों को औने पौने दामों में
चीनी मिलों को बेंच दिया गया बल्कि उन्हें भेंट कर दिया गया।
ये चीनी मिलें हजारों करोड मूल्य की थीं। 25,000
“माया का पावर ” : प्रदेश की बिजली परियोजनाओं को विवादित ढंग से पसंदीदा कंपनियों
को दे दिया गया इसमें आम उपभोक्ता समेत प्रदेश की खजाने को भारी
नुकसान हुआ 20,000
“माया का टोरेंट पावर” : टॉरेंट पावर को आगरा की विद्युत वितरण का काम दिया गया।
दिया नहीं बल्कि भेंट किया गया। इस कंपनी को हजारो करोड
की परिसंपत्तियां भी सौंप दी गयीं
खामियाजा आम उपभोक्ता ने उठाया 25,000
“माया की धन की खदाने” : अपारदर्शी मनमाने ढंग से टेंडरों में हेरफेर कर सरकार के
कई रसूखदारों ने खदानों का खेल किया. 15,000
“माया टैक्स ” : पूरे उत्तर प्रदेश में रंगदारी की तरह ही एक अवैधानिक
टैक्स चलता है इसे उत्तर प्रदेश में माया टैक्स कहा जाता है।
प्रदेश की हर मदिरा की दुकारन पर माया टैक्स के नाम पर
5 से 10 रुपये वसूले जाते हैं। 10,000
“माया की ठेकेदारी” : हर सरकारी ठेका मदिरा की दुकान से लेकर सड़क बनाने तक
का ठेका मायावती की ठेकदारी के तहत आवंटित किया जाता है
इससे सरकारी खजाने को करोडों का नुकसान होता है 10,000
“माया के स्मारक” : मायवती सरकार में समाज कल्याण गरीबी उन्मूलन दलित पिछडे
और अनुसूचित जाति जनजाति उत्थान के नाम पर किये गये कामों
में करोडों का घोटाला हजारों करोड़ का घोटाला मायावती के बनवाये
स्मारकों के पत्थर के नाम पर। साथ ही स्मारकों के नाम पर एक
अनोखी लूट सिर्फ मायावती शासन में ही दिख सकती है 5,000
“वृद्धा विधवा पेंशन में भी मायावती का हिस्सा” : सत्ता के दलालों, सत्तारुढ पार्टी के नेता
और सरकारी अफसरों ने बूढे बेसहारा और विधवा महिलाओँ को
भी नहीं छोडा उनकी छोटी पेंशन में भी अपना हिस्सा काटकर
उनका भुगतान किया जा रहा है। 2,000
“माया (समाज) कल्याण” : सरकार की समाज कल्याण की योजनायें भी मायावती कल्याण
में कम आती हैं। इसमें लाभार्थियों को माया टैक्स देने के लिये
मजबूर किया जाता है। स्कीमे जैसे काशींराम आवास योजना,
बाल पुष्टाहार योजना, संपूर्ण शिक्षा अभियान, शौचालय योजना,
काम के बदले आनाज योजना, सफाई कामगार भर्ती योजना में लाभार्थी
माया टैक्स देने के मजबूर किया जाता है. 2,000
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2,54,000
दो लाख चौवन हजार करोड़ रुपये – ब़डे घोटालों की कुल रकम Amount involved in a
इसी को कहते हैं समग्र लूट- माया की महिमा माया ही जाने
आम आदमी की जिंदगी पूरी तरह से अस्त व्यस्त हो चुकी है हमें ड़र है कि अगर यही लूट जारी रही तो पूरा तंत्र चरमरा के टूट जायेगा लोगों का लोकतंत्र से विश्वास उठ जायेगा
हम आपके समक्ष पेश कर रहे हैं
“मायावती सरकार के घोटालों की चार्ज शीट”
निम्न प्रार्थना के साथ –
• घोटालो की पूरी विस्तृत जांच
• उच्च पदस्थ स्थानों पर भ्रष्टाचार उन्मूलन
• आम आदमी की जिंदगी की रक्षा
• घोटालेबाजों के खिलाफ कार्यवाही और जनता के पैसे की पूरी वसूली की जाय
• दोषियों के खिलाफ कार्यवाही
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
मो0 9415508695
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