भारतीय जनता पार्टी ने बसपा सरकार द्वारा पार्टी की वरिष्ठ नेता उमाश्री भारती को काशीराम नगर के गंजडुडवारा में जाने पर लगाए गए प्रतिबंध को मुख्यमंत्री निर्देशित कार्रवाई बताया है। इसे लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन बताते हुए पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता सदस्य विधान परिषद हृदयनारायण दीक्षित ने आज रविवार को पत्रकारों से वार्ता करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ने सामान्य लोकतांत्रिक गतिविधियों को भी रोककर तानाशाही चला रखी है। राज्य के इतिहास में समस्त लोकतांत्रिक गतिविधियों पर पाबंदी लगाने वाली वे पहली मुख्यमंत्री हैं। वे पहली मुख्यमंत्री हैं जो विधायकों से नहीं मिलती। उन्होंने पूरे चार बरस में आम जनता का दुख-दर्द और शिकायतें सुनने का कोई भी कार्यक्रम नहीं बनाया। वे किसी भी राजनैतिक या गैरराजनैतिक शिष्टमण्डल से भी मिलना पसंद नहीं करतीं। वरिष्ट बसपा नेताओं के पार्टी से निष्कासन के समाचार भी गृह विभाग द्वारा बताए जाते हैं। राज्य में संवैधानिक सत्ता का तंत्र फेल हो गया है।
श्री दीक्षित ने पूर्व मुख्यमंत्री उमाश्री भारती के काशीराम नगर में प्रवेश करने के प्रतिबंध लगाये जाने की कार्रवाई को निन्दनीय बताया और सरकार से पूछा कि आखिरकार सुश्री उमा के उक्त क्षेत्र में प्रवेश से कानून-व्यवस्था की क्या समस्या थी? साफ जाहिर है कि भाजपा की लोकप्रियता से डरी सरकार भाजपा के कार्यक्रम नहीं होने देना चाहती।
सुरेन्द्र अग्निहोत्री
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